मैंने पहली बार आपका वीडियो सुना है, न मैं रमण जी को जानता हूँ लेकिन जो आप बात कह रहे हैं वो किसी ब्रह्म प्राप्त व्यक्ति की हैं जिसे ब्रह्म प्राप्त व्यक्ति ही समझ सकता है वाकी लोगों को केवल जितना हो सके ध्यान करना चाहिए तभी मन को धीरे-धीरे समाप्त किया जा सकता है नहीं तो प्रश्न बने ही रहेंगे बिना आत्म साक्षात्कार के कोई इन शब्दों को समझ ही नहीं सकता | आत्म साक्षात्कार के लिए केवल ध्यान ध्यान ध्यान | और ध्यान किसका ? आँख बंद करके जो शून्य दिखता है उसी को देखते रहना | जैसे ही आत्म साक्षात्कार के आप करीब आ जायेंगे आपका मन ही कुछ ऐसी क्रियाएं कराएगा और जब मन पूर्ण एकाग्रचित हो जाएगा आपको आत्म साक्षात्कार होगा और फिर आप भी वही जान लोगे जो ब्रह्म प्राप्त पुरुष जानता है......... परमात्म तत्व का और नमक का 36 का आंकड़ा है सबसे पहले आपको नमक खाना कम करना चाहिए लेकिन इससे आप मानसिक रूप से कमजोर हो जायेंगे।।।।।।। कुछ बात कभी फिर बताऊंगा
दुनिया माया है अगर १०० परसेंट लोग इसको मान का जिएंगे तो सभी बैरागी हो जायेंगे। तो इस दुनिया का क्या मतलब ? एक आम इंसान को गीता के कर्म योग को फॉलो करना चाहिए, सत्य और न्याय को फॉलो करना चाहिए, इस जीवन को खूब जीना चाहिए और ईश्वर में आस्था रखना चाहिए।
@@TheShunya-y5n money isn't everything. Money is just an important utility to survive. Money comes with survival skills & luck. First learn what is money. Its a transactional entity for goods & services
मैंने पहली बार आपका वीडियो सुना है, न मैं रमण जी को जानता हूँ लेकिन जो आप बात कह रहे हैं वो किसी ब्रह्म प्राप्त व्यक्ति की हैं जिसे ब्रह्म प्राप्त व्यक्ति ही समझ सकता है वाकी लोगों को केवल जितना हो सके ध्यान करना चाहिए तभी मन को धीरे-धीरे समाप्त किया जा सकता है नहीं तो प्रश्न बने ही रहेंगे
बिना आत्म साक्षात्कार के कोई इन शब्दों को समझ ही नहीं सकता |
आत्म साक्षात्कार के लिए केवल ध्यान ध्यान ध्यान | और ध्यान किसका ? आँख बंद करके जो शून्य दिखता है उसी को देखते रहना | जैसे ही आत्म साक्षात्कार के आप करीब आ जायेंगे आपका मन ही कुछ ऐसी क्रियाएं कराएगा और जब मन पूर्ण एकाग्रचित हो जाएगा आपको आत्म साक्षात्कार होगा और फिर आप भी वही जान लोगे जो ब्रह्म प्राप्त पुरुष जानता है......... परमात्म तत्व का और नमक का 36 का आंकड़ा है सबसे पहले आपको नमक खाना कम करना चाहिए लेकिन इससे आप मानसिक रूप से कमजोर हो जायेंगे।।।।।।। कुछ बात कभी फिर बताऊंगा
कुछ बातें और बताएं सर
Bahut hi acchi baatein aapne batayi 👍👌❤️🙏 aapko sadhuvad
Thank you so much father💕🤗🙏
Lots of gratitude sir Pranam.Amazing way to
दुनिया माया है अगर १०० परसेंट लोग इसको मान का जिएंगे तो सभी बैरागी हो जायेंगे। तो इस दुनिया का क्या मतलब ? एक आम इंसान को गीता के कर्म योग को फॉलो करना चाहिए, सत्य और न्याय को फॉलो करना चाहिए, इस जीवन को खूब जीना चाहिए और ईश्वर में आस्था रखना चाहिए।
Chai ka example bahot achcha btaya sir..🙏🙏🙏
Thank You 👌
बहुत बहुत धन्यवाद गुरुजी।
Pranam guruji...❤❤❤❤❤
Guruji ek sawal hai agar duniya maya hai toh phir duniya kyun banai gay hai?
Duniya Maya hai gayaniyo ke liye hum jaise agayaniyon ke liye Leela hai
O banai nahi gai o hai bas hai
Tum game kyu khelty hon???laoy my
Jai gurudev
Sir I'm back watching your videos after gap of 6 months, lot has happened
🙏🏻🙏🏻🙏🏻
Sir, Buddha kehte hai ye Duniya Maya hai to humein ye accept karke jeena chahiye. Ek Enlightened aadmi
Kehta hai to wo maan lena chahiye.
Sir ye konsi book hai please name bata sakte hai hum bhi read karna chahte hai...
Consciousness immortality by Ramana Maharishi
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🌼🌼🌼🙂
🙏🙏🌼✨
🙏🙏
Jo dikh raha sab maya hi hai
All these are holy words ,
Ultimately only money is true from birth to death
@@TheShunya-y5n money isn't everything. Money is just an important utility to survive. Money comes with survival skills & luck. First learn what is money. Its a transactional entity for goods & services
Duniya😅dawes❤davet😂h😂but😂not😅maya😢so😅maya😢alag❤hiwastu😂h
Sir please ak time bat karni hai apse
plz whatsapp 965-11-600-56
एकलव्य के बेटे को नहीं....... अर्जुन के पोते को
Yes
Sir aap kalki movie dekhyega
Apny jimay wari jroor puri kro bhool mut Jana
Aklavya का baita?
sorry it was wrong thank you for correcting
ninety nine persant maya me he to kha ye glat he ek persant hi gyani he jo enlighened he to maya hi maya to he charo traf kya glat he
Duniya Maya hai tu insan insan ka dushman kyu bana hua 😢
@@BansilalGupta-pz7xm 6 ripu aur purana karm.
Anubhav ke bina sab bekar gyan
Veer Eklavya nahi maharshi...woh veer abhimanyu ki ardhangini devi uttara ji ke garbh main kiya tha. Dhanyawad
Thank you for correcting
ईश्शर ऐक तत्व है कोई आदमी नही है जैसे हवा पानी है वैसे ही है जो अद्श्य है