स्वामी की पत्नी का स्थान पूजा पाठ में होता है। कृष्णा की पत्नी रुक्मणी है रुक्मणी को मंदिर में होना चाहिए राधा को नहीं। राधा ने हमारी सनातन संस्कृति को नष्ट किया है और आज भी घर टूट रहे हैं पति पत्नी के रिश्ते टूट रहे हैं।
अच्छा राधा तो एक तरह की प्रेम की धारा है ,तो तुम अपने घर की तुलना क्यों करते हो , तुम्हारे हृदय में प्रेम की धारा तो है लेकिन वह तूफ़ान की तरह है तूफ़ान या तो उड़ा देगा या तोड़ देगा तुम स्वयं के प्रेम के दोषी हो दोष राधा को देते।
ओउम् उपासक आर्य समाज अमर रहे वेद की ज्योति जलती रहे। स्वामी दयानन्द सरस्वती जी को शत् शत् नमन् स्वामी सच्चिदानन्द जी को सादर नमस्ते। आर्य पुत्र।।
Om swami ji 🙏
ओम् नमस्ते आचार्य जीं जय आर्यावर्त
Om Ji Om
ॐ प्रणाम स्वामी जी
Swami ji ko kotti kotti baman
स्वामी जी को सादर प्रणाम
ओ३म् सादर नमस्ते जी 🏵️🏵️🏵️
ll ओ३म ll
सादर नमस्ते स्वामी जी को।
Jai guru dev
ॐॐ ॐ
Namastay Swamiji
जो भूमि पर बडे और खड़े, पढ़े वह ही बढे।
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गायत्री जी की आरती में भी इन्होंने मिटा मिलावटकर दी है। आरती में राधा रुद्राणी कर दिया है। उसे जगह रुक्मणी रुद्राणी होना चाहिए।
स्वामी की पत्नी का स्थान पूजा पाठ में होता है। कृष्णा की पत्नी रुक्मणी है रुक्मणी को मंदिर में होना चाहिए राधा को नहीं। राधा ने हमारी सनातन संस्कृति को नष्ट किया है और आज भी घर टूट रहे हैं पति पत्नी के रिश्ते टूट रहे हैं।
अच्छा राधा तो एक तरह की प्रेम की धारा है ,तो तुम अपने घर की तुलना क्यों करते हो , तुम्हारे हृदय में प्रेम की धारा तो है लेकिन वह तूफ़ान की तरह है तूफ़ान या तो उड़ा देगा या तोड़ देगा तुम स्वयं के प्रेम के दोषी हो दोष राधा को देते।
अरे हम तुमको नहीं मानते हैं यह कल तीनों धोखा और हम कबीर पंथी हैं परमात्मा की