आपके इस महान कार्य की जितनी प्रशंसा की जाए उतनी कम है। कृपया इस श्रृंखला को दुर्योधन वध तक लगातार आगे बढ़ाते रहिये। आपके हर वीडियो को बार-बार रिपीट करके सुनना हमें बहुत पसंद है। मुझे युद्ध के वृत्तान्त सुनना बहुत ही प्रिय है। महाभारत युद्ध 18 दिनों तक चला था। हम आपसे नम्र अनुरोध करते हैं कि हर दिन के युद्ध का वृत्तान्त पूरे विस्तार के साथ सुनाइए। महाभारत युद्ध के पहले 10 दिन जिसमें भीष्म जी ने युद्ध किया था कृपया उस पर भी विस्तार से अनेकों वीडियो बनाइए। जय श्रीकृष्ण। हर हर महादेव। 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
नारायणं नमस्कृत्यं नरं चैव नरोत्तमं। देवीं सरस्वतीं व्यासं ततो जय मुदिरये।। 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏 महाविष्णु स्वरूप भगवान महाशिव को नित्य नमस्कार है। महाशिव स्वरूप भगवान श्रीकृष्ण को नित्य नमस्कार है।।
(घटोत्कच के मरने वाले अध्याय में ) जब भगवान कृष्ण ने ही कह दिया कि कवच कुंडल धारी कारण को वह अपना सुदर्शन चक्र लेकर और अर्जुन अपना गांडीव लेकर और सारे देवता इंद्र आदि मिलकर भी अकेले कारण को नहीं हरा सकते थे तो समझ जाना चाहिए कि कर्ण के सामने अर्जुन की कोई औकात नहीं थी....अर्जुन कभी भी कवच कुण्डल धारी कारण के साथ नहीं लड़ा। ...अर्जुन भगदत्त को अपनी वजय यात्रा में हरा नहीं पाया था। ..लेकिन भगदत्त कर्ण से हर गया था। ... जिस जरासंध को भीम ने २७ दिन में भगवन कृष्ण की सहायता से मारा था। ... उस जरासंध को कवच कुण्डल धारी कर्ण ने कुछ ही घंटो में मल्ल युद्ध में भी हरा दिया था। ...हरने के बाद जरासंध कर्ण को अपना दामाद बना लिया था। ... कवच कुण्डल कर्ण को अजेय बनता था
@@MrParijatSaurabh bhai Aadha adhura gyan h ye….Pura padho Or samjho ki Shri Krishna ne esa kyu Kaha…..or sath Hi jab Bhagwan Shankar ne Arjun ko Pashupatastra diya tha tab kya kaha Tha……ise bhi zarur padhna Or Arjun Ne karn ko Dropadi ke swayamvar me Kavach kundal samet hi parasth kiya tha..
@@MrParijatSaurabh lagta hai sony putra karn ke zoote serial se impressed hokar ho Karn Arjun ke paawo ki dhool ke bhi Barbara nahi tha Asli Mahabharata path lo ved vyas ka, her baarr arjun ne karn ko parajit kiya Karn bahot hi kameena aur evil that, Satya ye hai ki arjun ne her waqt karn ko Puri tarah parajit kiya 😂
(घटोत्कच के मरने वाले अध्याय में ) जब भगवान कृष्ण ने ही कह दिया कि कवच कुंडल धारी कारण को वह अपना सुदर्शन चक्र लेकर और अर्जुन अपना गांडीव लेकर और सारे देवता इंद्र आदि मिलकर भी अकेले कारण को नहीं हरा सकते थे तो समझ जाना चाहिए कि कर्ण के सामने अर्जुन की कोई औकात नहीं थी....अर्जुन कभी भी कवच कुण्डल धारी कारण के साथ नहीं लड़ा। ...अर्जुन भगदत्त को अपनी वजय यात्रा में हरा नहीं पाया था। ..लेकिन भगदत्त कर्ण से हर गया था। ... जिस जरासंध को भीम ने २७ दिन में भगवन कृष्ण की सहायता से मारा था। ... उस जरासंध को कवच कुण्डल धारी कर्ण ने कुछ ही घंटो में मल्ल युद्ध में भी हरा दिया था। ...हरने के बाद जरासंध कर्ण को अपना दामाद बना लिया था। ... कवच कुण्डल कर्ण को अजेय बनता था
@@MrParijatSaurabh जो कृष्ण ने कहा कर्ण के बारे में अर्जुन से वो इसलिए कि वे नहीं चाहते थे कि उनके परम भक्त अर्जुन को तनिक भी अहंकार का भाव हो। वरना , वो भी साक्षी हैं इस बात के कि कर्ण अर्जुन के सामने जब भी आया युद्ध करने तब तब हारा है।
@@MrParijatSaurabh कर्ण हारता है, इन व्यक्तियों से: द्रुपद - पांचाल युद्ध में गंधर्व चित्रसेन - कर्ण और दुर्योधन दोनों को हराकर बंदी बना लिया , फिर अर्जुन और भीम ने दोनो को गंधर्वों से युद्ध कर उन्हें छुड़ाया अर्जुन - विराट युद्ध में अर्जुन पुत्र अभिमन्यु - युद्ध के 13वें दिन यादव वीर सात्यकि - युद्ध के 14वें और 15वें दिन वृकोदर भीम - युद्ध के 14वें दिन , भीम ने तो उस दिन कर्ण का रथ हवा में उछाल दिया था। अर्जुन - युद्ध के 14वें दिन - सात्यकि और भीम से मार खाने के बाद लहुलुहान कर्ण अब अर्जुन के सामने आया युद्ध करने । कर्ण के सब बाण अर्जुन के सामने हो गये फुस्स । फिर जयद्रथ वध को लेकर जल्दबाजी में अर्जुन ने कर्ण का वध करने के उद्देश्य से कर्ण पर चंद्र आकार का एक दिव्य बाण निकाला और गांडीव पर चढ़ाकर उसे कान तक खींच कर कर्ण पर छोड़ दिया, इससे पहले वह दिव्य बाण कर्ण को परलोक पहुँचाता , अश्वत्थामा ने अपने पिता गुरु द्रोण द्वारा प्रदान मंत्र से अर्जुन के उस बाण को विफल कर दिया और कर्ण बच गया। युद्ध के 14वें दिन की मध्यरात्रि का युद्ध , कृपाचार्य द्वारा कर्ण को कायर बताने पर कर्ण कृपाचार्य को अपमानित करता है, फिर दुर्योधन के समझाने और प्रेरित होने के बाद वह पुन: अर्जुन के सामने आता हे। इस बार अर्जुन ने कर्ण के हाथ पर ऐसा वार किया कि उसका विजय धनुष दूर जा गिरा , फिर अर्जुन ने उसके सारथी रथ के घोड़ों और रथ को क्षतिग्रस्त कर उसे अपनी प्राण बचाने के लिए उन्हीं कृपाचार्य के रथ को ओर भागने के लिए विवश कर दिया , जिनका उसने अपमान किया था। अर्जुन - युद्ध के 17वें दिन । जब अर्जुन के अंजलिकास्त्र ने कर्ण का सिर धड़ से अलग कर दिया ।
सारथि और अश्वों को तो सब मारते हैं। परंतु सामने जो रथी का ही धनुष काट दे, वो योद्धा अद्भुत है। 10:52 एक गदाधारी जो धनुर्विद्या में उतना प्रवीण नहीं था उसने एक कथित महान धनुर्धर का तरकश संग धनुष काट डाला । जय हो भीमसेन की ।
Mamuli dhanus or divya dhanus use me fark hota hai karna us waqt mamuli dhanus istemaal kr rhe the isliye kaat paya or bheem bhi bhot mahan dhanurdhar the Karna Arjun bheesm Dron k baad Bheem hi ache dhanurdhar the.
Are bhai es waqay(sentence) ke pichhe ka fact ( sahi kaaran ) batao . Jisse ye waqay ( sentance) lagu ho . Bina sahi jankari ke tum log arjun ko itna bada chada ke batate ho
agar bhagode ki trophy deni h to uska whole sole ek matra nominee n winner Yudhistr ji hi the.... kahan kahan se nhi bhaga wo...infact sahi se lada hi kis se wo....
Aisa koi Astr nahi tha Mahabharat k time jiska Nivaran Arjun ko na maloom ho. Arjun ko Jitna impossible tha. Arjun pure mahabhart mai har time 3 ya 4 yoddha se ek sath ladte they.
karn 1 saath 20 yodha se lada tha ismain kon si badi baat hai 🙂🙂 wo karn ka hi bhargarvastra tha jisse drona ashvathama kripa or arjun tak pehli baar dekh rahe thee wo karn ka hi sarphmukhi astra tha jisse arjun samajh hi nahi paya kyunki usne aise astra dekhe hi nahi thee or sarphmukhi astra karn ne khud se banaya tha 🤧🤧
Nakul forcefully took duryodhana to his right side and defeated him great..We don't know it in tv Bhimsen many times defeated karna not only this day.Arjun to arjun hai 🙏Jai Sri Krishna.Har har Mahadev 🙏
कृपया यह भी बताइए की महाभारत में जो लोग मरते थे रणभूमि में और इधर उधर रात हाथी घोड़े सब मर के गिरे रहते थे तो फिर उसे वैसा ही छोड़ दिया जाता था कि उसे फिर यहां से हटाया भी जाता था क्योंकि एक दिन वहां बहुत सारे लोग हाथी सैनिक अगर मर गए तो जग भर जाता होगा तो दूसरे दिन युद्ध करने में दिक्कत नहीं होती होगी
Yahan Pasupat astra ka jitne sahajta me varnan kiya gaya hai vah to utna sahaj nahi hai. Mujhe bataye mahanubhav, arjun ke atirikt pasupat astra to kisi ke pas nahi tha fir kya ye koi dusra astra hai?
आपके इस महान कार्य की जितनी प्रशंसा की जाए उतनी कम है।
कृपया इस श्रृंखला को दुर्योधन वध तक लगातार आगे बढ़ाते रहिये।
आपके हर वीडियो को बार-बार रिपीट करके सुनना हमें बहुत पसंद है।
मुझे युद्ध के वृत्तान्त सुनना बहुत ही प्रिय है।
महाभारत युद्ध 18 दिनों तक चला था।
हम आपसे नम्र अनुरोध करते हैं कि हर दिन के युद्ध का वृत्तान्त पूरे विस्तार के साथ सुनाइए।
महाभारत युद्ध के पहले 10 दिन जिसमें भीष्म जी ने युद्ध किया था कृपया उस पर भी विस्तार से अनेकों वीडियो बनाइए।
जय श्रीकृष्ण।
हर हर महादेव।
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
शस्त्र और शास्त्र दोनों आवश्यक हैं ❤
धर्म की जय हो!!
नारायणं नमस्कृत्यं नरं चैव नरोत्तमं।
देवीं सरस्वतीं व्यासं ततो जय मुदिरये।।
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
महाविष्णु स्वरूप भगवान महाशिव को नित्य नमस्कार है।
महाशिव स्वरूप भगवान श्रीकृष्ण को नित्य नमस्कार है।।
@@parweshkumarsahu7042 shlok sahi likh ke , Hindi translation change kr diya tumhe
अद्भुत अद्भुत दुर्लभ महाभारत युद्ध खंड
बहुत बहुत धन्यवाद आपका
कुंती पुत्र अर्जुन का मुकाबला करने वाला महाभारत के युद्ध में कोई भीनहीं था
(घटोत्कच के मरने वाले अध्याय में ) जब भगवान कृष्ण ने ही कह दिया कि कवच कुंडल धारी कारण को वह अपना सुदर्शन चक्र लेकर और अर्जुन अपना गांडीव लेकर और सारे देवता इंद्र आदि मिलकर भी अकेले कारण को नहीं हरा सकते थे तो समझ जाना चाहिए कि कर्ण के सामने अर्जुन की कोई औकात नहीं थी....अर्जुन कभी भी कवच कुण्डल धारी कारण के साथ नहीं लड़ा। ...अर्जुन भगदत्त को अपनी वजय यात्रा में हरा नहीं पाया था। ..लेकिन भगदत्त कर्ण से हर गया था। ... जिस जरासंध को भीम ने २७ दिन में भगवन कृष्ण की सहायता से मारा था। ... उस जरासंध को कवच कुण्डल धारी कर्ण ने कुछ ही घंटो में मल्ल युद्ध में भी हरा दिया था। ...हरने के बाद जरासंध कर्ण को अपना दामाद बना लिया था। ... कवच कुण्डल कर्ण को अजेय बनता था
@@MrParijatSaurabhjb poori jaankari na ho to kripya yha aake Karna ka bakhan na kre
Ye bhi pta krle ki Shri Krishna ne Aisa kyu bola tha
@@MrParijatSaurabh bhai Aadha adhura gyan h ye….Pura padho Or samjho ki Shri Krishna ne esa kyu Kaha…..or sath Hi jab Bhagwan Shankar ne Arjun ko Pashupatastra diya tha tab kya kaha Tha……ise bhi zarur padhna
Or Arjun Ne karn ko Dropadi ke swayamvar me Kavach kundal samet hi parasth kiya tha..
@@MrParijatSaurabh lagta hai sony putra karn ke zoote serial se impressed hokar ho
Karn Arjun ke paawo ki dhool ke bhi Barbara nahi tha
Asli Mahabharata path lo ved vyas ka, her baarr arjun ne karn ko parajit kiya
Karn bahot hi kameena aur evil that,
Satya ye hai ki arjun ne her waqt karn ko Puri tarah parajit kiya
😂
The. . bhisma, drona, shri krishna, aswathama karna bhi agr kawach Kundal hote uske pass tb...
Savysachi Arjun🔥🔥🔥🔥 what a warrior!!!
Jai Sree Krishna🙏🙏🙏
Jai Gandiv Dari Arjun ❤🙏🏻
Jai shri krishna ❤🙏🏻
Fantastic description of war so cleverly presented.
Kaun kaun Arjuna ka fan hai
मे
वो गुरु द्रोण अपने शिष्य की इस अद्वितीय कला देखकर कितना हर्ष हो जाते होंगे।
12:10 - 12:32 अर्जुन तो फिर अर्जुन है। गुरू को ऐसे असफल कर देने वाला ऐसा कोई शिष्य ना हुआ और कदाचित ना होगा।
(घटोत्कच के मरने वाले अध्याय में ) जब भगवान कृष्ण ने ही कह दिया कि कवच कुंडल धारी कारण को वह अपना सुदर्शन चक्र लेकर और अर्जुन अपना गांडीव लेकर और सारे देवता इंद्र आदि मिलकर भी अकेले कारण को नहीं हरा सकते थे तो समझ जाना चाहिए कि कर्ण के सामने अर्जुन की कोई औकात नहीं थी....अर्जुन कभी भी कवच कुण्डल धारी कारण के साथ नहीं लड़ा। ...अर्जुन भगदत्त को अपनी वजय यात्रा में हरा नहीं पाया था। ..लेकिन भगदत्त कर्ण से हर गया था। ... जिस जरासंध को भीम ने २७ दिन में भगवन कृष्ण की सहायता से मारा था। ... उस जरासंध को कवच कुण्डल धारी कर्ण ने कुछ ही घंटो में मल्ल युद्ध में भी हरा दिया था। ...हरने के बाद जरासंध कर्ण को अपना दामाद बना लिया था। ... कवच कुण्डल कर्ण को अजेय बनता था
Bhishma.. he defeated parshuram
Bhishma aur bhagwan parshuram
@@MrParijatSaurabh जो कृष्ण ने कहा कर्ण के बारे में अर्जुन से वो इसलिए कि वे नहीं चाहते थे कि उनके परम भक्त अर्जुन को तनिक भी अहंकार का भाव हो।
वरना , वो भी साक्षी हैं इस बात के कि कर्ण अर्जुन के सामने जब भी आया युद्ध करने तब तब हारा है।
@@MrParijatSaurabh
कर्ण हारता है, इन व्यक्तियों से:
द्रुपद - पांचाल युद्ध में
गंधर्व चित्रसेन - कर्ण और दुर्योधन दोनों को हराकर बंदी बना लिया , फिर अर्जुन और भीम ने दोनो को गंधर्वों से युद्ध कर उन्हें छुड़ाया
अर्जुन - विराट युद्ध में
अर्जुन पुत्र अभिमन्यु - युद्ध के 13वें दिन
यादव वीर सात्यकि - युद्ध के 14वें और 15वें दिन
वृकोदर भीम - युद्ध के 14वें दिन , भीम ने तो उस दिन कर्ण का रथ हवा में उछाल दिया था।
अर्जुन - युद्ध के 14वें दिन - सात्यकि और भीम से मार खाने के बाद लहुलुहान कर्ण अब अर्जुन के सामने आया युद्ध करने । कर्ण के सब बाण अर्जुन के सामने हो गये फुस्स । फिर जयद्रथ वध को लेकर जल्दबाजी में अर्जुन ने कर्ण का वध करने के उद्देश्य से कर्ण पर चंद्र आकार का एक दिव्य बाण निकाला और गांडीव पर चढ़ाकर उसे कान तक खींच कर कर्ण पर छोड़ दिया, इससे पहले वह दिव्य बाण कर्ण को परलोक पहुँचाता , अश्वत्थामा ने अपने पिता गुरु द्रोण द्वारा प्रदान मंत्र से अर्जुन के उस बाण को विफल कर दिया और कर्ण बच गया।
युद्ध के 14वें दिन की मध्यरात्रि का युद्ध , कृपाचार्य द्वारा कर्ण को कायर बताने पर कर्ण कृपाचार्य को अपमानित करता है, फिर दुर्योधन के समझाने और प्रेरित होने के बाद वह पुन: अर्जुन के सामने आता हे। इस बार अर्जुन ने कर्ण के हाथ पर ऐसा वार किया कि उसका विजय धनुष दूर जा गिरा , फिर अर्जुन ने उसके सारथी रथ के घोड़ों और रथ को क्षतिग्रस्त कर उसे अपनी प्राण बचाने के लिए उन्हीं कृपाचार्य के रथ को ओर भागने के लिए विवश कर दिया , जिनका उसने अपमान किया था।
अर्जुन - युद्ध के 17वें दिन । जब अर्जुन के अंजलिकास्त्र ने कर्ण का सिर धड़ से अलग कर दिया ।
❤धर्मो रक्षति रक्षितः ❤
Bahut sunder prastuti Wach God 🙏🙏🙏🙏
सारथि और अश्वों को तो सब मारते हैं। परंतु सामने जो रथी का ही धनुष काट दे, वो योद्धा अद्भुत है।
10:52 एक गदाधारी जो धनुर्विद्या में उतना प्रवीण नहीं था उसने एक कथित महान धनुर्धर का तरकश संग धनुष काट डाला । जय हो भीमसेन की ।
uske kuch pal ke bad hi karn ne rath ghore aadi tod diye aur ....bhim vaha se bhag gaya ....
Aur bhimsen end mei bhag ke nakul ke rath mei Beth Gaya, karn jaisa koi nahi hei murkh
Bhimsen mostly wanwas mein dhanurved ka ulabhayas karta tha
Bhimsen underrated hai bohot
Mamuli dhanus or divya dhanus use me fark hota hai karna us waqt mamuli dhanus istemaal kr rhe the isliye kaat paya or bheem bhi bhot mahan dhanurdhar the Karna Arjun bheesm Dron k baad Bheem hi ache dhanurdhar the.
Bhai ye tum galat bole bheem gadadhari se acha dhanurdhar the
Jai shree Krishna 🙏 Krishna Krishna Krishna 🙏
महाभारत अत्यंत विस्तृत ग्रंथ होते हुए भी जिस सहजता से आप इसे जन जन तक पहुंचा रहे हैं वह प्रसंशनीय है।
धन्यवाद
Best katha and video 👍 dandavat pranam 🙏🙏🙏 Hare Krishna Hari bol 👍🙏😀
बहुत अच्छा लगता हैं
Har har mahadev jay Sri Krishna 😊🙏🙏🙏
ARJUN TO FIR BHI ARJUN HAI 🗿🗿🗿🗿🗿🗿🗿
Right❤💪🔥
Dron bhi Dron hee the beta.
Are bhai es waqay(sentence) ke pichhe ka fact ( sahi kaaran ) batao . Jisse ye waqay ( sentance) lagu ho .
Bina sahi jankari ke tum log arjun ko itna bada chada ke batate ho
@@andy15z22 Bhai sahab ,aapne sahi baat boli ,par ye bhasha aur bhi achhi ho sakti thi .🙏🙏🙏🙏🙏,aapka antim shabd kyaa oochit hai ? Aap khood sochiye .Agar aapko meri boori Lage toe kriyapya mujhe kshma karen 🙏🙏
@@andy15z22jali na Teri 😂😂
Your real Mahabharata has been there, you are on a good RUclips.
कृपया अर्जुन एवं पितामह भीष्म के युद्ध का वीडियो बनाइये!
Jay shree Krishna Bhai ❤❤❤❤❤
Narshretra arjun ji Maharaj ke charnon me namaskar h namaskar h
Daanveer Karna ❤
First comment❤ Jai Shri Krishna
JAI SHRI KRISHNA HAR HAR MAHADEVA JI
Jai shree Krishna ❤❤❤
this is just too good.. !!
Bohot aacha🙏
Excellent
Jay ShreeRam Jay Shree Krishna ji ki Jay 🙏🙏🙏😊🙏
Iske baad Karna Parva, Shalya Parva aur Sauptika Parva hi aayenge na??
Nice to see this
मै माफ़ी चाहूंगा पर आपने पितामह भीष्म की वीरगाथा का वर्णन नहीं किया
Jab Swayam Narayan hi mitra aur saarthi hai toh koi bhi pratidwandwi saamne tik nhi sakta☝
Om Namo Bhagwate Vasudevay 🙏
Jay shree Krishna Govind hare Murari Jay ho
🙏🇮🇳🙏 Jay Shri Hari Krishna 🙏🇮🇳🙏🕉️
Jai Shri Krishna Bhai Ji 🙏🙏.
अति उत्तम
हरे कृष्ण🙏🙏
Har har mahadev❤
बहुत सुंदर वर्णन किया है आपने
Apka yah prayas sarahniy hai..🙏🙏
Jai shree Krishna
Nice ❤️
❤❤❤❤❤❤awesome 🎉🎉🎉🎉🎉🎉❤❤❤❤❤beautiful ❤❤❤❤❤❤🎉🎉🎉🎉
Bhagvan Shri Krishna ji Maharaj ke charnon me namaskar h namaskar h namaskar h ❤❤
Har har Mahadev 🚩
According to #Mahabharata, how many times did Karna run or turn away from battle?
Not sure but around 6 or 7 time. With 3 -4 time's against Bheem only
According to #Mahabharata Karan Sadharan aur Arjun Gandiv se ladta tha
Bhagveer Karna Ki Jai
Karna only turned from Gandharvas and Arjun. And from Abhimnayu and bheem he retreated and came again to fight that's the part of the war.
agar bhagode ki trophy deni h to uska whole sole ek matra nominee n winner Yudhistr ji hi the.... kahan kahan se nhi bhaga wo...infact sahi se lada hi kis se wo....
Bhaiya Spotify mein bhi daal Diya karo please ese nhi sun pate jo log usme sunge please 🙏❤
Th bhai
Jai shree Krishna 🚩
Jai Shree Kishan
Har har Mahadev Jay ho
Jay shree ram
Wonderful narration
Jai nitai 🙏🙏❤️🙏🙏❤️❤️❤️❤️❤️🌺🌺🌺🌺🌺🌺
श्री क्रिष्ण पांडव का शरण अश्वत्थामा पितामहा देवरत भीष्म द्रोणाचार्य शुर्यपुत्र करण अर्जुन भीमसेन युधिष्ठिर सहदेव नकुल द्रौपदि कौरव साथ नहीं थी
Naman
Jay sree krishna
Gandiv Dhari arjun 🏹🏹🏹
अर्जुन तो अर्जुन हैं।
🚩🙏
Aapka prayas sarahniy hi hai
1st viewer ❤
राधे-राधे ।
Beautiful 👍👍👍
Jai nitai 🙏🙏❤️❤️🌺🌺🌺🌺🌺
Drone ka wadh agle episode me hoga na
Bahut axa hai❤❤❤❤❤
Jai nitai 🙏💘💘💘🌺💘💘
बहुत बहुत कुछ अच्छा लग रहा है।
श्री राम और रामायणा काल का श्राप सै कारण महाभारता श्री कृष्ण कि मृत्यु हो वी थी त्रेतायुग और द्वापरयुग समाप्ती होवी थि
Hare Krishna
Arjun to fir Arjun hai
Bhai main chiz ko graphics se nai dikhai aapne 🥲
Subscribers not disappointed 🎉
❤❤❤❤❤❤
after lord Krishna Arjun is most powerful warrior
Arjun was the Champion amongst all Champions.
Aisa koi Astr nahi tha Mahabharat k time jiska Nivaran Arjun ko na maloom ho. Arjun ko Jitna impossible tha. Arjun pure mahabhart mai har time 3 ya 4 yoddha se ek sath ladte they.
karn 1 saath 20 yodha se lada tha ismain kon si badi baat hai 🙂🙂
wo karn ka hi bhargarvastra tha jisse drona ashvathama kripa or arjun tak pehli baar dekh rahe thee
wo karn ka hi sarphmukhi astra tha jisse arjun samajh hi nahi paya kyunki usne aise astra dekhe hi nahi thee or sarphmukhi astra karn ne khud se banaya tha 🤧🤧
Karn was a great warrior but he was not able to use Brahmastra.He had also not pasupatrast and so many Divyastrs which Arjun had.
@@KuldeepSingh-99puri mahabharat m bhargav astra jaisa koi astra hi na tha 😂
@@KuldeepSingh-99 bhai kon sa serial dekh liye ye bolo ki karna har baar maar kha k bhaag jata tha😂😂😂
@@KuldeepSingh-99Karn ke Sarpmukhi baan se nhi balki Ashwasen se bachaya tha us baan par tha.
Nakul forcefully took duryodhana to his right side and defeated him great..We don't know it in tv Bhimsen many times defeated karna not only this day.Arjun to arjun hai 🙏Jai Sri Krishna.Har har Mahadev 🙏
Ramayan please
জয় শ্রীকৃষ্ণ হর হর মহাদেব
Arjun 🔥
Dronaacharya Ji ne hi kaha tha ki Arjun fir Arjun hai🙏🙏🙏🙏
1st comment ❤
Shakti or bhala me kya difference hota hai
Shakti or bhala k phek kar hee mara jaa sakta hey... difference bas ye hey kee shakti jaan leba damage deti thj
8:03 *" Sirastraan means Helmet , not Mukut.*
*Mukut means Crown.*
Arjuna 💪🏻 🔥
पहले नौ दिनोंके युद्ध के बारे मे बताईंये. भीष्म के पराक्रम के बारे सूनना है
Arjun ko ek Arjun award Dena chahiye 😂.
😂😂bilkul aur ek arjun mk1A battle tank gift me dena chayie
कृपया यह भी बताइए की महाभारत में जो लोग मरते थे रणभूमि में और इधर उधर रात हाथी घोड़े सब मर के गिरे रहते थे तो फिर उसे वैसा ही छोड़ दिया जाता था कि उसे फिर यहां से हटाया भी जाता था क्योंकि एक दिन वहां बहुत सारे लोग हाथी सैनिक अगर मर गए तो जग भर जाता होगा तो दूसरे दिन युद्ध करने में दिक्कत नहीं होती होगी
After bhishm death they stopped caring for dead body... because no one try to stop...
शुरू से ही भारत देश में लाशों को दफनाया जाता था, पितामह भीष्म को दफनाया गया था। और आधी लाशों को तो जंगली जानवर और गिद्ध खा जाते थे।
❤79th
Arjun is the Greatest Warrior's whole Mohavarat
पर मुझे पूर महाभारत को शुरू से देखना है जी
Yahan Pasupat astra ka jitne sahajta me varnan kiya gaya hai vah to utna sahaj nahi hai.
Mujhe bataye mahanubhav, arjun ke atirikt pasupat astra to kisi ke pas nahi tha fir kya ye koi dusra astra hai?
Aapko kya lagta hai
Kya hoga karn aur Bheem ke baad ke yudh mein
नमस्कार
Aap kon se Mahabharata kanuse krte h
Bori ce
Kmg
Geeta press
Ye fir koi aur???