यज्ञ व हवन में अन्तर क्या है \आचार्य हरिशंकर अग्निहोत्र \ HARI SHANKAR JI-01 \ARYA SAMAJ MISSION
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- Опубликовано: 26 авг 2024
- यज्ञ व हवन में अन्तर क्या है \आचार्य हरिशंकर अग्निहोत्र \ HARI SHANKAR JI \ARYA SAMAJ MISSION
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●आर्य समाज के नियम/ Principles of Arya Samaj●
1. सब सत्यविद्या और जो पदार्थ विद्या से जाने जाते हैं, उन सबका आदिमूल परमेश्वर है।
2. ईश्वर सच्चिदानन्दस्वरूप, निराकार, सर्वशक्तिमान, न्यायकारी, दयालु, अजन्मा, अनन्त, निर्विकार, अनादि, अनुपम, सर्वाधार, सर्वेश्वर, सर्वव्यापक, सर्वान्तर्यामी, अजर, अमर, अभय, नित्य, पवित्र और सृष्टिकर्ता है, उसी की उपासना करनी योग्य है।
3. वेद सब सत्यविद्याओं का पुस्तक है। वेद का पढ़ना-पढ़ाना और सुनना-सुनाना सब आर्यों का परम धर्म है।
4. सत्य के ग्रहण करने और असत्य को छोड़ने में सर्वदा उद्यत रहना चाहिए।
5. सब काम धर्मानुसार अर्थात सत्य और असत्य को विचार करके करने चाहिए।
6. संसार का उपकार करना इस समाज का मुख्य उद्देश्य है अर्थात शारीरिक, आत्मिक और सामाजिक उन्नति करना ।
7. सबसे प्रीतिपूर्वक धर्मानुसार यथायोग्य वर्तना चाहिए।
8. अविद्या का नाश और विद्या की वृद्धि करनी चाहिए।
9. प्रत्येक को अपनी ही उन्नति से संतुष्ट न रहना चाहिए किन्तु सबकी उन्नति में ही अपनी उन्नति समझनी चाहिए।
10. सब मनुष्यों को सामाजिक सर्वहितकारी नियम पालने में परतन्त्र रहना चाहिए और प्रत्येक हितकारी नियम में सब स्वतन्त्र रहें।
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ॐ राम ॥
Namaste acharya ji bhot hi sundar danyavad
ॐ नमस्ते जी
Bhut sundhr byakyan
🙏🏻🙏🏻
Om
Yathayogya Namaste 🙏 ji
🙏🌷🌷🙏
सादर नमस्ते जी ✅💥☀️🔥🚩🌺🙏🏼
Ati sundar parv achan . 🙏🙏
बहुत ही सुन्दर जानकारी आचार्य जी सादर नमस्ते 🙏🙏
धन्यवाद पूज्य आचार्य जी🙏🙏🙏
Saadar namaste
namsteji abhar
आचार्य जी की जय हो
Acharya ji sadar Naman 🙏🙏
आचार्य जी सादर 🙏 बहुत सुंदर संदेश
जो कर्म किसी मानव के लिए कर्तव्य हो सकते हैं
वे सभी कर्म उस मानव के द्वारा कर्तव्य भाव से करने पर यज्ञ हो जाते हैं ।
प्रणाम आचार्य जी🙏🏻🙏🏻
प्रणाम आचार्य जी 🙏🕉️
बहुत सुंदर आचार्य जी 🙏💐
ओ३म नमस्ते जी
OM
कर्तव्य भाव से किये जा सकने वाले सभी हवन उस कर्ता के लिए यज्ञ हो जाते हैं किन्तु सभी यज्ञ हवन नहीं होते ।
🙏👌👌
Very good your video 🙏🏼🙏🏼🙏🏼🙏🏼
आचार्य जी उत्तमविचारों के लिए धन्यवाद
यज्ञ के विषय में आपकी चर्चा अच्छी रही किन्तु हवन के बारे में आपने कुछ भी नहीं बताया।
अगला भाग आज देख लेना
23:50
आचार्य जी सादर नमस्ते
अगर विडियो पूरा देखने को मिलता तो ओर भी ज्यादा ज्ञान प्राप्त होता मेरा विनम्र निवेदन है कि कृप्या विडियो पूरा उपलब्ध करवाने का कष्ट करें। आपका बहुत बहुत आभार 🙏🕉️🙏
Nchiketa ka pura byakyan hrishnkar agnhotee ki abaj me aplod kijiye
आचार्य जी नमस्ते बहुत सुन्दर उदबोधन
Namaste Guruji jin log Arya Samaj ka Dharm Lete Hain To unko Koi Diksha vagaira lene ki jarurat hoti hai kya
I AM NOT HIGHLY EDUCATED IN THE SCRIPTURES BUT I FEEL BY THE PERFORMANCE OF THE AGNIHOTRA IS LIKE MAKING AN URGENT PHONE CALL TO GOD ALMIGHTY.
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अर्थात दैनिक यज्ञ 5 हैं। उन में से हवन को अग्नि होत्र कहते हैं
यज्ञ 5हैं।हवन अग्नि होत्र है।
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पंच महायज्ञ