Hindu DharmGuru VS Sant Rampal Ji Maharaj | क्या श्री कृष्ण जी भगवान है ? |

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  • Опубликовано: 12 сен 2024
  • Hindu DharmGuru VS Sant Rampal Ji Maharaj | क्या श्री कृष्ण जी भगवान है ?
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Комментарии • 113

  • @SantoshKumar-cy2ym
    @SantoshKumar-cy2ym 7 месяцев назад +17

    गीताजी अध्याय 2 श्लोक 17 में कहा गया है कि अविनाशी तो उस परमात्मा को जानो जिस का नाश करने में कोई समर्थ नहीं है।

  • @Kabir_TV
    @Kabir_TV 7 месяцев назад +11

    Great information

  • @kabirisgod9746
    @kabirisgod9746 7 месяцев назад +24

    सच्चाई को स्वीकार करें। लोकवेद को त्यागें।

  • @ramcharanjiramcharanji990
    @ramcharanjiramcharanji990 7 месяцев назад +7

    हमें शास्त्रों के अनुसार भक्ति करनी चाहिए।

  • @Bittuonlyjskak
    @Bittuonlyjskak 7 месяцев назад +6

    True spiritual knowledge

  • @user-jh6xp2xk3y
    @user-jh6xp2xk3y 7 месяцев назад +8

    Superb

  • @gurvindergill7292
    @gurvindergill7292 7 месяцев назад +11

    Super

  • @hasmukhpurohit3960
    @hasmukhpurohit3960 7 месяцев назад +7

    Great knowledge

  • @YeshDas-wq3gc
    @YeshDas-wq3gc 7 месяцев назад +6

    गीता अध्याय 15 श्लोक 4 में कहा है कि तत्वदर्शी सन्त से तत्वज्ञान प्राप्त करके, उस तत्वज्ञान से अज्ञान का नाश करके, उसके पश्चात् परमेश्वर के उस परमपद की खोज करनी चाहिए। जहाँ जाने के पश्चात् साधक फिर लौटकर संसार में कभी नहीं आता।

  • @schoolstudy9231
    @schoolstudy9231 7 месяцев назад +39

    वीडियो का प्रारंभिक पार्ट देखने से लग रहा हे ये वीडियो अच्छे निष्कर्ष पर पहुंचने वाला हे, पूर्वाग्रह त्यागकर वीडियो पूरा देखना चाहिए

  • @simrangupta3980
    @simrangupta3980 7 месяцев назад +3

    True spiritual knowledge ❤

  • @godgyanlife
    @godgyanlife 7 месяцев назад +5

    True information 🔥

  • @arunawadibhasme3606
    @arunawadibhasme3606 7 месяцев назад +7

    सातभक्ती करने से लाभ प्राप्त होते है

  • @namaste-dv6ix
    @namaste-dv6ix 7 месяцев назад +5

    Super 🤩🤩

  • @borshatdasdas725
    @borshatdasdas725 7 месяцев назад +4

  • @user-ng9mg4ht7c
    @user-ng9mg4ht7c 7 месяцев назад +8

    🍀 हम हिंदुओं को आज तक ये बताया जाता रहा कि परमात्मा निराकार है वो दिखाई नहीं देता। जबकि ऋग्वेद मण्डल न 9 सूक्त 82 मंत्र 1 में साफ लिखा है कि परमात्मा राजा के समान दर्शनीय है और ऊपर के लोक में विराजमान है। इससे स्पष्ट है भगवान निराकार नहीं साकार है।

  • @SatsahebKitchen
    @SatsahebKitchen 7 месяцев назад +5

    अद्भुत

  • @Satish_kumar_Life_Coach
    @Satish_kumar_Life_Coach 7 месяцев назад +6

    सत्य भक्ति से मुक्ति होगा

  • @samarendubandyopadhyay9281
    @samarendubandyopadhyay9281 7 месяцев назад +4

    Excellent Sprichual Knowledge & Video

  • @NEWSMV8.0
    @NEWSMV8.0 7 месяцев назад +16

    सतभक्ति करने से उजड़ा परिवार भी बस जाता है और पूरा परिवार सुख का जीवन जीता है। जीवन का सफर आसानी से तय हो जाता है क्योंकि जीवन का मार्ग साफ हो जाता है।

  • @user-vo8sg1rf3c
    @user-vo8sg1rf3c 7 месяцев назад +2

    Authentic Information

  • @pikubala
    @pikubala 7 месяцев назад +2

    Malik ki gyan sunne ke liye dil tarasta Hein ❤ Satgurudev Ki Jay

  • @TaraDasi-pe2di
    @TaraDasi-pe2di 7 месяцев назад +4

    श्राद्ध क्रिया कर्म मनमाना आचरण है यह शास्त्रों में अविद्या कहा गया है बल्कि गीता अध्याय 16 श्लोज 23 और 24 में कहा है कि जो शास्त्र विधि को त्याग कर मनमाना आचरण करते हैं उनकी ना तो गति होती है न ही उन्हें किसी प्रकार का आध्यात्मिक लाभ प्राप्त होता है इसलिए शास्त्र ही प्रमाण है।

  • @rashmisainisaini117
    @rashmisainisaini117 7 месяцев назад +3

    Sachai ko swikar karne se koi chota nahi ho jata hai

  • @RDASP.MEDIA.
    @RDASP.MEDIA. 7 месяцев назад +3

  • @jagannathmunda6996
    @jagannathmunda6996 7 месяцев назад +2

    श्री विष्णु पुराण के तीसरे अंश में अध्याय 15 श्लोक 55-56 पृष्ठ 153 पर लिखा है कि श्राद्ध के भोज में यदि एक योगी यानी शास्त्रोक्त साधक को भोजन करवाया जाए तो श्राद्ध में आए हजार ब्राह्मणों तथा यजमान के पूरे परिवार सहित सर्व पितरों का उद्धार कर देता

  • @InduHonalwad
    @InduHonalwad 13 дней назад

    Sat Saheb

  • @aamodyadav6850
    @aamodyadav6850 7 месяцев назад +2

    True Information

  • @AjayKumar-fq6fu
    @AjayKumar-fq6fu 7 месяцев назад

    जिन बातन से गुरु दुःख पावै। तिन बातनको दूर बहावै।।
    अष्ट अंग से दंडवत प्रणामा। संध्या प्रात करै निष्कामा।।(

  • @veenagupta6295
    @veenagupta6295 7 месяцев назад

    यह वीडियो बहुत अच्छी है।
    लगता है इसे जरूर देखना चाहिये

  • @tapankumardey1474
    @tapankumardey1474 7 месяцев назад

    श्री कृष्ण ही पूर्ण पुरषोत्तम भगवान है

  • @Vandanabaghel8207
    @Vandanabaghel8207 7 месяцев назад

    True supiritul knowledge by saint Rampal Ji Maharaj

  • @KabirissuprimGod
    @KabirissuprimGod 7 месяцев назад +1

    ❤❤❤

  • @NivAvya
    @NivAvya 7 месяцев назад +2

    ઓહ્

  • @amarsinghyadav5940
    @amarsinghyadav5940 7 месяцев назад

    गीता अध्याय 18 श्लोक 62 में कहा है तथा गीता अध्याय 15 श्लोक 4 में कहा है कि तत्वदर्शी सन्त से तत्वज्ञान प्राप्त करके, उस तत्वज्ञान से अज्ञान का नाश करके, उसके पश्चात् परमेश्वर के उस परमपद की खोज करनी चाहिए। जहाँ जाने के पश्चात् साधक फिर लौटकर संसार में कभी नहीं आता।

  • @Diwakar9995jk
    @Diwakar9995jk 4 месяца назад

    यह वीडियो हमारे समाज के लिए बहुत अच्छा है

  • @RukmaniTripathi-n1f
    @RukmaniTripathi-n1f 7 месяцев назад

    बेद,पढैं पर भेद ना जानें, बांचे पुराण अठारा, पत्थर की पुजा करें,भूले सिर्ज़नहारा। हमें शास्त्रों के अनुसार भक्ति करनी चाहिए।👏👏

  • @SamRakrsh
    @SamRakrsh 7 месяцев назад +1

    Yas

  • @Official_ds_022
    @Official_ds_022 7 месяцев назад +2

    Automatic knowledge

  • @user-bn1pp8ru6r
    @user-bn1pp8ru6r 7 месяцев назад

    शास्त्रों के अनुकूल भक्ति करने से ही मोक्ष मार्ग प्राप्त होगा।

  • @user-ob5pf5zz8f
    @user-ob5pf5zz8f 7 месяцев назад +3

    Great knowledge ❤❤

  • @user-jh6xp2xk3y
    @user-jh6xp2xk3y 7 месяцев назад

    ग्रेट knowledge

  • @sandeepchoudhary10
    @sandeepchoudhary10 7 месяцев назад

    Greatest Spiritual Debates

  • @aryangaming2508
    @aryangaming2508 7 месяцев назад

    सतभकित करने से उजड़ा परिवार बस जाता है और पूरा परिवार सुख का जीवन जीता है

  • @banvariyadav9570
    @banvariyadav9570 7 месяцев назад +1

    संत रामपाल जी महाराज का सच्चा ज्ञान है जो शास्त्रों के आधार पर आधारित है ।

  • @gatulalmanat6586
    @gatulalmanat6586 7 месяцев назад

    गीता अध्याय 18 श्लोक 62 में कहा है कि हे भारत! तू सर्वभाव से उस परमेश्वर की शरण में जा, उसकी कृपा से ही तू परमशांति को तथा सनातन परम धाम यानि सत्यलोक को प्राप्त होगा। जो 16 शंख कोस दूर है।

  • @user-ug7zo3tx7o
    @user-ug7zo3tx7o 7 месяцев назад

    अगर कृष्ण भगवान ही पूर्ण परमात्मा है तो फिर गीता में तीन प्रभु का जिक्रक्यू है।

  • @VedPrakash-rp6yg
    @VedPrakash-rp6yg 7 месяцев назад

    सतभक्ति करने से इस दुःखों के घर संसार से पार होकर वह परम शान्ति तथा शाश्वत स्थान (सनातन परम धाम) प्राप्त हो जाता है (जिसके विषय में गीता अध्याय 18 श्लोक 62 में कहा है) जहाँ जाने के पश्चात् साधक फिर लौटकर संसार में कभी नहीं आता।

  • @savajram5224
    @savajram5224 7 месяцев назад

    साधू भूखा भाव का, । धन का भूखा ना जे कोई धन का भूखा हो, वो साधू भी कोन्या ।।

  • @PappuKumar-rh1pf
    @PappuKumar-rh1pf 7 месяцев назад

    Shri Krishna bhagwan purn Parmatma hai

  • @pyarelal1875
    @pyarelal1875 7 месяцев назад

    गुरुवा गांव बिगड़े संतो गुरुवा गांव बिगाड़े ऐसे कर्म जीव के लगा दिये ईब झड़े ना झाड़े

  • @Manavjain5569
    @Manavjain5569 7 месяцев назад +1

    बेद पढ़ैं पर भेद ना जानें, बांचें पुराण अठारा।
    पत्थर की पूजा करें, भूले सिरजनहारा।।

  • @shivharsh2406
    @shivharsh2406 7 месяцев назад

    वेद पढ़े पर भेद न जाने पाचे पुराण आठरहा पत्थर की पूजा करे भूल गये सिरजन हरा ❤❤❤❤😂😂😂

  • @narendrasoni2416
    @narendrasoni2416 7 месяцев назад +2

    बहुत ही अच्छी व सटीक जानकारी

  • @dushyantpatel4480
    @dushyantpatel4480 18 дней назад

    Factual video

  • @omprakashdevdas6960
    @omprakashdevdas6960 7 месяцев назад

    हमारे धर्म शास्त्र ही प्रमाणीत करेंगे की कौन पूर्ण परमात्मा हैं सक्ति तो सभी भगवानों मैं हैं जिसमे परम शक्ति हैं वहीं पूर्ण परमात्मा हैं

  • @SonuJadoan-re3wi
    @SonuJadoan-re3wi 7 месяцев назад

    मार्कण्डेय पुराण (गीता प्रेस गोरखपुर से प्रकाशित पृष्ठ 237) में श्राद्ध के विषय मे एक कथा का वर्णन मिलता है जिसमें रूची नामक एक ऋषि को अपने चार पूर्वज जो शास्त्र विरुद्ध साधना करके पितर बने हुए थे तथा कष्ट भोग रहे थे, दिखाई दिए। “पितरों ने कहा कि बेटा रूची हमारे श्राद्ध निकाल, हम दुःखी हो रहे हैं।" रूची ऋषि ने जवाब दिया की पित्रामहों वेद में कर्म काण्ड मार्ग (श्राद्ध, पिण्ड भरवाना आदि) को मूर्खों की साधना कहा है, अर्थात यह क्रिया व्यर्थ व शास्त्र विरुद्ध है।

  • @shripalyadav277
    @shripalyadav277 7 месяцев назад

    😮😮😮

  • @firetoppers8226
    @firetoppers8226 7 месяцев назад

    सच्चाई तोह है भाई साहब 🚩🚩🚩🚩

  • @awwwcute6156
    @awwwcute6156 7 месяцев назад

    Sahi baat h

  • @pritam-cp7pj
    @pritam-cp7pj 7 месяцев назад

    Baat to shi hai

  • @DevendraRegar9999
    @DevendraRegar9999 7 месяцев назад

    ❤❤❤🎉🎉

  • @kishanlalkeer4908
    @kishanlalkeer4908 7 месяцев назад

    very nice

  • @BanniGurjar-uq4mg
    @BanniGurjar-uq4mg 7 месяцев назад

    के पश्चात् की गई सर्व क्रियाऐं मोक्ष कराने के उद्देश्य से की जाती हैं। ज्ञानहीन गुरु अन्त में कौवा बनवाकर छोड़ते हैं। वह जीव तो प्रेत शिला पर प्रेत योनि भोग रहा होता है। पीछे से गुरू और कौवा मौज से भोजन कर रहे होते हैं।
    Sant Rampal Ji Maharaj

  • @SUNITADevi-qx1pk
    @SUNITADevi-qx1pk 7 месяцев назад

    श्राद्ध करने वाले पुरोहित कहते हैं कि श्राद्ध करने से वह जीव एक वर्ष तक तृप्त हो जाता है। फिर एक वर्ष में श्राद्ध फिर करना है। विचार करें:- जीवित व्यक्ति दिन में तीन बार भोजन करता था। अब एक दिन भोजन करने से एक वर्ष तक कैसे तृप्त हो सकता है? यदि प्रतिदिन छत पर भोजन रखा जाए तो वह कौवा प्रतिदिन ही भोजन खाएगा।
    #श्राद्ध_करने_की_श्रेष्ठ_विधि
    Sant Rampal Ji Maharaj

  • @VinayKumar-hx7ur
    @VinayKumar-hx7ur 7 месяцев назад

    Wow! 😮 Something interesting

  • @rajbhupendra7520
    @rajbhupendra7520 7 месяцев назад

    Okk😊

  • @satishthankssirjivi7825
    @satishthankssirjivi7825 7 месяцев назад

    भक्ति नहीं करने वाले व शास्त्रविरुद्ध भक्ति करने वाले, नकली गुरु बनाने वाले एवं पाप अपराध करने वालों को मृत्यु पश्चात्‌ यमदूत घसीटकर ले जाते हैं और नरक में भयंकर यातनाएं देते हैं। तत्पश्चात् 84 लाख कष्टदायक योनियों में जन्म मिलता है।

  • @VinodDash-eb5wt
    @VinodDash-eb5wt 6 месяцев назад

    🔅सतभक्ति करने वाले की पूर्ण परमात्मा आयु बढ़ा सकता है और कोई भी रोग को नष्ट कर सकता है।
    - ऋग्वेद मण्डल 10 सुक्त 161 मंत्र 2, 5, सुक्त 162 मंत्र 5, सुक्त 163 मंत्र 1 - 3

  • @user-wd1el5bc1u
    @user-wd1el5bc1u 7 месяцев назад

    🎈गीता शास्त्र में पित्तर व भूत पूजा, देवताओं की पूजा निषेध कही है।-
    व्रत करना व्यर्थ कहा है। कर्म सन्यास गलत कहा है। कर्म करते-करते भक्ति करना उत्तम बताया है।
    प्रमाण:- गीता अध्याय 9 श्लोक 25, गीता अध्याय 7 श्लोक 12-15, 20-23, गीता अध्याय 6 श्लोक 16, गीता अध्याय 5 श्लोक 2-6, गीता अध्याय 3 श्लोक 4-9 में।

  • @ritikarani5113
    @ritikarani5113 7 месяцев назад

    सच्चाई को स्वीकार करें लोकवेद को त्यागें।

  • @rajkumarmaunidas428
    @rajkumarmaunidas428 Месяц назад

    #प्रभु_प्राप्त_संतों_से_रूबरू
    Supreme God Kabir

  • @RKTvSATLOK
    @RKTvSATLOK 7 месяцев назад

    श्राद्ध करने वाले पुरोहित कहते हैं कि श्राद्ध करने से वह जीव एक वर्ष तक तृप्त हो जाता है। फिर एक वर्ष में श्राद्ध फिर करना है। विचार करें:- जीवित व्यक्ति दिन में तीन बार भोजन करता था। अब एक दिन भोजन करने से एक वर्ष तक कैसे तृप्त हो सकता है? यदि प्रतिदिन छत पर भोजन रखा जाए तो वह कौवा प्रतिदिन ही भोजन खाएगा।

  • @sureshpatel8067
    @sureshpatel8067 7 месяцев назад

    ये तन विष के बेलड़ी गुरू अमृत के खान
    शीश दिए जो गुरु मिले तो भी सस्ता जान।।

  • @domarsahu6604
    @domarsahu6604 Месяц назад

    कृष्ण भगवान चार भुजा के मालिक हैं इसके पिता हजार भुजा के मालिक हैं जबकि असंख्य भुजा के मालिक सच्चिदानंद घन परमात्मा कबीर बंदीछोर है जो शास्वत सनातन परमधाम में रहते हैं।

  • @TinaPajapat
    @TinaPajapat 7 месяцев назад

    Hamen shastron ke anusar bhakti Karni chahie

  • @gdsharma9898
    @gdsharma9898 Месяц назад

    द्वापर युग (भगवान् कृष्ण) से पहले कौन भगवान् था। उआ-बाई /सच्चा ज्ञान समझ आ रहा है।

  • @seemapun4780
    @seemapun4780 7 месяцев назад

    सच्चाई को स्वीकार करें।लोक वेद को त्यागो।

  • @pranavbishwas
    @pranavbishwas 7 месяцев назад

    मौला वाठे मग में हंसा चून चून के खाय जोत सवरपि निरानजन वाले में करता भाई धन्यवाद

  • @dalipkumar4253
    @dalipkumar4253 6 месяцев назад

    गीता अध्याय 16 श्लोक 23 में गीता बोलने वाले काल ब्रह्म ने कहा है कि मनमुखी साधना बिलकुल भी लाभदायक नहीं हैं।
    गीता अध्याय 16 श्लोक 23
    यः, शास्त्रविधिम्, उत्सृज्य, वर्तते, कामकारतः, न, सः, सिद्धिम्, अवाप्नोति, न, सुखम्, न, पराम्, गतिम् ॥
    जो साधक शास्त्रविधि को त्यागकर अपनी इच्छा से मनमाना आचरण करता है वह न सिद्धि को प्राप्त होता है न उसे कोई सुख प्राप्त होता है, न उसकी गति यानि मुक्ति होती है अर्थात् शास्त्र के विपरीत भक्ति करना व्यर्थ है।

  • @chhandanadbardhan7575
    @chhandanadbardhan7575 7 месяцев назад

    সন্ত রাম্পালজি মহারাজ সকল ধর্মগ্রন্থে প্রমান দেখিয়েছেন যে কবীর সাহেব হলেন পূর্ণ পরমাত্মা।

    • @KhkjlhJsksks-yk4ff
      @KhkjlhJsksks-yk4ff 6 месяцев назад

      Itna true h to original geeta Kyu n bechta 😂

  • @user-kh9rb9zn9o
    @user-kh9rb9zn9o 7 месяцев назад

    Sat guru purn brmh Kabir permeswar ही ha

  • @nileshsangale8553
    @nileshsangale8553 7 месяцев назад

    शिक्षित समाज को ये वीडियो देखना जरुरी है, सच ओर झुट की परख करनी चाईये इससे हम सच्चे ग्यान से परिचित हो जायेगे।

  • @SudhirKumar-hc8ot
    @SudhirKumar-hc8ot 7 месяцев назад

    Anjani guruon se savdhan Jo Shastra viruddh Sadhna kar aur karva rahe hain

  • @surendra.4618
    @surendra.4618 7 месяцев назад

    जबकि संत रामपाल जी महाराज ने वेदों से यह सिद्ध किया है कि पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब हैं और वे साधक के घोर से घोर पाप का भी नाश कर देते हैं। (यजुर्वेद अध्याय 8 मंत्र 13 व अध्याय 5 मंत्र 32)

  • @user-wg8th2nr3y
    @user-wg8th2nr3y 7 месяцев назад

    वेद पढ़े पर भेद ना जाने बातें पूराण अठारह
    पत्थर की पूजा करते भूल गये सिरजनहार

  • @user-vw4hu8tp3t
    @user-vw4hu8tp3t 7 месяцев назад

    Kabir hi purn Parmatma hai are Pavitra Ved Shastra mein pramanit hai

  • @sunainakushwaha-w6q
    @sunainakushwaha-w6q 7 месяцев назад

    Kabir hi puri duniya ke bhagvan h

  • @Sarita.333singh
    @Sarita.333singh 6 месяцев назад

    सच्चाई को स्वीकार करें

  • @mukeshchowrasia2364
    @mukeshchowrasia2364 7 месяцев назад

    ESI tarah debate karne se saty gayan samne aa jayega

  • @PappuKumar-rh1pf
    @PappuKumar-rh1pf 7 месяцев назад

    Ek Brahmand Mein 14 lok.hote.hai

  • @teenalava5159
    @teenalava5159 7 месяцев назад

    Vedo me praman he kabir saheb bhgwan he

  • @SamRakrsh
    @SamRakrsh 7 месяцев назад +1

    बॉय cat

  • @rajkushwaha6876
    @rajkushwaha6876 7 месяцев назад

    हमारे हिन्दू धर्म ने अपने पवित्र ग्रंथों गीता, चारों वेदों, महाभारत तथा अठारह पुराणों को नहीं समझा।
    कृपया गीता अध्याय 8 श्लोक 16 का मेरा सच्चा अनुवाद पढ़ें:
    हे अर्जुन! (अब्रह्मभुवनत्) ब्रह्मलोक तक के सभी लोक (पुनरावतीर्नः) पुनरावृत्ति में हैं, अर्थात् वे जहाँ भी जाते हैं, उन्हें पुनः लोक में आना पड़ता है। (आप) परन्तु (कौन्तेय!) हे कुन्तीपुत्र! (न विद्यते) जो यह नहीं जानते (माम् उपेतय) यद्यपि उन्होंने मुझे प्राप्त कर लिया है
    (पुनर्जन्म) पुनर्जन्म होता है। भावार्थ है कि जो यह नहीं जानते कि ब्रह्मलोक में जाकर भी वापिस आना पड़ता है, वे मेरी भक्ति करके मुझे प्राप्त होकर भी जन्म-मरण के चक्र में रह जाते हैं।

  • @rksoni5978
    @rksoni5978 7 месяцев назад

    अज्ञानी गुरुओं के अनुसार मृत्यु के पश्चात सर्व कर्मकांड, आत्मा की गति (मोक्ष) के लिए किए जाते हैं। लेकिन फिर पितृ पक्ष में कहते हैं कि आपके पूर्वज कौवा बन गए हैं, भोजन करवाकर उनको तृप्त करो। इस तरह ये मूर्ख बनाकर समाज की दुर्गति किये हुए हैं।

  • @user-cb5dd5tr8g
    @user-cb5dd5tr8g 7 месяцев назад

    Sacchai ko Mane lok bedh ke tyage

  • @jyotirathor4840
    @jyotirathor4840 7 месяцев назад

    In guruo ne jhoth ke alava kuchh nhi bola , sari man mukhi baate

  • @PappuKumar-rh1pf
    @PappuKumar-rh1pf 7 месяцев назад

    Kabir Das Bhagat hai

  • @ArvindKumar-ck6ik
    @ArvindKumar-ck6ik 7 месяцев назад

    अज्ञान का पर्दफ़ास

  • @SunilKumar-pn9qz
    @SunilKumar-pn9qz 7 месяцев назад

    ab prman aap ke samne hae dekho or fesla karo kon saccha kon jhuthe