सतगुरु मिले तो भेद बतावे बहुत ही गजब टिपानिया साहब हम तो आप के अधीन हो गए काश कोई कबीर साहिब के विचारों को समझ पाती दुनिया तो धर्म के नाम पर झगड़ा भी नहीं होता( मैं भंवरिया प्रकाश राम गांव लाई मेड़ता सिटी जिला नागौर राजस्थान आपका तहे दिल से स्वागत करता हूं देता हूं मैं आपके माता और पिता को बहुत-बहुत बधाई जिनकी गोद में खेले
ऐसे सुमधुर संगीत और मधुर वाणी मे भी लोग नफरत लेकर बैठे है । नफरत सिर्फ़ और सिर्फ़ विनाश की ओर ले जा सकती है लेकिन प्रेम ने हमेशा सृजन किया है । सादर नमन साहब बंदगी
Upon hearing this profound spiritual message from Kabir Ji, it becomes evident that encountering a Satguru (an enlightened True Master who dispels ignorance) is important to opening a window to profound wisdom. Kabir emphasises the importance of not just reading spiritual texts but deeply contemplating them. It's vital to ponder our origins and purpose, rather than aimlessly wandering without direction.🙏
श्री प्रहलाद सिंह टिपानिया जी आपको बहुत-बहुत धन्यवाद आपने सदगुरु कबीर का देश देशान्तर भजन गाकर जन मानस में फैलाने का काम किये। आप को बहुत बहुत धन्यवाद ।
Thank you Ajab Shehar, Shabnum Virmani Ji & team for uploading this masterpiece. I've been diagnosed positive for omicron and every remedy failed to give me the peace i was craving for, but this song of Kabir Baba is the actual medicine my soul was craving, it helped me calm down ane connect with my inner self. Stay blessed 🥺🙏
संत कबीर जी ने बहुत ही सुन्दर तरीके से अद्वैत रचनाओं को संसार के समक्ष रखा। संत कबीर आगम पंथ के विद्वान साधक थे। एक में अनेक का आभीर भाव यह अद्वैत की विशिष्टता है। Saint Kabir ji very beautifully presented the Advaita creations in front of the world. Sant Kabir was a learned seeker of Agam Panth. The feeling of gratitude for many in one is the specialty of Advaita.
Sab aaya ek hi ghaat se, utra ek hi baat Beech mein duvidha pad gayi, ho gaye baarah baat Ghaate paani sab bhare, avghat bhare na koy Avghat ghaat Kabir ka, bhare so nirmal hoy Hindu kahun to hoon nahin, musalmaan bhi naahin Gaibi donon deen mein, khelun donon maanhi Kahaan se aaya kahaan jaaoge Khabar karo apne tan ki Koi sadguru mile to bhed bataave Khul jaave antar khidki Khul jaave antar ghat ki Hindu Muslim donon bhulaane Khatpat maay rahya atki Jogi jangam shekh sevra Laalach maay rahya bhatki Kahaan se aaya kahaan jaaoge… Kaazi baithha Qur’an baanche Jameen jor vo kari chatki Har dam saaheb nahin pehchaana Pakda murgi le patki Kahaan se aaya kahaan jaaoge… Baahar baithha dhyaan lagaave Bheetar surta rahi atki Baahar banda, bheetar ganda Man mail machhli gatki Kahaan se aaya kahaan jaaoge… Maala mudra tilak chhaapa Teerath barat mein rahya bhatki Gaave bajaave lok rijhaave Khabar nahin apne tan ki Kahaan se aaya kahaan jaaoge… Bina vivek se geeta baanche Chetan ko lagi nahin chatki Kahein Kabir suno bhai saadho Aava gaman mein rahya bhatki Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Kabir is one of the best person ever come to earth. A great contribution to humanity. Millions of get inspired by him , a lot new philosophy came after that, now a days hundreds of films made out of his texts without mentioning him. In holy "guru granth shahib" his ideas have prominent place .
कबीर दास जी ने मानव जीवन की सच्चाई को कितने सरल तरीके से बताया है वो भी उस समय में जब पाखंडवाद का जबरदस्त बोलबाला था। भयंकर ब्रह्मनवाद था। बात बात में धर्म के नाम की लूट थी।
हम अपने देसी और प्राचीन वाद्य यंत्रों को भुला बैठे हैं, जिनके आधार से ही नए वाद्ययंत्र बन सके हैं। इसी तरह सफल हो कर भी हम आज असफल ही हैं, जैसा कि कबीर दास जी ने कह दिया है। कबीर केवल एक नाम नहीं अपितु एक महान और सच्चे दर्शन का श्रोत है। कबीरदास जी ने समाज सुधार के लिए जीवन भर लोगों को जागृत किया। आपकी सोच और ज्ञान को प्रणाम करता हूं।
Wah touched a chord in my heart and mind. The world is moving to the Kabir's way of spirititual humanism where rituals and customs will take a back seat.
सब आया एक ही घाट से, उतरा एक ही बाट sab aaya ek hi ghaat se, utra ek hi baat Everyone came from one place, and took the same road बीच में दुविधा पड़ गयी, हो गए बारह बाट beech mein dhuvidha pad gayi, ho gaye baarah baat Half way along, you fell into doubt, and it became twelve roads घाटे पानी सब भरे, अवघट भरे न कोय ghaate paani sab bhare, avghat bhare na koi Everyone draws water from river banks, No one draws where there is no bank अवघट घाट कबीर का, भरे सो निर्मल होए avghat ghaat kabir ka, bhare so nirmal hoi No bank is like the bank of Kabir, The one who draws there, he becomes pure. हिंदू कहूँ तो हूँ नहीं, मैं मुसलमान भी नहीं hindu kahu to hoon nahi, mai musalmaan bhi nahi Saying Hindu that I am not, I am not a Muslim also अरे जो दोनों के बीच में, मैं खेलूं दोनों में are jo dono ke beech mein, mai khelu dono mein What is in between the two, I play in both कहाँ से आया कहाँ जाओगे kahan se aaya kahan jaaoge Where are you coming from, Where are you going? खबर करो अपने तन की khabar karo apne tan ki Get the news from your body कोई सदगुरु मिले तो भेद बतावें koi sadhguru mile to bhed bataave If you find a true guru, he will tell you the difference खुल जावे अंतर खिड़की khul jaave andar ki khidki Then inner window will open हिन्दू मुस्लिम दोनों भुलाने hindu muslim dono bhulaane Hindus, Muslims both deluded खटपट मांय रिया अटकी khatpat maay riya atki Stuck in always fighting जोगी जंगम शेख सवेरा jogi jangam sheikh savera Yogis, wandering jains, sheikhs लालच मांय रिया भटकी laalach maay riya bhatki all lost in greed काज़ी बैठा कुरान बांचे kaazi baita kuraan baanche The Kazi sits and reads the Quran ज़मीन जोर वो करी चटकी zameen jot woh kari chatki And then he grabs someone’s land हर दम साहेब नहीं पहचाना har dam saaheb nai pehchaana Can’t see the lord in every breath पकड़ा मुर्गी ले पटकी pakda murgi le patki Catches a hen and smashes it. बहार बैठा ध्यान लगावे baahar baita dhyaan lagaave Outwardly he meditates, भीतर सुरता रही अटकी bheetar surta rahi atki Inside his thoughts are stuck बहार बंदा, भीतर गन्दा baahar banda, bheetar ganda Outside saintly, inside filthy मन मैल मछली गटकी man meil machli gatki mind tainted, he swallows a fish. माला मुद्रा तिलक छापा mala mudra tilak chaapa With garlands, money, tilaks, तीरथ बरत में रिया भटकी teerath barath mei riya bhatki He is lost in pilgrimages गावे बजावे लोक रिझावे gaave bajaave lok rijhaave sings, plays entertains people खबर नहीं अपने तन की khabar nahi apne tan ki But has no understanding of his body बिना विवेक से गीता बांचे bina vivek se geeta baanche Unthinking he reads the Gita चेतन को लगी नहीं चटकी chetan ko lagi nahi chatki But it fails to brush his thoughts कहें कबीर सुनो भाई साधो kahe kabir suno bahi saadho Kabir says, listen sadhus, आवागमन में रिया भटकी aavaagaman mein riya bhatki people are lost in coming (birth) and going (death).
Kitna khoja yaaaaaaaaaaaaarrrrr... Bachpan me suna tha... Bht khoja... Aaaj Tak ditto aisa he gun gunata hu Mai ye geet.. sb sunte hai.. kehte hai accha tarika or tune hai.. sunane ka
Shabda शब्द is the first creation of God, music doesn’t understand the religion, cast. country, white or black, it’s a thrilling & enchanting ! The artist are really genius! Hats off to these guise🎩🎩
अथ कबीर बीजक उनसठवांऔर साठवां शब्द,,माया ठगनी की करनी का वर्णन।।साखी:+:कबीर झूठे सुख को सुख कहे, मानत है मन मोद। सकल चबेना काल का, कछु मुख मे कछु गोद।।माया महा ठगनी हम जानी, माया के जाल मे फंसी है दुनिया की हैरानी। तिर गुण फांस लिये कर डोलै, बोले माधुरी वाणी।।केशव के कमला होय बैठी, शिव के भवन भवानी। पंडा के मूरत होय बैठी, तीरथ मे भई पानी।।01।।योगी के योगन होय बैठी, राजा के घर रानी। काहू के हीरा होय बैठी, काहू के कौडी कानी।।भक्तन के भक्तिन हो बैठी, ब्रम्हा के ब्रम्हाणी। कहत कबीर सुनो भाई संतो, यह सब अकथ कहानी।।02।।कर्म फांस यम जाल पसारा, ज्यो ढीमर मछली गहि मारा। माया मोहनि मोहित कीन्हा, ताते नाम रतन हर लीन्हा।।जीवन ऐसो सपना जैसो, जीवन तो सपन समाना। शबद गुरु उपदेश दियो तै, छोडियो परम निधाना।।03।।ज्योतिहि देखि पतंगा उलसै, पशु नहि पेखै आगी। काम क्रोध नर मुगुध परै है, कनक कामिनी लागी।।सय्यद शेख किताब नीरखै, पंडित शास्त्र विचारै। सतगुरु के उपदेश बिना तुम, जानिकै जीवहि मारै।।करौ विचार विकार परि हरौ, तरन तारनै सोई। कहत कबीर पारब्रम्ह पूर्ण का भजन कर, दूजौ जनम ना पाई।।4।।कहत साँई अरुण जी अपने सतसंग मे, सतगुरु ऊंच नीच का भेद ना जाने। सबकी झांके अंतर आत्मा, नर त्याग दो देह नश्वर अभिमान।।सारशबद अखण्ड धुन चित्त मे कोई विरला पावे, जनम जनम के पाप नसावे। अंत समय सतधाम को जावे, परमधामी पार्षद बन जावे, फिर लौट जगत नही आवे।।05।।,,साँई अरुण जी महाराज नासिक महाराष्ट्र को सादर समर्पित,,सालिकराम सोनी।।,,।।
Kabeer ne duniya ko samjhaya ki pakhand m na pado usse apna seedha sampark sthapit Karo, adhunik duniya ke log itne bade Wale hai ki Kabeer ko hi bhagwan bana diya....
आया एक ही घाट से न उतरे एक ही बाट। बीच मे दुविधा पड गई - हो गए बारा बाट। हिन्दू कहु तो हु नही , मुसलमान भी नाय। के दीन दोनो मायने ,खेलु दोनो माय। ।। कहा से आया कहा जाओगे ।। कहा से आया कहा जाओगे , खबर करो अपने तन की। सतगुरू मीले तो भेद बतावे , खुल जावे अंतर खीडकी । अरे हिन्दू मुस्लिम दोनों भूलाने , खटपट माय रहा अटकी। जोगी जंगल लेके सेवरा , लालच माय रहा भटकी। कहा से आया ..... काजी बेटा कुरान बाचे , जमी जोर वो कर कटकी। हरदम साहिब नहीं पहचाना , पकड़ा मुर्गी दे पटकी। कहा से आया ..... बार बेटा ध्यान लगावे , भीतर सूरता रही भटकी। बाहर बंदा अंदर गंदा , भीतर मछली दहे गटकी। कहा से आया ..... माला मुद्रा तिलक छापा , तीरथ वरथ रहा अटकी। गावे बजावे लोग रीजावे , खबर नही अपने तन की। कहा से आया ..... बीना विवेक ये गीता बाचे , चेतन को लगी नही चटकी। कहे कबीर सुनो भाई साधु , आवागमन में रया भटकी। कहा से आया .....
।।मुक्तक छंद कविता।।सतधाम की स्वानुभूति पर आधारित छंद रचना।।,,गगन गरजि बरसै अमी, बादल गहर गम्भीर। चहुँ दिस दमके दामिनी, भीजै दास कबीर।।गगन मंडल के बीच मे, झलके सत का नूर। निगुरा गम पावे नही, पहुंचे गुरु मुख सूर।।01।।गगन मंडल के बीच मे, महल पडा एक चीन्ह। कहे कबीर सो पावही, जिहि गुरु परिचय दीन्ह।।गगन मंडल के बीच मे, बिना कलम की छाप। पुरुष तहाँ एक रमि रहा, नही मंत्र नही जाप।।02।।गगन मंडल के बीच मे,तुरी तत्व एक गाँव। लच्छ निशाना रुप का, परखि दिखाया ठांव।।गगन मंडल के बीच मे, जहाँ सोहंगम डोर। शब्द अनासत होत है, सुरति लगी तहं मोर।।03।।गरजै गगन अमी चुवै, कदली कमल प्रकाश। तहाँ कबीरा संत जन, सत पुरुष के पास।।गरजै गगन अमी चुवै, कदली कमल प्रकाश। तहाँ कबीरा बंदगी, कर कोई निज दास।।04।।दीपक जोया ज्ञान का, देखा अपरम देव। चार वेद की गम नही, तहाँ कबीरा सेव।।मान सरोवर सुगम जल, हंसा केलि कराय। मुक्ताहल चुगै, अब उडि अंत ना जाय।।05।।सुन्न महल मे घर किया, बाजे शब्द रसाल। रोम रोम दीपक भया, प्रगटे दीन दयाल।।पूरे से परिचय भया, दुख सुख मेला दूर। जम सो बाकी कटि गयी, साँई मिला हजूर।।06।।सुरति उडानी गगन को, चरन बिलंबी जाय। सुख पाया साहेब मिला, आनंद उर ना समाय।।निर्गुण राम निरंजन राया, जिसने सकल सृष्टी उपजाया। निर्गुण सगुण दोऊ से न्यारा, कहे साँई अरुण जी महाराज सो राम हमारा।।07।।,,साँई अरुण जी महाराज नासिक महाराष्ट्र को सादर समर्पित,,सालिकराम सोनी।।,,।।
💜#परमशांति💜आदरणीय परम पूज्य बेहद के मां बापू जी मुझ आत्मस्वरूप में स्थित हुई आत्मा का आपको दिल से अनंत कोटि बार याद प्यार नमस्ते चरण प्रणाम और बेहद के बेहद की परम परम परम महा शांति है महा शांति है महा शांति है💙# बेहद की परम महा परमशांति परम शांति सोचो बोलो परम शांति मिल जाएगी❤🧡🤎
Dono hi vidhaon ne dil jeet liya .bas ek me dimag ki bhookh mitai ek ne man ko shanti dilai bbhajan me daershnikta na ho wo kapat nahi khol sakta ishwar k darshan k liye
Kazi Bait Quran Baache(Padhe) Jameen Jor Vo Kari Chatki Har Dam Saheb Nhi Pehchana Pakda Murgi(Chicken) Le Chatki Kahe Kabir Suno bhai Sadho Ye kon rah hai Jai Matlab Vo Khuda ko har Jeev mein nhi dekhte Aur Dusre Jeev mein khuda ko nhi dekhte Daya Nhi karte RAM RAM 🙏
A good description of present day religion. My Master says, "Religion has perhaps created more strife and distance among human beings than fulfilling its original purpose of uniting man with the Divine within and what is left of religion is a set of ritualistic practices..." It is good that you are propagating unity and harmony among human beings through Kabir's vani.
The misinterpretation of religion and politicization of religion with the express agenda of dividing humanity has been the problem since the Crusades and invasions of Muslims. Religion has been twisted in the minds of evil forces, quoted out of context to fulfill their wicked intentions but real spirituality remains untouched and pure, accessible to those who truly seek God. In the words of saints from any religion, you will find the understanding. Only a few try to seek God with deep longing...most of the time we want to fulfill our worldly wishes. Seeking like Kabir is what it is about.
कहाँ से आया कहाँ जाओगे खबर करो अपने तन की कोई सदगुरु मिले तो भेद बतावें खुल जावे अंतर खिड़की हिन्दू मुस्लिम दोनों भुलाने खटपट मांय रिया अटकी जोगी जंगम शेख सवेरा लालच मांय रिया भटकी काज़ी बैठा कुरान बांचे ज़मीन जोर वो करी चटकी हर दम साहेब नहीं पहचाना पकड़ा मुर्गी ले पटकी बहार बैठा ध्यान लगावे भीतर सुरता रही अटकी बहार बंदा, भीतर गन्दा मन मैल मछली गटकी माला मुद्रा तिलक छापा तीरथ बरत में रिया भटकी गावे बजावे लोक रिझावे खबर नहीं अपने तन की बिना विवेक से गीता बांचे चेतन को लगी नहीं चटकी कहें कबीर सुनो भाई साधो आवागमन में रिया भटकी
Mahesh bhai गावे बजावे लोग रिझावे,,,,,,,यानि लोगो को अच्छी शिक्षा देते है और स्वयं का आचरण अपने कथन से परे रखते है और अच्छा दिखकर लोगो को अपनी और आकर्षित करते है जबकि स्वयं उस रूप के अनुरूप नहीं होते है । आवागमन में रहा भटकी,,,,,अर्थात आवा ( जन्म ) और गमन (मृत्यु ) में ही भटकता रहा यानि मोक्ष को प्राप्त नहीं होना। कबीर ने इस भजन में बाह्य आडम्बर दिखाने वालो पर कटाक्ष किया है।
kabir is not hindu . these type of folk songs are the outcome of oppresion and attacks on hindus . we dont have anything of our own ,just like south indians have a carnatic music . we have highly mixed music . which i dont like
@@rahulprasad22 hinduo ko to aadat hai peer mazaro par jaane ki , to ye kabir ko bhi hindu maan lete hai . apni asli sanskriti pehchano , na ki muslim influenced sanskriti jo itne time se chale aa rahii hai
सतगुरु मिले तो भेद बतावे बहुत ही गजब टिपानिया साहब हम तो आप के अधीन हो गए काश कोई कबीर साहिब के विचारों को समझ पाती दुनिया तो धर्म के नाम पर झगड़ा भी नहीं होता( मैं भंवरिया प्रकाश राम गांव लाई मेड़ता सिटी जिला नागौर राजस्थान आपका तहे दिल से स्वागत करता हूं देता हूं मैं आपके माता और पिता को बहुत-बहुत बधाई जिनकी गोद में खेले
😂
RUclips पर हमेशा नए भजन देखता रहता हु
आज सौभाग्य से इतना अकल्पनीय भजन सुनने और देखने को मिला
वाह क्या भजन है जितना सुने उतना ही कम 🥰🥰🥰🙏
ऐसे सुमधुर संगीत और मधुर वाणी मे भी लोग नफरत लेकर बैठे है । नफरत सिर्फ़ और सिर्फ़ विनाश की ओर ले जा सकती है लेकिन प्रेम ने हमेशा सृजन किया है ।
सादर नमन
साहब बंदगी
वाह वाह!! कबीर सुनोगे तो आंख खुलेगी। धन्न कबीर
में कबीर का पूर्ण रूप से फॉलो करता हूँ।जो इन्होने कहा वो बातें पूर्ण रूप से सही हैं
शब्द नहीं है, कुछ बोलने के लिए ! जय हो टिपानिया साहेब जी ! हर किसी को नसीब नहीं होता है, शुर - संगीत ! 🙏
कबीर एक हीरा थे ,जिन्होंने हमारे लिए जीवन सीख छोड़ी है
एक अद्भुत सच है उनकी बात में
प्रह्लाद जी हम आपके भजनों में आनंदित हो जाते हैं आपके भजन सुनकर हम मंत्रमुग्ध हो जाते हैं....👌👌🌹🌹 *आप पर गुरु की विशेष कृपा है*
Jay ho Parampujya SantSiromani Sadguru Parbhu Kabirdas ji Maharaaj ki...Jay ho Parhlaad ji maharaaj ji aapki🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
श्री प्रहलाद सिंह जी ने बलाई समाज का नाम देशो विदेशो में फहराया हे🚩Jay Raja bali🚩
कबीर जी की वाणी कितनी अच्छी तरह से गाया 👌👌👌👌👌
Xx740474d n,😅8 jmz6i66sb6ln !( 6 x
Ll7666666666666666666666666667😊❤
😂। Z 😢❤❤😮😊😮।।m❤।।😊❤
Upon hearing this profound spiritual message from Kabir Ji, it becomes evident that encountering a Satguru (an enlightened True Master who dispels ignorance) is important to opening a window to profound wisdom. Kabir emphasises the importance of not just reading spiritual texts but deeply contemplating them. It's vital to ponder our origins and purpose, rather than aimlessly wandering without direction.🙏
श्री प्रहलाद सिंह टिपानिया जी आपको बहुत-बहुत धन्यवाद आपने सदगुरु कबीर का देश देशान्तर भजन गाकर जन मानस में फैलाने का काम किये। आप को बहुत बहुत धन्यवाद ।
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@@karangaming3374ppppppppppppppppppppppppplppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppp😊😊😊😊😊😊😊😊😊p😊😊😊p😊😊😊😊😊pppppp0ppppppppplp😊
😊Pppppp😊😊
😊😊😊p😊p😊😊😊pp😊😊p😊
ẞdpq@@mukeshteli9154
Thank you Ajab Shehar, Shabnum Virmani Ji & team for uploading this masterpiece. I've been diagnosed positive for omicron and every remedy failed to give me the peace i was craving for, but this song of Kabir Baba is the actual medicine my soul was craving, it helped me calm down ane connect with my inner self. Stay blessed 🥺🙏
🙏
ये तन काचा कुम्भ है ,लिए फिरे है हाथ ,छिटका लगा फूटी गयो कछु न आया हाथ,कबीर दास को जिसने समझ लिया उसने जीवन के वास्तविक अर्थ को समझ लिया ,
❤
देशी भजन देशी वाद्ययंत्र कहाँ नसीब मेँ है।आपकी वाँणी अमर वाणीँ ।आत्मा परमात्मा से मिलन कर.दिया।क्रोध।बहुत अद्भुत।गाओ गाओ खूब गाओ
Suman Rastogi
Hii
Keesa LGA bhjan
Haiii
अनुपम-सर्वोत्तम🌹आत्म-चेतना💞🙏
मन को सीतल कर दिया जी आपकी वाणी ने जय सतगुरु कबीर की 🙏🙏🙏
Kaun kehta hai bhakti se gyan nahin milta? How beautifully they get surprised too! Music truly connects hearts! Loved it!
Hi
💌💞💌💞💔💖💘☠️☠️☠️☠️☠️
@All tech experiment
Baat le tu yeh jaan kabira, baat le tu yeh maan
Bhakti se atma jnana kabira...bhakti hai pooran jnana
सही कहा अपने बस खुदको समझना होगा
1
कहा से आया कहा जाओगे, खबर करो अपने तन की
कोई 'सद्गुरु' मिले तो भेद बतावे खुल जाये 'अंतर घट' की
Goosebumps.
संत कबीर जी ने बहुत ही सुन्दर तरीके से अद्वैत रचनाओं को संसार के समक्ष रखा। संत कबीर आगम पंथ के विद्वान साधक थे। एक में अनेक का आभीर भाव यह अद्वैत की विशिष्टता है।
Saint Kabir ji very beautifully presented the Advaita creations in front of the world. Sant Kabir was a learned seeker of Agam Panth. The feeling of gratitude for many in one is the specialty of Advaita.
कश्तियाँ भी अकेले ही तैर रही है समंदर में दोस्त,
किसने कहाँ के तनहाई सिर्फ़ इंसानों के नसीब में हैं..!!
गजब भाई 💯 persent Agree ✌️
प्रह्लाद जी की आवाज और कबीर के शब्दों के जादू ने संन्यास जीवन की मन में चिंगारी तो पैदा कर दी है देखते हैं अग्नि कैसे कैसे और कब प्रज्वलित होगी.....
Akash Singh I
Awash with you have S
Kanhiayalal bhil
Sab aaya ek hi ghaat se, utra ek hi baat
Beech mein duvidha pad gayi, ho gaye baarah baat
Ghaate paani sab bhare, avghat bhare na koy
Avghat ghaat Kabir ka, bhare so nirmal hoy
Hindu kahun to hoon nahin, musalmaan bhi naahin
Gaibi donon deen mein, khelun donon maanhi
Kahaan se aaya kahaan jaaoge
Khabar karo apne tan ki
Koi sadguru mile to bhed bataave
Khul jaave antar khidki
Khul jaave antar ghat ki
Hindu Muslim donon bhulaane
Khatpat maay rahya atki
Jogi jangam shekh sevra
Laalach maay rahya bhatki
Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Kaazi baithha Qur’an baanche
Jameen jor vo kari chatki
Har dam saaheb nahin pehchaana
Pakda murgi le patki
Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Baahar baithha dhyaan lagaave
Bheetar surta rahi atki
Baahar banda, bheetar ganda
Man mail machhli gatki
Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Maala mudra tilak chhaapa
Teerath barat mein rahya bhatki
Gaave bajaave lok rijhaave
Khabar nahin apne tan ki
Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Bina vivek se geeta baanche
Chetan ko lagi nahin chatki
Kahein Kabir suno bhai saadho
Aava gaman mein rahya bhatki
Kahaan se aaya kahaan jaaoge…
Pura Bhajan hi likh diya gajab bhai
Qq1qq😊😊😊😊qqq
SHUKRIYA...
बहुत ही मंत्रमुग्ध करने वाली आवाज है अंतरात्मा को छू गई प्रहलाद टिपानिया जी आपको कोटि-कोटि नमन
P
right bro
Mast
wow, kabir's sword of knowledge cut through hypocrisy within our mind and society .
Bro Kabir would be in jail today because in 15th century he was attacking every karmkands of Hindus and Muslims.
@@seriousnurturing4153 trapped by our minds we are the prisoners...who can confine a sadhu in jail
@@narendranarotam3816 deep
@@akhilkrishnahere yeah...the sants are our guiding light..they refute religious doctrines of the hypocrites ..and free us
@@narendranarotam3816 👌
सभी धर्मों का एक जैसे दर्शन कराने वाला भजन है।हिन्दोस्तान धर्मों का संगम है।सत् सत् नमन् करता हूँ। जय हिंद जय भारत
0
。
都
;.
Sabhi dharm Ek h ab kabhi kabeer ji tamboora kahne wale unka majaak udaane wale bhi
आज के समय में पूरे विश्व को संत शिरोमणि, विश्व वंदनीय सद्गुरु कबीर साहेब की वाणी को समझने की जरूरत है।
Rajan Bhai
Rajan Bhai कबीर साहब के भजनों को जिस ने समझ लिया समझ बोस का जीवन खेड़ापा हो गया बोलो कबीर साहब महाराज की जय
ruclips.net/video/S8w3A09QcGw/видео.html please see and comment
मनोहर
Please don't forget watch sadhana TV 7:30 8:30
बेहद के बेहद की परम परम परम महा शान्ति है महा शान्ति है महा शान्ति है।
Is yug me aap jese guru ko bahut bahut dhanywad ki bhakti ke marg ko abi tak apne disha se sajag kar jiwan ko dhanya kar dia
Great Kabir ji wrote sublime poetry/Hymns. Some of them included in Sri Guru Granth Sahib.
Hi fhjkhbb
Kabir is God
Parman guru garanth sahib
Karamjeet Singh Bhatnura
Kamal jatav
कबीर भजन पर सुंदर नृत्य
ruclips.net/video/bs7KYDvDVcQ/видео.html
एक बार जरूर देखें
Kabir is one of the best person ever come to earth.
A great contribution to humanity.
Millions of get inspired by him , a lot new philosophy came after that, now a days hundreds of films made out of his texts without mentioning him.
In holy "guru granth shahib" his ideas have prominent place .
मोबाईल.नबर
परहलाद.टीपान
परलादाद टिपानिया का नंबर दीजिए एड्रेस
जय श्री सत् गुरू कबीरदास; मानव को बनाने वाले उस परमात्मा ने ही जब कोई भेद नही किया तो हम कौन होते है
Hii
Right 👍👍👍❤️❤️❤️
@@rambharoserambharose7774 ❤
१०० percent agree
@@sakaradaivar4770 ok oiiiioo my phone par for me I don't
कबीर की सार्वभौमिक वाणी
जो सदा सत्य रहने वाली है
और मधुर भक्ति रस
No words
Naman Kabir
Salute tipaniya ji
कबीर दास जी ने मानव जीवन की सच्चाई को कितने सरल तरीके से बताया है वो भी उस समय में जब पाखंडवाद का जबरदस्त बोलबाला था। भयंकर ब्रह्मनवाद था। बात बात में धर्म के नाम की लूट थी।
हम अपने देसी और प्राचीन वाद्य यंत्रों को भुला बैठे हैं, जिनके आधार से ही नए वाद्ययंत्र बन सके हैं। इसी तरह सफल हो कर भी हम आज असफल ही हैं, जैसा कि कबीर दास जी ने कह दिया है। कबीर केवल एक नाम नहीं अपितु एक महान और सच्चे दर्शन का श्रोत है। कबीरदास जी ने समाज सुधार के लिए जीवन भर लोगों को जागृत किया। आपकी सोच और ज्ञान को प्रणाम करता हूं।
😅😅😅 जय हो साहब
धन्यवाद जी
कहा से आया कहा जाओगे ।
बहुत ही आत्मीयता मन में गुनगुनाने वाला सात्विक भजन हैं ।
प्रह्रलाद जी आनन्दित हो गया
माँ सरस्वती आपके कन्ठ मे विराजमान है
आनन्दित हो गये
सरस्वती जी ही इस जीवात्मा को मोक्ष मार्ग से भटकाती है।
कबीर साहिब जी के ज्ञान को पुरा समझे। उनके सतमंत्रो को ग्रहण करें
वाह वाह बहुत सुन्दर, संत कबीरजी को कोटी कोटी वंदन। बहुत सुंदर गीत की प्रस्तुती के लिए धन्यवाद।
महाराज जी, आप के भजन से, मन को बहुत शांति मिलती 🙏🙏जय सतगुरु जी🌹🌹
सत् साहेब सत नाम कबीर
Kabir Vani: The whole philosophy of life in short and sweet dohas.
Kabir to kabir
Congratulations to Linda Hess for taking Kabir to USA. Pls take Kabir worldwide to make people understand what their birth is for.
कबीर को जानना है तो कबीर की की वाणी सुनो.. मंत्रमुग्ध 🙏🙏🙏
साहेब बंदगी साहेब
मै यह भजन 99 बार सुन चुका हू 😊❤❤❤
और भी आअगी सुनुन्गा 🎉😢😊😊
मंत्रमुग्ध करने वाली आवाज़ । प्रभु सब पर कृपा करे।
Saheb bandagi
JB
🙏
@@Dharam1989 Balatkari Bandgi
RAM RAM 🙏
🙏🙏
Wah touched a chord in my heart and mind. The world is moving to the Kabir's way of spirititual humanism where rituals and customs will take a back seat.
Kabeer and Buddh
2024 attendance here
Kya yah lokgeet hai
@@opendraprajapati2744 ji ye satguru Kabir Sahib ke likhe hue Bhajan hai
@@kushalkantpant6553 mera kahne ka matlab tha ki kya ye lokgeet ke antargat aate hain
@@kushalkantpant6553 mera kahne ka matlab tha ki kya ye lokgeet ke antargat aate hain
@@opendraprajapati2744 lokgeet simit hote hain ye to janmanas me prachalit hai, bhaktikal ke kavy ke rup me aap isi man skate hain
Prehlad जी नमस्कार l बहुत सुन्दर gaya आप ने और पार्टी ने। आप को साधुवाद और बार बार साधुवाद 🙏🙏🙏🙏🌷🌷⚘⚘
Bhartiya sanskriti mai jo Gyaan hai wo shyad hi kahi mile isliye to ye videsi log aate Gyaan paane ❤❤❤
सब आया एक ही घाट से, उतरा एक ही बाट
sab aaya ek hi ghaat se, utra ek hi baat
Everyone came from one place, and took the same road
बीच में दुविधा पड़ गयी, हो गए बारह बाट
beech mein dhuvidha pad gayi, ho gaye baarah baat
Half way along, you fell into doubt, and it became twelve roads
घाटे पानी सब भरे, अवघट भरे न कोय
ghaate paani sab bhare, avghat bhare na koi
Everyone draws water from river banks, No one draws where there is no bank
अवघट घाट कबीर का, भरे सो निर्मल होए
avghat ghaat kabir ka, bhare so nirmal hoi
No bank is like the bank of Kabir, The one who draws there, he becomes pure.
हिंदू कहूँ तो हूँ नहीं, मैं मुसलमान भी नहीं
hindu kahu to hoon nahi, mai musalmaan bhi nahi
Saying Hindu that I am not, I am not a Muslim also
अरे जो दोनों के बीच में, मैं खेलूं दोनों में
are jo dono ke beech mein, mai khelu dono mein
What is in between the two, I play in both
कहाँ से आया कहाँ जाओगे
kahan se aaya kahan jaaoge
Where are you coming from, Where are you going?
खबर करो अपने तन की
khabar karo apne tan ki
Get the news from your body
कोई सदगुरु मिले तो भेद बतावें
koi sadhguru mile to bhed bataave
If you find a true guru, he will tell you the difference
खुल जावे अंतर खिड़की
khul jaave andar ki khidki
Then inner window will open
हिन्दू मुस्लिम दोनों भुलाने
hindu muslim dono bhulaane
Hindus, Muslims both deluded
खटपट मांय रिया अटकी
khatpat maay riya atki
Stuck in always fighting
जोगी जंगम शेख सवेरा
jogi jangam sheikh savera
Yogis, wandering jains, sheikhs
लालच मांय रिया भटकी
laalach maay riya bhatki
all lost in greed
काज़ी बैठा कुरान बांचे
kaazi baita kuraan baanche
The Kazi sits and reads the Quran
ज़मीन जोर वो करी चटकी
zameen jot woh kari chatki
And then he grabs someone’s land
हर दम साहेब नहीं पहचाना
har dam saaheb nai pehchaana
Can’t see the lord in every breath
पकड़ा मुर्गी ले पटकी
pakda murgi le patki
Catches a hen and smashes it.
बहार बैठा ध्यान लगावे
baahar baita dhyaan lagaave
Outwardly he meditates,
भीतर सुरता रही अटकी
bheetar surta rahi atki
Inside his thoughts are stuck
बहार बंदा, भीतर गन्दा
baahar banda, bheetar ganda
Outside saintly, inside filthy
मन मैल मछली गटकी
man meil machli gatki
mind tainted, he swallows a fish.
माला मुद्रा तिलक छापा
mala mudra tilak chaapa
With garlands, money, tilaks,
तीरथ बरत में रिया भटकी
teerath barath mei riya bhatki
He is lost in pilgrimages
गावे बजावे लोक रिझावे
gaave bajaave lok rijhaave
sings, plays entertains people
खबर नहीं अपने तन की
khabar nahi apne tan ki
But has no understanding of his body
बिना विवेक से गीता बांचे
bina vivek se geeta baanche
Unthinking he reads the Gita
चेतन को लगी नहीं चटकी
chetan ko lagi nahi chatki
But it fails to brush his thoughts
कहें कबीर सुनो भाई साधो
kahe kabir suno bahi saadho
Kabir says, listen sadhus,
आवागमन में रिया भटकी
aavaagaman mein riya bhatki
people are lost in coming (birth) and going (death).
Bahut hi badiya
धन्यवाद
Thank you ❤
🙏
Nice, the concept of oneness that Nanakji explained, Kabirji propagated through his verses. Kabirji mentions Nanak in his verse
अति सुन्दर प्रस्तुति भजन कीर्तन आपकी बड़ी सुंदर मधुर आवाज है आपको सादर नमस्कार करता हूं जय श्री सीताराम
कबीर जी ही सम्पूर्ण सृष्टि के मालिक पूर्ण परमात्मा हैं।
जिसने कबीर साहेब को जान लिया उसने सब कुछ जान लिया।🙏
IAM from Pakistan.. and kabeer was bhagwan... Love love ❣️❣️
Kulachi ji ek hi afsos Dil se to hum ek hai kash mulk se bhi ek hote
Shaheb Kabir ji 🙏🙏🙏🙏🙏
Wah bhai ❤️
@@karanyadav373 Bro Pakistan was a part of India....and kabir das ji's ideology is spreading since 15th century.....so definitely they know kabir ji
❤
Kitna khoja yaaaaaaaaaaaaarrrrr... Bachpan me suna tha... Bht khoja... Aaaj Tak ditto aisa he gun gunata hu Mai ye geet.. sb sunte hai.. kehte hai accha tarika or tune hai.. sunane ka
बहुत ही शानदार आवाज है आपकी टिपानिया जी हमें गर्व है कि आपने कबीर की वाणी को अमेरिका तक पहुंचाया बहुत-बहुत धन्यवाद आदरणीय टिपानिया साहब
A great reminder that we have a God who is always there for us...Love this
बहुत ही सुन्दर....2013 में जामिया मिलिया इस्लामिया दिल्ली में सुना था पहली बार.....
I just love this rendition. I am listening to it in a loop. Thanks to kabir project for this beautiful work.
Shabda शब्द is the first creation of God, music doesn’t understand the religion, cast. country, white or black, it’s a thrilling & enchanting ! The artist are really genius! Hats off to these guise🎩🎩
कबीर वाणी एक मन की शांति जो कबीर को गाएगा वह दुनिया में सब कुछ पाएगा
अथ कबीर बीजक उनसठवांऔर साठवां शब्द,,माया ठगनी की करनी का वर्णन।।साखी:+:कबीर झूठे सुख को सुख कहे, मानत है मन मोद। सकल चबेना काल का, कछु मुख मे कछु गोद।।माया महा ठगनी हम जानी, माया के जाल मे फंसी है दुनिया की हैरानी। तिर गुण फांस लिये कर डोलै, बोले माधुरी वाणी।।केशव के कमला होय बैठी, शिव के भवन भवानी। पंडा के मूरत होय बैठी, तीरथ मे भई पानी।।01।।योगी के योगन होय बैठी, राजा के घर रानी। काहू के हीरा होय बैठी, काहू के कौडी कानी।।भक्तन के भक्तिन हो बैठी, ब्रम्हा के ब्रम्हाणी। कहत कबीर सुनो भाई संतो, यह सब अकथ कहानी।।02।।कर्म फांस यम जाल पसारा, ज्यो ढीमर मछली गहि मारा। माया मोहनि मोहित कीन्हा, ताते नाम रतन हर लीन्हा।।जीवन ऐसो सपना जैसो, जीवन तो सपन समाना। शबद गुरु उपदेश दियो तै, छोडियो परम निधाना।।03।।ज्योतिहि देखि पतंगा उलसै, पशु नहि पेखै आगी। काम क्रोध नर मुगुध परै है, कनक कामिनी लागी।।सय्यद शेख किताब नीरखै, पंडित शास्त्र विचारै। सतगुरु के उपदेश बिना तुम, जानिकै जीवहि मारै।।करौ विचार विकार परि हरौ, तरन तारनै सोई। कहत कबीर पारब्रम्ह पूर्ण का भजन कर, दूजौ जनम ना पाई।।4।।कहत साँई अरुण जी अपने सतसंग मे, सतगुरु ऊंच नीच का भेद ना जाने। सबकी झांके अंतर आत्मा, नर त्याग दो देह नश्वर अभिमान।।सारशबद अखण्ड धुन चित्त मे कोई विरला पावे, जनम जनम के पाप नसावे। अंत समय सतधाम को जावे, परमधामी पार्षद बन जावे, फिर लौट जगत नही आवे।।05।।,,साँई अरुण जी महाराज नासिक महाराष्ट्र को सादर समर्पित,,सालिकराम सोनी।।,,।।
Sat saheb🙏nepal
वेदों में प्रमाण है कबीर साहेब भगवान हैं
Haram pal katil umr qaid kahan kat raha hai
वेदों में कोरी गप्पें हांकी गयी है ।
Kabeer ne duniya ko samjhaya ki pakhand m na pado usse apna seedha sampark sthapit Karo, adhunik duniya ke log itne bade Wale hai ki Kabeer ko hi bhagwan bana diya....
आपने अपने अंदर क्या बदलाव किया आप तो बस ये बताओ
Listening to it after decades, and simply loving it - immersed in Bhakti Rasa.
आया एक ही घाट से न उतरे एक ही बाट।
बीच मे दुविधा पड गई - हो गए बारा बाट।
हिन्दू कहु तो हु नही , मुसलमान भी नाय।
के दीन दोनो मायने ,खेलु दोनो माय।
।। कहा से आया कहा जाओगे ।।
कहा से आया कहा जाओगे ,
खबर करो अपने तन की।
सतगुरू मीले तो भेद बतावे ,
खुल जावे अंतर खीडकी ।
अरे हिन्दू मुस्लिम दोनों भूलाने ,
खटपट माय रहा अटकी।
जोगी जंगल लेके सेवरा ,
लालच माय रहा भटकी।
कहा से आया .....
काजी बेटा कुरान बाचे ,
जमी जोर वो कर कटकी।
हरदम साहिब नहीं पहचाना ,
पकड़ा मुर्गी दे पटकी।
कहा से आया .....
बार बेटा ध्यान लगावे ,
भीतर सूरता रही भटकी।
बाहर बंदा अंदर गंदा ,
भीतर मछली दहे गटकी।
कहा से आया .....
माला मुद्रा तिलक छापा ,
तीरथ वरथ रहा अटकी।
गावे बजावे लोग रीजावे ,
खबर नही अपने तन की।
कहा से आया .....
बीना विवेक ये गीता बाचे ,
चेतन को लगी नही चटकी।
कहे कबीर सुनो भाई साधु ,
आवागमन में रया भटकी।
कहा से आया .....
कबीर जी की यह बाणी आपने बेहद रोचक तरीके से पेश की, जिओ जी जिओ
आनंद, आनंद हर रूप में
क्या अद्भुत कलाएँ है देश की!!
Ati uttam bhajan
Hii
Hemant. Kewathsy
Spreading the message of Sant Kabir and explaining his relevance in the modern world. just love it
।।मुक्तक छंद कविता।।सतधाम की स्वानुभूति पर आधारित छंद रचना।।,,गगन गरजि बरसै अमी, बादल गहर गम्भीर। चहुँ दिस दमके दामिनी, भीजै दास कबीर।।गगन मंडल के बीच मे, झलके सत का नूर। निगुरा गम पावे नही, पहुंचे गुरु मुख सूर।।01।।गगन मंडल के बीच मे, महल पडा एक चीन्ह। कहे कबीर सो पावही, जिहि गुरु परिचय दीन्ह।।गगन मंडल के बीच मे, बिना कलम की छाप। पुरुष तहाँ एक रमि रहा, नही मंत्र नही जाप।।02।।गगन मंडल के बीच मे,तुरी तत्व एक गाँव। लच्छ निशाना रुप का, परखि दिखाया ठांव।।गगन मंडल के बीच मे, जहाँ सोहंगम डोर। शब्द अनासत होत है, सुरति लगी तहं मोर।।03।।गरजै गगन अमी चुवै, कदली कमल प्रकाश। तहाँ कबीरा संत जन, सत पुरुष के पास।।गरजै गगन अमी चुवै, कदली कमल प्रकाश। तहाँ कबीरा बंदगी, कर कोई निज दास।।04।।दीपक जोया ज्ञान का, देखा अपरम देव। चार वेद की गम नही, तहाँ कबीरा सेव।।मान सरोवर सुगम जल, हंसा केलि कराय। मुक्ताहल चुगै, अब उडि अंत ना जाय।।05।।सुन्न महल मे घर किया, बाजे शब्द रसाल। रोम रोम दीपक भया, प्रगटे दीन दयाल।।पूरे से परिचय भया, दुख सुख मेला दूर। जम सो बाकी कटि गयी, साँई मिला हजूर।।06।।सुरति उडानी गगन को, चरन बिलंबी जाय। सुख पाया साहेब मिला, आनंद उर ना समाय।।निर्गुण राम निरंजन राया, जिसने सकल सृष्टी उपजाया। निर्गुण सगुण दोऊ से न्यारा, कहे साँई अरुण जी महाराज सो राम हमारा।।07।।,,साँई अरुण जी महाराज नासिक महाराष्ट्र को सादर समर्पित,,सालिकराम सोनी।।,,।।
बहुत ही सुन्दर आवाज है प्रहलाद जी की
में आपकी सारी वीडियो देखता हु प्रहलाद जी को कोठी कोठी नमन ❤
जय हो धन धन कबीर रविदास जी महाराज 💕💕💕
*Rajasthan🐪🐫 mitti ki khushabu🍃 mehak rahi haii*
*Bhajan se* 😍😘
Bhai shaab ye mp ke h dewas jile ke
haa but gaa rhe rajasthani dialects mein gaa rhe hau or MP mein kaafi rajasthani hai@@nitinjoshi6526
जितना अपने अंतःकरण का परिमार्जन और सुधार कर लोगे, यह संसार उतना ही सुधरा हुआ परिलक्षित होगा।
भक्ति और सुफ़ि जिस दिन मुख्य धारा में आये उस दिन संसार शांति का अनुसरण करेगा
ruclips.net/video/a-rMtoINMPc/видео.html
What a sweet language... Realy Indian are greatest in the World..
I love u man
Salutations n prayers for your well-being brother.
🙏😊
Fgfhghdgdhtgjfhghghfjfifityfkug
Allah malik
Bahut sunder Bhajan sunkar dil ko jo sukun milta koi sabd nhi
धन्य हो वह धारा धन ने धान धन्य हो वह वाहक जो गाए गुण चार हरि के धन हो जो जाए कबीर गुण गान
You have the most refined taste of music and spirituality if you are here watching the video .. Kabir the great , खुल जाएं अंदर खिड़की
आज के परिप्रेक्ष में समझने, समझाने की अत्यंत अनिवार्यता है।
My
yes
Jagannath
मेरे देश की खूबसूरत सभ्यता और संस्कृति ❤️❤️
💜#परमशांति💜आदरणीय परम पूज्य बेहद के मां बापू जी मुझ आत्मस्वरूप में स्थित हुई आत्मा का आपको दिल से अनंत कोटि बार याद प्यार नमस्ते चरण प्रणाम और बेहद के बेहद की परम परम परम महा शांति है महा शांति है महा शांति है💙# बेहद की परम महा परमशांति परम शांति सोचो बोलो परम शांति मिल जाएगी❤🧡🤎
I am from indore and when I searched about prahlad tipaniya ji I found that he is from tarana tehsil just 30 km away from indore wow 😮😮
जिसने कबीर को जान लिया, उसने जीवन समझ लिया।
Kabir Sahab bolo
Yes
Satya kaha aap ne
Kamal
Ghazab
Wah Kabir ji
🌹🌹🙏🙏❤️❤️
Kabir saheb ke sabi bagto ko koti koti dandvat Parnam
Good medicine... 😂😂❤️❤️✍🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻
For the current society...
💯💯💯🥰🥰🥰
Dono hi vidhaon ne dil jeet liya .bas ek me dimag ki bhookh mitai ek ne man ko shanti dilai bbhajan me daershnikta na ho wo kapat nahi khol sakta ishwar k darshan k liye
Superb ....😍😍😍Love from #Pakistan...🙏✌🏾✌🏾
Kazi Bait Quran Baache(Padhe)
Jameen Jor Vo Kari Chatki
Har Dam Saheb Nhi Pehchana
Pakda Murgi(Chicken) Le Chatki
Kahe Kabir Suno bhai Sadho
Ye kon rah hai Jai
Matlab Vo Khuda ko har Jeev mein nhi dekhte Aur Dusre Jeev mein khuda ko nhi dekhte Daya Nhi karte RAM RAM 🙏
Instant connection with God ...rim jhim barsh Raha h every moment His love 🌹
Hi
Jai ho apne sheb ki
2021 mein sunane waale🙏
Khan se Aaye khan jayoge
Khbr kro Apne tann ki❤️❤️
😂
पूर्ण ज्ञान धन्य धन्य जय हो कबीर जी की।🙏🙏🙏
बहुत सुन्दर भजन आत्मा को परमात्मा से मिलाने वाली भजन है
Super Super super super super
Maasha allah👍 👌 SUBHANALLAH,👍 👌 Awesome
A good description of present day religion. My Master says, "Religion has perhaps created more strife and distance among human beings than fulfilling its original purpose of uniting man with the Divine within and what is left of religion is a set of ritualistic practices..."
It is good that you are propagating unity and harmony among human beings through Kabir's vani.
The misinterpretation of religion and politicization of religion with the express agenda of dividing humanity has been the problem since the Crusades and invasions of Muslims. Religion has been twisted in the minds of evil forces, quoted out of context to fulfill their wicked intentions but real spirituality remains untouched and pure, accessible to those who truly seek God. In the words of saints from any religion, you will find the understanding. Only a few try to seek God with deep longing...most of the time we want to fulfill our worldly wishes. Seeking like Kabir is what it is about.
I have listened this masterpiece almost hundred times
खूब खूब जोहार जय गुरु मालिक
Mnn ko dil ko, aur aakhon ko kholne k liye Kabir ki ye chaar lines kaafi hai❤️🌻 Jai bhim
कहाँ से आया कहाँ जाओगे
खबर करो अपने तन की
कोई सदगुरु मिले तो भेद बतावें
खुल जावे अंतर खिड़की
हिन्दू मुस्लिम दोनों भुलाने
खटपट मांय रिया अटकी
जोगी जंगम शेख सवेरा
लालच मांय रिया भटकी
काज़ी बैठा कुरान बांचे
ज़मीन जोर वो करी चटकी
हर दम साहेब नहीं पहचाना
पकड़ा मुर्गी ले पटकी
बहार बैठा ध्यान लगावे
भीतर सुरता रही अटकी
बहार बंदा, भीतर गन्दा
मन मैल मछली गटकी
माला मुद्रा तिलक छापा
तीरथ बरत में रिया भटकी
गावे बजावे लोक रिझावे
खबर नहीं अपने तन की
बिना विवेक से गीता बांचे
चेतन को लगी नहीं चटकी
कहें कबीर सुनो भाई साधो
आवागमन में रिया भटकी
vijay raut
Thank text me batane k liye
gave bajave lok rizave, khabar nahi apne tanki... aavagaman me riya atki ...ise koi samjane ki Krupa kijiae
Mahesh bhai गावे बजावे लोग
रिझावे,,,,,,,यानि लोगो को अच्छी शिक्षा देते है और स्वयं का आचरण अपने कथन से परे रखते है और अच्छा दिखकर लोगो को अपनी और आकर्षित करते है जबकि स्वयं उस रूप के अनुरूप नहीं होते है ।
आवागमन में रहा भटकी,,,,,अर्थात आवा ( जन्म ) और गमन (मृत्यु ) में ही भटकता रहा यानि मोक्ष को प्राप्त नहीं होना।
कबीर ने इस भजन में बाह्य आडम्बर दिखाने वालो पर कटाक्ष किया है।
vijay raut
भजन सुनकर मन तृप्त हो गया ,👍👍👍
So much meaning🙏❤only In Hindu the real meaning of everything..is define our religion teaches to unite. Jai Hanuman🙏❤
Hgjggfhf
Bvjcgdhxncbcbbbbbcgfgffdjofsg fifty gdfgf
kabir is not hindu . these type of folk songs are the outcome of oppresion and attacks on hindus . we dont have anything of our own ,just like south indians have a carnatic music . we have highly mixed music . which i dont like
@@vardhanarya bro gyaani bano par itna nahi ki galat chozo me tark krne ajao. Thankyou😊
@@rahulprasad22 hinduo ko to aadat hai peer mazaro par jaane ki , to ye kabir ko bhi hindu maan lete hai .
apni asli sanskriti pehchano , na ki muslim influenced sanskriti jo itne time se chale aa rahii hai
क्या यह हमारे भारतवर्ष मे भी ऐसा आनन्द हो सकता है?🙏😊🕊️🕊️🕊️🕊️🕊️🕊️
या यह अब तो हिन्दूस्तान हो गया है!
कबीर साहब को आबिदा परवीन के बाद आप ने सही से गाया है