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विश्वामित्र ने क्यों बनाया एक और स्वर्ग देवताओं से लड़कर - ब्रह्मऋषि विश्वामित्र की कथा
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- Опубликовано: 4 мар 2019
- दोस्तों आज हम आपको अपनी इस पोस्ट में विश्वामित्र और स्वर्ग की सबसे सुंदर अप्सरा कही जाने वाली मेनका की प्रेम कहानी बता रहे हैं vishwamitra and menaka story आज आपको बता रहे हैं कि कैसे विश्वामित्र और स्वर्ग की अप्सरा मेनका के बीच प्रेम हुआ था। और क्यों अप्सरा मेनका विश्वामित्र को छोड़कर चली गई थी? तो चलिए आप को इस पोस्ट में बताते हैं इस रहस्यमई पौराणिक कथा के बारे में।
दोस्तों बात उस समय की है जब महर्षि विश्वामित्र वन में कठोर तपस्या में लीन बैठे हुए थे। उनके चेहरे पर एक तेज और उनके शरीर में किसी भी प्रकार की हलचल नहीं हो रही थी। उनके आसपास जंगली जानवर घूम रहे थे। चिड़िया चहक रही थी। लेकिन महर्षि विश्वामित्र की तपस्या को भंग करने का साहस किसी के पास नहीं था। किसी ने महर्षि विश्वामित्र की तपस्या की सूचना देवताओं के राजा इंद्र को इंद्रलोक में जा कर दे दी। जब इंद्र देव ने खुद आकर ऋषि विश्वामित्र की तपस्या देखि, तो उन्हें विश्वामित्र की तपस्या को देखकर बहुत ही ज्यादा हैरानी हुई। देवेंद्र को हैरानी के साथ साथ एक ऐसा भय सताने लगा जिससे कि उनका अस्तित्व भी खत्म हो सकता था। क्योंकि उस समय ऋषि विश्वामित्र अपने कठोर तप से एक नए संसार की निर्माण करने की कोशिश कर रहे थे। इंद्र देव को यह चिंता थी,की यदि ऋषि विश्वामित्र अपने इस उद्देश्य में सफल हुए तो समस्त सृष्टि के देवता तो वह खुद ही बन जाएंगे।फिर तोह उनका अस्तित्व ही ख़तम हो जायेगा। लेकिन इंद्रदेव करें भी तो क्या करें महर्षि विश्वामित्र तो अपनी तपस्या में इतने मग्न थे। कि कोई भी उनकी तपस्या भंग करने में असमर्थ था। तब इंद्रदेव ने एक योजना बनाई। योजना थी ऋषि विश्वामित्र की तपस्या को भंग करने की। vishwamitra and menaka story
लेकिन इंद्रदेव को चिंता थी कि यह कार्य होगा कैसे? एक पौराणिक वर्णन के अनुसार इसके बाद देवराज इंद्र ने स्वर्ग की एक सबसे सुंदर अप्सरा मेनका को अपने पास में बुलाया। और उसे नारी शरीर धारण कर मृत्युलोक (पृथ्वी लोक) में रहने का आदेश दिया। इंद्रदेव ने अप्सरा मेनका से कहा कि वह पृथ्वी लोक पर जाकर अपने सौंदर्य से ऋषि विश्वामित्र को अपनी ओर आकर्षित करें। और उनकी तपस्या को भांग करें। इंद्र देव की आज्ञा अनुसार अप्सरा मेनका जोकि इंद्रलोक की सभी अप्सराओं में सबसे ज्यादा सुंदर,सुरीली आवाज वाली और आकर्षण की मिसाल थी। वह ऋषि विश्वामित्र के सामने प्रकट हुई।
जय हो प्रभु आपकी समस्त देवी देवताओं ऋषि मुनियों की जय हो
जय गुरु देव
jai brahmashree vishwamitra ya namaha 🙏
Jay Maharshi Vishwa mitra Dhanya hai Aap.......
Ati sundar
Waah kya acting hai awsm yaar
Bhai waah ...isme to Ravan b hai ..!trishanku bne hn!!!
Jay ho viswamitra
The great brahmrishi vishvamitri..
wow...man...made my life....
Nice one, Subscribed. Please keep them coming.....
Yaha chand tak Jane me hi oxygen ke kai sylnder khap jate hai aur yaha trishanku focut me hi sab ghum gham dala aur Indra ki to fat gai
Mukesh Khanna great bhakti seriyal
Viswamitra ki jay
Ap mahan ho
Very nice
Mukesh khana is great
Nice
Wah ye Trishanku to Ramayan ka ravan hai na....bahut aacha actor 😘😘😘😘😘
Unka real name Arvind Trivedi hai.
Nishant Kumar
Legendary actor Mukesh Khanna ji
Tirshnku ji apka ramayan me ravan ka kridar bhi bhut bdiya tha
Jai Gurudev Maharshi Vishwamitra
❤️🙏🙏
Jai ho visvamitr
Jai sitaram
Mukesh Khanna super
Introduction of parallel universe
Yes brother
Vishvamitra... Mukesh khanna
Mukesh khanna bhakti serial ke liye perfect
Great episode
Jayea shambhu
Menka... Bhanu priya
यह त्रिशंकू की अक्टिंग करणे वाले एक्टर जो हैं इन्होंने पुराणे समय के रामायण में रावण का काम किया हैं
Bhai ye bhe ramayan ke smay ka seriol hai
Ye inka kam he bhao
Yes arvind truvedi Mahan actor ravana
Inka naam..... Arvind trivedi hay...... Itna bhe nahe maloom?????
We
Koi bta sakta h ki ye sari stories kiska part h
Ye sari ek saath kaha mil sakti h
जय जय श्री राम वशिष्ठ और विश्वामित्र में लड़ाई थी विश्वामित्र आप उनको बहुत बड़ा आप हरिश्चंद्र का जो पता था फिर चमक को वह वशिष्ठ के पास गया और कहा कि मुझे वाशी सेक्टर सॉन्ग को ने कहा कि मुझे सहदेवी सूरत लोग पहुंचा दो जिस ने मना कर दिया कि शायद ही कोई भी नहीं गया है और तुम चले जाओ यहां से शंकु वशिष्ठ के पुत्रों के पास गया आप मेरे गुरु बन जाओ करके से दही चुराके पहुंचा दो गुरु पुत्रों ने कहा कि गुरु जी ने क्या कहा उन्होंने मना कर दिया बोलो गुरु की अवहेलना करके तो हमारे पास आया चांडाल हो जा चांडाल हुआ राजा त्रिशंकु और विश्वामित्र के पास पहुंच गया और विश्वामित्र ने उसको यज्ञ सारे ऋषि-मुनियों को न्योता दिया जो विश्वामित्र से डरते थे तो वह तो आ गए और नहीं आए मना कर दिया विश्वामित्र को गुरु वशिष्ट के पुत्रों ने मना कर दिया यज्ञ करता गजमान चांडाल है और यह के चर्चा चल रही है तेरी देवता भी अभी नहीं लेंगे यज्ञ करके रोज को सुरंग पहुंचा दिया मैं गया फिर शंकु तो इंदर ने उसको लात मार के वापिस पटक दिया विश्वामित्र बचाओ बचाओ अपने यज्ञ कर रहा था जो कुसा से उसको रोक दिया था उसने पूरे दूसरे दूसरे इंद्रलोक को ज सुरक्षा बढ़ा दी बनाकर तैयार कर दिया तो सुमन का केस का राजा इन वह होगा फिर शाम को बिना राजा इंद्र के हो भाई सब कहा कि नहीं आज भी त्रिशंकु उल्टा लटक रहा है उसके मुंह से लार उस नदी का नाम है कर्म नाथ वशिष्ट आकर तेरे को आखिर काफी दिन तक जब वशिष्ठ के 100 पुत्र विश्वामित्र ने मार दिए तब भी उसको ब्रहम ऋषि नहीं कहा एक दिन पेड़ पर चढ़कर बैठ गया और जवान औरत आती वशिष्टि घरवाली पैर दबा रही थी बोली आप तो चांदनी बहुत खेल इस बात को सुनकर विश्वामित्र को बहुत अच्छा लगा तो मेरी ही पढ़ाई कर रहा है मैंने इसके सौ सौ पुत्र मार दिया है तो उसने पेड़ से उतर के विश्वामित्र ने और वशिष्ठ के पैर पकड़ लिए एकाग्गा आज से तुम ब्रहम ऋषि हो गए हो क्यों का अंधकार जब खत्म होता है जो जाता है इंसान का वह ब्रह्म ऋषि हो जाता है बिशवातफका. ईशबाशचनकरबोले
Trishanku ne jeevit avastha me Swarg jaane ka prayas Kiya tha Jo ki aprakritik tha kyunki woh shuddh vicharo wala nahi tha. Maharshi Vashisht ke Baar Baar samjhane par bhi usne apna Zid nahi chhoda. Baad mein Maharshi Vashisht ke Putra ne use kuroop hone ka shraap diya. Phir bhi usne apni iccha Ko nahi tyaga. Ant me woh Maharshi vishwamitra ke paas Gaye aur wahi ichha jataya. Par jab devtao ne uski prathna ko asweekar Kiya tab Maharshi vishwamitra ne trishanku ke liye alag Swarg banaya. Lekin woh bhi jyada din tak nahi chala aur aakhir Mein trishanku Swarg aur Prithvi ke bich atak Gaye. Trishanku ki Wohi galti shambuk ne dohraya tha isliye Ram ne shambuk Ka vadh kar diya tha.
Shambuk is just a myth it is not part of valmiki ramayana...
Aap fir se padhiye. Trishanku ka asli naam satyavrat tha. Vo bahut dharmatma the.
Indra ko ye nhi pta ki trishanku
Ravan he hum
Jai MAA gyatri
Shastro ka adhan kar ke banai gayi sirial hai ye
Jay hoo
Bhai iss katha ka naam batai?
Hunare sastro me bhi parallel universe ka concept tha jo aaj science bhi nahi kar paaya.
I keep thinking of Bhisma Pitamah lol
Zico Bantawa okokkookk
R
Nic
Lanka Patti ravan
Not really sure.
Gjb
♪ ♬ ヾ(´︶`♡)
Per use swasarir swarga jana hi kyu tha!
aap to petama k rool me jamte ho
Ravan
Tt
good
हद हो गई यार
Jisetu had kah rha bhai... Wo sab ho rha... Abhi scientists ko space k bare me janne do
ye konsa seriel he
Rishi vishwamitra
Is serial ka Naam kya hai ???
Kripya hume bhi batay?
Rishi Vishwamitra
Vishwa mitr kaam mohi ho Gaye the
Lundh ki Tarah muh kyun banaya hi
Which serial is this ?
Vishwamitra
Nabajit Talukdar
00
Rmayn ka rawan
Shivgurudham
Or Sunday ka shaktiman
Vishwa mitra was rubber.
व्😂।
ह्रदयठग
Rubber mane ?
गपोड कथा है अंध विश्वास है
@@pramidpramod1244 अबे अंध भक्त अक्ल के अंधे चूतिये गधे जो स्वर्ग बनाया था बह है कहां दिमाग नाम की कोई चीज है कि नहीं कुछ पडा लिखा है कि नहीं
@@rajpalsingh-ig3yr what did you know about universe.low of knowledge is a dangerous thing.you only knows history 500 years ago our civilization is too old
Hey Idiot, it's better to not comment on the things you can't comprehend, go to your madarsa and chant to your god.
ब्राम्हण लोगों का भी गजब का ढोंग है
इन्द्र तोसभी ईर्या करता था।
Nice
Nice