Thanks. I am Dr. S.S. Bhakuni, former Geologist/Scientist, Wadia Institute of Himalayan Geology Dehradun. Recently I visited Bageshwar to inspect soapstone mining activities. Some people were in favour and some were against mining. My observation was that it was actually a fight between the Demand and Suppy (preserved safely by Nature beneath Earth's surface). We all know very well that It is happening all over the world. We also know about the end result of competition between Human and Nature. In mountainous terrains, hill slope is an important aspect. Once it is disturbed the disaster takes place. Theoritical solution of problem is Reduce Demand. Practical solution of problem is Safe Mining. Regards.
जहा भारी मात्रा मे खदान हो तो बस्ती को अच्छी उपजाऊ जमीन हो वहा बसाना चाहिए,,,स्थानीय लोगो को भी खनन उद्योग मे भागीदारी मिलनी चाहिए,,,इनको भी खनन परमीशन मिलनी चाहिए
आपका हृदय से "धन्यवाद" आपने उत्तराखंड की समस्या को वीडियो के माध्यम से दिखाया । इस वीडियो के माध्यम से पता चलता है कि उत्तराखंड में किसका और कैसा विकास चल रहा है।
Jo bana apne constitution se haar gaya usko CM bana diya kisis to wajah se he Hara hoga na log ankh band karke vote dete h do saal se bhoo kanoon k naam pe pagal bana rhe h
उत्तराखंड में यह सब हो रहा है और यहां का मीडिया कुछ बोल नहीं पाया, उसमें हम खुद को भी शामिल करते हैं, बहुत ही शर्मनाक। धन्यवाद डीडब्ल्यू हिंदी का बहुत शानदार तरीके से आपने मुद्दों को रखा है जल्द ही लोकार्पण टीम भी बागेश्वर रवाना होगी, आभार आपका
पहाड़ को खनन माफियाओं ने ही बर्बाद कर दिया है, मैं बागेश्वर जिले से हूं। आपकी रिपोर्ट देख कर बहुत खुश हुआ। प्रशासन भी इसमें लिप्त है इसलिए यहाँ आम जनता के लिए कोई भी उचित करवाही आज तक नही हुई।
Hme vishww guru banane ki jarurat ni h or bn bhi lenge toh kya ukhaad lenge Hme vishww guru ki jgh apne desh or deshwasion ke liye kaam krna padega Or parakritik Sampada ko sanjog kr rakhna chahiye🇮🇳🇮🇳🇮🇳❤
The world has enough for everybody’s need, but not for even a single person’s greed. Greed of the capitalists and the political parties are cause of all the destruction.
सबसे पहले आपका धन्यवाद , इतने ज्वलंत मुद्दे को उठाने के लिए। व्यक्तिगत लाभ के लिए हम देव भूमि का जो शोषण कर रहे हैं उसकी कीमत हैम सबको एक दिन चुकानी ही होगी।
@@nitinkumar329lalach karne wale isliye lalach kar rahe hai kyuki uper se sarkar kaa hath hai unpar. Sarkar chahe to 2 min me band karwa de ye sab , magar nahi wo khud mile hue hai.
बागेश्वर की जनता के लिए आवाज उठाने के लिए आप का बहुत बहुत धन्यवाद क्योंकि यहां पर आवाज उठाने की हिम्मत किसी को नही है, हमारे बागेश्वर क्षेत्र को बर्बाद करने में सबसे बड़ा हाथ हमारे वहा के नेताओ का वो नेता जिनको जनता वोट देकर जीताती है, आप ने आज अपने चैनल के माध्यम से पहाड़ के लोगों का दर्द सब के सामने रखा आप ने बहुत अच्छा किया, लाखो रुपिया कमीशन ले कर ये नेता लोग ही खड़िया की फाइल पास कराते है, अगर पहाड़ में खड़िया खनन बंद नही हुवा तो बहुत बड़ी तबाही हो सकती है 😢🙏
पहाड़ों पे बेरोजगारी होने की वजह से पहाड़ों से पलायन हो रहा हैं... और सरकारी योजनाएं भी पहाड़ों के लिए लाभकारी नही हैं...उल्टा सरकारी योजनाओ की वजह से पहाड़ों को ही नुकसान पहुंच रहा हैं...और वीडियो के शुरुवात में अम्मा जी ने सही कहा..."जिनके पास पैसा हैं वो तो हल्द्वानी में घर ले रहे हैं और जिनके पास पैसा नहीं हैं वो क्या करेंगे"...पहाड़ों और पहाड़ियों का जीवन बहुत ही कठिन व दुर्भाग्यपूर्ण हैं...जय देव-भूमि, जय उत्तराखंड 🙏🚩🙏
Dw news hi aisha channel hai jo ye sab bate aam janta tak pahuchata hai baki ke channel ko sirf trp chahiye Dw news aap sachchai dikhate raho hum log aap ke sath hai
बहुत ही प्रशनशिय टॉपिक लिया है। परंतु माफिया का कब्जा ओर भृष्टाचार आम लोगो को जीने नहीं देगा। नेता खुद खड़िया के ठेकेदार बने हुए हैं तो आम लोगो की को ऑफिसर सुनेगा।
DW have done a great job by making such elaborate and raw documentary I am from Bageshwar and we have seen from decades that nobody cares about the common pahadi people everybody thinks about their profit and exploit the land and its indigenous people. Thank you DW.
हमेशा की तरह ये वीडियो भी बहुत जानकारी भरा था। मैं भी इसी क्षेत्र से हूं और रोज इन समस्याओं के बारे मे सोचता हूं पर आप द्वारा (DW) इसे कवर करने के लिए बहुत अच्छा प्रयास।
बहुत अच्छी रिपोर्टिंग है dw 👍❤ जब दूध की रखवाली बिल्ली से कराओगे तो दूध का क्या हाल पाओगे..!😭 उतराखण्ड को खण्ड़-खण्ड होने से बचाओ अब भी वक्त है जाग जाओ..!👍
I highly appreciate the hard work put in by the DW team. It's truly commendable how they dedicated their efforts to bring forth such an important and impactful documentary.
Great news coverage 👍 मैं भी बागेश्वर के कांडा क्षेत्र से हूं और हर दिन सुंदर पहाड़ियों, सीढ़ी दार खेतों और आबादी के बीच धरती के साथ साथ यहां के लोगों का भी सीना चीर रहा है। कई बार मैं भी इस पर रिपोर्टिंग कर चुकी हूं।
क्या ये खनन माफिया लोगों से उनकी जमीन खरीद कर खोदते हैं? किस रेट पर ज़मीन खरीदते हैं? क्या यहां कोई बाहरी व्यक्ति भी खनन माफिया हैं? और यहां का जंगल जंगलायत ( सरकारी आरक्षित जंगल) नहीं है क्या? वैसे तो सरकार लोगों को घर बनाने के लिए एक सूखा पेड़ नहीं काटने देते हैं तो ये हरे भरे जंगल कैसे काटे जा रहें हैं? मैं भी चंपावत से हूं अगर आप कुछ जानकारी साझा करना चाहे!
उत्तराखण्ड जैसे हिमालयी राज्य में आपदाओं में बड़ी मात्रा में भू- कटाव और जन हानि होने की वजह खनन ही हैं जो कम वर्षा के बावजूद बड़ी आपदा के रूप में उभरता हैं । उत्तराखण्ड में बड़े पैमाने पर रिजॉर्ट, होटल्स इत्यादि के लिए खनन हो रहा हैं । ये उत्तराखण्ड की मूल आबादी के अस्तित्व पर बड़ा संकट खड़ा कर रहा हैं।
बहुत शानदार रिपोर्ट। राज्य बनने के बाद से ही आई तमाम सरकारों के नेताओं ने पहाड़ को बर्बाद कर दिया। प्रकृति इन्हें भी इसी तरह बर्बाद करेगी क्योंकि प्रकृति से बड़ा कोई नहीं है और वह अपना बदला जरूर लेती है। हिमाचल, उत्तराखंड इसके उदाहरण हैं। एक बार फिर इस विषय को छूने के लिए आपका आभार।
हमारी वहां की बहुत बड़ी समस्या के लिए आवाज उठाने के लिए धन्यवाद 👏 अगर आप इसी प्रकार खड़िया का विरोध करों तो हम सब आपके साथ है 🙏 शायद आज तक कोई है जो की खनन माफियाओं का विरोध कर सकें
Your voice says it all!! My heartfelt gratitude to you for becoming a strong and unwavering voice for the village people of the Uttarakhand in their battle against lime. Thank you for standing up for what is right and for making a difference in the lives of those who need it most. Your work is a testament to the power of individuals to effect positive change, and I’m proud to support your cause 🙏
यहां पर खनन के सारे नियम ताक पर रख खुदाई होती है और खदानों के मालिक हमले लोकतत्र के पहरेदार अथवा बड़े अधिकारियों के रिश्तेदार है। जल्द ही यह क्षेत्र ऐसी त्रासदी से गुजरने वाला है जिसकी हमने कल्पना भी नहीं की होगी। आपके चैनल का धन्यवाद इतनी हिम्मत का काम करने के लिए, अपना ख्याल रखना।
Laws relating to sale/purchase of land in Uttarakhand are prone to misuse. Possibly the owners of such mines are outsiders who've forged land ownership documents in name of some locals & kept them as supervisors. Unplanned mining will be disastrous for Uttarakhand.
मैं भी इसी एरिया से hu sar yah खनन माफियाओं का दबदबा होता है, NGT, govt ko ese rokna chahiye Ye log जबरदस्ती किसी का भी जमीन खोद लेते है , gov अधिकारी भी खनन माफियाओं से मिले होते है😮
I am from the same district that you have mentioned here. You are absolutely right sir, these mines have affected the environment to such an extreme level that can't be denied. Bothe places Reema and kanda are nearby my village -धरमघर. When a machine is operating at night we can hear the sound & sometimes the feel the tremors of that ,here in our own village too. Whole of the forest are being cut down and the district authorities are quiet about it. Most importantly the people are displaced and weaker section are affected the most by it. No proper inspections and no say of the govt. It can be devastating for the people out here. Sadly, someday the whole reema-naukari belt can become a flat land. The greed of super fine soapstone could lead to a heavy loss which nobody can justify and Or could have imagined.
क्या ये खनन माफिया लोगों से उनकी जमीन खरीद कर खोदते हैं? किस रेट पर ज़मीन खरीदते हैं? और यहां का जंगल जंगलायत ( सरकारी आरक्षित जंगल) नहीं है क्या? वैसे तो सरकार लोगों को घर बनाने के लिए एक सूखा पेड़ नहीं काटने देते हैं तो ये हरे भरे जंगल कैसे काटे जा रहें हैं? मैं भी चंपावत से हूं अगर आप कुछ जानकारी साझा करना चाहे!
मैं बागेश्वर से हूँ। यहा विधायक, बाकी नेता और यहा तक की खुद मुख्यमंत्री खनन में लिप्त हैं। DW टीम का धन्यवाद।
Khud neta logo commision fix h to wo kyu band karenge
Jab UK mai question paper bikey, khadiya la khel to arbo ka h😢
Uttarakhand ke चोर नेता यहां का मुख्यमंत्री सांसद विधायक ये सब कुत्ते हैं
Sab jgha ka ye haal h
Bhai sare desh me ye hal, bas humko sab khule aam humko loot rhe hai
उत्तराखंड की आवाज उठाने के किये आप को दिल की गहरायों से बहुत-बहुत धन्यवाद🙏🙏🙏✌️✌️
Godi media and chai walo ko vote dalo
@@harrisingh9327😂🤣
save uttrakhand bring land reforms
उत्तराखंड के सीधे सादे लोग बिरोध नहीं कर पाते इन भोले भाले लोगों की आवाज बनने के लिए आप को धन्यवाद ।
Best example of Indians corruption.
Aur Jo Amir hai woh desh chor kr bhaag rhe hai.. bloody cowards
Bhole nhi chutiya h hum uttarakhand wale.
Comment comment khelne m maja aata h virodh k naam pe Hume.
सीधे साधे लोग कुछ नहीं है, असल मे आधों की औलादें तो दूसरे शहरों में बस चुकी है, तो उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता।
Seedhe nahi hain, katuwo ko maar maar k bhaga rahe hain
ध्यूड़ (दीमक) हैं उत्तराखण्डी नेता। DW टीम का बहुत बहुत धन्यवाद जो दुर्दशा को दुनिया में सबके सामने ला रही है।
दीमक उत्तराखंड की जनता है | 2 घूँट शराब के लिए अपनी माँ को भी बेच दें उत्तराखंड के आदमी | पहाड़ी औरतों ने बचा रखा है प्रदेश को |
@@brahm-ahamasmiहाँ भाई सही कहा जनता ही बेकार है देखो अभी कैसे दारू के एक अद्धे के लिए अपना वोट बेचेंगे हमरे uk वाले लोकसभा चुनाव मैं.
Thanks. I am Dr. S.S. Bhakuni, former Geologist/Scientist, Wadia Institute of Himalayan Geology Dehradun. Recently I visited Bageshwar to inspect soapstone mining activities. Some people were in favour and some were against mining. My observation was that it was actually a fight between the Demand and Suppy (preserved safely by Nature beneath Earth's surface). We all know very well that It is happening all over the world. We also know about the end result of competition between Human and Nature. In mountainous terrains, hill slope is an important aspect. Once it is disturbed the disaster takes place. Theoritical solution of problem is Reduce Demand. Practical solution of problem is Safe Mining. Regards.
जब राजनीतिक दल ही खनन माफियाओं के रहमों करम पर चलते हों तो सरकारों से भी कुछ उम्मीद करना बेमानी है। बेहतरीन रिपोर्टिंग ।
जहा भारी मात्रा मे खदान हो तो बस्ती को अच्छी उपजाऊ जमीन हो वहा बसाना चाहिए,,,स्थानीय लोगो को भी खनन उद्योग मे भागीदारी मिलनी चाहिए,,,इनको भी खनन परमीशन मिलनी चाहिए
आपका हृदय से "धन्यवाद" आपने उत्तराखंड की समस्या को वीडियो के माध्यम से दिखाया । इस वीडियो के माध्यम से पता चलता है कि उत्तराखंड में किसका और कैसा विकास चल रहा है।
आपका प्रयास सराहनीय है।ये मशाल उत्तराखंड की जनता को प्रेरित कर गलत के विरोध में एकजुट करेगी।धन्यवाद आपका
उत्तराखंड का मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ही सारे भ्रस्टाचार का मास्टरमाइंड है।
खनन माफिया हैं वो तो
ये खनन 2,3 सालों से ही तो हो रहा है ना 😢
सही कहा
Jo bana apne constitution se haar gaya usko CM bana diya kisis to wajah se he Hara hoga na log ankh band karke vote dete h do saal se bhoo kanoon k naam pe pagal bana rhe h
मन रो उठता है ऐसी स्थिति को देख कर. यह सिर्फ उत्तराखंड में ही नहीं बल्कि जहां भी minerals पाए जाते हैं सभी जगहों का यही हाल है 😢
Kya rona ab jab chidiya chij gayi khet.
ruclips.net/video/v7-tko6y1d8/видео.html
ruclips.net/video/v7-tko6y1d8/видео.html
Jahan jahan neta wahan wahan chori
हिमालय बचाओ देश बचाओ ,,,, उत्तराखंड तो इन्हीं खनन और राजनेता के लिए बनवाया गया है
इतनी अच्छी रिपोर्टिंग, बहुत बहुत धन्यवाद।
उत्तराखंड में यह सब हो रहा है और यहां का मीडिया कुछ बोल नहीं पाया, उसमें हम खुद को भी शामिल करते हैं, बहुत ही शर्मनाक।
धन्यवाद डीडब्ल्यू हिंदी का बहुत शानदार तरीके से आपने मुद्दों को रखा है जल्द ही लोकार्पण टीम भी बागेश्वर रवाना होगी, आभार आपका
जाल्दी करो दिदा फिर आज तक सोये थे चलो अब तो जाग गये होंगे।
@@anilbutola- जाग ही नहीं तैयार भी हो गए जी, आजकल बंद है खनन सुनने में आया है, इंतजार कीजिएगा आप हमारा
@@-lokaarpanइंतजार करते करते लोगो की आंखे तरस जाती है, बच्चा जवान हो जाता है और जवान बूढ़ा हो जाता है। क्या कोई सुनने वाला है!?!📢
उत्तराखंड के दूर दराज गावों में खनन माफिया का सच उजागर कर मेरे भाई ने बहुत नेक काम किया है
उत्तराखंड के गांवों की आवाज उठाने के लिए आपका धन्यवाद
आई
Awaz to ap logo ko bhi uthana chahiye warna sab tabah kar denge ye myening wale
@@AhmadAliKhan-kj8rk, utha rahe hai par chor BJP aur Congress walo ko koi sudh nhi hai.
save uttrakhand bring land reforms
@@AhmadAliKhan-kj8rk inko "muslim bhagao" ka jhunjhuna pakda rakha hai.
DW टीम को बहुत बहुत धन्यवाद खड़िया के चक्कर मे पूरा पहाड़ खतरे की जद में हैं😢
पहाड़ को खनन माफियाओं ने ही बर्बाद कर दिया है, मैं बागेश्वर जिले से हूं। आपकी रिपोर्ट देख कर बहुत खुश हुआ।
प्रशासन भी इसमें लिप्त है इसलिए यहाँ आम जनता के लिए कोई भी उचित करवाही आज तक नही हुई।
उत्तराखंड में अब खनन माफियाओं की सरकार है . Well documented
बढ़ती हुई इँसानी आबादी और इँसान का लालच सब कुछ बर्बाद कर देगा, और वैसे भी -तबाही के बिना अमन कायम नहीं हो सकता।।
Ye baat sahi h. Jab tak barbadi nahi hogi tab tak sudhaar bhi nahi hoga.
Barbadi jaruri h.
Lalach aur iccha hi sab le dubegi insaan ko jarurat se jyada chahiye
Reporter shahb ko local samsya kaise pta lgta hai
Hme vishww guru banane ki jarurat ni h or bn bhi lenge toh kya ukhaad lenge
Hme vishww guru ki jgh apne desh or deshwasion ke liye kaam krna padega
Or parakritik Sampada ko sanjog kr rakhna chahiye🇮🇳🇮🇳🇮🇳❤
The world has enough for everybody’s need, but not for even a single person’s greed.
Greed of the capitalists and the political parties are cause of all the destruction.
Being student of biotechnology, I know environmental issues and our system is totally collapse
Thanks DW Hindi for you such hard effort
Student hona se he nahe saab dekh raha hai
Degree ke baad tum bhi naukri me aise hi paryavaran virodhi karya karoge.
@@tejasvi18joshi
Sorry dost apki soch thaki hari hai
Aap logo ko dekh kr kaam krte hai mai logo ko nhi dhekta hai
@@Baaghisoldier dekh ye sari degree end me paryavaran ko nuksan hi karwati hai
@@Baaghisoldierto jahan ka bhi student ho Macaulay k talwe kyu chaat rha h
सबसे पहले आपका धन्यवाद , इतने ज्वलंत मुद्दे को उठाने के लिए। व्यक्तिगत लाभ के लिए हम देव भूमि का जो शोषण कर रहे हैं उसकी कीमत हैम सबको एक दिन चुकानी ही होगी।
सरकार की लालच कभी खत्म नहीं होगी जिसका खामियाजा जनता को भुगतना पड़ेगा।
मोदी अच्छे योगी अच्छे , ना अच्छी इनकी सरकार, मंत्री विधायक हिस्सा लेवे, अधिकारी करें भ्रष्टाचार
क्या बात है 👍
Kya h ye yogi modi, insan ka lalach responsible iske liye.
Sahi h bro👌😂
@@nitinkumar329lalach karne wale isliye lalach kar rahe hai kyuki uper se sarkar kaa hath hai unpar. Sarkar chahe to 2 min me band karwa de ye sab , magar nahi wo khud mile hue hai.
साधुवाद! बहुत प्रासंगिक और अच्छी तहक़ीक़ातपूर्ण रिपोर्टिंग। Well done DW!! 👏👏👏
बागेश्वर की जनता के लिए आवाज उठाने के लिए आप का बहुत बहुत धन्यवाद क्योंकि यहां पर आवाज उठाने की हिम्मत किसी को नही है, हमारे बागेश्वर क्षेत्र को बर्बाद करने में सबसे बड़ा हाथ हमारे वहा के नेताओ का वो नेता जिनको जनता वोट देकर जीताती है, आप ने आज अपने चैनल के माध्यम से पहाड़ के लोगों का दर्द सब के सामने रखा आप ने बहुत अच्छा किया, लाखो रुपिया कमीशन ले कर ये नेता लोग ही खड़िया की फाइल पास कराते है, अगर पहाड़ में खड़िया खनन बंद नही हुवा तो बहुत बड़ी तबाही हो सकती है 😢🙏
उत्तराखंड की समस्या को उठाने के लिए DW टीम का धन्यवाद
सच सामने आप लाते ही हो 👍👍
देवता को चढ़ाना ही एकमात्र उपाय रह गया है अब
क्योंकि उसी से डर है वरना तो कोई डर ही नही है👍👍👍
पहाड़ों पे बेरोजगारी होने की वजह से पहाड़ों से पलायन हो रहा हैं...
और सरकारी योजनाएं भी पहाड़ों के लिए लाभकारी नही हैं...उल्टा सरकारी योजनाओ की वजह से पहाड़ों को ही नुकसान पहुंच रहा हैं...और वीडियो के शुरुवात में अम्मा जी ने सही कहा..."जिनके पास पैसा हैं वो तो हल्द्वानी में घर ले रहे हैं और जिनके पास पैसा नहीं हैं वो क्या करेंगे"...पहाड़ों और पहाड़ियों का जीवन बहुत ही कठिन व दुर्भाग्यपूर्ण हैं...जय देव-भूमि, जय उत्तराखंड 🙏🚩🙏
....... जबरदस्त डौक्यूमैंन्ट्री .... 👌👌👌....
गंभीर विषय पर ... , सोचनीय पहल ....
Dw news hi aisha channel hai jo ye sab bate aam janta tak pahuchata hai baki ke channel ko sirf trp chahiye
Dw news aap sachchai dikhate raho hum log aap ke sath hai
उत्तराखंड (बागेश्वर) की आवाज उठाने के लिए DW टीम का धन्यवाद👏
बहुत बहुत आभार... DW टीम का.. 💐💐... जिन्होंने आम जन की आवाज़ बनने का बीड़ा उठाया है.. 🙏🏻🙏🏻
Thank you DW for presenting this issue.
बेहतरीन रिपोर्ट। तथ्यपरक, संतुलित, धरातलीय।
हमें इस बात की खुशी है कि ओमकार जी इंडिया आ गए हैं अपने लोगों के पास अपनी जमीन से जुड़े मुद्दों को दिखाने के लिए धन्यवाद
बहुत ही प्रशनशिय टॉपिक लिया है। परंतु माफिया का कब्जा ओर भृष्टाचार आम लोगो को जीने नहीं देगा। नेता खुद खड़िया के ठेकेदार बने हुए हैं तो आम लोगो की को ऑफिसर सुनेगा।
DW have done a great job by making such elaborate and raw documentary I am from Bageshwar and we have seen from decades that nobody cares about the common pahadi people everybody thinks about their profit and exploit the land and its indigenous people. Thank you DW.
Pmo
usme aap logo ko hi khada hona padega.... koi ni aayega jb tk aap log kade ni honge
हमेशा की तरह ये वीडियो भी बहुत जानकारी भरा था। मैं भी इसी क्षेत्र से हूं और रोज इन समस्याओं के बारे मे सोचता हूं पर आप द्वारा (DW) इसे कवर करने के लिए बहुत अच्छा प्रयास।
बहुत अच्छी रिपोर्टिंग है dw 👍❤
जब दूध की रखवाली बिल्ली से कराओगे
तो दूध का क्या हाल पाओगे..!😭
उतराखण्ड को खण्ड़-खण्ड होने से बचाओ
अब भी वक्त है जाग जाओ..!👍
पर्यावरण के ऐसे मुद्दों को उठाने के लिए आपका दिल से धन्यवाद
Intense and authentic information.
DW news channel zindabad
🙏🙏खाड़ीया का विश्व व्यपाक उपयोग पर जानकारी दिलचस्प है,पर अफसोस कि इसके उत्खनन से देवभूमि उत्तराखंड निरंतर तबाही मचा रहा है जो अत्यंत दुखद पहलू है🙏🙏
DW का बहुत बहुत धन्यवाद इसपर एक एपिसोड बनाया आपने।
Thnx sir for covering this news . पहाड़ों को लोक नौकर ने और अधिकारियों ने बरबाद कर दिया है
आपका बहुत बहुत आभार एवं धन्यवाद दादी 🙏🙏🙏
I highly appreciate the hard work put in by the DW team. It's truly commendable how they dedicated their efforts to bring forth such an important and impactful documentary.
Thank you DW for covering our local issues. CM Dhami and all these politicians are the biggest mafia in Uttarakhand 🙏
Thanks DW team for raising such issues.
Dw टीवी आपका बहुत बहुत धन्यवाद 🙏
thank you DW
This is real journalism, showing all aspects and also asking authorities
ओंकार जी आपका चैनल pin and post मैं काफी दिनों से लगातार देख रहा हूं अब आप dw पे आ गए बहुत अच्छा लगा
Great news coverage 👍 मैं भी बागेश्वर के कांडा क्षेत्र से हूं और हर दिन सुंदर पहाड़ियों, सीढ़ी दार खेतों और आबादी के बीच धरती के साथ साथ यहां के लोगों का भी सीना चीर रहा है। कई बार मैं भी इस पर रिपोर्टिंग कर चुकी हूं।
क्या ये खनन माफिया लोगों से उनकी जमीन खरीद कर खोदते हैं? किस रेट पर ज़मीन खरीदते हैं?
क्या यहां कोई बाहरी व्यक्ति भी खनन माफिया हैं?
और यहां का जंगल जंगलायत ( सरकारी आरक्षित जंगल) नहीं है क्या?
वैसे तो सरकार लोगों को घर बनाने के लिए एक सूखा पेड़ नहीं काटने देते हैं तो ये हरे भरे जंगल कैसे काटे जा रहें हैं?
मैं भी चंपावत से हूं अगर आप कुछ जानकारी साझा करना चाहे!
Thankyou DW for covering this news. . .
Shandar channel or shandar prastuti...👍👍👍👌👌👌👌
to fr krle kuch
Let's save our environment. Thank you DW.
Rajya andolan k sapne ko tilanjali de di gyi h....aisa pahad to hm nhi banana chahte the....
Thannx n kudos to @DW for bringing this up
Salute DW team...really appreciate it for spreading awareness and providing honest news...true media...Salute all of you..
Dw टीम को धन्यवाद।
वृक्षारोपण करना बहुत जरूरी है
🌳🌳Go green rky 🌳🌳
❤❤जय हिन्द जय हिन्द ❤❤
जमीन बचे गी तभी वृक्षा हो पायेगा ना भाई ये सब देखते हुए तो जमीन हेही नही
@@kananagar184 जमीन बचाओ अभियान शुरू करो दोस्त
जय हिन्द 🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳
Best channel for informative content.thanks from uttarakhand 🙏🙏
सरकारों का भ्रष्ट तंत्र और लोगों की पर्यावरण के प्रति उदासीनता बड़ी तबाही लाने वाली है
Logo ki koi udaasinta nhi hai
DW team ko bahot bahot dhanywaad
What a classic piece of journalism!❤
Very informative video
Really appreciate work by DW channel.
आभार आपका जो दिखाया ऐक प्रबन्ध की जरुरत हे ताकी गांव वे खदान के बिच तालमेल बने
बिल्कुल बिल्कुल सच्चाई यही है बिल्कुल सच्ची रिपोर्ट सच्ची घटना पर आधारित
मेरा उत्तराखण्ड सरकार से ये निवेदन है कि इन खननु पर रोक लगाई जाय अन्यथा यहां भी जोशीमठ जैसे हालात हो जायँगे
DW duniya ka sabse best channel hai
Congratulations... Commendable work by you r team.Keep it up
Thank you uttrakhand walo ki awaz uthane ke liye ..bhagwan apka bhala kare 🙏
हिमालयी राज्यों को पूरी तरह से प्राकृतिक ही रखना चाहिए सरकार को।
Finally someone address this big problem , I'm personally effected by this in my hometown but no one is here to listen
तुम लोग सो क्यों रहे हो हर बात सरकार पर छोर देते है जागो उत्तराखंड बासी सब मिलकर खड़े हो जाओ फिर देखो जो तुम चाहोगे वो होगा सरकार हम से है ।। जागो जागो
Mining and Liquor are two big curses for Uttarakhand. Thanks for showing this 🙏
उत्तराखण्ड जैसे हिमालयी राज्य में आपदाओं में बड़ी मात्रा में भू- कटाव और जन हानि होने की वजह खनन ही हैं जो कम वर्षा के बावजूद बड़ी आपदा के रूप में उभरता हैं । उत्तराखण्ड में बड़े पैमाने पर रिजॉर्ट, होटल्स इत्यादि के लिए खनन हो रहा हैं । ये उत्तराखण्ड की मूल आबादी के अस्तित्व पर बड़ा संकट खड़ा कर रहा हैं।
🙏🙏🙏 जिम्मेदार और निर्भीक पत्रकारिता
यही वजह है कि पहाड़ हर साल हर दिन अपना प्रकोप दिखा रहा है , जिसका नुकसान स्थानीय लोगों को भुगतना पड़ रहा है। सरकार बस अपना मुनाफा देख रही है।
बहुत शानदार रिपोर्ट। राज्य बनने के बाद से ही आई तमाम सरकारों के नेताओं ने पहाड़ को बर्बाद कर दिया। प्रकृति इन्हें भी इसी तरह बर्बाद करेगी क्योंकि प्रकृति से बड़ा कोई नहीं है और वह अपना बदला जरूर लेती है। हिमाचल, उत्तराखंड इसके उदाहरण हैं। एक बार फिर इस विषय को छूने के लिए आपका आभार।
Thanks dw and specially omkar sir and his team to show this much dedication and honesty this is the true spirit of journalism
आज भी मरा नहीँ है पत्रकारिता ये आप जैसे को देखकर थोड़ा आत्मा को बल मिलता है😂❤
सब मिले होते है ये बाकी हिंदुस्तान की मीडिया भी लाभ लेने के कारण समस्याओं को दिखाती नही है?
भारतीय मीडिया तो ये कभी nhi दिखायेगा आप ने दिखाया उसके लिए धन्यवाद आप का
हमारी वहां की बहुत बड़ी समस्या के लिए आवाज उठाने के लिए धन्यवाद 👏
अगर आप इसी प्रकार खड़िया का विरोध करों तो हम सब आपके साथ है 🙏
शायद आज तक कोई है जो की खनन माफियाओं का विरोध कर सकें
Thanks DW for raising this issue, even our local news channels don't report this
Uttarakhand की राजनीति uttarakhand के लिए ही अभिशाप है सारी सरकारी बड़े नेताओं के नीचे दबे हैं जो कि दूसरे राज्यों के हैं 😢😢😢😢😢
Your voice says it all!!
My heartfelt gratitude to you for becoming a strong and unwavering voice for the village people of the Uttarakhand in their battle against lime.
Thank you for standing up for what is right and for making a difference in the lives of those who need it most. Your work is a testament to the power of individuals to effect positive change, and I’m proud to support your cause 🙏
इस पर जल्द से जल्द एक्शन होना चाहिए #dhami
Dhami sold utterakhand to gujju traders
Kuch nhi hoga raise your voice for bhoo kanoon
यहां पर खनन के सारे नियम ताक पर रख खुदाई होती है और खदानों के मालिक हमले लोकतत्र के पहरेदार अथवा बड़े अधिकारियों के रिश्तेदार है।
जल्द ही यह क्षेत्र ऐसी त्रासदी से गुजरने वाला है जिसकी हमने कल्पना भी नहीं की होगी।
आपके चैनल का धन्यवाद इतनी हिम्मत का काम करने के लिए, अपना ख्याल रखना।
Laws relating to sale/purchase of land in Uttarakhand are prone to misuse. Possibly the owners of such mines are outsiders who've forged land ownership documents in name of some locals & kept them as supervisors. Unplanned mining will be disastrous for Uttarakhand.
save uttrakhand bring land reforms
That's y BJP is not bringing bhoo kanoon
Bahut sahi cheez highlight ki hai aapne
मैं भी इसी एरिया से hu sar yah खनन माफियाओं का दबदबा होता है, NGT, govt ko ese rokna chahiye
Ye log जबरदस्ती किसी का भी जमीन खोद लेते है , gov अधिकारी भी खनन माफियाओं से मिले होते है😮
जब यहां की जनता ही खनन माफियाओं को वोट देती हो तो विनाश कौन रोकेगा।
Onkar dajyu bhot bhot dhanyawad iss mudde ko cover krne ke liye...
इसीलिए भगवान ने (शापित_ श्राप) कर रहा है इंसानियत पेट में पत्थर मिल रहा है।❤❤❤
Bahut bahut dhanyavaad DW ko bageshwar washiyon ka dard samne lane ke liye dil se shukriya 🙏🙏🙏🙏
I am from the same district that you have mentioned here. You are absolutely right sir, these mines have affected the environment to such an extreme level that can't be denied. Bothe places Reema and kanda are nearby my village -धरमघर. When a machine is operating at night we can hear the sound & sometimes the feel the tremors of that ,here in our own village too. Whole of the forest are being cut down and the district authorities are quiet about it. Most importantly the people are displaced and weaker section are affected the most by it. No proper inspections and no say of the govt. It can be devastating for the people out here. Sadly, someday the whole reema-naukari belt can become a flat land. The greed of super fine soapstone could lead to a heavy loss which nobody can justify and Or could have imagined.
क्या ये खनन माफिया लोगों से उनकी जमीन खरीद कर खोदते हैं? किस रेट पर ज़मीन खरीदते हैं?
और यहां का जंगल जंगलायत ( सरकारी आरक्षित जंगल) नहीं है क्या?
वैसे तो सरकार लोगों को घर बनाने के लिए एक सूखा पेड़ नहीं काटने देते हैं तो ये हरे भरे जंगल कैसे काटे जा रहें हैं?
मैं भी चंपावत से हूं अगर आप कुछ जानकारी साझा करना चाहे!
English aati nahi hai or google translation app ka use karte ho.
@@swatis3412 may I know whosoever should be concerned about your comment? Please enlighten me madam ji 🤣
@@swatis3412 and most importantly. I think you need the google translation 😅. Even for the hindi, i guess its right!!! 🖐
We're very thankful of dw to cover these local and big issues.
Well done DW ❤
Thank you DW for this news.. the water source of many villages dried by mining.