Ek baat bolu editor saahab jinhone bhi video edit kari ha) acharya Prashant ki baat ma bhot dum ha to kirpa karke logo ki shakle na dikhaye aap dikhana kya chahate ho viewers khush ho jaayegnge ye sab man made fake advertisement psychology ha jise sprituality ma intrest hoga wahi sunega ab aap ye mat kehana ki mera dhyan hi udhar ku gya ...kuki ma khud hi lekar gya hu. Isliye bol ra hu baki acharya Prashant sir ki jay ho ......
मैं अंबेडकरवादी हूं,,आदिवासी हूं,......मैं आचार्य जी से बेहद प्रभावित हूं।.......आपने एकदम सरल समझाया।आचार्य जी को सादर प्रणाम ..........मैं कुछ कठिन तरीके से बता रहा हूं।सत्य आधारित ,,लोक कल्याणकारी , सम्यक दृष्टि,सम्यक संकल्प,सम्यक वचन,,सम्यक कर्म,,सम्यक आजीविका, सम्यक व्यायाम, सम्यक स्मृति, सम्यक समाधि, .......को ही सही पूजा समझना चाहिए।।।।
इस वीडियो का 12वां मिनट स्पष्ट करता है कि धर्म की दुर्दशा और उसके सही अर्थ को भ्रष्ट कर देने में हमारी कितनी बड़ी भूमिका रही है। जबर्दस्त सटीक विश्लेषण है आचार्य जी का 🙏
धर्म को समझाना आसान भी और मुस्किल भी; ये आपकी समझ पर निर्भर करता है ; कही झूठ बोलना अधर्म होता है; और कही झूठ बोलना धर्म बन जाता है; कही सयता बोलना धर्म है तो कही सत्य बोलना अधर्म भी बन जाता है ; ये समझ की किसी के हित में कभी कभी आपको झूठ भी बोलना पढ़ सकता है; और कहीं कहीं किसी के हित में आपको सत्य भी छिपाना पढ़ सकता है; धर्म हो सकता है; धर्म जिनता जटिल है उतना ही सरल भी है #insearchtruthoflife
अधिकतर लोग पूजा पाठ संसार की वस्तुओं को पाने के लिए ही करते हैं। बहुत कम होंगे जो भगवान पाने के लिए पूजा पाठ करते हैं। शत् शत् नमन गुरु जी।सोलों रक्षा कवच पढ़ने के बाद भी मन से डर नहीं जा रहा था।आपकी 'डर'पुस्तक पढ़ने के बाद डर चला गया।
I am so glad that for the first time, I am hearing the truth and everything that I already faced and become non believer. This person will bring revolution to revive our believes and Hinduism.
धयवाद आचार्य जी !! यह सब बातें हम भली भान्ति यह जानते भी हैं और समझते भी हैं पर मानना नहीं चाहते। गुरु जी हमारी चेतना को जागृत करने के लिए आप जैसे ही धर्म गुरु चाहिये।
आज कल ज्यादातर लोग धर्म को तो जानते नहीं और धर्म की आड़ में अधार्मिक कार्य कर रहे हैं,और ऊपर से अज्ञान का अहंकार और।😔😔 स्पष्टीकरण के लिए धन्यवाद आचार्य जी 🙏🙏👍👍
आज आप जैसे गुरुओं की सख्त जरूरत है , गुरूजी, ताकि आने वाली पीढ़ी को , ये सही पता हो कि बीमारी कहाँ है , और हम किसको ठीक करने में लगे हैं , और दोनों में क्या रिश्ता है असली बीमारी के लिए तो नकली इलाज , और नकली बीमारी के लिए असली इलाज , इसी से मनुष्य रुग्ण हो रहा है , आपका ये हवन कुण्ड का दान हमें , यज्ञ बनायेगा धन्यवाद गुरूजी , चरण स्पर्श
खुद से भागना और उद्देश्य पूर्ण काम करना ही नही जीवन मे भटकाव आ जाता है आपने यही समझाया कि पहले खुद मे मूल समझ ही डेवलप करना है थैक्यु गुरुजी अब मुझे राई के दाने बराबर समझ आइ
सबसे पहले तो प्रश्नकर्ता को धन्येवाद बहुत अच्छा प्रश्न किया है ! मैं तो पूजा पाठ नही करती हूं अधिकतर समय आचर्य जी की वीडियो को सुनने मे जाता हैं ! इस बात पर कोई संदेह नही है कि जो शांति आचार्य जी के प्रवचनों में है वो कहि नही है !
Mera bhi manna hai ki aapka vichar achha hona chahiye agar puja path se kuchh hota hai to aaj kolkata me rape nhi hota Kolkata me to puja hi puja hota hai Abhi tak jinhe bhi gyan ki prapti hui hai unhone dhayan se hi kiya hai..... Mujhe bhagavan par visavah hai lekin puja path par nhi 🧡🧡🧡
अगर घंटी हिलाने से पाप धुल जाते हैं, तो मैं, 'पापी' ही सही। किसी लड़की का रेप करके, दिन के 10 घंटे पूजा करने से अच्छा मैं किसी लड़की की इज्जत बचा कर नास्तिक ही बना रहना बेहतर समझूंगा। धर्म और ढोंग में अंतर होता है। अगर घंटी हिलाने से पाप कटते, तो रावण से कभी श्रीराम नहीं जीत पाते। अगर घंटी हिलाने से पाप कटते, तो महाभारत का युद्ध होने की जगह कौरव-पांडव अलग-अलग मंदिरों में, यज्ञ करा रहे होते। मेरे लिए ये सब-कुछ, किसी ढोंग से बढ़ कर कुछ भी नहीं। अगर मैनें कुछ गलत किया है तो मुझे इसका दंड जरूर मिलना चाहिए और अगर कुछ भला किया है, तो उसका भी फल मिलना मेरा हक है। बाकी किसी ढोंगी को सिर्फ इसलिए उसके पाप कर्मो के फल में छूट मिलना न्याय विरुद्ध है, क्योंकि उसने जीवन के फला समय तक घंटी हिलाया। अगर ऐसा होता है, तो ये ईश्वरीय न्याय व्यवस्था में एक घूस मात्र है, जिसके माध्यम से आप अनगिनत पाप कर्म कर लो, पर क्योंकि आपने न्यायाधीश से रिस्तेदारी बनानी शुरू कर दी है, तो वो आपको कम सजा देगा, या फिर सजा से बाइज्जत बरी कर देगा। तो ये बिलकुल वैसी ही न्यायव्यवस्था हुई जिसको हम बचपन से आज तक गाली देते आ रहे हैं, सिर्फ उसमें लिप्त भ्रष्टाचार के कारण। अगर ईश्वरीय न्यायव्यवस्था में भी, भ्रष्टाचार की दुर्गंध आने लगे, तो लोगों का ईश्वर के ऊपर से आस्था बिलकुल समाप्त हो जायेगा और ये बिल्कुल भी अनुचित नहीं होगा। मेरे वक्तव्य से अगर आपको। ठेस पहुंचे तो माफी चाहूंगा पर मैं इसपर अडिग हूं।🙏
Rongate khade ho jate aankhon me pani aa jata hai jab Aap sabhi k comments padta hu Acharya ji k liye... Achha lagta hai jaankar hum log ab sahi disha me ja rhe hai Acharya ji se judne k baad zindagi ko jeena sikh rhe hai... Apka bahot bahot dhanyavaad Acharya ji hume sahi marg k bare me samjhane k liye hume....
आपसे अच्छा कोन है भला जो ऊँचाई की और ले जाये बहुत हद तक जीवन सुधर गया हैं आपके प्रवचनो से बहुत बहुत धन्येवाद आचर्य श्री ! पहले हम अपने अहंकार से ही निपटले इतना ही काफी हैं !
आचार्य जी नमस्कार प्रणाम! आपकी फटकार मुझे बहुत पसंद आती है जो बहुत सारगर्भित होती है ,आप बहुत ही गहराई से बात के मर्म को समझाते है ,मुझे ये समझ आया है कि जीवन ही यज्ञ है जिसमे सभी द्वंद्व आदि विकार की आहुति देते जाना है , स्वरूप(आत्मस्वरुप) को पाने या आत्मस्थ होने के पथाग्नी (मार्ग) मे ,राग द्वेष आदि विकारों की आहुति देते जाना है स्वाहा करते जाना ,तब जो यज्ञ होगा वह निश्चित ही कल्याणकारी होगा ! बहुत बहुत धन्यवाद् आपका !
I'm 17 years old and I am the generation that acharya ji is talking about. Because I have seen my parents and grandparents doing all these things without any knowledge about this, so I've stopped doing this and they started calling me NASTIK. And Tereko Paap lagega etc.
what he says makes lot of sense.. In fact rarely anyone in this era is performing yagna/puja in true sense, they are just following a rituals & illogical custom set by preceeding generations. Such questions can't be fully answred as pooja-path is a big science whose results depends individual devotion and belief. Such topic can be better discussed in open discourse rather than a closed conversations like this. My deep regard to Acharya Prashant ji.
मेरा मानना है कि पूजा पाठ यज्ञ आदि करने वाला मनुष्य मैं साधना भाव किस लेबल पर है यही जरुरी है। ईश्वर को पाने के लिए यही एक मात्र रास्ता है। साधक का उद्देश्य कुछ और पाने का नहीं होना चाहिए। वह तो उस परमात्मा का स्मरण करते हुए पूजा पाठ यज्ञ आदि करता रहता है । उसका सिर्फ एक मकसद होता है परमात्मा को पाना है। बहुत से साधक अनपढ़ होने पर भी परमात्मा का नाम जपते रहते हैं उन्हें पूजा पाठ यज्ञ करने का तनिक भी ज्ञान नहीं होता है। फिर भी वह पूजा पाठ यज्ञ करता रहता हैं। इसका मतलव यह कतई नहीं है कि उसने पूजा पाठ किया ही नहीं इसलिए उसे ईश्वर प्राप्ति नहीं होगी। परमात्मा को पाने के लिए अंतर भाव होना आवश्यक है। उसे कैसे करते हो यह मायने नहीं रखता है। किस भाव से करते हो यही मायने रखता है। इस ब्रह्माण्ड में किसी और के उपदेशों का कोई महित्व है भी , और , नहीं भी है। तथा महित्व यह है कि आपने ब्रम्हांड के बनाएं नीयम का किस प्रकार पालन किया है।और उस पर कितना अमल किया है। क्योंकि ज्ञानी कोई भी हो सकता है। जरुरी नहीं है कि वह पढ़ा लिखा हो,सुन्दर हो, ब्राम्हण हो । मैं समझता हूं ज्ञानी सभी है । और जिसने खुद को समझ लिया , खुद को वस मै कर लिया। तो यक़ीनन उसने सब कुछ पा लिया। उसने परमात्मा को पा लिया।
आचार्य जी ने बहुत अच्छा बोला मैं सहमत हूँ लेकिन उन लोगों की भ्रांतियां मिटाना चाहूँगा कि जिन्हें ये लगता है कि यज्ञ में केवल लकड़िया ही जलती,और ऐसे बहुत लोगो को मैं जानता हूं जो 24 घण्टे में एक बार भी परमात्मा का नाम तक भी नहीं लेते तो कम से कम पूजा पाठ से कुछ समय परमात्मा को याद कर लेते है।
Puja path is swarth me nhi krna chahiye ki mera ye kam ho jaaye ...puja path sammaan Dene ka ek tarika ho skta h mgr...swarth ki bhavna na ho.....Maine ajtk kbhi kuchh nhi maga bhagwan se....mai kyu maagn bhla...hawa h dhrti h jal issi se mai hu....bs yhi god h....mai kbhi kuchh nhi magti bhagwan se ...mai to baarish se bahut pyar krti hu...aur apse bhi sbse jyda....bahut jyda...mujhe to bs ap hi upar le ja rhe h. Aasamaan ki or jo aseemit h...door tk shanti shanti...mai khud ko Lucky manti hu jo apse mila diya parmatma ne...
भेड़ चाल संसार है आचार्य जी संसार की चाल को देखकर कबीर जी ने भी कहा है झूठा जग पतियाना साधो, सच कहूं तो मारण ध्यावे, झूठा जग पतियाना। आपका ज्ञान सच्चा और सटीक है।🙏🙏
गुरू देव के चरणों में कोटि कोटि प्रणाम करती हूं 🙏🙏 मै कविता अपनी पावन भूमि अयोध्या से 🙏🙏 मै अपनी जिंदगी से बहुत परेशान हूं गुरुवर क्या करूं 😭😭 आपकी बातें सुविचार सुन के मन को बहुत शांति मिलती हैं 🙏🙏
प्रचार और विनती. और अब इस जीवन में और इस जीवन के बाद भी खुशहाली के लिए शाकाहारी और धार्मिक बने हर हर महादेव जय श्री राम जय श्री कृष्ण जय गणेश देवा जय बजरंगबली जय मां दुर्गा जय मां काली कृपया प्रति दिन या अपने निश्चित समय पर पूजा अवश्य करें इस संदेश को यथासम्भव प्रचार करे
संस्था से संपर्क हेतु इस फॉर्म को भरें: acharyaprashant.org/enquiry?formid=209
उपनिषद और जीवन पर ऑनलाइन कोर्स: solutions.acharyaprashant.org
Pranam acharya ji
Mujhe aap k sanstha me aanaa hey...
Aap ke yahaa pe Kuch job mile to puri tarah se usko samarpit ho jaau...
Ek baat bolu editor saahab jinhone bhi video edit kari ha) acharya Prashant ki baat ma bhot dum ha to kirpa karke logo ki shakle na dikhaye aap dikhana kya chahate ho viewers khush ho jaayegnge ye sab man made fake advertisement psychology ha jise sprituality ma intrest hoga wahi sunega ab aap ye mat kehana ki mera dhyan hi udhar ku gya ...kuki ma khud hi lekar gya hu. Isliye bol ra hu baki acharya Prashant sir ki jay ho ......
Jay Grurdev
Why these joining buttons are so costly Acharya ji??
Your videos and messages are so clear then what is the benefit of joining?
मैं अंबेडकरवादी हूं,,आदिवासी हूं,......मैं आचार्य जी से बेहद प्रभावित हूं।.......आपने एकदम सरल समझाया।आचार्य जी को सादर प्रणाम ..........मैं कुछ कठिन तरीके से बता रहा हूं।सत्य आधारित ,,लोक कल्याणकारी , सम्यक दृष्टि,सम्यक संकल्प,सम्यक वचन,,सम्यक कर्म,,सम्यक आजीविका, सम्यक व्यायाम, सम्यक स्मृति, सम्यक समाधि, .......को ही सही पूजा समझना चाहिए।।।।
Johar🎉🎉❤❤❤
Me too
Same to u bhaai!
आप सही हो लेकिन आप अपने आप कo। किसी से तुलना करना सही नहीं ह
Jai bhim🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏 jai mulnivasi🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
इस वीडियो का 12वां मिनट स्पष्ट करता है कि धर्म की दुर्दशा और उसके सही अर्थ को भ्रष्ट कर देने में हमारी कितनी बड़ी भूमिका रही है। जबर्दस्त सटीक विश्लेषण है आचार्य जी का 🙏
धर्म को समझाना आसान भी और मुस्किल भी; ये आपकी समझ पर निर्भर करता है ; कही झूठ बोलना अधर्म होता है; और कही झूठ बोलना धर्म बन जाता है; कही सयता बोलना धर्म है तो कही सत्य बोलना अधर्म भी बन जाता है ; ये समझ की किसी के हित में कभी कभी आपको झूठ भी बोलना पढ़ सकता है; और कहीं कहीं किसी के हित में आपको सत्य भी छिपाना पढ़ सकता है; धर्म हो सकता है; धर्म जिनता जटिल है उतना ही सरल भी है #insearchtruthoflife
@@insearchtruthoflifesaty vachan
Thank
इतनी सच्ची और मार्मिक बात पहली बार सुन रही गुरूजी बहुत अच्छा लगता है! कोटी कोटी धन्यवाद आपका
सटीक निशाने पर तीर मारा है गुरूजी 💐💐
अगर भारतवर्ष में आप जैसे महात्मा हो, तो भारत में पाखंड का खंड -खंड होना तय है और ज्ञान का विकास अद्भुत होगा।
🙏🙏🙏
सही कहा आप ने भाई जी (जय भीम नमो बुद्धाय )
Yes
@@santoshprasad6395 Jai bheem kya hai bhai Mahabharat wala bheem kya ?
मान्यवर, आप जैसे लोग ही हम पाखंड से ग्रस्त पीढ़ी को धर्म नाम के जाल से मुक्त करके वास्तविक अदृश्य शक्ति की ओर अग्रसर कर सकें .... प्रणाम 🙏
Asli gyan jo sach mai Brahman unke pass hai jaise acarya ji .Brahman karma bachak jati bachak nehi
अधिकतर लोग पूजा पाठ संसार की वस्तुओं को पाने के लिए ही करते हैं। बहुत कम होंगे जो भगवान पाने के लिए पूजा पाठ करते हैं। शत् शत् नमन गुरु जी।सोलों रक्षा कवच पढ़ने के बाद भी मन से डर नहीं जा रहा था।आपकी 'डर'पुस्तक पढ़ने के बाद डर चला गया।
खुद को किसी ऐसी जगह पर झोंक दो,
जो तुम्हें उठा करके सीधा आसमान से मिला दे,
यह है यज्ञ का वास्तविक अर्थ।।
Right....
Dil me lagti hai na acharya Prashant jii ki bat
Right
Shahi bola apne sisters
Yes
जो भी लोग आचार्य प्रशांत जी से जुड़े है
वो सभी लोग जात पात की गंधी और झूठी प्रथा से मुक्त है यही बहुत बड़ी कामियाबी है सभी के लिए
4:28 बिल्कुल सही शब्द इस्तेमाल किया आपने अस्पतालों के लिए ।
भगवान स्वय नही आ सकते तो उन्होंने आप जैसे महापुरुष को इस जगत कल्याण के लिए धरती पर भेजा नमन है आपको आचार्य❤❤❤❤
Haa ab tu inko bhagwan bana do...inko insaan hi rahne de
Sir 30 years Puja path krne k bad vo khusi nhi mili jo apko sunne se milti hai...iam blessed..🙏🙏❤️
Yes you saying absolutely right
Exactly 💯
❤
same🙏
आपकी बात तर्क पर आधारित है इसलिए अनुकरणीय है
जीवन ही पूरा यज्ञ होना चाहिए ,आहुति स्वयं की देनी है और जो ज्वालाएं हैं उनका काम है आहुति का सबकुछ ऊपर पहुंचा देना ।
यह बात काफी हद तक ठीक है,कि आधुनिक युवा पीढ़ी धर्म और ईश्वर की ओर से निरंतर विमुख होती जा रही।।
unke galti ni ....unhone andh bhakti krte dekha h bado ko
स्वयं को श्री हरि के चरणों मै समर्पित कर दिया वही यज्ञ हैँ जो भी करो ओ केवल हरि चरणों मे 👏👏👏तेरा तुझको अर्पित क्या लगे मेरा 👏👏
Ek dam sahi bat. Jo bhi he woh hari ka hi hai 🙏🙏🙏
हर दिन एक नई चेतना एक नई दृष्टि मिलती है आचार्य श्री के वचनों के द्वारा 🙏🏻
मैं प्रतिदिन आपको सुनती हुं 🙏🏻आपको बहुत धन्यवाद आचार्य जी🪷
Very nice
हर चीज़ कामयाब हो सकती है बिल्कुल हो सकती है अगर आपको पता हो उसका इस्तेमाल आपको किस लिए करना है 🙏🙏🙏🙏
Ryt syd
Khud ko kisi aisi jagah jhokh do ko wo tumbhe asman tak pahuncha de..
Waht a line!! ❤👏🙌
बहुत सुंदर आचार्य जी क्या बात कही आपने.. खुद को किसी ऐसी जगह झोंक दो जो उठाकर सीधे आसमान में मिला दे.. यही है यज्ञ का असली मतलब
I am so glad that for the first time, I am hearing the truth and everything that I already faced and become non believer. This person will bring revolution to revive our believes and Hinduism.
धयवाद आचार्य जी !!
यह सब बातें हम भली भान्ति यह जानते भी हैं और समझते भी हैं पर मानना नहीं चाहते। गुरु जी हमारी चेतना को जागृत करने के लिए आप जैसे ही धर्म गुरु चाहिये।
आज कल ज्यादातर लोग धर्म को तो जानते नहीं और धर्म की आड़ में अधार्मिक कार्य कर रहे हैं,और ऊपर से अज्ञान का अहंकार और।😔😔
स्पष्टीकरण के लिए धन्यवाद आचार्य जी 🙏🙏👍👍
पूजा पाठ , मूर्ति पूजा - ये सिर्फ मध्यम है,
समझ कर किया जाए तो ये मुक्ति का मध्यम बन सकता है ।
नमन आचार्य जी 🙏
शरीर को अपना पड़ोसी मानो,और उससे जितना कम रिश्ता रख सको ,उतना कम रखो🙏🙏🙏
अरे मेरी जान भ्रम दूर हो जाता हैं आपकी टिप्पणी से
Mai Ek muslim hu acharya ji pr fir b apko sunti hu kyuki bat apki kadwi magar sach hoti h
🙏🙏
Very good
Tum ek jinda vyaktitva ho ...😊 Hindu Muslim nhi ho
आज आप जैसे गुरुओं की सख्त जरूरत है , गुरूजी, ताकि आने वाली पीढ़ी को , ये सही पता हो कि बीमारी कहाँ है , और हम किसको ठीक करने में लगे हैं , और दोनों में क्या रिश्ता है असली बीमारी के लिए तो नकली इलाज , और नकली बीमारी के लिए असली इलाज , इसी से मनुष्य रुग्ण हो रहा है , आपका ये हवन कुण्ड का दान हमें , यज्ञ बनायेगा धन्यवाद गुरूजी , चरण स्पर्श
अःहंम करिश्ये स्वाहा मै करुंगा ईसका ये अथॅ है बहोतही सही कहा आचार्य जी नै
खुद से भागना और उद्देश्य पूर्ण काम करना ही नही जीवन मे भटकाव आ जाता है आपने यही समझाया कि पहले खुद मे मूल समझ ही डेवलप करना है थैक्यु गुरुजी अब मुझे राई के दाने बराबर समझ आइ
सत्य ज्ञान दिए आप ने, सत सत नमन करता हूं।
खुद की गलती स्वीकारनी होगी और हर चीज जाननी और आगे बढ़ना है प्रथम कर्तव्य स्वभाव में जीना - आचार्य जी
सर्वोत्तम समाधान आचार्य जी
इंसान के मस्तिष्क के विचारों पर निर्भर है । गुरुदेव जी ने बिल्कुल सत्य व्याख्या की पूजा पाठ और यज्ञ की । सादर वन्दन❤
मानव जीवन को बचाने के लिए ही यह सब प्रक्रिया चल रहा है और चलता रहेगा .
सबसे पहले तो प्रश्नकर्ता को धन्येवाद बहुत अच्छा प्रश्न किया है ! मैं तो पूजा पाठ नही करती हूं अधिकतर समय आचर्य जी की वीडियो को सुनने मे जाता हैं ! इस बात पर कोई संदेह नही है कि जो शांति आचार्य जी के प्रवचनों में है वो कहि नही है !
मेरा मानना है आचार्य जी को सिर्फ मन को शांति पहोचाने के लिए नही सूनना चाहिए, हम सबको आचरण मे भी लाना होगा
आचार्य जी ने पूजा पाठ करने के लिए मना थोड़ी किया है उन्होंने सिर्फ यह बोला है कि जो करो उसे समझ कर करो
Mera bhi manna hai ki aapka vichar achha hona chahiye agar puja path se kuchh hota hai to aaj kolkata me rape nhi hota Kolkata me to puja hi puja hota hai
Abhi tak jinhe bhi gyan ki prapti hui hai unhone dhayan se hi kiya hai.....
Mujhe bhagavan par visavah hai lekin puja path par nhi 🧡🧡🧡
@@pradeepkumarsharma1666haa karungi jab geeta padh lungi kyunki mere man me bhut se prasn hai 🙏
Ek mahan guru ho aap.... Aapko pakar jiban dhanya ho gaya 🙏🙏🙏🙏🙏🙏
Acharyaji me Aaj badi khus ho gai apki speech se prabhavit ho gai apki Vani se😊
आपके कहने का तात्पर्य बिल्कुल सत्य है कोई भी कार्य करे उसका कारण हमको जरूर पता होना चाहिए
आपने यज्ञ का बहुत सही अर्थ बताया🙏🙏🙏🙏
आपके मुख से ही हमें ईश्वर शुभ संदेश दे रहे हैं|यही में सोचती हूं, आपका हर एक शब्द सच्चाई कि और ले जाता हैं |आपका बोहोत धन्यवाद!🙏🙏🙏🙏🌹🌹🌹🌹
मेरा पहला कर्तव्य है स्वभाव मे जीना।
लोग जागरूक हो जाएं इससे बड़ी और क्या बात हो सकती है...🙏🙏🪔🪔🪔
Ekdam nayi soch ke sath, pyari chetna ki badhane wali clip... thanks for sharing ❤
Pranam Aacharya ji
After listening since 15 days. Today, I have subscribed this channel.
अगर घंटी हिलाने से पाप धुल जाते हैं, तो मैं, 'पापी' ही सही। किसी लड़की का रेप करके, दिन के 10 घंटे पूजा करने से अच्छा मैं किसी लड़की की इज्जत बचा कर नास्तिक ही बना रहना बेहतर समझूंगा। धर्म और ढोंग में अंतर होता है। अगर घंटी हिलाने से पाप कटते, तो रावण से कभी श्रीराम नहीं जीत पाते। अगर घंटी हिलाने से पाप कटते, तो महाभारत का युद्ध होने की जगह कौरव-पांडव अलग-अलग मंदिरों में, यज्ञ करा रहे होते। मेरे लिए ये सब-कुछ, किसी ढोंग से बढ़ कर कुछ भी नहीं। अगर मैनें कुछ गलत किया है तो मुझे इसका दंड जरूर मिलना चाहिए और अगर कुछ भला किया है, तो उसका भी फल मिलना मेरा हक है। बाकी किसी ढोंगी को सिर्फ इसलिए उसके पाप कर्मो के फल में छूट मिलना न्याय विरुद्ध है, क्योंकि उसने जीवन के फला समय तक घंटी हिलाया। अगर ऐसा होता है, तो ये ईश्वरीय न्याय व्यवस्था में एक घूस मात्र है, जिसके माध्यम से आप अनगिनत पाप कर्म कर लो, पर क्योंकि आपने न्यायाधीश से रिस्तेदारी बनानी शुरू कर दी है, तो वो आपको कम सजा देगा, या फिर सजा से बाइज्जत बरी कर देगा। तो ये बिलकुल वैसी ही न्यायव्यवस्था हुई जिसको हम बचपन से आज तक गाली देते आ रहे हैं, सिर्फ उसमें लिप्त भ्रष्टाचार के कारण। अगर ईश्वरीय न्यायव्यवस्था में भी, भ्रष्टाचार की दुर्गंध आने लगे, तो लोगों का ईश्वर के ऊपर से आस्था बिलकुल समाप्त हो जायेगा और ये बिल्कुल भी अनुचित नहीं होगा। मेरे वक्तव्य से अगर आपको। ठेस पहुंचे तो माफी चाहूंगा पर मैं इसपर अडिग हूं।🙏
कमाल की बात लिखे हैं 😊
Aapki soch bahut aachi h
👍👍🙏🙏
You are right 🎉🎉🎉
I liked your thought😊
Rongate khade ho jate aankhon me pani aa jata hai jab Aap sabhi k comments padta hu Acharya ji k liye... Achha lagta hai jaankar hum log ab sahi disha me ja rhe hai Acharya ji se judne k baad zindagi ko jeena sikh rhe hai... Apka bahot bahot dhanyavaad Acharya ji hume sahi marg k bare me samjhane k liye hume....
अंध अनुकरण बिना कुछ जाने , हम भारत के समाज यही देख रहे हैं।
धन्यवाद!🙏 आपका जो अपने सत्य का बोध कराने और सत्य सनातन को समझाने का प्रयास कर रहे है ,
आपसे अच्छा कोन है भला जो ऊँचाई की और ले जाये बहुत हद तक जीवन सुधर गया हैं आपके प्रवचनो से बहुत बहुत धन्येवाद आचर्य श्री ! पहले हम अपने अहंकार से ही निपटले इतना ही काफी हैं !
Sahi kaha 🙏
@@SandeepAMehra ji shukriya !
जीवन ही पूरा यज्ञ होना चाहिए, वो जो आप आहुति दे रहे हैं वो स्वयं की देनी है!❤❤❤❤🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
आचार्य जी नमस्कार प्रणाम! आपकी फटकार मुझे बहुत पसंद आती है जो बहुत सारगर्भित होती है ,आप बहुत ही गहराई से बात के मर्म को समझाते है ,मुझे ये समझ आया है कि जीवन ही यज्ञ है जिसमे सभी द्वंद्व आदि विकार की आहुति देते जाना है , स्वरूप(आत्मस्वरुप) को पाने या आत्मस्थ होने के पथाग्नी (मार्ग) मे ,राग द्वेष आदि विकारों की आहुति देते जाना है स्वाहा करते जाना ,तब जो यज्ञ होगा वह निश्चित ही कल्याणकारी होगा ! बहुत बहुत धन्यवाद् आपका !
सही राह दिखाने के लिए कोटि कोटि आभार और नमन आचार्य जी🙏🙏
अंधविश्वास को धोना बहुत जरुरी है । प्रणाम आचार्य जी 🙏🏻
Bahot sai bat,hay...yahi sach ki bohot jarurat hay...bohot bohot dhhanyvad 🙏🙏🙏🙏
Preshani ka pt nh bt mann ko bhut sukun or khushi milti h pramatma k pooja dyan krk..sb vichaar smapt hojate h mann ko bhut positivity milti h..☺️🙏
Correct .
Absolutely right
आचार्य जी प्रणाम आपने बहुत स्पष्ट तारीक से पूजा पाठ का गहरा अर्थ समझा दिया धन्यवाद
पहले मैने तुझे वो सब कुछ दिया जो मुझे व्यर्थ ही प्रिय था स्वाहा....
जो मुझे प्रिय था वही मेरा बंधन था
और अंत मे मैने स्वयं को भी दिया स्वाहा.....
बहुत खूब!👌👌
@Shivani Verma Waw 🤔
Ekdam sahi
Great dear
bahut achhe bhai
Spirituality ka asli matlab to Acharya ji ne btaya hai .. Naman 🙏🙏
The thing that I love most about aachayji is he is very logical
Satya kha apne,, mere man ki baat bol dii,, dharm kam or andhviswas jyada he..
अपने-आप को गलतफहमी के अँधेरे रखना, "जीवन की वास्तविकता से नज़र चुराना है ।" धन्यवाद गुरू जी ।🙏🏻🙏🏻🙏🏻
Simply fantastic
No words for your guts to speak on a controversial topic
Salute to uour opinions and logical reasoning..
आचार्य जी के बातों को आज समझ लो या तो जब ज़िन्दगी अंतरतम से चोट करेगी तब समझ जाओगे ❤
Real hai
Bilkul
M to daily chot khati hu kyuki m bhi inhi ki bhasha bolti hu isliye 😏😏ghr vale mujhe pagal bolte h
Thanks
धन्यवाद गुरु देव...
आप हमारे धर्म को पुनर्जीवित करके नई दिशा देने का कार्य कर रहे हैं
जिसके लिए हमारा हिंदू धर्म आपका ऋणी रहेगा👏👏🌼🌼
Correct bro
Thanks aacharya prsant sir🎉🎉❤❤
I'm 17 years old and I am the generation that acharya ji is talking about. Because I have seen my parents and grandparents doing all these things without any knowledge about this, so I've stopped doing this and they started calling me NASTIK. And Tereko Paap lagega etc.
😂😂
Ekdum sahi mujhe bhi nastik hi bolte hai.
@@ghoomantu52 hmm
Don't need to worry,
U are doing well. Now you are with yourself, with your inner being.
@@abhishekshivhare8205 good
Jeevan hi pura yagya hona chahiye golden lines of acharya prashant prakash punj h sbke liye, khri or kdwi batein
गैस पर कुकर चढ़ा है, घंटी बजाने में जुटे हैं
ध्यान तो सारा कुकर पर लगा है ,ये पूजा का हाल है ,क्या फायदा ऐसे पूजा से।।
Sir ap sach main hero ho... Maine ap jaisa is dunya main koi sacha nhi dekha... Love u fem kashmir sir
सटीक बात, जिस प्रकार अंधी दौड़ में दौड़ रहे हैं बिना ज्ञान के पंडित पाखंड बांटते फिरते हैं अध्यात्म का ज्ञान होना जरूरी है।🙏🏼
मेरे अब तक के जीवन में आप जैसे महान पुरुष को पहली बार देखा और सुना है
Your knowledge is sky....none can measure...but I want to be bird to feel it...to know ut
आज जिंदगी में पहली बार सच्ची और वास्तविक बात सुनने को मिली धन्य होगये
what he says makes lot of sense.. In fact rarely anyone in this era is performing yagna/puja in true sense, they are just following a rituals & illogical custom set by preceeding generations.
Such questions can't be fully answred as pooja-path is a big science whose results depends individual devotion and belief. Such topic can be better discussed in open discourse rather than a closed conversations like this. My deep regard to Acharya Prashant ji.
If this kind of debate is formed openly blind people so called bhakta become violent and starting to fired
मेरा मानना है कि पूजा पाठ यज्ञ आदि करने वाला मनुष्य मैं साधना भाव किस लेबल पर है यही जरुरी है। ईश्वर को पाने के लिए यही एक मात्र रास्ता है। साधक का उद्देश्य कुछ और पाने का नहीं होना चाहिए। वह तो उस परमात्मा का स्मरण करते हुए पूजा पाठ यज्ञ आदि करता रहता है । उसका सिर्फ एक मकसद होता है परमात्मा को पाना है।
बहुत से साधक अनपढ़ होने पर भी परमात्मा का नाम जपते रहते हैं उन्हें पूजा पाठ यज्ञ करने का तनिक भी ज्ञान नहीं होता है। फिर भी वह पूजा पाठ यज्ञ करता रहता हैं। इसका मतलव यह कतई नहीं है कि उसने पूजा पाठ किया ही नहीं इसलिए उसे ईश्वर प्राप्ति नहीं होगी। परमात्मा को पाने के लिए अंतर भाव होना आवश्यक है।
उसे कैसे करते हो यह मायने नहीं रखता है।
किस भाव से करते हो यही मायने रखता है।
इस ब्रह्माण्ड में किसी और के उपदेशों का कोई महित्व है भी , और , नहीं भी है। तथा महित्व यह है कि आपने ब्रम्हांड के बनाएं नीयम का किस प्रकार पालन किया है।और उस पर कितना अमल किया है।
क्योंकि ज्ञानी कोई भी हो सकता है। जरुरी नहीं है कि वह पढ़ा लिखा हो,सुन्दर हो, ब्राम्हण हो ।
मैं समझता हूं ज्ञानी सभी है ।
और जिसने खुद को समझ लिया , खुद को वस मै कर लिया।
तो यक़ीनन उसने सब कुछ पा लिया।
उसने परमात्मा को पा लिया।
धर्म बोध के लिये है ,अंधानुकरण के लिये नहीं ।
~आचार्य जी
🙏🙏🙏
Dhanai ho guruji. Sara andhvishwas door ho Gaya hai.Thank you
आचार्य जी ने बहुत अच्छा बोला मैं सहमत हूँ लेकिन उन लोगों की भ्रांतियां मिटाना चाहूँगा कि जिन्हें ये लगता है कि यज्ञ में केवल लकड़िया ही जलती,और ऐसे बहुत लोगो को मैं जानता हूं जो 24 घण्टे में एक बार भी परमात्मा का नाम तक भी नहीं लेते तो कम से कम पूजा पाठ से कुछ समय परमात्मा को याद कर लेते है।
बहुत ही सुंदर भाव और विवेकपूर्ण समझ की दृष्टि से आचार्य जी आपने आध्यात्मिक कर्मकांड को समझाने की कोशिश की आपको बहुत प्रेम नमन
जीवन ही पूरा यज्ञ होना चाहिए ...
Puja path is swarth me nhi krna chahiye ki mera ye kam ho jaaye ...puja path sammaan Dene ka ek tarika ho skta h mgr...swarth ki bhavna na ho.....Maine ajtk kbhi kuchh nhi maga bhagwan se....mai kyu maagn bhla...hawa h dhrti h jal issi se mai hu....bs yhi god h....mai kbhi kuchh nhi magti bhagwan se ...mai to baarish se bahut pyar krti hu...aur apse bhi sbse jyda....bahut jyda...mujhe to bs ap hi upar le ja rhe h. Aasamaan ki or jo aseemit h...door tk shanti shanti...mai khud ko Lucky manti hu jo apse mila diya parmatma ne...
भेड़ चाल संसार है आचार्य जी संसार की चाल को देखकर कबीर जी ने भी कहा है
झूठा जग पतियाना साधो, सच कहूं तो मारण ध्यावे, झूठा जग पतियाना। आपका ज्ञान
सच्चा और सटीक है।🙏🙏
एक कदम सार्थक जीवन की ओर बढ़ाये व पायें शास्त्रों में वर्णित सही अर्थों का ज्ञान आचार्य जी से.
पूजा करने से कोई समस्या दूर नहीं हो सकती है क्योकि हमारी हर समस्या का solution अलग होता है, पूजा करने से हम अध्यात्मिक ज्ञान की तरफ हम बढते हैं |
Osho kaho ya krishnamurthi ya Aacharya prashant ya Ramana maharishi ya Arvind ghosh सब एक है ❤
यज्ञ में जो विभिन्न औषधियों का प्रयोग होता है वे प्राणायाम के द्वारा शरीर के श्वसन संबंधी एवं अन्य रोगों को ठीक करने की क्षमता रखती हैं.
Corona bhi chla jayega kya
@@anitasharma7473 भौतिक समाधान से चला गया क्या,,,?😀😀
हर सेकेंण्ड मन ही मन राम नाम का जप करो उससे जो शांति मिलेगी वही सब सुखो का कारण है...!!
Everything is 100% true. Pranam Acharya Ji.
✅️👍Bahut acchi jankari pakhand andhvishvash ka srl 15:59 say battaya,naman hai aap key jordar gyan ka🌷🌹👍✅️🙏
ईश्वर तत्व को पाने का बहुत सारे मार्ग है जिसको जो सुगम लगता है उसी पे चलता है।जिस शास्त्र को मानेंगे वही सर्वश्रेष्ठ लगता है बाकी कुछ नही है।
गुरू देव के चरणों में कोटि कोटि प्रणाम करती हूं 🙏🙏 मै कविता अपनी पावन भूमि अयोध्या से 🙏🙏 मै अपनी जिंदगी से बहुत परेशान हूं गुरुवर क्या करूं 😭😭 आपकी बातें सुविचार सुन के मन को बहुत शांति मिलती हैं 🙏🙏
Guru which this generation needs!!
😅😅😅😅सत्य वचन प्रसांत सर जी काश आपके सोच और उपदेशों से इंसान अपने में परिवर्तन कर लें तो दुनिया सुन्दर,और वैज्ञानिक सोच विचार वाले बन जाए
Yeh sahi gyaan 1% se bhi kam logo ko hai
🙏shukriya guru ji
12:40 🔥
Gurujiii jaisa banne ke liye bohot time lagegaa😢..bt ho jayenge 😊😌...
Puja path madhyam hai ultimate truth ke aur jaane kaa🙏
Shi kaha apne...
प्रचार और विनती. और अब इस जीवन में और इस जीवन के बाद भी खुशहाली के लिए शाकाहारी और धार्मिक बने हर हर महादेव जय श्री राम जय श्री कृष्ण जय गणेश देवा जय बजरंगबली जय मां दुर्गा जय मां काली कृपया प्रति दिन या अपने निश्चित समय पर पूजा अवश्य करें इस संदेश को यथासम्भव प्रचार करे
बहुत सुंदर आचार्य जी बहुत सुंदर
ऐसे महामानव विरले ही है आपके पावन चरणो में कोटि कोटि नमन
Video aur lambi hoti tho acha hotha kyun ki AAP ki baat bahot hi acha-sacha lagtha hai
Apne dharm k bot bdiya bat btayi. Apne pakhand se dur kiwa .naman