चतुश्रृंगी माता मंदिर, वानवडी शिंदेची छत्री,पर्वती,खडकवासला,पानशेत धरण,पुणे विद्यापीठ जीथे इंग्रज अधीकारी ्रॅण्ड चा वध केला, अशी अजुन भरपूर पर्यटन स्थळे आहेत. धन्यवाद
प्राचीन परभणी शहर शिव की पत्नी पार्वती और विष्णु पत्नी लक्ष्मी यहा साथ मिलकर शहर निर्माण किया था इसलिये इसका नाम प्रभावती नगरी था यहा प्राचीन काल में गुफा में बैठकर भगवान नृसिंह ने तप किया था वही जगह नृसिंह पोखर्णी के नाम से जानी जाती है । बाद में इंद्र को शाप से मुक्ती के लिये इसी नृसिंह मंदीर में तप किया था । भगवान प्रल्हाद की माॅं कयाधु परभणी के तालुका हिंगोली शहर जन्म हुआ था । प्राथरी शहर पांडु पुञ अर्जुन ने बसाया था । परभणी जिल्है में प्रभावती गोपी का जन्म हुआ बाद में वह गोकुल में उसका ब्याह हो गया उनकी बाल गोपाल कृष्ण के साथ बहुत सारी लीला कथा है । भगवान राम और लक्ष्मण सिता को खोजते पंचवटी नाशिक से परभणी शहर तक आये और पहा के जंगलो से विराम कर के आगे कर्नाटक किष्किंधा प्रांत में गये थे
नारायण मंदिर, किल्ले तोरणा किल्ले राजगड मढेघाट वेल्हे तालुका हडशी पुरंदर किल्ला जेजुरी देवस्थान अष्ठविनायक पैकि ५ गणपती भिमाशंकर स्वामिनारायण मंदिर भोर तालुका खडकवासला धरण पानशेत धरण पानशेत परिसर वेल्हे तालुका तर पावसाळ्यातील जिवंत स्वर्ग अशी अनेक पर्यटनस्थळे आहेत ज्याने पुण्याच्या आणी महाराष्ट्राछया सौदर्यात भर घातलेली आहे.
Most valuable videos, Jay Bhavani Jay Shivraj Jay Shankar ❤
Thanks a lot
खडकवासला धरण पण छान पर्यटन स्थळ आहे
I love pune city 🌆
पुणे शहर सर्वांगसुंदर प्रेक्षणीय आहे 🌹पुणे तेथे काय उणे 🌹🌹🌹🌹👍👍👍🌹
चतुश्रृंगी माता मंदिर, वानवडी शिंदेची छत्री,पर्वती,खडकवासला,पानशेत धरण,पुणे विद्यापीठ जीथे इंग्रज अधीकारी ्रॅण्ड चा वध केला, अशी अजुन भरपूर पर्यटन स्थळे आहेत. धन्यवाद
आमालाफिरायेलायायचेहोआमालादाखवाहोआमीजोडीआहेहोदाखवाहोआमालाहो
Khoop. Sundar
प्राचीन परभणी शहर शिव की पत्नी पार्वती और विष्णु पत्नी लक्ष्मी यहा साथ मिलकर शहर निर्माण किया था इसलिये इसका नाम प्रभावती नगरी था यहा प्राचीन काल में गुफा में बैठकर भगवान नृसिंह ने तप किया था
वही जगह नृसिंह पोखर्णी के नाम से जानी जाती है । बाद में इंद्र को शाप से मुक्ती के लिये इसी नृसिंह मंदीर में तप किया था । भगवान प्रल्हाद की माॅं कयाधु परभणी के तालुका हिंगोली शहर जन्म हुआ था । प्राथरी शहर पांडु पुञ अर्जुन ने बसाया था । परभणी जिल्है में प्रभावती गोपी का जन्म हुआ बाद में वह गोकुल में उसका ब्याह हो गया उनकी बाल गोपाल कृष्ण के साथ बहुत सारी लीला कथा है । भगवान राम और लक्ष्मण सिता को खोजते पंचवटी नाशिक से परभणी शहर तक आये और पहा के जंगलो से विराम कर के आगे कर्नाटक किष्किंधा प्रांत में गये थे
Dgnivar Vada
Ho
Shivneri
संभाजी राजे यांची समाधी .
सर्वात महाग : केळकर संग्रहलंय👎
Yaha ki polish or auto value bahut carrupt hai
नारायण मंदिर,
किल्ले तोरणा
किल्ले राजगड
मढेघाट
वेल्हे तालुका
हडशी
पुरंदर किल्ला
जेजुरी देवस्थान
अष्ठविनायक पैकि ५ गणपती
भिमाशंकर
स्वामिनारायण मंदिर
भोर तालुका
खडकवासला धरण
पानशेत धरण
पानशेत परिसर
वेल्हे तालुका तर पावसाळ्यातील जिवंत स्वर्ग
अशी अनेक पर्यटनस्थळे आहेत ज्याने पुण्याच्या आणी महाराष्ट्राछया सौदर्यात भर घातलेली आहे.
आमालामाहीतीधाहोआमीयावेमनतोकसेकरावेहोआमालादाखविताकाहो
Ho