हिन्दू धर्म को नुक्सान पहुंचा ने वाले स्वयं हिन्दू ही हैं। इस बारे में गहन विवेचन की जरूरत है और सफाई का भी ध्यान रखना चाहिए। आप इस बारे में जानकारी देते हैं बहुत सराहनीय कदम है।🙏🙏
हर हर महादेव,,,, ॐ नमः शिवाय,, भाई साब नमस्कार, आपने इस वीडियो के माध्यम से जो सन्देश दिया है वो बहुत ही सुंदर है, मेरे विचार से तो मन्दिर के पट शीत कालीन के लिए बंद होने के समय से ही चौपता से ही तुंगनाथ जी के ट्रैक पर किसी का भी जाना वर्जित कर देना चाहिए, जो हिन्दू अपने भगवान की मर्यादा से खेल सकता है वो कुछ भी कर सकता है,,,, उसमे भी पर्यटक के तौर पर आने वाले लोगों में ज्यादातर महिलाएं ही ऐसी हरकतें करती हैं,,,, और जो लोग ऐसी जगह जाकर शराब का सेवन करते हैं उनके लिए तो "थू" है,,, मर जाना चाहिए ऐसे लोगों को, हिन्दू होने पर कलंक हैं वो लोग,,, आएगा वो दिन भी जल्द ही, जब भगवान फिर से तबाही दिखाएंगे,,, स्थानीय लोगों को भी शर्म आनी चाहिए, जो कि सिर्फ पैसे के लिए मर रहे हैं, बल्कि पर्यटकों की ऐसी हरक़तों के लिए उन्हें स्वयं आगे आना चाहिए,,,, अगर जल्द ही कुछ न किया गया तो निश्चित ही विनाश होगा,,,,
जय पंच केदार देव भूमि, कोटि-कोटि प्रणाम। पावन तीर्थ स्थल को न बनने दें पर्यटन स्थल। देव भूमि के वासी,सब मिलकर करें पहल।। आज और 25 वर्ष पहले की तुलना करने पर जो तस्वीर दिखाई दे रही है,वह हमारे तीर्थ स्थलों के भविष्य के लिए बहुत ही चिंतनीय है।??? गुंसाई जी आप बहुत बहुत बधाई के पात्र हैं। धन्यवाद।
Trek ki starting m checking honi cahiye ki koi bhi aisi wastu le kar Trek par na jaye jo ki galat ho aur aam aadmi ko khud se ye sochna cahiye ki ye koi paryatak sthal nahi h astha ka pratik h
मैं वर्ष में तीन बार उत्तराखंड में इन्हीं स्थानों के दर्शन हेतु आता हूं , तुंगनाथ से बद्रीनाथ की ओर जाने के रास्ते पर एक गांव पड़ता है मंडल , जहां मां अनुसूया का मेला प्रतिवर्ष दिसंबर के महीने में रहता है मैं वहां भी आ रहा हूं ( यदि ईश्वर की इच्छा हुई तो ) इस बार 3 और 7 दिसंबर का मेला है , बहरहाल मैं जब जब आता हूं तब तब मेरे मन में पर्यावरण को लेकर बहुत सी बातें या विचार दिमाग में आते रहते हैं , प्लास्टिक का उपयोग उनमें से प्रमुख है , इस बार जब मैंने यात्रा की तो मैं अपने घर से ही स्टील की एक बोतल लेकर के गया था और यह कसम खाकर गया था कि मैं उत्तराखंड में स्थानीय लोगों से पानी मांग कर पी लूंगा लेकिन प्लास्टिक की बोतल का उपयोग नहीं करूंगा , क्योंकि उत्तराखंड जाने की शुरुआत कब हुई थी लगभग 2009 के आसपास , तब वहां प्राकृतिक पानी के कितने स्तोत्र मिला करते थे ,अब तो सब खत्म होते जा रहे हैं , इसकी मुख्य वजह प्लास्टिक ही है , उत्तराखंड सरकार को चाहिए कि जब यात्रा प्रारंभ हो हो तब ऊपर जाने वाली प्रत्येक गाड़ी की अच्छे से जांच की जाएगी उसमें प्लास्टिक का सामान तो नहीं जा रहा , प्रत्येक यात्री को चाहिए कि वह अपनी जरूरत को पूरा करने के लिए खुद सामान की व्यवस्था करें , और सरकार को यह भी चाहिए जो खाने-पीने का पैक सामान ऊपर जाता है उसके खाली रैपर, स्थानीय निवासी इधर-उधर ना फेंके, बड़ी-बड़ी कंपनियों को बिना पैक किया हुआ सामान ऊपर भेजने की इजाजत देनी चाहिए पैक सामान पर पूर्णतया प्रतिबंध हो तो ज्यादा अच्छा है , नहीं तो सुधारने वाला कोई भी नहीं , लेकिन यह प्रकृति हमें सुधार देगी , आज नहीं तो कुछ समय पश्चात 2013 जैसी त्रासदी दोबारा आ जाएगी , समय रहते हिंदू खुद जागृत हो जाए तो अच्छा है, नहीं तो कुदरत न्याय करना जानती है
ESI khubsurat jagah ko hum sabko bacha kar rkhna jaruri hai bahot hi sundar hai sari vadiya sabko jagruk hona padega Tbhi ye humari pidiyan dekh payngi i Jai nanda Jai bhole nath
आपकी तुंग नाथ यात्रा ने फिर मन को मोह लिया l आपने महज यात्रा और वहां के अद्भुत सोंदर्य को ही नही परिभाषित किया बल्कि वहाँ कि सामाजिक, धार्मिक और पर्यावरण की समस्या को भी स्पष्ट रूप में सामने रखा, आशा है कि शासन उसको संज्ञान में लेगा l
ये सब मेरे दिल के पास है। वैसे भी जहां शासन प्रशासन फेल हो जाए तो हम नागरिकों का कर्तव्य बनता है कि हम ना तो गंदगी फैलाएं और अगर गंदगी है तो उसे साफ करने में वहाँ के वासियों की सहायता करें। जय केदार बाबा की।
Chupata tumnaat ke Kapat closing ki ceremony bahut Jabardast Lagi Sath hi Sath Kafi sari mahatvpurn jankariyan aapke video ke Madhyam se janne ko Mili uske liye aapka बहुत-बहुत dhanyvad
People go from chopta, have some drinks over there, clicks picture with ice n come back to chopta leaving all their trash to tungnathji, it should be banned, kedarnath sanctuary shoud be protected from so called rowdy tourist who have no respect to Lord Himalaya... Love you sandip ji from kolkata
संदिपजी, आपकी naration शैली मुझे बहोत भाती है। आपका हर एपिसोड सोचने के लिये मजबूर करता है, क्योकीं उसमे सामाजिक दायित्व का महत्व आप उजागर करते है। मैने चारधाम यात्रा दोबार की है, मगर आपकें व्हिडीओ देखने के बाद मुझे तुंगनाथ और ऐसी काई जगह देखने का मन हो रहा है। आशा करता हुं ,आप समाज के लिये अपना कार्य अखंड जारी रखे। जय बाबा केदार
Interesting questions have been raised.better that the temple complex be cordoned off in winter and the winter Trek continues.for nature lovers. Plastic should be banned
Seriously restrict karna hein base mein. Strictly prohibit taking any plastics while starting trek. Yes you should not allow tourist when temple is closed. This is a pilgrimage centre. Do not allow liquor and plastics. Yes i too had seen in one youtube channel.
🙏जय तुंगनाथ जी🙏 जय देवो के देव महादेव 🙏संदीप जी rural tales में फूलो की घाटी का स्वच्छ वातावरण देखने को मिला उसी प्रकार से दैवभूमि के तीर्थ स्थल और पर्यटन स्थल पर प्रदूषण युक्त प्लास्टिक की जांच होने के बाद ही आगे जाने देना चाहिए अन्यथा हम नही सुदरेगे ,प्लास्टिक पर प्रतिबन्ध के बाद ऐ हाल है,
Bhai aap par baba ki kirpa bani rahe 🙏apka video sabsey alg hota hy.or puri jankari k saath.....agr baba ka aashirwad chahtey ho to kripya gandgi na karey... 🙏
इस प्रकार के फूल हमारे क्षेत्र में भी पाए जाते हैं इसे स्थानीय लोग रात्पा का फूल कहते हैं। जिसके वृक्ष बुग्याल के समांतर फैलती है बहुत छोटे होते हैं। अत्यधिक हिमपात कारण यह पेड़ अधिक ऊंचाई वाले नहीं होते है मुंसियारी के खलिया टॉप जाते समय भी यह पेड़ देखे जा सकते हैं।कई फूल कलर फैट भी होता है कहीं-कहीं पर कोई फूल पर्पल कलर के भी दिखाई देता है जैसे लाल बुरास को जब हम हाथों में लेकर अन्य क्षेत्र को जाते हैं तो कुछ समय पश्चात वह सफेद रंग का हो जाता है।
हम स्थानीय लोग हैं , हम जब चाहेंगे तब जायेंगे.........बर्फ हो या तूफान , हम पर्यटक नही हैं, पहाड़ हमारा घर है, हमारा जीना मरना यही है.........प्रतिबंध उनपर लगे जो केवल मौजमस्ती के लिए आते हैं
@@addicssy_ सुमित भाई, गंदगी पहाड़ी लोग भी जी जान से फैला रहे हैं ये सत्य है...........लेकिन आने जाने पे किस बात का प्रतिबंध?? और मैं केवल हमारी बात कर रहा हूं.......... मैं कहीं भी जाता हूं प्लास्टिक कचरा अपने साथ वापस लेकर आता हूं
@@addicssy_ सुमित भाई मैं तो बर्फ में किसी भी प्रकार के खेल, पर्यटन का विरोधी हूं..........प्रकृति बर्फ इसलिए नही गिराती कि आप उसको बर्बाद कर डालो...........बल्कि उसका वैज्ञानिक कारण है.......खैर बहुत बातें हो चुकी, होती रहेंगी लेकिन स्थिति परिस्थिति कोई समझना नही चाहता.........सुधार तो भूल जाइए
मंदिर प्रांगण मे जाना prohibited 🚭कर देना चाहिए. बाकी जगह पर जा सकते हैं. इससे उत्तराखंड को tourist charge से develop होगा. साफसफाई को पैसा मिलेगा. हर हर गंगे हर हर महादेव 🙏🚩.
मुझे तो लगता है इन सभी जगहों पर इंसान का जाना ही ban कर देना चाहिए हम पिछले दिनों तुंगनाथ जी के दर्शन के लिए गए थे आगे जब हम चंद्रशिला गए तो वापसी में एक थैला भर कर garbage भर कर लाए,इतना दिल दुखी होता है लोगों ने सिर्फ picnic spot बना कर रख दिए हैं।अब आस्था से ज्यादा दिखावे ने ले ली है।सबको सिर्फ reel बनानी है। जय महादेव🙏
Tourism is boost for Uttrakhand Economy and in future will grow. Govt should open new tourism tracks in planned way and should also develop basic infrastructure around these tracks. And of course God places should be worshipped and they are not tourist spots.
What? So you want that Nature should be compromised for Idiot Tourists who don't even know how to live. One who can't live happily at one place cannot stay happy anywhere. They come in hills but to get enjoyment but what they give in return is Just Their shit and Bad deeds
ये बात सत्य है कुछ गलत लोंगो की वजह से हमारे पूज्य जो मठ है लोग वंहा पर भी इस तरह के घिनोने कार्य कर रहे हैं 6 महीने शीतकाल मे यंहा बिल्कुल बंद होना चाहिए ये बात भी बड़ी चिंताजनक है जो प्लाटस्टिक का कचरा फैल रहा है
केदारनाथ में दारू की बोतले मिली हैं प्रशासन को कोई भी ट्रेक पर पानी के अलावा कुछ नही ले जाने चाहिए अगर कुछ ले जाओ तो उसे वापिस लेकर आओ ये नियम होना चाहिए
Jo sadhu Sant nhi h, kashmir Jane k badle jo devbhumi ghinane ay h vo log ashram m or camp m rhne nhi dena chahiye food ka room ka jugad nhi hoga to ye tourist nhi aynge. JAI MATA RANI... 🙏🙏❤️❤️🌹🌹🙏🙏
har har Mahadev, hum log khud jimmedar hai ki bhagwan ke sthan ka sahi maryada hum nahi rakh pate, isi liye prakriti mata bhi hum pe naraz hoke jagah jagah akrosh prakat kar rahe hai.....hume yeh saral si baat hume samajh jana chahiye
संदीप, सब ब्यावसाय हो गया है, सब को पैसे से मतलब है चाहे दुकानदार हो जंगलात या चुटभैया नेता... तुंगनाथ पर्यटन स्थल बन गया है, आप हम जैसे ही कुछ लोग को दुख होता है ये देख कर... बाकी सब पैसे के पीछे है.... मैं खुद देखा है वहां लोगों को जूते के साथ जाए हुए... कपाट बंद तो फिर क्या रखा है वहां , मंदिर के प्रांगण मैं नो एंट्री होनी चाहिए
हिन्दू धर्म को नुक्सान पहुंचा ने वाले स्वयं हिन्दू ही हैं। इस बारे में गहन विवेचन की जरूरत है और सफाई का भी ध्यान रखना चाहिए। आप इस बारे में जानकारी देते हैं बहुत सराहनीय कदम है।🙏🙏
Aapse bilkul sehmat hai is baat pe.
हर हर महादेव,,,, ॐ नमः शिवाय,,
भाई साब नमस्कार, आपने इस वीडियो के माध्यम से जो सन्देश दिया है वो बहुत ही सुंदर है, मेरे विचार से तो मन्दिर के पट शीत कालीन के लिए बंद होने के समय से ही चौपता से ही तुंगनाथ जी के ट्रैक पर किसी का भी जाना वर्जित कर देना चाहिए, जो हिन्दू अपने भगवान की मर्यादा से खेल सकता है वो कुछ भी कर सकता है,,,, उसमे भी पर्यटक के तौर पर आने वाले लोगों में ज्यादातर महिलाएं ही ऐसी हरकतें करती हैं,,,, और जो लोग ऐसी जगह जाकर शराब का सेवन करते हैं उनके लिए तो "थू" है,,, मर जाना चाहिए ऐसे लोगों को, हिन्दू होने पर कलंक हैं वो लोग,,, आएगा वो दिन भी जल्द ही, जब भगवान फिर से तबाही दिखाएंगे,,, स्थानीय लोगों को भी शर्म आनी चाहिए, जो कि सिर्फ पैसे के लिए मर रहे हैं, बल्कि पर्यटकों की ऐसी हरक़तों के लिए उन्हें स्वयं आगे आना चाहिए,,,, अगर जल्द ही कुछ न किया गया तो निश्चित ही विनाश होगा,,,,
जय तुंगनाथ महादेव
बहुत ही सुंदर संदीप जी मंदिर की सुंदरता व भब्यता बनाये रखने के लिए वन विभाग को ठोस कदम उठाने जरूरी है
🙏🙏
जय पंच केदार देव भूमि, कोटि-कोटि प्रणाम।
पावन तीर्थ स्थल को न बनने दें पर्यटन स्थल।
देव भूमि के वासी,सब मिलकर करें पहल।।
आज और 25 वर्ष पहले की तुलना करने पर जो तस्वीर दिखाई दे रही है,वह हमारे तीर्थ स्थलों के भविष्य के लिए बहुत ही चिंतनीय है।???
गुंसाई जी आप बहुत बहुत बधाई के पात्र हैं। धन्यवाद।
टोलिया जी शुक्रिया
जय तुंगनाथ जी की,दोबारा जाने की इच्छा है,सबकी मनोकामनाएं पूरी हो,जय देवभूमि
Trek ki starting m checking honi cahiye ki koi bhi aisi wastu le kar Trek par na jaye jo ki galat ho aur aam aadmi ko khud se ye sochna cahiye ki ye koi paryatak sthal nahi h astha ka pratik h
हर हर महादेव जय कालो के काल जय श्री महाकाल बहुत अच्छी जगह बताएं जय श्री कृष्णा राधे-राधे मध्य प्रदेश से
आपके विषय बहुत ही सुंदर और तथ्य भरे होते हैं।
मैं वर्ष में तीन बार उत्तराखंड में इन्हीं स्थानों के दर्शन हेतु आता हूं , तुंगनाथ से बद्रीनाथ की ओर जाने के रास्ते पर एक गांव पड़ता है मंडल , जहां मां अनुसूया का मेला प्रतिवर्ष दिसंबर के महीने में रहता है मैं वहां भी आ रहा हूं ( यदि ईश्वर की इच्छा हुई तो ) इस बार 3 और 7 दिसंबर का मेला है , बहरहाल मैं जब जब आता हूं तब तब मेरे मन में पर्यावरण को लेकर बहुत सी बातें या विचार दिमाग में आते रहते हैं , प्लास्टिक का उपयोग उनमें से प्रमुख है , इस बार जब मैंने यात्रा की तो मैं अपने घर से ही स्टील की एक बोतल लेकर के गया था और यह कसम खाकर गया था कि मैं उत्तराखंड में स्थानीय लोगों से पानी मांग कर पी लूंगा लेकिन प्लास्टिक की बोतल का उपयोग नहीं करूंगा , क्योंकि उत्तराखंड जाने की शुरुआत कब हुई थी लगभग 2009 के आसपास , तब वहां प्राकृतिक पानी के कितने स्तोत्र मिला करते थे ,अब तो सब खत्म होते जा रहे हैं , इसकी मुख्य वजह प्लास्टिक ही है ,
उत्तराखंड सरकार को चाहिए कि जब यात्रा प्रारंभ हो हो तब ऊपर जाने वाली प्रत्येक गाड़ी की अच्छे से जांच की जाएगी उसमें प्लास्टिक का सामान तो नहीं जा रहा , प्रत्येक यात्री को चाहिए कि वह अपनी जरूरत को पूरा करने के लिए खुद सामान की व्यवस्था करें , और सरकार को यह भी चाहिए जो खाने-पीने का पैक सामान ऊपर जाता है उसके खाली रैपर, स्थानीय निवासी इधर-उधर ना फेंके, बड़ी-बड़ी कंपनियों को बिना पैक किया हुआ सामान ऊपर भेजने की इजाजत देनी चाहिए पैक सामान पर पूर्णतया प्रतिबंध हो तो ज्यादा अच्छा है ,
नहीं तो सुधारने वाला कोई भी नहीं , लेकिन यह प्रकृति हमें सुधार देगी , आज नहीं तो कुछ समय पश्चात 2013 जैसी त्रासदी दोबारा आ जाएगी ,
समय रहते हिंदू खुद जागृत हो जाए तो अच्छा है, नहीं तो कुदरत न्याय करना जानती है
सुंदर ब्लॉग हर बार की तरह। जय तुंगनाथ जी की।
ESI khubsurat jagah ko hum sabko bacha kar rkhna jaruri hai bahot hi sundar hai sari vadiya sabko jagruk hona padega
Tbhi ye humari pidiyan dekh payngi i
Jai nanda
Jai bhole nath
जय श्री बाबा तुंगनाथ जी महादेव जय देवभूमि उत्तराखंड हर हर महादेव 🙏
Bahut dukh hota hai jab ye gandagi dekhne ko milti hai.
Sandeep ji aap ka paryas bahut acha hai.
जय तुगनाथ ब बहुत सुदर मंदिर हे
Sahi baat h bhai ji gandgi se hi to watavaran kharaab ho rha h
जय पंच केदार देव भूमि, कोटि-कोटि प्रणाम।
हर हर महादेव सर जी आपने याद ताजा कर दी 🙏
बहुत सुंदर जानकारी दी आपने 🌹🙏👍
फरवरी me गए थे यहा .. बहुत बर्फ थी.... इतना सुन्दर था कि शब्दों me नहीं बता सकते...
Good think
Watch from gurgaon.
Sir you are greate
आपकी तुंग नाथ यात्रा ने फिर मन को मोह लिया l आपने महज यात्रा और वहां के अद्भुत सोंदर्य को ही नही परिभाषित किया बल्कि वहाँ कि सामाजिक, धार्मिक और पर्यावरण की समस्या को भी स्पष्ट रूप में सामने रखा, आशा है कि शासन उसको संज्ञान में लेगा l
संज्ञान में लेना भी चाहिए।
जय बाबा तुन्ग्नाथ।
विंटर ट्रेक बंद होना चाहिये।
मर्यादा भंग नही होना चाहिये।
Bade bhai aapki video bhi acchi hai aur plastic ko Lekar Jo pahal kar rahe ho vah bhi bahut badhiya hai thanks
ये सब मेरे दिल के पास है। वैसे भी जहां शासन प्रशासन फेल हो जाए तो हम नागरिकों का कर्तव्य बनता है कि हम ना तो गंदगी फैलाएं और अगर गंदगी है तो उसे साफ करने में वहाँ के वासियों की सहायता करें। जय केदार बाबा की।
Bahut achcha dicission liye hyay sare pandi ji ne .jay tunganath ki
Apka, video bohut bohut help kar Raha hai tourism badhane mein.Ham app ka har video bohut pasand karte hai.
Chupata tumnaat ke Kapat closing ki ceremony bahut Jabardast Lagi Sath hi Sath Kafi sari mahatvpurn jankariyan aapke video ke Madhyam se janne ko Mili uske liye aapka बहुत-बहुत dhanyvad
जय श्री केदार 🙏🙏
संदिप भैजी बहुत बहुत धन्याबाद आपका बहुत ही सुंदर जानकारी देते हो आप
अच्छा काम किया सर आप यह व्हिडिओ बनाके
Bhut sundar sir ji 🥰💐
Bahot bahot DHAnyawad
Itna achha Lagta h jab b Aapka program Aata h, Humare paas shabad Nahi h.
Mini tailor Mumbai
जय हो बाबा तुंगनाथ बहुत सुन्दर भाईजी 🙏🙏🙏🌹🌹🌹
Jai nanda jai himal 👌 🙏
People go from chopta, have some drinks over there, clicks picture with ice n come back to chopta leaving all their trash to tungnathji, it should be banned, kedarnath sanctuary shoud be protected from so called rowdy tourist who have no respect to Lord Himalaya... Love you sandip ji from kolkata
Jai bolenath jiiii🙏🙏🙏🙏🙏
Har Har Mahadev 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
Nice video 👍📸 thanks 🙏
Jai ho dev boomi uttrakhand
Lajawab picturization 🤩
mere arydhya shankar bhagwan ko 🙏🏾🙏🏾 pranam 💐💐
Nice Vlog Jai Nanda Jai Himal
Bahut acha ji
Keep clean.u .k. for Naturally thing is there. 👍👍
jai baba kedar jai baba tungnath 🙏🏼
pandit ji bilkul sahi bol rahe hai 6 maah kapat band hone par wahan bilkul band ho jana chahiye sabke liye ...
Absolutely correct. Tracking should be stopped.
fir apka ghar kaise chalega?
Har har Mahadev
Superb video..... amazing....
संदिपजी, आपकी naration शैली मुझे बहोत भाती है। आपका हर एपिसोड सोचने के लिये मजबूर करता है, क्योकीं उसमे सामाजिक दायित्व का महत्व आप उजागर करते है। मैने चारधाम यात्रा दोबार की है, मगर आपकें व्हिडीओ देखने के बाद मुझे तुंगनाथ और ऐसी काई जगह देखने का मन हो रहा है। आशा करता हुं ,आप समाज के लिये अपना कार्य अखंड जारी रखे। जय बाबा केदार
धन्यवाद सुधीर जी। कोशिश करता हूँ सिम्पल तरह से आपके बीच कहानियाँ लेकर आऊँ।
जय तुंगनाथ
kali shila temple bhi Darshan karwa do
treking jaha se start hoti hai vaha se plastic and alcohol ki checking karni chaiye
Jay tungnath mahadev sandip gosai
आप सही म हार्ड work कर रहे हो. हमें घर बैठे पुरा UK घुमने मिल रहा है. आपको बहोत बढाई. मार्च मे हम UK आनेवाले है. आपको मिलनेकी कोशिश कररेगे
Temple commetee should take action against lumpain. No need to Ban on tourism. It's good we should provide necessary facilities new tracking routes.
Interesting questions have been raised.better that the temple complex be cordoned off in winter and the winter Trek continues.for nature lovers. Plastic should be banned
Right
Sandip jii aapki vlog ka jo tune hai beautifull hai
Thank you sir
जय तुंग नाथ महा देव यित्ना सुंदर के क्या लिखे pr मंदिर को देख कर मंदिर अच्छा करने की माग क्यों नही करते
Bhai ji 🙏 ♥️
Jai baba Kedarnath ji
Har Har mahadev 🔱🚩🙏
भेजी औली की विडियो बनाओ कभी???
Sir tungnath main phir kam hai kerdernath main toh bilkul kachra bhra pda hai baki jgha bhut mast agar log vha kachra na kre toh .
Seriously restrict karna hein base mein. Strictly prohibit taking any plastics while starting trek.
Yes you should not allow tourist when temple is closed.
This is a pilgrimage centre.
Do not allow liquor and plastics.
Yes i too had seen in one youtube channel.
Har Har mahadev
Jai shree kedar sir 🙏
🙏जय तुंगनाथ जी🙏 जय देवो के देव महादेव 🙏संदीप जी rural tales में फूलो की घाटी का स्वच्छ वातावरण देखने को मिला उसी प्रकार से दैवभूमि के तीर्थ स्थल और पर्यटन स्थल पर प्रदूषण युक्त प्लास्टिक की जांच होने के बाद ही आगे जाने देना चाहिए अन्यथा हम नही सुदरेगे ,प्लास्टिक पर प्रतिबन्ध के बाद ऐ हाल है,
जय हो🙏
Bhai aap par baba ki kirpa bani rahe 🙏apka video sabsey alg hota hy.or puri jankari k saath.....agr baba ka aashirwad chahtey ho to kripya gandgi na karey... 🙏
Jabardast
Nice story.
Jia baba Tung nath ki।
#akhil_aish
Dilko praffulit karanevala video jay Himalaya jay nanda
Such a beautiful place.
ए सही है जब तुंगनाथजी के कपाट बंद हो जाएं उसके बाद चोपता से ऊपर जाने वाले सैलानियों को रोक देना चाहिए यहां जाने का कोई मतलब ही नहीं है
Jai baba tungnath ji 🙏 ki
Paryavaran ka dhyan sabse jruri hai population k sath sab kuch badh rha hai....
Jay Ho Baba tungnath🙏🙏
Jai uttarakhand
इस प्रकार के फूल हमारे क्षेत्र में भी पाए जाते हैं इसे स्थानीय लोग रात्पा का फूल कहते हैं। जिसके वृक्ष बुग्याल के समांतर फैलती है बहुत छोटे होते हैं। अत्यधिक हिमपात कारण यह पेड़ अधिक ऊंचाई वाले नहीं होते है मुंसियारी के खलिया टॉप जाते समय भी यह पेड़ देखे जा सकते हैं।कई फूल कलर फैट भी होता है कहीं-कहीं पर कोई फूल पर्पल कलर के भी दिखाई देता है जैसे लाल बुरास को जब हम हाथों में लेकर अन्य क्षेत्र को जाते हैं तो कुछ समय पश्चात वह सफेद रंग का हो जाता है।
पांच प्रजातियां होती है बुराश की
Jay Tung nath 🚩
Grat 👌👌
यह ट्रेक बन्द नही होना चाहिए , इससे पर्यटन पर आधारित लोगो का रोजगार खत्म हो जाएगा
I love tune
हम स्थानीय लोग हैं , हम जब चाहेंगे तब जायेंगे.........बर्फ हो या तूफान , हम पर्यटक नही हैं, पहाड़ हमारा घर है, हमारा जीना मरना यही है.........प्रतिबंध उनपर लगे जो केवल मौजमस्ती के लिए आते हैं
Kandwal ji tent v locals ke hi hain lagaye
Or pollution v hum hi kr re
Bhr ke log to pese dete
Hm pese leke saf v nhi krte
@@addicssy_ सुमित भाई, गंदगी पहाड़ी लोग भी जी जान से फैला रहे हैं ये सत्य है...........लेकिन आने जाने पे किस बात का प्रतिबंध??
और मैं केवल हमारी बात कर रहा हूं.......... मैं कहीं भी जाता हूं प्लास्टिक कचरा अपने साथ वापस लेकर आता हूं
Shrada ke liye jana or group leke sirf burf ke liye jana galat hai ..
Burf bahut se dando mein pdti
Srkar wha bhej skti janta ko..
@@addicssy_ सुमित भाई मैं तो बर्फ में किसी भी प्रकार के खेल, पर्यटन का विरोधी हूं..........प्रकृति बर्फ इसलिए नही गिराती कि आप उसको बर्बाद कर डालो...........बल्कि उसका वैज्ञानिक कारण है.......खैर बहुत बातें हो चुकी, होती रहेंगी लेकिन स्थिति परिस्थिति कोई समझना नही चाहता.........सुधार तो भूल जाइए
Great ❣️🤟
मंदिर प्रांगण मे जाना prohibited 🚭कर देना चाहिए. बाकी जगह पर जा सकते हैं. इससे उत्तराखंड को tourist charge से develop होगा. साफसफाई को पैसा मिलेगा. हर हर गंगे हर हर महादेव 🙏🚩.
Sab jaygah pe yehi hona chahiye. Aap Kolkata aiye aur Kalighat, Belurmath, Dakshineswar, Gangasagar aap ke liye bandh hona thik hoga.
Bilkul i am agree your think🙏🙏
Beautiful 😍
मुझे तो लगता है इन सभी जगहों पर इंसान का जाना ही ban कर देना चाहिए हम पिछले दिनों तुंगनाथ जी के दर्शन के लिए गए थे आगे जब हम चंद्रशिला गए तो वापसी में एक थैला भर कर garbage भर कर लाए,इतना दिल दुखी होता है लोगों ने सिर्फ picnic spot बना कर रख दिए हैं।अब आस्था से ज्यादा दिखावे ने ले ली है।सबको सिर्फ reel बनानी है। जय महादेव🙏
Tourism is boost for Uttrakhand Economy and in future will grow. Govt should open new tourism tracks in planned way and should also develop basic infrastructure around these tracks.
And of course God places should be worshipped and they are not tourist spots.
but environment must not be the victim of tourism, because there will be no tourism if we fail to protect our environment
What? So you want that Nature should be compromised for Idiot Tourists who don't even know how to live. One who can't live happily at one place cannot stay happy anywhere. They come in hills but to get enjoyment but what they give in return is Just Their shit and Bad deeds
@@SeekerWay environment is of course important, that's why I said in planned way. But flow of money and economic activities are also must.
Nice
Last year gya tha Bhai fir jaunga Mahadev ❤ ne bulaya to
Meri iccha he tungnath Track karne ki...konsa time best hoga?
HAR HAR HAR HAR MAHADEV JI
ये बात सत्य है कुछ गलत लोंगो की वजह से हमारे पूज्य जो मठ है लोग वंहा पर भी इस तरह के घिनोने कार्य कर रहे हैं 6 महीने शीतकाल मे यंहा बिल्कुल बंद होना चाहिए
ये बात भी बड़ी चिंताजनक है जो प्लाटस्टिक का कचरा फैल रहा है
सही कह रहे हो आप
केदारनाथ में दारू की बोतले मिली हैं प्रशासन को कोई भी ट्रेक पर पानी के अलावा कुछ नही ले जाने चाहिए अगर कुछ ले जाओ तो उसे वापिस लेकर आओ ये नियम होना चाहिए
Kedarnath raste me kuch bhi ho sakta he but vha ak bhi police wala nhi milega ye he vha ki vyastha😞
Jo sadhu Sant nhi h, kashmir Jane k badle jo devbhumi ghinane ay h vo log ashram m or camp m rhne nhi dena chahiye food ka room ka jugad nhi hoga to ye tourist nhi aynge.
JAI MATA RANI... 🙏🙏❤️❤️🌹🌹🙏🙏
Jay Sri ram
Kab tak close hoga bhaiji Tungnath trek?
har har Mahadev, hum log khud jimmedar hai ki bhagwan ke sthan ka sahi maryada hum nahi rakh pate, isi liye prakriti mata bhi hum pe naraz hoke jagah jagah akrosh prakat kar rahe hai.....hume yeh saral si baat hume samajh jana chahiye
सफाई नहीं हो रही है
संदीप, सब ब्यावसाय हो गया है, सब को पैसे से मतलब है चाहे दुकानदार हो जंगलात या चुटभैया नेता...
तुंगनाथ पर्यटन स्थल बन गया है, आप हम जैसे ही कुछ लोग को दुख होता है ये देख कर...
बाकी सब पैसे के पीछे है....
मैं खुद देखा है वहां लोगों को जूते के साथ जाए हुए... कपाट बंद तो फिर क्या रखा है वहां , मंदिर के प्रांगण मैं नो एंट्री होनी चाहिए
Band hona chahiye trek... sirf varshik pooja honi chahiye dharmik sthalon pr
👌👌