ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
वीर सावरकर ने सही कहा है कि राष्ट्र में सभी लोग एक समान हिंदू हैं क्योंकि सबके पूर्वज हिंदू थे मुस्लिम ईसाई भूतपूर्व हिंदू हैं मुस्लिम ईसाई घर वापसी करके पुनः हिंदू बने जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
बहुत ही अच्छा विचार है - वास्तव में जवाहरलाल नेहरू और उनके शिक्षा मंत्रियों ( जो मौलाना अबुल कलाम आजाद और उनके बाद वाले लगभग एक के बाद एक सभी मुसलमान ) द्वारा निर्धारित की गईं पाठ्य पुस्तकें स्वतंत्रता के वास्तविक नायकों से विहीन कर दीं गईं ......... जिस देश में बाला साहेब ठाकरे का बेटा ऊदव ठाकरे वीर सावरकर का नाम लेने से ठिठुरते हुए दिखाई दे .......... What we can we expect ?
Nice Idea ❗ Chief minister Shinde should not loose this opportunity and place an order to construct a statue of Veer Savarkar on coastal area of see in Mumbai. The statue should be as big as the statue of Sardar Patel in Gujarat. I am sure he will be able to win favour of whole Maharashtra.👍
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
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सही है वीर सावरकर , सरदार वल्लभभाई पटेल और नेताजी सुभाषचंद्र बोस ने भारत के स्वतंत्र संग्राम में अमूल्य योगदान है .हर सच्चा भारतका नागरिक इन सपूतोंको जिंदगी भर भूल नहीं सकता .
प्रदीप जी, पिछले वर्ष मैं अंडमान निकोबार गया था। वहां सेलुलर जेल भी गया। वहां वीर सावरकर जी की जीवनी के बारे में जानकारी प्राप्त हुई।उनका बलिदान जानकर रोंगटे खड़े हो गए। मैं नतमस्तक था उनके आगे। नेहरू गांधी खानदान वीर सावरकर जी के पांव के नाखून के बराबर भी नहीं है।वीर सावरकर जी को अब तक भारत रत्न क्यों नहीं दिया गया है,यह भी एक बड़ा प्रश्न है। आप ने बहुत अच्छा वीडियो बनाया।
@@Pahale_bharat_ वीर सावरकर जी अपने-आप मे एक रत्न है, इसलिए इनको भारत रत्न से सम्मानित करने की आवश्यकता नही। ये सच्चे देश भक्तो के दिल मे बस्ते हैं और सदैव रहेंगे।
प्रदीप जी आपकॊ कांग्रेस के पापों एवं देश विरोधी मानसिकता की सच्चाई के तथ्यात्मक विश्लेषण के लिए साधुवाद एवं धन्यवाद, परंतु सोए हुए हिन्दुओं का क्या करें।मन बहुत दुखी हो जाता है।
कल उद्धव ठाकरे कांग्रेस का पट्टा अपने गले पर डाले थे, तो कैसे वीर सावरकर का नाम न लेने का विरोध प्रकट होता। उद्धव गुट का कांग्रेस मे विलय हो जाए, तो आश्चर्य नही होना चाहिए।
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
कांग्रेस की नीति पुरानी है कि अपने से बड़े कद वाले और राष्ट्रवादी देशभक्त नेताओं को बदनाम करने या उसका जीवन समाप्त करने की। अपने परिवार और पार्टी के वर्चस्व के आगे किसी को उभरने नही दिया है🌹 आज भी वही नीति लागू है🌹 नेताजी सुभाष चंद्र बोस , तिलक, और सावरकर जैसे महान स्वतंत्रता सेनानी को शत शत शत नमन। 🙏🙏जय हिंद 🇮🇳🇮🇳🙏
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
हमें कांग्रेस के बारे में क्यों सोचना चाहिए? आइए हम सोचें कि हम क्या कर सकते हैं। कृपया इतिहास, जाति और धर्म व्यवस्था पर राष्ट्रव्यापी चर्चा के मेरे विचार का समर्थन करें।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
परदीप सिंह जी, आप वास्तव में एक महान जनवादी हैं, जिन्होंने केवल वीर सावरकर के कार्यों, बलिदानों और अंग्रेजों द्वारा उन्हें दी गई यातनाओं को ही याद किया है, जो किसी अन्य भारतीय को नहीं दी गई, जबकि कांग्रेस के लोगों ने अपने कारावास में शानदार समय का आनंद लिया, जबकि वीर सावरकर को दो जीवन की सजा का सामना करना पड़ा।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। अवधूत जोशी
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जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
नमस्कार प्रदीप जी, दरअसल एहसासे कमतरी से ग्रस्त हैँ कांग्रेस सावरकर को लेकर... दुविधा यह हैँ के इतने प्रतिभावान व्यक्ति को जब दुसरे पाले में खड़ा पाती हैँ कांग्रेस तो सावरकर के योगदान को सिरे से ख़ारिज करना ही एक मात्र विकल्प हैँ. आभार
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
प्रदीप जी मैं आपके हर अंक को मैं सुनता हूँ।आपके हर अंक में राष्ट्रवाद झलकता है।आपका विश्लेषण अंतर्मन को झकझोर देता है।मुझे आपके विचार सन्नी का नशा सा हो गया है।
महाराष्ट्र की सनातनी जनता अगर वीर सावरकर की आजादी की मुहिम में भोगता यातनाएं ओर बलिदान को याद रखना चाहती है तो कोई ऐरा ग़ैरा नत्थू खैरा कुछ भी करलें,वीर सावरकर को कोई भी मायका लाल छोटा नहीं दिखा सकता। बस महाराष्ट्र की जनता ने वीर सावरकर को अपने दिल में संभालकर रखा होना चाहिए। फिर दो कोड़ी का टुच्चा कहीं से बरसाती मेंढक की तरह महाराष्ट्र में आकर महाराष्ट्र के नायक को छोटा दिखाने की कभी भी हिम्मत नहीं कर सकता। अपने आजादी के वीर नायकों और सेनानी का मान-सम्मान और वीरता को जीवित रखने के लिए सच्चे सनातनी को वोट करके महाराष्ट्र का तंत्र देना चाहिए। जयचंदो दूर रहो महाराष्ट्र से। नक़ली हिंन्दु रिद्दय सम्राट को पहचान लो जो मुख्यमंत्री के पद के लिए हिन्दुओं कि भावनाओं का सोदा किया। वह कोई ओर नह जयचंद तो हो सकता है। जय श्री राम।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
आज भारत के इतिहास में वीर सावरकर के बारे में जीवन पढ़ाना चाहिए और भारत रत्न के उपाधी से नवाजा जाना चाहिए तभी उनका सही सम्मान होगा आपने बहुत ही अच्छा विषय का चुनाव किया हैं अच्छी जानकारी दी आपको नमस्कार एवं धन्यवाद जय श्रीराम जय भारत माता की वंदेमातरम्
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
वीर सावरकर जी महानतम स्वतंत्रता सेनानी थे, सत्ता के लिये ये नेता अपनी माँ और बहन को भी बेच सकते हैं, सभी हिन्दू जाति छोड़ कर हिन्दू बने और भारत देश बचाएं... जय राष्ट्र जय सनातन
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
जहाँ तक इतिहास का सवाल है, प्रदीप सिंह जी एक मूर्ख व्यक्ति हैं। इतिहास, जाति और धर्म व्यवस्था के संदर्भ में पूरा देश एक मूर्ख राष्ट्र है। मैं ही एकमात्र व्यक्ति हूँ जो इतिहास पर राष्ट्रव्यापी चर्चा के अपने अभिनव विचार के साथ आपको सच्चाई तक ले जाऊँगा।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
मैने कही किताब पढ़ी , कही चैनल्स को देखा पर मुझे भारत की आजादी के दौरान कांग्रेस का कोई बड़ा नेता नजर नहीं आया जिसने ब्रिटिश हुकूमत की लाठी खाई हो ( लाला लाजपत राय के अलावा ), , यहां तक सुनने मैं आया जवाहरलाल नेहरू ने एक दो गिरफ्तार होने के बाद माफी की अर्जी दी थी और उनके तुरंत माफी मिली भी । याद आता वीर सावरकर की वो बातें जिसमें कहा गया की एक दिन ऐसा आएगा कांग्रेस के नेता एक दिन कोर्ट पर जेनुई पहन सड़क सड़क घूमेंगे । आज वो बात सच दिखती है । नमन है वीर सावरकर ।
वीर सावरकर वीर थे। गांधी और नेहरू भोगी थे जो जेल में और जेल बाहर भी सुख सुविधा भोगता रहता था। अच्छा हुआ की अंग्रेजों के द्वारा स्थापित कांग्रेस के वर्तमान अध्यक्ष ने भारत माता के महान सपूत वीर सावरकर का नाम नहीं लिया।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
सिंह साहब वीर सावरकर का नाम लेने से ही सिर्फ आज सोनिया एवं राहुल गाँधी नहीं डरते हैं वरन् नेहरू जैसा औछा बौना का॔ग्रेसी भी देश की आज़ादी के बाद से ही डरता रहा है लेकिन कयोकि आज़ादी के बाद से ही अपनीं मृत्यु तक वीर सावरकर जी की सेहत / स्वास्थ्य उन के साथ जेल में उन को अ॔ग्रेजो द्धारा दी गई यातनाओं के कारणों से साथ नहीं दे रहा था इसलिए उन्होंने आज़ादी के बाद राजनीति से जैसे सन्यास ले लिया था, तो नेहरू उन की तरफ़ से बेफ्रिक था और कुछ आज़ादी के बाद कांग्रेस ने जिस तरहा से देश के ब॔टवारे में हिन्दुओं के साथ नेहरू की धोखाधड़ी ने जैसे उन्हें बहुत ही निराश कर दिया था और उसी समय जिस तरहा से गा॔धी ने भी बहुत ही उत्साहित होकर नेहरू को गा॔धी ने एक तरहा से अपनी " वीटो पावर " का इस्तेमाल करते हुए देश की सत्ता पर काबिज किया गा॔धी के उस कुकृत्य को कोई समझ ही नहीं पाया यहाँ तक कि जिस कांग्रेस का देश की आज़ादी में योगदान सिर्फ इतना भर था कि कांग्रेसी सडकों / चौराहों पर खड़े होकर सिर्फ आज़ादी आज़ादी चिल्लाते रहते थे , गाँधी जी का कहना ही था कि कोई एक गाल पर थप्पड़ मारे तो दूसरे गाल को आगे करके कहो कि " जनाब एक थप्पड़ इस गाल " पर भी मार दो तो क्या इस का॔ग्रेस ने देश को आज़ादी दिलाई होगी , ये सब झूठ फैलाया का॔ग्रेस ने कि कांग्रेस ने देश आजाद कराया है , देश की आज़ादी में का॔ग्रेस का इतना ही योगदान है जितना उडद पर सफेदी होती हैं लेकिन हा॔ नेहरू ने देश के असल वारिसों के साथ अ॔ग्रेजो से मिलकर बहुत बड़ा धोखा किया और औछा बौना नेहरू एक तरहा से देश का जागिरदार बन बैठा और इस पाप में गाधीं भी नेहरू के पापों का बराबर का हिस्सेदार बना । लेकिन हा॔ नेहरू ने ख़ुद भी और अपनी आने वाली नस्लों को भी राजनीति का पाठ बहुत अच्छा पढा और पढाया कि यदि तुम्हारे पास सत्ता है तो अपने / दूसरे बेशक वो का॔ग्रेस का ही कयूँ ना हो कभी भी इतना मत पनपने दो कि कल वो तुम्हारी सत्ता का दावेदार बन जाए । जब भी तुम्हे लगे कि यह पनपने लगा है तभी उसके पर कतर कर / कुछ भी इलज़ाम लगा कर उसे सत्ता से ज्यादा भी नहीं तो कुछ दिनों के लिए झटका दे दो और यही बात इदिंरा गाधीं के खूब काम आई , उसने का॔ग्रेस तो दूर दूसरे भी किसी दल को उभरने नहीं दिया । खैर नेहरू ने देश के ब॔टवारे के नाम पर हिन्दुओं के साथ बहुत बड़ा धोखा किया मुस्लिम मुस्लिमो के नाम पर पाकिस्तान बना दिया लेकिन आधे मुस्लिमो को भारत में ही रोक लिया और ये कोई सिर्फ इलज़ाम नहीं है बल्कि इतिहास की पुस्तकों में दर्ज बहुत बड़ी सच्चाई हैं , रहीं सही कसर 1971 में इदिंरा गाधीं ने ब॔गलादेश की आज़ादी के नाम पर करोड़ों मुस्लिम घुसपैठिये जो 71 में भारत में आ गए थे उन्हें का॔ग्रेस ने कभी वापस भेजने की जहमत तक नहीं की बल्कि आगे चलकर तो करोड़ों मुस्लिम घुसपैठिये ब॔गलादेश एवं बर्मा से रौहि॔गया मुस्लिम सभी मिलाकर आज कम से कम 5-7 करोड़ घुसपैठिये भारत में मौजूद हैं जो देश की सिर्फ कानून व्यवस्था के लिए नहीं अपितु हमारे भारत के गरीबों के हकों पर डाका डाल रहे हैं , लेकिन का॔ग्रेसीयो॔ जैसे कुछ अन्य दलों के भी नालायक नेता उन घुसपैठियों की ढाल बनकर खड़े हो जाते हैं और किस लिए ? सिर्फ वोटों के लिए ।
@@vaibhavsikera8630 अयोध्या के श्री राम मंदिर ... मथुरा की श्री कृष्ण जन्मभूमि ... बनारस के काशी विश्वनाथ मंदिर ... गुजरात के सोमनाथ मंदिर ... और देश के हज़ारों मंदिर तो*ड़*क*र ... वहां मस*जिदें बनाने का खामि*या*जा ... जि*#हा*दि*यों को भुग#*तना पड़ेगा ... 😡😡😡😡😡😡😡😡😡
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
स्वतंत्रता आंदोलन के दो महान सपूत, वीर सावरकर और नेताजी सुभाष। वीर सावरकर और नेताजी थे सूरज, बाकी सब थे चिराग।। कुछ नेता ने भी लिया था, स्वतंत्रता आंदोलन में भाग। उसमें थे जिन्ना और जवाहर लाल, प्रधानमंत्री बनने के लिए भारत का किया दो भाग।।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
@@parasnathyadav3869 धन्यवाद वीर सावरकर जी ने जेल में जो यातनाए भुगती हैं नेहरू सिर्फ दिखावे के लिये जेल जाते थे नेहरू तो सावरकर जी पैरो की धूल के बराबर भी नहीं थे!
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ। जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव! ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है। भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है। माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो। यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।) देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी। माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है। अवधूत जोशी
सहमत हूं भाई प्रदीप जी 🙏 आज की सोनिया/राहुलिया कांग्रेस को हिन्दू और वीर सावरकर के नाम से नफ़रत है। इसीलिए कांग्रेसी इन शब्दों को अपनी जुबान पर नहीं लाते हैं, अगर लाएंगे तो उनकी जुबान गल जाएगी।
हिंदुत्व के विरोध का निम्न दौर सोनिया के सक्रिय राजनीति में आने के बाद शुरू हुआ। इनके बस की नहीं है कि सावरकर बौना बना दें,जबतक देशभक्त एक भी जीवित है। धन्यवाद प्रदीप बाबू
नमस्कार सर जय श्रीराम सर कांग्रेस हर उस बीर से डरती है जो देश भक्त थे जिन की बजह से आजादी दिलाई जो हिन्दू थे सबसे डरते हैं कही लोग जागरूक हो गये तो कांग्रेस का सच जान जायगे कांग्रेस का काला इतिहास रहा है बीर सावरकर जी के चरणों में कोटि कोटि नमन करते हैं कांग्रेस बीर सावरकर जी के पैरो के जुती भी नहीं है
स्वातंत्र्य वीर सावरकर जी को भारत रत्न मिलना चाहिए...
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
एक सावरकर जी है जिसकी बजह से काँग्रेस के आजादी मे योगदान की पोल खुल जाती है
😂😂😂khud cow mass khate the😂
Dar k mare bichare British pension dete the😂😂😂😂
@@vikeshjadhav5380 pahle khud patta kar jail me pention kyau dete the?
@@Govind-o9c lagta hai savarkar ji ki jasusi angrej tere se hi karvate the?
@@bhagwansapkale5631 lgta hei azadi magne tu saath jaata tha 😂😂 or letter bhi tere se likhte the
बीयर पी पी कर पैदा हुई नसल को वीर सावरकर जी जैसे महान योद्धा और ज्ञानी महात्मा के विषय में बीक्वाश करने का ज्ञान हैं
महान स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर को प्रणाम
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
वीर सावरकर ने सही कहा है कि राष्ट्र में सभी लोग एक समान हिंदू हैं क्योंकि सबके पूर्वज हिंदू थे मुस्लिम ईसाई भूतपूर्व हिंदू हैं मुस्लिम ईसाई घर वापसी करके पुनः हिंदू बने जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव
जय श्री राम 🌹🌹🙏
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
जागो हिन्दू जागो
धर्मो रक्षित रक्षितः
वीर सावकर का महाराष्ट्र में टेचयु बनाना चाहिए जैसा गुजरात में सरदार वलभभाई पटेल का है
Good idea
True
Yes
बहुत ही अच्छा विचार है - वास्तव में जवाहरलाल नेहरू और उनके शिक्षा मंत्रियों ( जो मौलाना अबुल कलाम आजाद और उनके बाद वाले लगभग एक के बाद एक सभी मुसलमान ) द्वारा निर्धारित की गईं पाठ्य पुस्तकें स्वतंत्रता के वास्तविक नायकों से विहीन कर दीं गईं ......... जिस देश में बाला साहेब ठाकरे का बेटा ऊदव ठाकरे वीर सावरकर का नाम लेने से ठिठुरते हुए दिखाई दे .......... What we can we expect ?
Nice Idea ❗ Chief minister Shinde should not loose this opportunity and place an order to construct a statue of Veer Savarkar on coastal area of see in Mumbai. The statue should be as big as the statue of Sardar Patel in Gujarat. I am sure he will be able to win favour of whole Maharashtra.👍
वीर सावरकरजी जैसा देशभक्त आज तक पैदा नही हुआ न होगा उनको शत-शत नमन
सावरकर को भारतरत्न तुरन्त मिलना चाहिए
नहीं, नहीं। हमें कुछ विशेष पुरस्कार के बारे में सोचना चाहिए। भारत रत्न पुरस्कार एक कलंक है। यह सावरकर को नेहरू जैसे देशद्रोही के बराबर खड़ा कर देगा।
प्रदीप जी यह बात सार्वजनिक करने के लिए की जवाहरलाल नेहरू ने स्वयं कहा कि वह स्वतंत्रता संग्राम में शामिल नहीं थे, आपको इसके लिए हार्दिक साधुवाद।
वीर साँवरकर मेरे लिये एक आइकॉन स्वतंत्रता संग्राम सेनानी है l जय sanwarkar जी 🙏🙏🙏
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
प्रदीप जी,
नाथूरामगोडसे का नाम भी महाराष्ट्र के वीरों में होना चाहिए , अतुलनीय योगदान है आजाद भारत में उनका , वरना भारत का नक्सा आज कुछ और ही होता ।
षडयंत्र कारी और बईमान हेमेशा ईमानदार से डरते हैं गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी ऐसे ही हैं
वीर सावरकर स्वतंत्रता सैनानी को शत शत नमन 🇮🇳🙏🇮🇳🙏🇮🇳🙏🇮🇳🙏
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
श्री वीर सावरकर जी को भारत रत्न जल्द से जल्द देना चाहिए, और वीर सावरकर जी को राष्ट्र पिता घोषित कर देना चाहिए!
Right
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
भाजपा को तो जमकर वीर सावरकर का महिमामंडन करना चाहिए
मोदी जी तो पसमांदा मुसनमानो के बारे मे ज्यादा सोचते है
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
मनुवादियों हो करेंगे
वीर सावरकर जैसे महान स्वतंत्रता संग्राम सेनानी को सत सत नमन
कांग्रेस हर देश प्रेमी से चिढ़ती है उसकी वजह से डर लगता है
Congress Bharat bhakt nai pasad kar tey Jo nehru ne kya kiya thaadar lagta
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
सही है वीर सावरकर , सरदार वल्लभभाई पटेल और नेताजी सुभाषचंद्र बोस ने भारत के स्वतंत्र संग्राम में अमूल्य योगदान है .हर सच्चा भारतका नागरिक इन सपूतोंको जिंदगी भर भूल नहीं सकता .
महान आत्मा वीर सावरकर की सदा जय हो आपके बलिदान के हम सदा आपके ऋणी रहेंगे ओर कांग्रेश लेफ्ट लिबरल गेंग का खातमा हो
वीर सावरकर भारत का वह दमकता सूर्य हैं जिनका कांग्रेस जैसे बुझते दिये क्या बराबरी कर सकते हैं।
प्रदीप जी, पिछले वर्ष मैं अंडमान निकोबार गया था। वहां सेलुलर जेल भी गया। वहां वीर सावरकर जी की जीवनी के बारे में जानकारी प्राप्त हुई।उनका बलिदान जानकर रोंगटे खड़े हो गए। मैं नतमस्तक था उनके आगे। नेहरू गांधी खानदान वीर सावरकर जी के पांव के नाखून के बराबर भी नहीं है।वीर सावरकर जी को अब तक भारत रत्न क्यों नहीं दिया गया है,यह भी एक बड़ा प्रश्न है। आप ने बहुत अच्छा वीडियो बनाया।
जय श्री राम 💐💐💐🙏
सही कह रहे हैं भाई आप।
@@Pahale_bharat_ वीर सावरकर जी अपने-आप मे एक रत्न है, इसलिए इनको भारत रत्न से सम्मानित करने की आवश्यकता नही। ये सच्चे देश भक्तो के दिल मे बस्ते हैं और सदैव रहेंगे।
वीर सावरकर विश्वरत्न थे/है||@@shishirkumarverma5717
Jai Hind Jai Bharat 🌈🌈🌈
प्रदीप जी आपकॊ कांग्रेस के पापों एवं देश विरोधी मानसिकता की सच्चाई के तथ्यात्मक विश्लेषण के लिए साधुवाद एवं धन्यवाद, परंतु सोए हुए हिन्दुओं का क्या करें।मन बहुत दुखी हो जाता है।
Yes
कल उद्धव ठाकरे कांग्रेस का पट्टा अपने गले पर डाले थे, तो कैसे वीर सावरकर का नाम न लेने का विरोध प्रकट होता। उद्धव गुट का कांग्रेस मे विलय हो जाए, तो आश्चर्य नही होना चाहिए।
जय श्री राम 🌹🙏
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
मौलाना उद्धव ठाकरे ने हिन्दू हृदय सम्राट बालासाहब ठाकरे का नाम कलंकित कर दिया है।
10 साल से मोदी सरकार है वीर सावरकर को भारत रत्न क्यों नहीं दिया? कब तक सिर्फ कांग्रेस को कोसते रहेंगे?
वीर सावरकर हिन्दू धर्म ध्वज है ।
कांग्रेस की नीति पुरानी है कि अपने से बड़े कद वाले और राष्ट्रवादी देशभक्त नेताओं को बदनाम करने या उसका जीवन समाप्त करने की। अपने परिवार और पार्टी के वर्चस्व के आगे किसी को उभरने नही दिया है🌹 आज भी वही नीति लागू है🌹 नेताजी सुभाष चंद्र बोस , तिलक, और सावरकर जैसे महान स्वतंत्रता सेनानी को शत शत शत नमन। 🙏🙏जय हिंद 🇮🇳🇮🇳🙏
बीर सावरकर जी को हिन्दू नमन करता है
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
स्वतंत्रता संग्राम में अग्रणी भूमिका निभाने वाले वीर सावरकर जी को भारत रत्न मिलना चाहिए
हीं, नहीं। हमें कुछ विशेष पुरस्कार के बारे में सोचना चाहिए। भारत रत्न पुरस्कार एक कलंक है। यह सावरकर को नेहरू जैसे देशद्रोही के बराबर खड़ा कर देगा।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
कॉन्ग्रेस स्वातंत्र्यवीर सावरकर के साथ-साथ लोकमान्य तिलक का नाम भी नहीं लेती।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
हमें कांग्रेस के बारे में क्यों सोचना चाहिए? आइए हम सोचें कि हम क्या कर सकते हैं। कृपया इतिहास, जाति और धर्म व्यवस्था पर राष्ट्रव्यापी चर्चा के मेरे विचार का समर्थन करें।
प्रदीप जी नमस्कार कांग्रेस ने जो भारत देश के राष्ट्र भगत नेता थे उनका सम्मान नहीं किया बल्कि उनका बहिस्कार किया. जय हिन्द l
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
विर सावरकरजी को तुरंत " भारत रत्न" प्रदान करना चाहिए.
मोदी जी के कार्यकाल में तो ये संभव नही लगता।
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
परदीप सिंह जी, आप वास्तव में एक महान जनवादी हैं, जिन्होंने केवल वीर सावरकर के कार्यों, बलिदानों और अंग्रेजों द्वारा उन्हें दी गई यातनाओं को ही याद किया है, जो किसी अन्य भारतीय को नहीं दी गई, जबकि कांग्रेस के लोगों ने अपने कारावास में शानदार समय का आनंद लिया, जबकि वीर सावरकर को दो जीवन की सजा का सामना करना पड़ा।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
Congress और वामपंथी हमेशा सच्चे लोगों से डरते हैँ.
Right
Yes
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
बीजेपी सरकार को 10साल हो चुके है । इस महान् देश भक्त मां भारती के सच्चे सपूत को देश के सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित करना चाहिए।
सही , सटीक, सुंदर समीक्षा ।बीर सावरकर सनातन के ज्वलंत नायक हैं ।
@@drpnsingh4391 हर हर महादेव 💐💐💐🙏
@@parasnathyadav3869u.p se ho??
u.p ka Mulla ?
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
अवधूत जोशी
प्रखर राष्ट्रवादी, देश भक्त, स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर जी को शत् शत् नमन, वंदन करता हूं।🎉🎉🎉🎉🎉🎉
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
वीर सावरकर का स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में सबसे अधिक योगदान रहा है। उनके भाई और पत्नी सभी ने मिलकर सहयोग दिया था।
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
हमारी आजादी के आंदोलन के सबसे बड़े नायक वीर सावर
कर जी हैं और भारत रत्न के सबसे बड़े अधिकारी हैं
नहीं, नहीं। हमें कुछ विशेष पुरस्कार के बारे में सोचना चाहिए। भारत रत्न पुरस्कार एक कलंक है। यह सावरकर को नेहरू जैसे देशद्रोही के बराबर खड़ा कर देगा।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
नमस्कार प्रदीप जी,
दरअसल एहसासे कमतरी से ग्रस्त हैँ कांग्रेस सावरकर को लेकर...
दुविधा यह हैँ के इतने प्रतिभावान व्यक्ति को जब दुसरे पाले में खड़ा पाती हैँ कांग्रेस तो सावरकर के योगदान को सिरे से ख़ारिज करना ही एक मात्र विकल्प हैँ.
आभार
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
वीर सावरकर सबसे बड़े देशभक्त थे 🙏
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
वीर सावरकर महानायक हैं। वो आज भी सब के मानस पटल में जिवीत हैं और रहेंगे।
जय श्री राम 💐🌹💐🙏
Jai veer savarkar
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
प्रदीप जी मैं आपके हर अंक को मैं सुनता हूँ।आपके हर अंक में राष्ट्रवाद झलकता है।आपका विश्लेषण अंतर्मन को झकझोर देता है।मुझे आपके विचार सन्नी का नशा सा हो गया है।
आपका अखबार के सब्सक्राइबर्स की संख्या 9 लाख से अधिक होने पर आदरणीय प्रदीप सिंह जी को और आपका अखबार के सभी सब्सक्राइबर्स को बहुत बहुत बधाई ।
जय श्री राम 💐🌹💐🙏🙏
महाराष्ट्र की सनातनी जनता अगर वीर सावरकर की आजादी की मुहिम में भोगता यातनाएं ओर बलिदान को याद रखना चाहती है तो कोई ऐरा ग़ैरा नत्थू खैरा कुछ भी करलें,वीर सावरकर को कोई भी मायका लाल छोटा नहीं दिखा सकता। बस महाराष्ट्र की जनता ने वीर सावरकर को अपने दिल में संभालकर रखा होना चाहिए। फिर दो कोड़ी का टुच्चा कहीं से बरसाती मेंढक की तरह महाराष्ट्र में आकर महाराष्ट्र के नायक को छोटा दिखाने की कभी भी हिम्मत नहीं कर सकता। अपने आजादी के वीर नायकों और सेनानी का मान-सम्मान और वीरता को जीवित रखने के लिए सच्चे सनातनी को वोट करके महाराष्ट्र का तंत्र देना चाहिए। जयचंदो दूर रहो महाराष्ट्र से। नक़ली हिंन्दु रिद्दय सम्राट को पहचान लो जो मुख्यमंत्री के पद के लिए हिन्दुओं कि भावनाओं का सोदा किया। वह कोई ओर नह जयचंद तो हो सकता है। जय श्री राम।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
अधिकतर जनगण इन तथ्यों को जानती ही नहीं। धन्यावाद।
जय श्री राम 💐💐🙏
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
लेकिन मेरा आपसे एक सवाल है कि आप प्रदीप सिंह द्वारा बताई गई सच्चाई की पुष्टि कैसे करते हैं?
आज भारत के इतिहास में वीर सावरकर के बारे में जीवन पढ़ाना चाहिए और भारत रत्न के उपाधी से नवाजा जाना चाहिए तभी उनका सही सम्मान होगा आपने बहुत ही अच्छा विषय का चुनाव किया हैं अच्छी जानकारी दी आपको नमस्कार एवं धन्यवाद जय श्रीराम जय भारत माता की वंदेमातरम्
वीर सावरकर जी को शत् शत् नमन ❤❤।आपको भी हार्दिक आभार इस विषय पर विचार व्यक्त करने के लिए।सादर अभिवादन ❤
@@nirmalashah6563 जय श्री राम 💐💐🙏
कांग्रेस मुक्त भारत होना जरूरी है, कांग्रेस और केंन्सर एक ही बिमार है।
भाई हम खत्म हो जाएंगे पर कांग्रेस नही देख नही रहे हो जय भीम बोलकर हिंदू तोड़ दिए और मीम भीम वाले एक हो गए ये सब किसकी चाल है इन्ही लोगो की चाल है
उन हिन्दू का क्या जो कांग्रेस के तलवे चाटने बैठें हैं
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
वीर सावरकर जी महानतम स्वतंत्रता सेनानी थे, सत्ता के लिये ये नेता अपनी माँ और बहन को भी बेच सकते हैं, सभी हिन्दू जाति छोड़ कर हिन्दू बने और भारत देश बचाएं... जय राष्ट्र जय सनातन
प्रदीप जी कांग्रेस का जन्म ईतिहास बताए। बहुत ऊपकार होगा। आप सबकुछ तत्थ्यें के साथ उपस्थापन करते हैं।
जय श्री राम 🌹🙏
काँग्रेस की स्थापना एक अंग्रेज ने की थी, इससे बड़ा प्रमाण क्या हो सकता है कि काँग्रेस आजादी की लड़ाई नहीं लड़ी थी l
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
जहाँ तक इतिहास का सवाल है, प्रदीप सिंह जी एक मूर्ख व्यक्ति हैं। इतिहास, जाति और धर्म व्यवस्था के संदर्भ में पूरा देश एक मूर्ख राष्ट्र है। मैं ही एकमात्र व्यक्ति हूँ जो इतिहास पर राष्ट्रव्यापी चर्चा के अपने अभिनव विचार के साथ आपको सच्चाई तक ले जाऊँगा।
जय हिन्द महान स्वतंत्र वीर योद्धा राष्ट्र भक्त वीर सावरकर सदा अमर रहे, आपका ह्रदय से आभार 🎉🎉🎉
बीर सावरकर जी के अद्वितीय बलिदान का सटीक विश्लेषण तथा काग्रेस के दोगले चरित्र को
उजागर करने के लिए साधुवाद🙏
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
मैने कही किताब पढ़ी , कही चैनल्स को देखा पर मुझे भारत की आजादी के दौरान कांग्रेस का कोई बड़ा नेता नजर नहीं आया जिसने ब्रिटिश हुकूमत की लाठी खाई हो ( लाला लाजपत राय के अलावा ), , यहां तक सुनने मैं आया जवाहरलाल नेहरू ने एक दो गिरफ्तार होने के बाद माफी की अर्जी दी थी और उनके तुरंत माफी मिली भी ।
याद आता वीर सावरकर की वो बातें जिसमें कहा गया की एक दिन ऐसा आएगा कांग्रेस के नेता एक दिन कोर्ट पर जेनुई पहन सड़क सड़क घूमेंगे ।
आज वो बात सच दिखती है ।
नमन है वीर सावरकर ।
Correct
वीर सावरकर वीर थे। गांधी और नेहरू भोगी थे जो जेल में और जेल बाहर भी सुख सुविधा भोगता रहता था। अच्छा हुआ की अंग्रेजों के द्वारा स्थापित कांग्रेस के वर्तमान अध्यक्ष ने भारत माता के महान सपूत वीर सावरकर का नाम नहीं लिया।
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
सिंह साहब वीर सावरकर का नाम लेने से ही सिर्फ आज सोनिया एवं राहुल गाँधी नहीं डरते हैं वरन् नेहरू जैसा औछा बौना का॔ग्रेसी भी देश की आज़ादी के बाद से ही डरता रहा है लेकिन कयोकि आज़ादी के बाद से ही अपनीं मृत्यु तक वीर सावरकर जी की सेहत / स्वास्थ्य उन के साथ जेल में उन को अ॔ग्रेजो द्धारा दी गई यातनाओं के कारणों से साथ नहीं दे रहा था इसलिए उन्होंने आज़ादी के बाद राजनीति से जैसे सन्यास ले लिया था, तो नेहरू उन की तरफ़ से बेफ्रिक था और कुछ आज़ादी के बाद कांग्रेस ने जिस तरहा से देश के ब॔टवारे में हिन्दुओं के साथ नेहरू की धोखाधड़ी ने जैसे उन्हें बहुत ही निराश कर दिया था और उसी समय जिस तरहा से गा॔धी ने भी बहुत ही उत्साहित होकर नेहरू को गा॔धी ने एक तरहा से अपनी " वीटो पावर " का इस्तेमाल करते हुए देश की सत्ता पर काबिज किया गा॔धी के उस कुकृत्य को कोई समझ ही नहीं पाया यहाँ तक कि जिस कांग्रेस का देश की आज़ादी में योगदान सिर्फ इतना भर था कि कांग्रेसी सडकों / चौराहों पर खड़े होकर सिर्फ आज़ादी आज़ादी चिल्लाते रहते थे , गाँधी जी का कहना ही था कि कोई एक गाल पर थप्पड़ मारे तो दूसरे गाल को आगे करके कहो कि " जनाब एक थप्पड़ इस गाल " पर भी मार दो तो क्या इस का॔ग्रेस ने देश को आज़ादी दिलाई होगी , ये सब झूठ फैलाया का॔ग्रेस ने कि कांग्रेस ने देश आजाद कराया है , देश की आज़ादी में का॔ग्रेस का इतना ही योगदान है जितना उडद पर सफेदी होती हैं लेकिन हा॔ नेहरू ने देश के असल वारिसों के साथ अ॔ग्रेजो से मिलकर बहुत बड़ा धोखा किया और औछा बौना नेहरू एक तरहा से देश का जागिरदार बन बैठा और इस पाप में गाधीं भी नेहरू के पापों का बराबर का हिस्सेदार बना । लेकिन हा॔ नेहरू ने ख़ुद भी और अपनी आने वाली नस्लों को भी राजनीति का पाठ बहुत अच्छा पढा और पढाया कि यदि तुम्हारे पास सत्ता है तो अपने / दूसरे बेशक वो का॔ग्रेस का ही कयूँ ना हो कभी भी इतना मत पनपने दो कि कल वो तुम्हारी सत्ता का दावेदार बन जाए । जब भी तुम्हे लगे कि यह पनपने लगा है तभी उसके पर कतर कर / कुछ भी इलज़ाम लगा कर उसे सत्ता से ज्यादा भी नहीं तो कुछ दिनों के लिए झटका दे दो और यही बात इदिंरा गाधीं के खूब काम आई , उसने का॔ग्रेस तो दूर दूसरे भी किसी दल को उभरने नहीं दिया । खैर नेहरू ने देश के ब॔टवारे के नाम पर हिन्दुओं के साथ बहुत बड़ा धोखा किया मुस्लिम मुस्लिमो के नाम पर पाकिस्तान बना दिया लेकिन आधे मुस्लिमो को भारत में ही रोक लिया और ये कोई सिर्फ इलज़ाम नहीं है बल्कि इतिहास की पुस्तकों में दर्ज बहुत बड़ी सच्चाई हैं , रहीं सही कसर 1971 में इदिंरा गाधीं ने ब॔गलादेश की आज़ादी के नाम पर करोड़ों मुस्लिम घुसपैठिये जो 71 में भारत में आ गए थे उन्हें का॔ग्रेस ने कभी वापस भेजने की जहमत तक नहीं की बल्कि आगे चलकर तो करोड़ों मुस्लिम घुसपैठिये ब॔गलादेश एवं बर्मा से रौहि॔गया मुस्लिम सभी मिलाकर आज कम से कम 5-7 करोड़ घुसपैठिये भारत में मौजूद हैं जो देश की सिर्फ कानून व्यवस्था के लिए नहीं अपितु हमारे भारत के गरीबों के हकों पर डाका डाल रहे हैं , लेकिन का॔ग्रेसीयो॔ जैसे कुछ अन्य दलों के भी नालायक नेता उन घुसपैठियों की ढाल बनकर खड़े हो जाते हैं और किस लिए ? सिर्फ वोटों के लिए ।
900k congratulations to Pradip Singh ji
स्वतंत्र वीर सावरकर जी को मेरा सत सत नमन। जय हिन्द वंदे मातरम।
स्वातंत्र्यवीर सावरकर के महान कार्य के लिए उन्हे भारत रत्न मिलना चाहिए
जय श्री राम 💐💐🙏
Mafiveer ke liye konsa purushakaar hota hai
kanoon ka palan karna maafiveer nahi sabhya hota hai@@vaibhavsikera8630
@@vaibhavsikera8630
अयोध्या के श्री राम मंदिर ...
मथुरा की श्री कृष्ण जन्मभूमि ...
बनारस के काशी विश्वनाथ मंदिर ...
गुजरात के सोमनाथ मंदिर ...
और देश के हज़ारों मंदिर तो*ड़*क*र ...
वहां मस*जिदें बनाने का खामि*या*जा ...
जि*#हा*दि*यों को भुग#*तना पड़ेगा ...
😡😡😡😡😡😡😡😡😡
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
उत्पन्नौ द्वौ महाघोरौ,
गन्धासुर-जवासुरौ।
नाथूरामस्तदा वीरो,
गन्धासुरवधं व्यधात्।।१।।
किन्तु भारतभाग्यस्य,
वैपरीत्येन दुर्मतिः।
हिन्दुसंस्कृतिनाशाय,
जीवति स्म जवासुरः।।२।।
कृत्वा बहूनि पापानि,
राष्ट्रद्रोहसमानि च।
चीनदेशात्परास्तः सन्,
स ममार जवासुरः।।३।।
परम सत्य एवं साहसिक विवेचना।साधुवाद।
स्वतंत्रता आंदोलन के दो महान सपूत,
वीर सावरकर और नेताजी सुभाष।
वीर सावरकर और नेताजी थे सूरज,
बाकी सब थे चिराग।।
कुछ नेता ने भी लिया था,
स्वतंत्रता आंदोलन में भाग।
उसमें थे जिन्ना और जवाहर लाल,
प्रधानमंत्री बनने के लिए भारत का किया दो भाग।।
यह तो ऐसी बात है कि कोई बच्चा कैसी अस्पताल में पैदा हो और उसका नाम अस्पताल को चलाने वालों की लिस्ट में शामिल कर लिया जाए ।
veer savarkar ji ko naman
इनकी बस चले तो सोनिया के परिवार का भी आजादी मे योगदान बता देते. गपोडी के घर गपो की किया कमी।.वीर सावरकार जी के चरण मे नमन।
बहुत तथ्यात्मक और प्रभावशाली रिपोर्ट.
सावरकर जी को कोटि कोटि नमन ❤❤❤
देश भक्तों से गद्दारों को डर लगना ही चाहिए
भारत माता कि जय हो
बीर सावरकर जी एक महान विद्वान आत्मा थी
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
*भगवान श्रीराम लला के आज दिनांक २२/८/२०२४ प्रातःकालीन आरती श्रृंगार के दिव्य दर्शन जन्मभूमि अयोध्या से*🛕🚩🪷🔱🔔🐄🐚📿
*रामाय रामभद्राय रामचन्द्राय वेधसे।*
*रघुनाथाय नाथाय सीताया: पतये नम:॥*
🙏🙏🙏🙏🙏
*जय श्रीराम* 🙏🙏🙏🙏🙏
सभी सनातनी, हिन्दू राष्ट्र की मांग करें
महान जन नायक वीर सावरकर,
स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर को शत् शत् नमन ।
वीर सावरकर सच्चे देशभक्त थे🙏🙏🙏🚩🚩🚩
बीर सावरकर महानतम पुरुष बार बार नमन
9 लाख सब्सक्रिप्शन की हार्दिक बधाई ,आदरणीय प्रदीप जी
Support Vir Sawarkar
एकदम बढिया विवेचन किया है। वीर सावरकर एक महान राष्ट्रवादी ओर दार्शनिक थे। उनकी तुलना केवल नेताजी सुभाष जैसे लोगोंसेही की जा सकती है।
Veer Savarkar ji jindabaad jindabaad 🙏🇮🇳🇮🇳
very good analysis sir " सकल हिंदु समाज " एकसाथ ' कमल ' फुल की बटन दबाये और काँग्रेस को उखाड फेके जय श्रीराम जय हनुमान जय हिंदु राष्ट्र 🙏🚩🛕
यह डर अच्छा है और होना भी जरूरी है क्योंकी विर सावरकर जी के नाम के साथ नाम लेने जैसा काँग्रेस का एक भी नेता आज भी मौजूद नहीं है और ना भविष्य में होगा!
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
@@parasnathyadav3869 धन्यवाद वीर सावरकर जी ने जेल में जो यातनाए भुगती हैं नेहरू सिर्फ दिखावे के लिये जेल जाते थे नेहरू तो सावरकर जी पैरो की धूल के बराबर भी नहीं थे!
@@ranjitlalpardeshi7835 जय श्री राम 💐🌹💐🙏🙏🙏🙏
कांग्रेस के अनुसार, सावरकर अपने पूरे जीवनकाल में सच्चे देशभक्त नहीं थे। और इसलिए उनका बहिष्कार किया गया। यह तर्कसंगत है। कांग्रेस से ऐसी उम्मीद करना आपकी भूल है। मैं आपको अपनी गलती सुधारने का एक तरीका बताता हूँ।
जय हिंदू राष्ट्र जय सनातन धर्म जय काशी विश्वनाथ हर हर महादेव!
ये सब प्रदीपसिंहजी जैसे कायर लोगों की देन है। मैं कम से कम 50 साल से सावरकर की वीरता के बारे में सुन रहा हूँ। एकतरफा खबरें देने के बाद चैनल का नाम आजका अखबार रखने में क्या मजा है? चैनल के नाम पर जो मूर्खता दिखती है, वही इतिहास जैसे विषय पर भी दिखती है।
भारत एक राष्ट्र है। इसलिए भारत का इतिहास एक होना चाहिए, जिसमें थोड़ा बहुत अंतर हो। कांग्रेस के नाम पर रोने में क्या मजा है? इतिहास को तर्कसंगत बनाने का प्रयास करना चाहिए। एक राष्ट्र का एक इतिहास बनाने का प्रयास करना चाहिए। मैं ही ऐसा प्रयास करने वाला व्यक्ति हूँ। मैंने सरकार को 1400 प्रार्थनाएँ दी हैं कि मुझे जाति और धर्म व्यवस्था के साथ इतिहास पर देशव्यापी चर्चा आयोजित करने में सुविधा हो। मेरी विशेष रूप से तैयार की गई चर्चा प्रणाली सत्य को खोजने में सक्षम है।
माननीय सोनियाजी और राहुलजी भी सावरकर को नेहरू से बेहतर मानने से नहीं बच पाएंगे...बशर्ते कि यह सच हो।
यदि आप चाहते हैं कि कांग्रेस सावरकर को नेहरू से बेहतर स्वतंत्रता सेनानी के रूप में स्वीकार करे, तो कृपया मेरा और मेरे देशव्यापी चर्चा के विचार का समर्थन करें। लेकिन सरकार मेरा समर्थन नहीं कर रही है। मैं चाहता हूं कि श्री प्रदीपसिंहजी मेरी टिप्पणी पढ़ें और मेरा समर्थन करें। आखिर वे भी भारत के एक सम्मानित नागरिक हैं। (मैं इतिहास के संदर्भ में अपने देश को मूर्ख राष्ट्र कहता हूं। इसलिए मैं प्रदीपसिंह को मूर्ख कहता हूं। अन्यथा वे बहुत उच्च कोटि के बुद्धिजीवी हैं।)
देशव्यापी चर्चा उन्हें देश के सामने अपने सबूत पेश करने का अवसर देगी। और चर्चा की मेरी विशेष प्रणाली कांग्रेसियों को सबूतों के आधार पर सत्य को स्वीकार करने वाला व्यक्ति बनाएगी।
माननीय मोदी जी की सरकार कांग्रेसियों और वामपंथियों जैसे झूठे लोगों से डरती है। इसलिए यह सरकार मेरी 1400 प्रार्थनाओं को अनदेखा कर रही है।
अवधूत जोशी
सर कोई भी यह समझने के लिए तैयार क्यों नहीं है कि कांग्रेस ही मुस्लिम लीग है मुस्लिम लीग ही कांग्रेस है
Satya hai.
Yes
प्रदीप सिंह जी को साधुवाद 🙏
जंबूद्वीप अखंड भारत की जय वंदेमातरम
सावरकर के नाम से कांग्रेस वैसे ही डरती है जैसे भूत पिशाच महावीर हनुमान जी के नाम से डरते हैं।____योगेश सेठी
सहमत हूं भाई प्रदीप जी 🙏
आज की सोनिया/राहुलिया कांग्रेस को हिन्दू और वीर सावरकर के नाम से नफ़रत है। इसीलिए कांग्रेसी इन शब्दों को अपनी जुबान पर नहीं लाते हैं, अगर लाएंगे तो उनकी जुबान गल जाएगी।
Yes
प्रदीप जी नमस्कार धन्यवाद आभार
महानतम अभिवादन वीर विनायक दामोदर जी सावरकर🌹🌹🌹🌹🌹
हर हर महादेव 🌹🌹🙏
हिंदुत्व के विरोध का निम्न दौर सोनिया के सक्रिय राजनीति में आने के बाद शुरू हुआ। इनके बस की नहीं है कि सावरकर बौना बना दें,जबतक देशभक्त एक भी जीवित है। धन्यवाद प्रदीप बाबू
बहोत सटीक विश्लेषण किया है. आमलोगोंके दिल की बात बताई हैं
वीर सावरकर अमर रहें अमर रहें
सही पकड़े हो सर जी
भारत माता के महान सपूत का सम्मान अवश्य होना चाहिए प्रणाम
Veer savarkar ko pranam
*_" स्वतंत्रता संग्राम के असली सेनानीयों से कांग्रेस के नेहरू खान ईसाई वंशजों को डर लगता है। "_*
@@kantilaljain4529 जय श्री राम 💐💐🙏
जय श्रीराम हर हर महादेव प्रदीप सिंह जी
आने वाले समय में वीर सावरकर और सुभाष चंद्र बोस को लोग नायक और गाँधी नेहरू को खलनायक के रूप में याद करेंगे.
प्रदीपजी अच्छा है, खरगेने वीर सावरकर का नाम नहीं लिया, क्यूंकि ऐसे लोगोंको जिन्हें सिर्फ चापलूसी आती है, वो क्या जाने असली वीर क्या होते हैं।😢😢😢
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
बिलकुल सही कहा है
SHAT SHAT NAMAN TO GREAT FREEDOM FIGHTER OF BHARAT VEER SAWARKAR.
श्रद्धेय प्रदीप सिंह जी हार्दिक बधाई 9 लाख subscriber के लिए,जल्दी ही 10लाख हों शुभकामनाएं
नमस्कार सर जय श्रीराम सर कांग्रेस हर उस बीर से डरती है जो देश भक्त थे जिन की बजह से आजादी दिलाई जो हिन्दू थे सबसे डरते हैं कही लोग जागरूक हो गये तो कांग्रेस का सच जान जायगे कांग्रेस का काला इतिहास रहा है बीर सावरकर जी के चरणों में कोटि कोटि नमन करते हैं कांग्रेस बीर सावरकर जी के पैरो के जुती भी नहीं है
@@parwati925 हर हर महादेव 💐💐💐🙏🙏🙏
भाजपा का प्रचारतन्त्र और प्रसारतन्त्र फेल हो चुका है ।इस और ज्यादा काम की जरूरत है ।
बीर सावरकर को सत सत नमन