बातचीत प्रो.घनाराम साहू से : कौन थे छत्तीसगढ़ के सबसे पुराने रहवासी?

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  • Опубликовано: 28 ноя 2024

Комментарии • 621

  • @subhashchandrakar5155
    @subhashchandrakar5155 Год назад +29

    बहुत शानदार विश्लेषण, डॉ घणाराम साहू एवं सुनील कुमार जी को बहुत बहुत धन्यवाद

  • @plchauhan-bm9xj
    @plchauhan-bm9xj Год назад +88

    छत्तीसगढ़ का नाम बदल कर शरण स्थली प्रदेश कर देना चाहिए। CG मे बाहरीयों की संख्या बहुत तेज गति से और सभी जगह पर इनका अस्तित्व बढ़ रहा है। जिस कारण शांति फिजा मे खलल पैदा हो रहा है।

    • @RajuSahu-h2g
      @RajuSahu-h2g Год назад +2

      👍👍👍

    • @manishkapoor2613
      @manishkapoor2613 Год назад +4

      Bilkul sahi kaha aapne bahari log bahutayat me bas gaye hain aur unka hi warchaswa hai.chhattishgariya ab won nhi raha.

    • @cgtiktok6818
      @cgtiktok6818 Год назад +1

      Sahi kaha pardesi ya log baste chale na raha hai

    • @tejrambishi8337
      @tejrambishi8337 Год назад +3

      100/सही बात है श्रीमान जी

    • @Ferb..
      @Ferb.. Год назад +7

      Native Chhattisgarhi log na vyapar shuru kar rhe na bdi bdi jobs le rhe*exceptions available. sirf daru aur timepass bas , isiliye bahri log aake dominate kar rhe

  • @user-khabar-Kranti
    @user-khabar-Kranti Год назад +24

    एक लंबे अरसे बाद दों विद्वानों का एक साथ एक मंच पर मुद्दों को लेकर सार्थक चर्चा काफी रोचक व ज्ञानवर्धक है, धन्यवाद आदरणीय आप दोनों का जिन्होंने कम से कम छत्तीसगढ़ की पहचान और संस्कृति को शब्दों में पिरोकर लयबद्ध रूप से प्रस्तुति काफी आकर्षक है 🎉🎉🎉🎉

  • @ashudhruw6584
    @ashudhruw6584 Год назад +65

    किसी भी प्रदेश के मूलनिवासी की पहचान उसके कला संस्कृति से होती है । छत्तीसगढ़ की सारी कला, संस्कृति, तीज त्योहार, देवी देवता तो आदिवासी संस्कृति ही है,जो उसके मूलनिवासी होने का प्रत्यक्ष प्रमाण है ।
    वर्तमान में राजनीति और सामाजिक प्रभुसत्ता के लिए
    बहुत सी जातियां अपने आप को मूलनिवासी होने का दावा करती है और पौराणिक कथाओं या तथ्यों की बात करती है लेकिन छत्तीसगढ़ की कला संस्कृति में उनकी भागीदारी नगण्य ही है। जिससे उनके दावे मानवशास्त्र की दृष्टि निराधार ही हैं।

    • @kuberkomra1488
      @kuberkomra1488 Год назад +5

      सही कहा आपने

    • @rakeshbhagat3632
      @rakeshbhagat3632 Год назад

      Adiwasi devta dham ko brahmanwaadi log kabja karliya gaya

    • @nandkumarjurri5390
      @nandkumarjurri5390 Год назад +5

      ekdum sahi bol rahe hai. Bhai

    • @Riteshkumarvlog-qe2fz
      @Riteshkumarvlog-qe2fz 5 месяцев назад

      इसी देश se आए hai

    • @myindia9232
      @myindia9232 Месяц назад

      True. Par ek baat btana chahunga BASTAR AUR SARGUJA KABHI CHHATTISGARH KA HISSA NHI RHA HAI. BASTAR TO ODISA KA HISSA RHA HAI HMESHA SE. BASTAR KO ALAG STATE BNANA HOGA AADIWASIYO KE LIYE YHI SAMAY KI MAANG HAI. TAKI IN BIKHRE HUYE OBC KO UNKI AUKAT PTA CHAL SKE. HUMARE SANSADHNO KE PAISO PR PAL RHE HAIN AUR AUKAT DEKHO INKI. AGAR BASTAR ALAG RAJY HOGA TO CHHATTISGARH SE JYADA PAISA YHI HOGA.

  • @sanjeevsahu7910
    @sanjeevsahu7910 Год назад +18

    बहुत अच्छा ओबीसी जातियो का विश्लेषण सर साथ ही छत्तीसगढ़ के आदि जातियों की अवधारणा बड़ी दिलचस्प लगी है ।
    धन्यवाद सर महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करने के लिए 🙏

  • @HistoryforToday
    @HistoryforToday Год назад +17

    बार बार कम से कम तीन चार बार देखने सुनने योग्य कार्यक्रम....
    दोनों को इस सफल आयोजन की बधाई...

  • @lokeshKumar4400-j3c
    @lokeshKumar4400-j3c 4 месяца назад +24

    छत्तीसगढ़ सरकार को छत्तीसगढ़ में जातिप्रथा समाप्त कर देना चाहिए
    जाति पाती में मत बटो
    हम सब एक हैं

    • @indianvlogrs9903
      @indianvlogrs9903 3 месяца назад +2

      mor bhae chhattishgar sarkar vote dharm ke name par our jati ke name par hi to vote lete hai

  • @devendranetam122
    @devendranetam122 Год назад +43

    12 जातियों की अवधारणा छत्तीसगढ़ मे रही है अगर आप् चंदा राज्य के गोंड के बात कर रहे है तो वो 16वि सादी मे ज्यादा प्रभावी रहे इनसे पहले के मंडला , खेरला , देवगढ़ , के गोंड कालीन रियासत का भी अध्यान करना चाहिए , सम्राट अशोक के समय लाँजी बालाघाट मे भी गोंड राजा रहे , ओड़िसा के पुरी , तेलंगाना के वरनगल सहित भारत के बहुत बड़े हिस्से मे गोंड राजा रहे है मंडला का इतिहास हि 11 वी सादी से पहले का है उससे पहले अमरकंटक , पंचमढ़ी , मे भी गोंड हि रहे , गोंड कोई जाति नही है ये एक समुदाय है जिसमे अलग अलग जाति भी है अगरिया , बैगा , प्रधान , सौरा , कमार् , दौरला , मरिया ,मुरिया , कोया , कोयतुर, कोलाम , गोवारी , जैसे अनेक उपजाति आते है ये सभी गोंड हि है और सभी मे कुछ हलके भेद को छोड़ दे तो सभी एक जैसे संस्कृति को हि मानते है एक हि इतिहास मानते है ।

    • @rakeshkerketta7084
      @rakeshkerketta7084 Год назад

      Aur bahi tu toh uraon adhi vashi jati toh bhul gya yrr.... Jo 420 BC se Raha rahe hn Kay yrrr

    • @kaushaldhruw9266
      @kaushaldhruw9266 Год назад

      Gond ki baat ho Rahi hai bhai

    • @rakeshkerketta7084
      @rakeshkerketta7084 Год назад +1

      @@kaushaldhruw9266 bro tu jo bol raha hn sab adhivashi he hn.. oh toh azaadi ke baad se he jati bade gyi te.. aur log ke pass dimag agya tha mein uchaa nichiii.. sab great leader jati baat deya tha aur jo rular area ke tha oh Kay krta... Sab tha adhibashii he chhattisgarh mein baat ke baat hn ayodhya mein kaisa log tha whaa per chhattisgarh.. orisa.. jharkhand madhya pradesh sab adhi vashi he rajya tha.... Aur abhi Sanatan log AA ke chhattisgarh mein... Apna roff jama reha sab dikhta hn boss... Esliya bolta hu ager ram rajya banna hn toh Jaa ke Ayodhya mein banno chhattisgarh mein na

    • @ketusahu2696
      @ketusahu2696 Год назад

      Accha apne itihash ki bisi ram ke jivan kal ke bisi se jada nhi hai Chalo thik hai tumhe nastik bnna hai bno lekin kisi ka jati per ataik mat kro use to manne do

    • @rakeshkerketta7084
      @rakeshkerketta7084 Год назад +3

      @@ketusahu2696 Ara toh mannao na kon rokaa hn tujhaa.. per chhattisgarh mein a ke tum log.. Hindu rastra ka demand bhi mat kro jao Ayodhya whee tum log ke ram bumhiee hn. Chhattisgarh ko ram bhumi se azzada kro tum jaisa log he chhattisgarh ko barbaad kr re ho samjha... Sanatan log... chhattisgarh mein sc st he thik hn... Tu jaisa log ke leya ko jagah nai hn bus kabjaa Krna atha hn tum log ko.. apna history dheakho khoal ke.... Uchaaa nichaa bus krna atha hn tum log...

  • @harishnetam6488
    @harishnetam6488 Год назад +31

    बस्तर का महारा जाति, राजनीति का शिकार हुआ है, वरना आदिवासी जाति ही है। जगदलपुर में राज परिवार को बसने के लिए आमंत्रित किया। यह जाति अगर एसटी के वर्ग में शामिल हो जाए तो, गैर आदिवासियों किससे जमीन खरीदेंगे???

    • @sahughanaram2172
      @sahughanaram2172 Год назад +2

      मुझे माहरा समाज के इतिहास को जानने में रुचि है । कृपया मुझे भेजें ।

    • @lalitkumarnishad5244
      @lalitkumarnishad5244 Год назад

      😊😊

    • @tejrambishi8337
      @tejrambishi8337 Год назад

      वैसे ही सौरा जाति से हुआ है पूरे 21 वर्ष तक रायगढ़ जिलेबके सभी कॉल माइंस जमीन को पूरे 21 वर्ष तक उद्योगपति लोग खरीद चुके है

    • @lachhindarkumar2949
      @lachhindarkumar2949 Год назад +1

      हां ऐसा ही है बस्तर में महारा, अंदकुरी गांडा, आदिवासी ही है किंतु राजनीति का शिकार होकर एससी मे रखे गए।

    • @Giteshdevkamde
      @Giteshdevkamde 6 месяцев назад

      Sir. Chhatisharh. Me. Mahara. Samajka. Rajnitik. Avhelna. Huva
      Jabki. Mahara. Mull. Nivasi. Hai. Kripya. Rajnitik. Rip. Se
      Upar
      Utkar. Sahi. Varg. Me. Samill. Karaye

  • @haseenabegum4354
    @haseenabegum4354 Год назад +10

    सर आपने छत्तीसगढ़ की जातियों के बारे में जो जानकारी दी है अत्यंत ही उपयोगी है मेरे लिए मैं एक गवर्नमेंट सर्वेंट हूं और मैं फिल्ड में काम करती हूं आपका बहुत बहुत धन्यवाद

    • @chingariapkaapnaraju
      @chingariapkaapnaraju Год назад

      कौन से विभाग में कौन से पद पे हैँ आप

    • @nmoksh
      @nmoksh Год назад

      Lone wolf Bomb vibhag, naxal vibhag, burka vibhag, sucide bomb vibhag, sleeper sell vibhag, 😂😂😂😂😂😂

  • @AjayYadav-fd7vp
    @AjayYadav-fd7vp Год назад +7

    साहू साहब, आप के द्वारा दीं जा रही जानकारी से और जानने की जिज्ञासा हो रही है। इसे आगे बढ़ाते रहे।

  • @sureshsahu-kv8eq
    @sureshsahu-kv8eq Год назад +8

    बहुत सार्थक वार्तालाप। जातियों के बारे में जानकारी निस्संदेह तथ्यपूर्ण है। और ब्यवहारिक सत्यता के करीब है।

  • @username36garhia
    @username36garhia Год назад +11

    जेखर महतारी भाखा छत्तीसगढ़ी, हल्बी, गोंडी, सरगुजिहा अउ एखर अलावा जो इंखर उपभाखा या बोली हे, जेमन छत्तीसगढ़ी तीज-तिहार ला मनाथे, कर्मा-ददरिया बांस गीत ला सुने हे जानत हे, जिंखर जीवनशैली मा छत्तीसगढ़ीयापन हे वो छत्तीसगढ़ीया हरे, अउ ये छत्तीसगढ़ीया मा सबो जाति के लोगन हे.... मोर समझ इही कइथे🙏🙏🙏🙏
    जय छत्तीसगढ़ महतारी 🙏🙏🙏

  • @ramlalgupta9410
    @ramlalgupta9410 Год назад +3

    सम्माननीय प्रोफेसर साहब, आपने छत्तीसगढ़ के परिप्रेक्ष्य में बहुत गहन अध्ययन किया है । आपके अध्ययन की हम भूरि भूरि प्रशंसा करते हैं । अपेक्षा है कि इसे आप और बेहतर जानकारियों को एक पुस्तक के रूप में प्रकाशित करें । आभार ।

  • @laxminarayandubey5986
    @laxminarayandubey5986 Год назад +2

    जातियों की अवधारना बड़ी दिलचस्प रूप से प्रो. धना राम साहू से जाना बड़ी इंट्रेस्ट लगा दूसरी कड़ी मे सुनील जी से आग्रह है की आज जो जातियों की अवधारना ओबीसी. के बारे मे जानकारी क़ो आगे कड़ी क़ो दिलचस्प बनाने के लिए वार्ता जारी रखे.

    • @karmadouna5249
      @karmadouna5249 Год назад

      बहुत ही रोचक जानकारी है मुझे इससे बेहतर जानकारी मिली

  • @punitramsahu4932
    @punitramsahu4932 15 дней назад

    बहुत ही रोचक और दिलचस्प जानकारी 👌👌
    वीडियो लंबी जरूर है पर रोचकता इतनी है कि समय का पता नहीं चला। मेरी मोबाइल का बैटरी भी 30% हो गया है जबकि समय अभी सुबह के 11 बजा है इसलिए मोबाइल चार्ज करने जा रहा हूँ।
    श्री साहू सर को बहुत बहुत धन्यवाद जो कि छत्तीसगढ़ राज्य के जातिगत फिरके को बहुत ही सरल ढंग से समझाया 🙏🙏, साथ ही इंडिया आजकल न्यूज़ चैनल को बहुत बहुत बधाई जिन्होंने इतना बढ़िया इंटरव्यू प्रसारित किया 🙏🙏

  • @dilipkumarkanwar2822
    @dilipkumarkanwar2822 5 месяцев назад +7

    सभी जाति ही आदिवासी हैं जो बाद में अलग अलग जाती के नाम रख लिए

  • @bhajoram
    @bhajoram Год назад +11

    प्रदेश से बाहर वालों को जो छग के नहीं है उन्हें नौकरी मिल जा रही है जो लोग छग प्रदेश छ: वर्ष से रह रहे हैं लेकिन छग के लोग अन्य राज्यो में रह रहे हैं क ई वर्षों से उन्हें ये सुविधा उपलब्ध नहीं है

  • @PravinBhardwaj-lc8fh
    @PravinBhardwaj-lc8fh 3 месяца назад +9

    साहू समाज सबसे ज्यादा दूसरे राज्य से भाग कर छत्तीसगढ़ आए

  • @Dr_Suyash_Baghel
    @Dr_Suyash_Baghel Год назад +12

    बहुत ही सार्थक और दिलचस्प बातचीत, प्रो घनाराम साहू जी को साधुवाद और प्रणाम 🙏.... छत्तीसगढ़ छेत्र के जातिय और मानव इतिहास पर और अधिक बातचीत और साहित्यिक कार्य की आवश्यक्ता है। यहाँ के विश्वविद्यालयों के एंथ्रोपोलॉजी विभागों से आग्रह रहेगा कि और अधिक शोध कार्य यहां की जातियों और जनजातियों के कालांतर से हो रहे आवागमन पर करें....आपका यह इंटरव्यू छत्तीसगढ़ के मानव इतिहास के पन्नों को सर्वसामान्य तक पहुंचाने में मील का पत्थर साबित होगा।
    प्रोफेसर साहब को और सुनने की चाहत और अगले भाग का बेसब्री से इंतज़ार है....

  • @kuberkomra1488
    @kuberkomra1488 Год назад +12

    प्रोफेसर साहब छत्तीसगढ़ के विभिन्न जातियों का पौराणिक आधार पर अच्छा विश्लेषण किए ..!उम्मीद है ऐतिहासिक और सांस्कृतिक आधार पर भी करिएगा..!

  • @user-ln9gn1zi3i
    @user-ln9gn1zi3i 3 месяца назад +4

    जाति और वर्ण व्यवस्था हिंदुओं में होता है आदि वासी समुदायों में नहीं चाहे वो अपाचे हो, बुशमैन हो या कोरकू, भील, मुंडा, गोंड

  • @vijaysaharezone1239
    @vijaysaharezone1239 Год назад +2

    प्रो.साहब की जानकारी निश्चित ही प्रसंसनीय है।अभियंत्रिकी काॅलेज के प्रोफेसर होने के साथ ही मानव शास्त्र तथा जाति-समाज के विषय में इतनी गहनता पूर्ण जानकारी रखना, उनका उस विषय के प्रति विशेष लगाव स्पष्ट झलकता है।।
    आपके साक्षात्कार का विषय निस्चित ही गहन जानकारी परक व रोचक है। आपके अगली कड़ी का इंतजार रहेगा।
    इस साक्षात्कार में साहू जी से एक शिकायत अवश्य करना चाहूंगा कि जो उन्होंने महरा जाति बारे में कहा कि महरा और महार जाति का अंग्रेजी में एक समान है। इस बात पर मैं शक्ति से विरोध दर्ज करना चाहूंगा। थोड़ी देर के लिए तो मुझे लगा कि इस स्तर के शिक्षित व्यक्ति, एक अशिक्षित राजनेताओं के जैसे कैसे वक्तव्य दे सकते हैं। क्योंकि महरा और महार का अंग्रेजी में क्रमशःMAHRA और MAHAR है। इसी छोटी सी मात्रा के कारण इस महरा जाति को अपनी मौलिक पहचान तथा संवैधानिक अधिकारों से वंचित होना पड़ रहा है। छत्तीसगढ़ की इस मूलनिवासी आदिवासी जनजाति(Aboriginal Tribe) को अपने अधिकार को पाने के लिए लड़ाई लड़ना पड़ रहा है।ऐसी बातें एक साधारण ब्यक्ति कहते तो कोई फर्क नहीं पड़ता लेकिन आप जैसे शिक्षित विशेषज्ञ के वक्तव्य, सरकार के लिए भी एक उदाहरण के रूप में उपयोग होता है।
    समग्र रूप से यह साक्षात्कार ज्ञानवर्धक रहा। आपको बहुत सारा धन्यवाद।
    एक आग्रह कि यदि साहू जी का मोबाइल नंबर उपलब्ध करा दें तो बड़ी कृपा होगी। निश्चित ही विषय विशेष के गहन ज्ञान का लाभ हम ले सकेंगे।
    अपितु मेरा मोबाईल नंबर 9826765248 है।
    धन्यवाद 🌹🙏

    • @mahendraupadhyay3690
      @mahendraupadhyay3690 Год назад

      जैसे तेली को तेलिया ब्राह्मण को बाभन, कह देते है उसीप्रकार महर को महरा कह दिया गया होगा

  • @dilipkumarkanwar2822
    @dilipkumarkanwar2822 5 месяцев назад +15

    आदिवासी ही मूल निवासी है बाकी व्यापारी हैं

    • @yuvrajsingh2044
      @yuvrajsingh2044 2 месяца назад +2

      तेरी बातो से ऐसा लगता है की आदिवासी के आलावा सभी जातिया विदेशी है। 😂😂😂😂😂

  • @manojghritalahre770
    @manojghritalahre770 Год назад +131

    Sc st obc आरक्षण प्रभावित होने वाला है ,,,,25%लोग बाहरी राज्य के बस चुके हैं और बस रहे हैं ,,,

    • @keshawdas3643
      @keshawdas3643 Год назад +20

      बाहरी आदमी का यहाँ का 1950 से पहले का जमीन का सेटलमेंट नहीं मिलेगा उसका जाति प्र माण् पत्र नहीं बनेगा

    • @shashankkhadka1478
      @shashankkhadka1478 Год назад +10

      Cg m Haq Kewal OBC ka hai…. SC,ST ya general ka nahi…

    • @manojghritalahre770
      @manojghritalahre770 Год назад +15

      @@shashankkhadka1478 अपनी जानकारी मजबूत कीजिए साहब,,,,छत्तीसगढ़ में sc st obc ही मूल निवासी थे ,,,समय के साथ अन्य लोग आते गए बसते गए,,।।
      खैर ,,सबको मिल जुलकर रहना चाहिए 🙏🏼🙏🏼🙏🏼🙏🏼

    • @shashankkhadka1478
      @shashankkhadka1478 Год назад +6

      @@manojghritalahre770 छत्तीसगढ़ हमर हे साहब, हमन हा अपन खून पसीना ला गला के छत्तीसगढ़ ला बनाए हन, तुमन सब बाहरी हो ब्राह्मण, क्षत्रिय , ST , SC हमर जनसंख्या 50% हाबे

    • @ashudhruw6584
      @ashudhruw6584 Год назад +7

      @@shashankkhadka1478 थोड़ा इतिहास भी पढ़ लीजिए सब पता चल जायेगा की कौन मराठों के साथ आया , कौन संत धर्मदास के साथ आया ।
      सामाजिक और भौगोलिक स्थिति का भी अवलोकन कर लीजिए ।

  • @dk_paikra
    @dk_paikra Год назад +5

    बहुत बढ़िया जानकार है घनाराम साहु जी।सादर जोहार

  • @nileshtiwari5132
    @nileshtiwari5132 3 месяца назад

    अच्छी चर्चा हुई है ... किन्तु प्रो. साहू जी ने कुछ तथ्य प्रस्तुत किये हैं ... उनसे मै असहमत हूँ .

  • @prashantnawarange5490
    @prashantnawarange5490 5 месяцев назад +8

    छत्तीसगढ़िया समाज ला मिल के छत्तीसगढ़ ला परदेसिया मुक्त करना चाहिए

  • @NagendraKSahu
    @NagendraKSahu Год назад +4

    Brilliant Analysis by Sahu Sir....Excellent Work

  • @likeshchand993
    @likeshchand993 4 месяца назад +4

    जातिगत जनगणना जरुरी है तभी सबका साथ सबका विकास संभव है।

    • @shyamsahu1399
      @shyamsahu1399 4 месяца назад +1

      छत्सगढ़ मे obc मे teli लोगों की संख्या अधिक है, तो क्या तेली लोगों को उनके जनसंख्या के अनुपात मे आरक्षण दिये जाने के पक्ष मे हो? लगभग 34%

  • @jurawansinghthakur9532
    @jurawansinghthakur9532 3 месяца назад

    बहुत ही सुंदर जानकारी/सार्थक चर्चा !
    पौराणिक दृष्टि से प्रमाणिक - "छत्तीसगढ़ के प्राचीन " समाज माना जा सकता है ।

  • @leeladhrsonwani1396
    @leeladhrsonwani1396 Год назад +13

    सिरपुर मंदिर मैं बुद्ध का मूर्ति मिला है ढाई हजार साल पहले

  • @amitsao009
    @amitsao009 Год назад +5

    Sunil ji, agar aap Sahu ji ko apni baat poori rakhne ka mauka den to sambhavtah professor sahab apni baat poora spasht keh paayenge. Abhi har baar adhure me hi reh jaa rahi thi.

  • @pradeepsahu1391
    @pradeepsahu1391 18 дней назад

    बहुत बुद्धिमान आदमी है प्रोफेसर घणाराम साहू जी

  • @harishnetam6488
    @harishnetam6488 Год назад +7

    सबर ही सौंरा गोंड हैं, जगन्नाथ मंदिर , पूरी में ये मुख्य पुजारी हैं।

  • @gkgyansagar7118
    @gkgyansagar7118 8 месяцев назад +8

    सर छत्तीसगढ़ के मूलनिवासी तो आदिवासी ही है बाकी ओड़िया तेली मैराथिब्स कुर्मी समाज राजस्थान से मारवाड़ी ब्राम्हण mp से लोधी तो फिर 95% बाहरी है 😂😂😂

  • @jaggatandan6436
    @jaggatandan6436 4 месяца назад +2

    इतना अच्छा जानकारी देने के लिए धन्यवाद साहू जी

  • @ashudhruw6584
    @ashudhruw6584 Год назад +7

    छत्तीसगढ़ का मूलनिवासी या सबसे पुराना रहवासी कौन हैं यह तो सामाजिक , सांस्कृतिक, भौगालिक रूप से स्पष्ट ही हैं।
    परंतु वर्तमान में राजनीतिक दलों द्वारा वोट बैंको की राजनीति के लिए जो वर्गो के बीच श्रेष्ठता की वैमनस्यता फैलाया जा रहा है ,वो कही न कही भविष्य में जातिगत राजनीति के लिए अंकुरण का काम करेगा

  • @Sagawari
    @Sagawari Год назад +4

    स्वागत है धना राम साहु जी

  • @navalkishorsahu4812
    @navalkishorsahu4812 Год назад +3

    सटीक विश्लेषण,पार्ट 2 का इंतजार🙏🙏

  • @goshnartoppo3191
    @goshnartoppo3191 Год назад +1

    Historic jankariyaan🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉

  • @GanrajJangade
    @GanrajJangade Год назад +27

    माननीय साहू जी अगर एक जाति को व्यक्तिगत जनगणना करें तो सतनामी समाज सबसे ज्यादा है छत्तीसगढ़ में

    • @DharmendraKumar-wo7kf
      @DharmendraKumar-wo7kf 3 месяца назад +3

      Gond aadivasi ki jansankhya sabse jyada hai bhai

    • @jivanyadav_official
      @jivanyadav_official 3 месяца назад

      Satnami aur Sahu lagbhag 4500000 _4500000 aaspaas hai

    • @bharatsinghthakur956
      @bharatsinghthakur956 3 месяца назад

      😂😂😂

    • @Dr.Akash-ks6jo
      @Dr.Akash-ks6jo 2 месяца назад

      ​@@jivanyadav_official last jaati jangarna dekh pahle .... Ye tere samaaj k log fake information failaye hai usse kuch hoga nahi....

    • @Dr.Akash-ks6jo
      @Dr.Akash-ks6jo 2 месяца назад

      Wrong information 😂😂😂

  • @akshaykumaruikey9253
    @akshaykumaruikey9253 Месяц назад +2

    घना राम साहू जी आप विश्व गोंडवाना लैंड और अंगारा लैंड से जाति गत इतिहास अध्ययन करने की कृपा करें धन्यवाद🙏🏻🙏🏻🙏🏻

  • @VijayPatel-qm6kh
    @VijayPatel-qm6kh Год назад +3

    बहुत ही दिलचस्प और जानकारी वर्धक

  • @vikashkumarsingh9319
    @vikashkumarsingh9319 Год назад +18

    बहुत हीं वेज्ञानिक तथा सटीक विश्लेषण।
    छत्तीसगढ़ तथा पूरे देश में जाति जनगणना होनी चाहिए। जिससे यह पता चलेगा कि SC, ST तथा OBC की संख्या कितनी है तथा देश के संसाधनों पर किसका कब्जा है ?

    • @ayushtieari385
      @ayushtieari385 Год назад +2

      Obc ka hi kabja hai. Cg me sabhi neta mantri to obc hi hai

    • @Sanjay.Uikey.750
      @Sanjay.Uikey.750 6 месяцев назад

      ​@@ayushtieari385ha sahi kaha

    • @sureshmandavi36gdhiya
      @sureshmandavi36gdhiya 2 месяца назад

      ​@@ayushtieari385desh ko bhi dekho na bhai, brhamn chatriya vaishya ka hi dabdaba baki log bas majdori kr rh ho fact smjo el jut bno

  • @satishkumarkurrey119
    @satishkumarkurrey119 2 месяца назад +2

    छत्तीसगढ़ में आदिवासी के बाद सतनामी समाज दूसरे नंबर पर हैं। अच्छे से जाति जनगणना रिपोर्ट होने के बाद पूरी तरह से क्लियर हुआ।

  • @aswanisahu7330
    @aswanisahu7330 Год назад +1

    बहुत बेहतरीन जानकारी के लिए धन्यवाद आपका

  • @sjbbmt7265
    @sjbbmt7265 Год назад +4

    बहुत रोचक ज्ञानवर्धक 🙏

  • @deepeshnetam4293
    @deepeshnetam4293 Год назад +5

    Very interesting topic sir thank you so much 🎉❤

  • @mukeshsahu-bc7nc
    @mukeshsahu-bc7nc 11 месяцев назад

    जानकारी के लिए बहुत बहुत धन्यवाद सर जी..

  • @chhatrapalsahu4123
    @chhatrapalsahu4123 15 дней назад

    ज्ञानवर्धक विश्लेषण

  • @maheshmandle6173
    @maheshmandle6173 Год назад +2

    बहुत ही सुन्दर जानकारी देने के लिऐ धन्यवाद ❤

  • @manishmishra7856
    @manishmishra7856 Год назад +4

    अच्छी जानकारी , प्रो साहब का आभार

  • @lalasahu9133
    @lalasahu9133 Год назад

    बहुत ही अच्छी जानकारी एवं रोचक बातचीत

  • @AjayBandhe-o2e
    @AjayBandhe-o2e 11 месяцев назад

    Bilkul sahi jankari

  • @l.kkurrey8083
    @l.kkurrey8083 Год назад +3

    बहुत अच्छा लेख है
    सतनामियो की विस्तृत जानकारी देने का कष्ट करें

  • @username36garhia
    @username36garhia Год назад +4

    महत्वपूर्ण ये नइ हे के कोन जाति के लोगन कोन काल मा कोन क्षेत्र ले आहे, अगर अइसन नजरिया ले देखबो ता सबो प्रदेश मा यही निष्कर्ष निकलही, हां अपन जाति इतिहास जाने बर ठीक हे ओकर ले जादा कोनो महत्व नइ हे, महत्वपूर्ण ये हे की हम सब छत्तीसगढ़ीया ले हमर भाखा बनिस, (हो सकथे ओ समे कोनो जाति विशेष के लोगन के आगमन नइ हो रिहीस होही)
    हमर तिहार बनिस, हमर जिनगी जिए के एक ढंग विकसीत होईस, हमर खानपान, पहिनावा विकसित होइस अउ जोन जाति के लोगन चाहे ओखर 100 साल बाद आइस, 200 साल बाद आइस या 500 सब इंहा घुल-मिलगे रच-बस गे अउ वो सब छत्तीसगढ़ीया होगे, ओखर बाद जतना लोगन आइस सब अपन अलग से देवी-देवता(कुलदेवता) लाइस, अपन खान-पान लाइस, अपन भाखा ला लाइस, अपन पहिचान एक विशेष क्षेत्र के बताथे इही मन ला हमर छत्तीसगढ़ीया सियान मन चाहे कोनो जाति के राहे परदेशिया कहे, अउ सबो राज्य के साझा संस्कृति अपन राज्य के मूल लोगन से अइसने बने हे, संगवारी हो आशा करथंव आपमन छत्तीसगढ़ीया संस्कृति के हमर पहिचान ला संजो के रखहू अउ छत्तीसगढ़ीया अस्मिता बने ढ़ग ले स्थापित करहू
    जय छत्तीसगढ़ महतारी 🙏🙏🙏

    • @kshitij3609
      @kshitij3609 Год назад +2

      Bhai migerates aya hoga jaise ab migerate hota h waise phela bhi tha lekin chhattisgadiya k yaha sabsa jyada mulnivash karta h
      Bhaki north india west india north east m jyada taar bahar sa aya h india k mulmivashi nhi h

    • @ayushtieari385
      @ayushtieari385 Год назад +1

      Sahi kahe bhai a man chattisgariya la bat he kamina apn rajniti bar

  • @yatharthmarkandey5713
    @yatharthmarkandey5713 26 дней назад

    आपका रिसर्च बहुत अच्छा है सर

  • @bhavikabanjare9866
    @bhavikabanjare9866 Год назад +19

    Chhattisgarh mai St SC obc ko koi bhee bara सरकारी नौकरी नहीं मिला है up biharii ko meela hai

  • @Pawanmandavi750-x6u
    @Pawanmandavi750-x6u 4 месяца назад

    प्रोफेसर साहब बहुत अच्छी जानकारी दिए। सेवा जोहार 🎉

  • @samirekka7315
    @samirekka7315 5 месяцев назад +4

    रामायण गपोड़ियों की कथा है यह गोरखपुर गीताप्रेस की उपज है इससे भारत का इतिहास न ढूंढे ! असली राम रामायण को जानना हो तो थाईलैंड के अयुथ्या और इंडोनेशिया के सुमात्रा जाएँ जहाँ लंकासुका है!

    • @oshanshatnami1501
      @oshanshatnami1501 4 месяца назад +1

      ललाई सिंह यादव ने रामायण को काल्पनिक ग्रथ घोषित कर दिया है ।
      जे बर्नधाम तेली कुम्हारा स्वपच किरात कोल कलवारा ,
      रामायण में वर्णित हैं

  • @tularamyadav9451
    @tularamyadav9451 4 месяца назад

    बहुत ही रोचक जानकारी दिये आपने इसके लिए बहुत बहुत धन्यवाद तुलाराम यादव धमतरी

  • @harishnetam6488
    @harishnetam6488 Год назад +10

    सल्ला गगरा, सूर्य उपासना ही है, गोंडो में।

    • @smithjohn6195
      @smithjohn6195 Год назад +3

      बिल्कुल सही कहा आपने अगर गोंडी धर्म के पुराने ध्वज को भी देखें तो उसमें सूर्य और चंद्रमा बना होता है जिसका मतलब हम आदिवासी सूर्य चंद्रमा और प्रकृति शक्ति के उपासक हैं।ऐसे फर्जी और गलत इतिहासकारो को मुजतोड़ जवाब देना और उनकी औकात बताना जरूरी है वर्ना ये कल आदिवासियों को उनके ही देश शरणार्थी देश में घोषित कर देंगे।

    • @user-ln9gn1zi3i
      @user-ln9gn1zi3i 3 месяца назад

      आप हिंदूकरण से ग्रसित हैं

  • @chandrakanttarak8332
    @chandrakanttarak8332 Год назад +6

    Chhattisgrah में केवट धीमर जाती विस्लेसन करिएगा अगली बार

  • @shivlaldhankar6848
    @shivlaldhankar6848 Год назад

    बहुत ही रोचक जानकारी लेकिन और भी कई जातियां निवासरत है,उनके बारे में भी जानकारी दें।

  • @rajeshkumarsahu4567
    @rajeshkumarsahu4567 Год назад +1

    Bahut shandar vishleshan hai

  • @anamika4sharma
    @anamika4sharma Год назад

    Namaste sir, Chhattisgarh ke muddon k sath aapko is Platform par dekhna bahut sukhad hai. ab niyamit aapke videos ka intezar rahega🙏

  • @sandeshsaiyam4636
    @sandeshsaiyam4636 3 месяца назад +3

    छत्तीसगढ़ में 34 राजा गोंड थे, 2 राजा वैष्णव थे राजनांदगांव और छुईखदान, कुल मिलाकर 36 राजा हुए और इसी आधार पर छत्तीसगढ़ नाम पड़ा हैं। सबसे ज्यादा गोंड जाति के ही लोग हैं और सबसे ज्यादा जमीनें भी गोंड लोगों के पास थी सबसे प्राचीन गोंड ही हैं। गोंडवाना लैंड का भू-भाग हैं भारत, गोंडवाना लैंड पर रहनेवाले लोगों को गोंड कहा जाता हैं, बाद में सबको कर्मों के आधार पर जातियों में बांटा गया। साहू जी गोंडो का भी इतिहास बताएं। आप सिर्फ अपने साहू समाज के बारे में बता रहे हैं।

  • @Swatntrasandesh-dv4ep8mt2w
    @Swatntrasandesh-dv4ep8mt2w Год назад +8

    धर्मांतरण की वजह से आदिवासियों st एवं sc वर्गों में जातियों की प्रतिशत घटी हैं,एवं वर्ग विशेष समुदाय के लोग कही भी जाकर बस जातें हैं,इनकों कांग्रेस सरकार ने विशेष छुट दिया हुवा है,एवं st.sc.obc वर्गों को जातियों में बाट कर राजनीतक लाभ उठाने का प्रयास खानग्रेश सरकार कर रहे हैं।

    • @LaxmanAmbolkar-o7t
      @LaxmanAmbolkar-o7t 4 месяца назад

      दबे कुचले लोग पाखंडी धर्म वाले शिकार कर रहे हैं, भारत का असली पुरातत्व इतिहास गौतम बुद्ध से और सिंधु संस्कृति से है, गौतम बुद्ध का असली इतिहास सामने नाआए दबे कुछले लोगों को अपनी अमीर विरासत नासमझ आए इसलिए ब्राह्मणवादी लोग ही हिंदू क्रिश्चियन, मुस्लिम, बनकर अपने अपने धर्म का प्रचार करते हैं, ब्राह्मणवादी लोगों को समाज से कोई मतलब नहीं है, राजसत्ता अपने हाथ में होना चाहिए एससी एसटी ओबीसी लोगों ने उनकी गुलामगिरी करना चाहिए यह उनका मकसद है, भारत में दिन ही धर्म के लीडरशिप ठेकेदारी ब्राह्मणवादी लोग ही करते हैं,

    • @NaveenTigga-qf4vm
      @NaveenTigga-qf4vm 3 месяца назад

      Ye kya bakwas hai , asur, baiga, aur bhi janjati ki jansankhya kyon ghati inlog toh dharmantran nahi kiye

  • @dayaprasadgoliya3316
    @dayaprasadgoliya3316 6 месяцев назад +1

    महोदय एंट्रोपोलॉजी के विशेषज्ञ से परामर्श प्रस्तुत करने की कृपा करें।

  • @Amarpatle
    @Amarpatle 2 месяца назад +1

    आपको कुछ % जनसंख्या घटने की बात कर रहें हैं वो cg se जातियां असम में पलायन किए है, मैं पूरा भारत का भ्रमण किया हूं। 108 जातियां पलायन कर असम की सारण लिए है जो की आज भी है। 1840 में अकाल के कारण और ब्रिटिश चाय बागान की खेती के लिए भी असम की ओर लोग पलायन किए।

  • @ShakuntalaSingh-fu5tg
    @ShakuntalaSingh-fu5tg Год назад

    Thanks Dr Sahab sahoo sahab

  • @ashutoshsahu3108
    @ashutoshsahu3108 Год назад

    Bahut badhiya charcha sahu ji

  • @Sanjay.Uikey.750
    @Sanjay.Uikey.750 6 месяцев назад +1

    बहुत बढ़िया 🙏🙏👌👌

  • @ashokkosle6247
    @ashokkosle6247 5 месяцев назад +2

    jay satnam

  • @Giteshdevkamde
    @Giteshdevkamde 3 месяца назад +1

    Mahara. Jati. Ke. Liye. Aapne. Jo. Bataya. Aapne. Badhiya. Bataya

  • @mahendramanikpuri8365
    @mahendramanikpuri8365 Год назад +2

    पनिका जाति के इतिहास फिरका को चर्चा में शामिल करे 🙏🙏👌👌

  • @ManishGupta_10
    @ManishGupta_10 Год назад +7

    बट जाओ जातियों में, अंग्रेज के समय भी बटे थे अब भी बटेंगे !!
    उन लुटेरो ने बांटा और हम बंट गए !!
    भारतीयता जाये भाड़ में हम तो बटेंगे

    • @hansramyadav875
      @hansramyadav875 Год назад

      आप का जनशंखीय काम है तो आप कुछ भी बोलो बे

    • @blank_paper
      @blank_paper Год назад +1

      अज़ीब बात है! लोगों को जातिगत भेदभाव भी नहीं चाहिए, परंतु जातिगत आरक्षण जरूर चाहिए।

    • @rakeshkerketta7084
      @rakeshkerketta7084 Год назад +2

      Bahi tum Sanatan log... Ayodhya mein he raho aur ram rajaya bannao toh he accha c.g mein Parr rakhna Tak ke jhaga nai milegi tum ko yeah sc st ka hn na ke sanatan log ka

    • @ManishGupta_10
      @ManishGupta_10 Год назад +1

      @@rakeshkerketta7084 अगर तुम अपने को सनातनी नही मानते तो संस्कृत के शब्द 'राकेश' को अपने नाम में उपयोग करना बन्द करो !

    • @arunendrapratapsingh9261
      @arunendrapratapsingh9261 Год назад +2

      ​@@rakeshkerketta7084 एससी एसटी बने हुए 70 साल ही हुए हैं दोस्त इतना जहर मत रखो अपने मन में अपनी योग्यता के बल पर समाज में अपना स्थान बनाओ कोई व्यक्ति या समाज तुम्हे पिछड़ा नही कहता बल्कि तुम्हारा संविधान तुम्हे पिछड़ा कहता है

  • @meenasahu3081
    @meenasahu3081 Год назад

    Bahut sunder jankari diye sahu sirji

  • @surendraprasadsah9879
    @surendraprasadsah9879 Год назад +7

    पौराणिक कथा कोई इतिहास नहीं होता।शिरपुर बौद्ध बिहार कब स्थापित हुआ इसको बिना जाने छत्तीसगढ़ का इतिहास आप नहीं बताया जा सकता है। इतिहास पुरातात्विक प्रमाण से जाना जा सकता है ना कि धार्मिक ग्रंथों और पौराणिक ग्रंथों से।

    • @LaxmanAmbolkar-o7t
      @LaxmanAmbolkar-o7t 4 месяца назад +1

      आप बिल्कुल सही कह रहे हो, पुरातत्व की सत्यता खुल जाएगी तो उनके पाखंडी धर्म का पोलखुल जाएगा,

    • @harisai9350
      @harisai9350 3 месяца назад

      ❤🎉𝘦𝘦२​@@LaxmanAmbolkar-o7t😊

  • @tejrambishi8337
    @tejrambishi8337 Год назад

    Excellent coverage video sir ji
    Sahu sir aur Sunil Kumar ji

  • @realme2019
    @realme2019 Год назад +2

    हमारे सरकारों की देन है सब जाती वाद और धर्म पर युद्ध की ओर बढ़ते हुए

  • @rakeshmahnt1645
    @rakeshmahnt1645 3 месяца назад

    Bahut sundar jankari

  • @anandsahuanand1792
    @anandsahuanand1792 Год назад

    Bahut acchhi jankari mili

  • @rakeshdharsharma5986
    @rakeshdharsharma5986 Год назад +3

    प्रोफेसर साहब लोग जाति के आधार पर आरक्षण चाहते हैं अच्छी बात है होना भी चाहिए आप सब जाति के निगाहों में ब्राह्मण जाति के लोग अमिर होते हैं इसलिए इन्हें आरक्षण की जरूरत नहीं है लेकिन हम सब को ईश्वर ने देखने के लिए आंख दिया है लेकिन लोगो का देखने कि तरीका अंधे होकर करते हैं देश को आजादी दिलाने में जिस जाति के लोगों ने अपनी जाति के अनुपात में अपने प्राणों का न्यौछावर किया है या योगदान दिया है उसके अनुसार आरक्षण मिलना चाहिए केवल जनसंख्या अनुपात में नहीं

    • @rakeshdharsharma5986
      @rakeshdharsharma5986 Год назад

      आपके कथनानुसार फिर सबर जाति के लोग आदिवासियों में नहीं आते फिर इन्हें आरक्षण का लाभ क्यों दिया जाता है

    • @blank_paper
      @blank_paper Год назад

      आरक्षण होना ही नहीं चाहिए। योग्यता के अनुसार होना चाहिए।

    • @ayushtieari385
      @ayushtieari385 Год назад

      ​@@rakeshdharsharma5986braman ko alag desh banan chahiye jisne sirf bramh thakur jain sardar ho. Lado aor apna Desh banake adhikar lo

  • @hansramsahu7712
    @hansramsahu7712 Год назад +3

    Sahu ji sahu samaj me do panth hai ek nirgun sakha jisme Kabir panth dusara Ram panth matlab nirgun bhakti sakha dusra sagun bhakti sakha inke bare me vishleshan kijiyega

  • @SagarSahu-fm1tu
    @SagarSahu-fm1tu Год назад

    साहू जी❤

  • @p.lnetam7987
    @p.lnetam7987 Год назад +3

    शीर्षक के अनुसार चर्चा नहीं हुई, विषय को भटका दिया गया, जो ठीक नहीं रहा।

  • @geshkumar3505
    @geshkumar3505 5 месяцев назад

    Sir bhunjia jati ke bareme or kuch jankari unkajivan sheli kyhe,,, jankari achha laga sir thanks ❤❤❤

  • @HemantMaraar
    @HemantMaraar Год назад +4

    छत्तीसगढ़ के बात छत्तीसगढ़ी म होनी चाही, मोर दाई हर समझ नई पात हे तुमन के बात ला

  • @manishsinha5589
    @manishsinha5589 Год назад +1

    Bhut aachi jankari

  • @gitaraikwar9604
    @gitaraikwar9604 2 месяца назад

    श्री राम साहू जी ने बहुत अच्छी जानकारी दी है परंतु छत्तीसगढ़ राज्य में केवट को कोटा कहते हैं निषाद जाति और कर जाती को कहर कहते हैं इसी प्रकार से हमारा निवेदन है कि छत्तीसगढ़ राज्य की जनजातियों में मांझी जाति और माझावर जनजाति का भी उल्लेख है उसके संबंध में धनीराम जी साहू जी के पास में क्या इतिहास है क्योंकि छत्तीसगढ़ राज्य अभी सन 2000 में बना है उसके पहले मध्य प्रदेश राज्य में समाहित था उमाशंकर माझी इंदौर मध्य प्रदेश माजी आदिवासी महासंघ इंदौर

  • @bhawanisingh9775
    @bhawanisingh9775 Год назад +2

    मैं भवानी सिंह सिदार जाति संवारा ग्राम बासनपाली p o पुत्कापुरी ज़िला रायगढ़ से धन्यवाद

    • @devendranetam122
      @devendranetam122 Год назад

      आप लोग अपना गौत्र नहीं लिखते है इसलिए ये लोग कल को गोंड को हि आक्रनता बता रहे है गोंड को उपजातियों मे बांट कर कैसे निपटा रहे है

  • @sunderbanjare1820
    @sunderbanjare1820 4 месяца назад

    Great work sir ji

  • @rnshrivas6949
    @rnshrivas6949 Год назад +5

    पौराणिक कथाओं पर ज्यादा विश्वास जता जो रहे हैं इसलिए इसमें प्रमाणिक जानकारी का अभाव है।

  • @tikamchandrakar9001
    @tikamchandrakar9001 Год назад +14

    पौराणिक कथा को संविधान नही मानता ओ सिर्फ़ एक कहानी है

  • @uttamjain1454
    @uttamjain1454 Год назад

    Iski agli series ka intjar rahega

  • @bodhsahu964
    @bodhsahu964 Год назад +1

    Nice explain sir ji

  • @tgsubham_3032
    @tgsubham_3032 Год назад +5

    Chhattisgarh me pura up bhiar k log man bas ge hai au ye man la sarkar ha bade bade Contract det hai Chhattisgarhiya man la 10% ou bahar k rajya k man la 90%det hai. Jay Shree ram 🚩

    • @ayushtieari385
      @ayushtieari385 Год назад +2

      Sahi khe e bihari sale man hi inha apradh karte hai bihari man sansadhan ma kabja kiye he nikalo inko

    • @rahulkurrey210
      @rahulkurrey210 4 месяца назад

      बिल्कुल सही बोल रहे हो

    • @kshitijkumarsingh5628
      @kshitijkumarsingh5628 3 месяца назад

      Sarkari jamin la bhi kabza kar they

  • @jeevanyadav1100
    @jeevanyadav1100 Год назад +1

    प्रयास अच्छा है परंतु जानकारियां उलझी हुई है! सामान्य तथ्य आदिवासियों को यहाँ के पुराने रहबासी,फिर दलित एवं उसके बाद विभिन्न ओबीसी जातियाँ और ब्राह्मण भी फिर सामान्य वर्ग की अन्य जातियाँ!
    प्रायः ओबीसी जातियों में कन्नौजिया,झेरिया,और अन्य उपजातिवर्ग प्रवास को ही बताते हैं!सामान्य स्थानीय मान्यता में भी बस्तर-सरगुजा के आदिवासियों से पहले वहां कोई न आए! सिरपुर-मल्हार-गिरौदपुरी क्षेत्र में सतनामियों की बहुलता बुद्ध बिहार- सभ्यता और मल्हार में विष्णु मानी जाने वाली प्रतिमा जो सिंधुघाटी सभ्यता के पुजारी व कुषाण राजा के सदृश दिखता है! गुजरात के डांग जिले में शबरी के नाम से शबरी कुंभ आयोजन और यहाँ शिवरीनारायण की शबरी माने तो कहाँ प्रमाणित करें और ऐतिहासिक महत्व का शबरी स्थल(यह प्राचीन शक्तिपीठ जिसमें देवी-देवता की मूर्ति नहीं है) शिवरीनारायण में न होकर खरौद में है ऐसा पुरातत्व विभाग का उल्लेख है जो शिवरीनायण में नहीं है! संवरा/सबरिया जनजाति के लोग खुद को गोंड़ और तेलंगाना का मूल स्थान मानते हैं इनकी गोण्डी भाषा तेलंगाना -गोण्डी के नजदीक है!मोढ़ का मसलब श्रीमंत होता है! बनिया जाति किसी न किसी चीज के व्यापार से ही जुड़ी होती है इसलिए किसी चीज के व्यापार द्वारा वह ओबीसी में शामिल नहीं होता! गांधीजी ने हमेशा खुद को बनिया ही कहा और आदरणीय मोदीजी भी ऐसा बोल चुके हैं बाद में तेली भी! पुरातात्विक-ऐतिहासिक साक्ष्य प्रमाणों के साथ हम कुछ निष्कर्ष की ओर बढ़ सकते हैं!परंतु छत्तीसगढ़ स्तर पर एक सार्थक प्रयास !सादर प्रणाम!