जिनवाणी माता का अर्घ्य। अर्घ्यावलि। जिनेन्द्र अर्चना। स्वर- पं. भरतभाई महेता 'ज्ञायक', सूरत।

Поделиться
HTML-код
  • Опубликовано: 29 ноя 2024

Комментарии •