चौकिये नहीं राशिद इंजीनियर को न्यायलय से शपथ के लिए नए प्रकार की पेरोल
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- Опубликовано: 3 окт 2024
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ऐसे देश द्रोही व्यक्तियों को जेल जाते ही चुनाव लड़ने से रोकणा जरुरी है. जय हिंद
इनको फास्ट ट्रैक कोर्ट में सुनवाई करवाएं और हमेशा के लिए संसद से दुर रखें
काॅलेजियम खत्म कर न्यायिक सुधार जरूरी है।
ऐसे लोगों को चुनाव लड़ने व मतदान करने पर रोक होनी चाहिए। ऐसे प्रावधान होना जरूरी है।
देशद्रोही भी चुनाव लड़ सकते हैं
ये कैसी हास्यास्पद व्यवस्था है ।
SC को इस पर तुरंत संज्ञान लेकर ऐसे लोगो को लोकसभा में जाने नही देना चाहिए
जो अपराधी हैं, अपराध के आरोप में सजायाफ्ता हैं अथवा सजा भोग रहे हैं व जेल में हैं, ऐसे लोगों को वोट देने और चुनाव लड़ने का अधिकार नहीं मिलना चाहिए, लगता है हमारा संविधान ही विकृत है!!
निःसंदेह
राशिद इंजीनियर और अमृतपाल की बात नहीं है। इनकी मानसिकता के लोगों ने इनको जीता कर वहां भेजा गया है। यानी भारत में यह सोच आज भी जिंदा है और भारत का लोकतंत्र खतरे में है 😮😮😮
NIA को शपथ के लिए जमानत देने का विरोध करना चाहिए था ....
दुबे जी कानून बनने चाहिए सख्त कानून बनने चाहिए वह कैसे इलेक्शन लड़ जाते हैं जब उसके ऊपर मुकदमे दायर हैं जल्दी जल्दी मोदी जी को कानू बदलने चाहिए और इनको सबको सजा होनी चाहिए इलेक्शन नहीं लड़ने चाहिए थे
संसद से कानून बनाकर जमानत पर बाहर, जेल में बंद आरोपियो और सजायाफ्ता अपराधियों के चुनाव लड़ने और वोट डालने पर रोक लगाया जाना चाहिए।
मैं आपके इस विचार का समर्थन करता हूँ विचाराधीन कैदियों और सजायाफ्ता लोगों को राजनीति से दूर कर देना चाहिए इनके वोटिंग अधिकार एंड चुनाव लड़ने से वंचित कर देना चाहिए
मोदी सरकार को नेहरू और कांग्रेस द्वारा बनाए गए कानून जो आतंकवादियों भ्रष्टाचार लूट-खसोट करने वाले सदस्यों को जेल से चुनाव लडने का छुट प्रदान किया है सख्त कानून बनाकर ऐसे देशद्रोहियों को चुनाव लडने का अयोग्य घोषित किया जाए
Supreme Court me inke Aaka bethe hai, Adhikar Dene ke liye😮
100% agreed
ऐसे आदमी को संसद का देश का नागरिक भी नहीं होना चाहिए, मत का अधिकार खत्म हो
जिसका साथ
उसका विकास
ढीले ढाले लचर
शताब्दी पुराने कानून
बदलाव आवश्यक है।
🚩🚩🚩🇮🇳🚩🚩🚩
वाह भाई वाह यह है हमारा संविधान और हमारी न्याय प्रणाली।
Bilkul ji
इसके खिलाफ कानून बनना चाहिए दुबे जी की ताकि यह लोग जो है कभी चुनाव ना लड़ सके जय हिंद जय भारत🙏🙏🌹🌹
अंधा कानून
अंधी न्याय व्यवस्था
देश द्रोही
AANTAKWADI के खिलाफ
राष्ट्रपति से अध्यादेश लाकर कानून जल्दी पास हो
कानून अंधा नहीं है कुछ लोग वोकिज्म और हार्वर्ड का लाल रंग का चश्मा पहने हुए है
Agr ordinance laya jata hai toh kya wo savidhan ki hatya nhi mani jayegi,, bilkul hataya mani jayegi tab savidhan sar par utha kar har gali me gumma jayega, hr maa behen ko lal savidhan dikhaya jayega dekho modi ne savidhan ki hatya kar di,tab hr bajuarg maa, behen ko bahut dukh hoga kitne mushkil se bacha kar rakha tha ab bacho ko kha se padaenge savidhan
राशिद इंजीनियर हो या अब्दुल्ला परिवार,, सभी अलगाववादी विचार धारा के समूह है,,,,, क्या फर्क कौन जीता,,,,
अलगाववादी विचार धारा ही जीती,,,,,,
हार तो राष्ट्रीय विचार धारा की ही होती आयी है ।।
सुप्रीम कोर्ट अथवा राष्ट्रपति जी को तुरंत स्वता संज्ञान लेकर उपयुक्त कार्रवाई करनी चाहिए।
मोदी जी समय चूक गये,जब ३०३ मिलने पर कुछ नहीं किया तो अब क्या करेंगे। हिंदुओं के लिए कुछ नहीं हुआ।
Bilkul sahi
Bilkul sahi aur sarvottam baat hai aapki 💯☑️👍👍
542 भी दे दोगे न तो भी ये कुछ नहीं होने वाला था इस से अब तो बहाना मिल गया इसको बच कर भागने का 😮
मोदी को वो हाल है कि चौबे जी छब्बे जी बनने निकले थे दुबे जी बनकर लौटे 👿
very True
चुनाव आयोग को पहले ही जांच करके इनको चुनाव नही लडना चाहिए इस पर रोक लगानी चाहिए
कानून व्यवस्था लचर है , अब इनके शपथ ग्रहण करने के बाद आजीवन पेंशन का भी हकदार भी बन जायेगा, हम आम जनता ही सबसे बडे़ मूर्ख साबित हो गई है ... अत्यंत शर्मनाक 😢😢
Bahut hi Satya aur sarvottam vichar hai aapka 💯☑️👍👍 main bhi sahmat hun aapki baat se 🙏🙏
अपराधियों को चुनाव लड़ने की इजाजत नहीं दी जानी चाहिए।
राशिद इंजीनियर पूरे भारत में किसी भी मुस्लिम सीट से चुनाव जीत जायेगा
Hindus will vote for him. and NOTA for Annamalai. This is Democracy
Jai ho Democracy, and Parliamentary system. Now modi and terriorists will sit next to each other. Wah wah.
Gaddaron kee ek hee sazaa?
कोर्ट ने एक बार पुनः आतंकवादियों के हित सर्वोपरि हैं यह स्पष्ट संदेश दिया है. मुमकिन है उसको दोषमुक्त घोषित करके पद्मविभूषण दिया जाना भी अनिवार्य कर दे.
खुलम खुला गुंडा राज बनाने की कोर्ट की अनुमति है। जो जितना शक्तिशाली गुंडा उतना मानीनय इससे बड़ी शर्म की बात क्या हो सकती है।
कानून को सख्त करने की जरूरत है। की ऐसे लोग चुनाव ही न लड़ सके।
विशाल देश में, ऐसे लोग हो सकते है, और भारी मतों से जीत हासिल भी कर सकते है, यह उनकी गलती नही, इसके लिए कठोर और प्रभावी कानून होने चाहिए, अन्यथा यह लोकतंत्र का विडंबन है , अभी तो इसे रोकना चाहिए _____है___
हमें अब कुछ नहीं सोचना है न सुनना है यही गुंडे मावली राज करेंगे मनमानी रहेगी ही देश में भुगते जनता ।
भारत सरकार को चाहिए कि ऐसा क़ानून बनाये कि कुछ कठोर अपराध धाराओं में बन्द आरोपियो पर चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगाना चाहिए अन्य ये अपराधी देश में ग़लत सन्देश देते है
ऐसा कानून बनना चाहिए जिससे एक बार FIR होने पर चुनाव ही न लाड़ सके....
यह भारतीय संविधान में ही संभव है जहां अपराधी प्रवृति के लोग देश की शरीफ़ जनता के लिए कानून बनायेंगे, सरकार को चुनाव आयोग में सुधार अति आवश्यक है,जब चपरासी के पद के लिए चरित्र सत्यापन होता है फिर संसद सदस्यों के लिए क्यों नहीं।
क्या देश के advocate और जनप्रतिनिधियों का यह कर्तव्य नहीं बनता की वे सुप्रीम कोर्ट या संसद में इसके खिलाफ़ आवाज उठाए या कोई कानून बनवाए, क्या अभी तत्काल में कोई प्रक्रिया नही है जिससे इन लोगो पीआर रोक लगे?
समझ में नहीं आता अपराधी को चुनाव में क्यों खड़ा किया जाता ये जीत कर देश का कौनसा भला करेंगे... क्यों टिकिट मिलता इनको.. चुनाव आयोग इनको रोकता क्यों नहीं...
Is sabka karan court hai
दुबे जी,वो दिन दूर नही जब भारत के कानून देखते रह जायेंगे राहुल और इसके जैसे विचारो वाले लोगो का समूह एक दिन इस देश की सत्ता पर काबिज हो जाएंगे।
SC ko sumoto lekar sarkar ko advisary jari karni chahiye ki aise apradhi deshdrohi log chunav na lad saken aisa kanuun turant bina kisi deri ke vishesh satra bulakar banaye
सर जी राजनीति में जाने के लिए कम से कम योग्यता, और समाज में उसका चाल चलन,पुलिस वेरिफिकेशन , अवश्य होना चहिए।
अगर घोषित आतंकवादी चुनाव लड़ सकता है तो चुनाव आयोग को अपना विवेक नही है ????😡😡😡
चुनाव आयोग भी आतंकबाद का समर्थक माना जाना चहिये!!
ऐसे समय के लिए तो योगी को होना बहुत जरूरी था वह होते तो आज यह दिन ना देखने पड़ते
बी जे पी सरकार इस मामले ओर इस तरह कानून बनाने मै असफल रही है अब समय आ गया तुरंत कानून बनाना शुरू कर दो सरकार न्यायिक मामलों खुच नहीं कर पाई सी जे आई जो बड़ी बड़ी बात करते है इस मामले सुप्रीम कोर्ट की भी जिम्मेदारी बनती है न्यापालिका की गरीमा गिराने में सुप्रीम कोर्ट जज भी जिम्मेदार हैं
अब जाकिर नाइक भी चुनाव लड़ेगा 😭😭😭
जब तक आरोप सिध्द नही होता, आरोपी गुन्हाहगार नही है... हो सकता है, वो अगला चुनाव INDI गठबंधन से लडे और प्रधानमंत्री बने...देश न्यायालय का भी है , दिनरात एक करके ऐसे "माननीय" यों के मामले निपटाने चाहिए...
Hyper democracy is detrimental to the democracy itself.
1. Charge frame होने के बाद चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगना चाहिए।
2. Justice delivery fast होना चाहिए।
दस साल बिजेपी सरकार ऐसा कोई काम नहीं किया जो इस प्रकार के आतंकवादी को सजा दी जाती और इस बार आर एस एस वाले साथ नहीं दिया
I AGREE WITH YOU
बाह री भारत और भारत का संविधान , शर्म आती है इस देश पर , ऐसे लोग चुनाव कैसे लड़ रहे हैं
निर्वाचन कानूनों में संशोधन कर; फौजदारी तथा दीवानी के,गम्भीर अपराध के आरोपियों को; जब तक वे दोष मुक्त न हो जायें;चुनाव लड़ने से रोकने हेतु,क़ानूनों में संशोधन किया जाना चाहिए। ये अभियुक्त, राष्ट्र के लिए व सामान्यजन के लिये खतरा हैं, अतः न्यायालयों को उनके आवेदनों पर इन बातों को ध्यान में रख कर ही विचार करना चाहिए।
अपराधियों को चुनाव लड़ने पर पाबंदी क्यों नहीं ???
क्या स्वयंभू •••• सोमोटो वाले सो रहे हैं तो सरकार कोई कदम क्यों नहीं उठाती |
न्यायिक सुधारों की सबसे पहले सबसे ज्यादा जरूरी है।
सिद्ध हो चुका है कि वोकिष्ट और विदेशी एजेंट भारत के जड़ों तक हर विभाग में घुस चुके हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने शर्तों पर केजरीवाल और संजय सिंह को ज़मानत दी थी दोनों ने सारे काम शर्तों के खिलाफ किए क्या उखाड़ लिया सुप्रीम कोर्ट ने
संसद ने क़ानून कयों नहीं बनाया। ? ये काम संसंद का है। पहले भी ऐसे लोग संसंद में जाते रहे है। । संसद देश के सामने चुनौतियों के प्रति जागरूक नहीं है । राजनीति हावी है। कल हाई कोर्ट ने बढ़ते धर्मांतरण के बारे में आगाह किया है। पर विधायिका के लिए ये वोट बैंक की की राजनीति का अवसर है।
क्या न्याय है, जेल से मुख्यमंत्री का काम, चुनाव प्रचार के लिए विशेष बैल, जेल से चुनाव लडो, बेल में शपथ लो।
अब जेल से न्याय पालिका चलाओ, शायद चीफ जस्टिस भी तिहार
जेल से फैसला सुनाते।
दूबे जी, विश्लेषण अच्छा लगा। लेकिन विडंबना ये हैं कि वास्तविक आतंकवादी कौन हैं, वह जिसे हम जान जाते हैं ता वे जिन्हे हम जान हीं नहीं पाते और वे सभी माननीय सांसद बने बैठे हैं। इन बातों का भी विश्लेषण अति आवश्यक हैं। सादर धन्यवाद 🙏
दूरदर्शी प्रधानमंत्री द्वारा 10 साल की धर्मनिरपेक्ष सरकार चलाने और सबका साथ सबका विश्वास सबका प्रयास का नारा सिद्ध होते हुए देखना क्या कम सुखद है। और जब कृपा शंकर सिंह को tkt दे सकते हैं मोदीजी तो अमृतपाल और राशिद इंजीनियर की भी सेवा ले सकते हैं और उनके नोबल पुरस्कार जीतने की भूख को शांत करने में काफी बड़ी मदद भी कर सकते हैं। जय हो भारत के संविधान की क्या शानदार संविधान है।🖕🖕🖕
ऐसी unfortunate स्थिति पैदा नहीं होनी चाहिए कि ये लोग MP MLA बन के सदन मे दाखिल होने मे सफल हो जाए
जुडिशरी के कार्यवाही से कलेजा फट जाता है लेकिन अब तो मोदी सरकार से भी समझ में नहीं आ रही कि यह ऐसे ऐसे ताकतों से क्यों नहीं लड़ पा रहे 10 साल हो गए पूर्ण बहुमत की सरकार थी लेकिन अभी तक सबका साथ सबका विकास बस और कुछ नहीं
थू थू थू क्या सविधान की ख़ूबसूरती हे भारत के क्या प्यारे क़ानून हे। २ आतंकी चुनकर माननीय सांसद हे आज
कल इनकी तादाद सांसद में बड़ेग़ी
कल ये आतंकी भारत की आम जन के लिए क़ानून भी बनाएँगे वाह धन्य मेरे भारत देश 🙏🙏🙏
सरकार को सुप्रीम कोर्ट को चाहिए कि ऐसे अपराधियों को चुनाव लड़ने कैसे दिए जाते हैं अपराधियों के चुनाव लड़ने दिया जाता है उग्रवादियों को चुनाव लड़ने दिया जाता है सुप्रीम कोर्ट जवाहरलाल गवर्नमेंट कितना खर्च करती है देश में कितनी गुंडागर्दी हो रही है कोई हिसाब ही नहीं है
या तो चुनाव लड़ने से रोकिए नहीं तो भारत राज्य के प्रति वफादारी की शपथ ले. और अगर फिर कोई राष्ट्रविरोधी काम करने पर सदस्यता खत्म कर दे.
जब मोदी जी की 10 साल की मजबूत सरकार कुछ नहीं कर सकी... तो अब यह लचर सरकार से क्या उम्मीद की जाए...... 10 साल की मोदी सरकार ने देश के लिए कोई भी रचनात्मक कार्य नहीं किया सिर्फ तुष्टिकरणका कार्य किया
नए कानून में देशद्रोह के स्थान पर राष्ट्रद्रोह शब्द का प्रयोग हो और राष्ट्रद्रोही के सभी अधिकार समाप्त किए जाएं। एक बात और, अमेरिका, यूरोप और मुस्लिम देशों मे ऐसे अपराधियों की क्या सजा है यह भी ध्यान में रखा जाए।
ऐसा नहीं होना चाहिए नया. कानून बनाया जाय
क्या ये लोग बाहर आकर क्राइम करते है तो न्यायलय जिमेदार रहेगी? अगर हा है तो न्यायालय को कोन सजा देगा 😡
सरजी, एक सदस्य जो पहले से ही संसद का सदस्य है,अगर उस पर ऐसे आरोप लगाया जाता है और प्रथम द्रष्टा दोषी मान उन्हें (चाहे जमानत मिल ही जाय) उनके मतदान का और सदन में प्रतिनिधित्व का अधिकार लंबित कर दिया जाना चाहिए। धन्यवाद जयहिंद।
संविधान और सुप्रीम कोर्ट में बदलाव करना चाहिए।
अंधे कानून के नए कारनामे
Aur andhi janta ka kya?
जब कितने लोगो को चुनाव लड़ने से वचित रखा जाता है तो इनका चुनाव इन्दोर की तरह नही लडा़ जा सकता था।
आदरणीय आप भी विधि वक्ता हैं । क्यों ना आप जैसे और लोग भी इकट्ठा होकर इस तरह का क़ानून बनवाने का कार्य करें🙏🙏
कानून कौन बनायेगा? दो बार पूर्ण बहुमतकी सरकार आके गई, अब वो नहीं बनायेगी तो कैसे बनेगा कानून!
आदरणीय दुबे जीको प्रणाम Mother of democracy तथा दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र नाम से जाने जाने वाले हमारे लोकतंत्र का एक यह भी वीभत्स रूप है क्या हुआ लोकतंत्र इतना लाचार है एक आतंकवादी और सैकड़ो अपराधियों को हमारे समाज के नेतृत्व के लिए तथा कानून निर्माता बनाकर संसद में भेज देता है क्या यह दुर्भाग्य नहीं है हमारा इस प्रवृत्ति को ऐसे कानूनों को हटाकर नए कानून बनाने की जरूरत है वरना देश के टुकड़े करने वाले हमारे प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति जैसे पदों पर भी ऐसे आतंकियों और अपराधियों का कब्जा हो सकता है
चुनाव आयोग को ऐसे लोगों का चुनाव लड़ने पर रोक लगानी चाहिए
अजब गजब संविधान बनाया है बाबा ने। और रिव्यू करने वालों को ऐसे कानून को बदलने की फुरसत ही नही है। कल को ये धर्म के आधार पर संसद भवन में किरपान ले जाने की अनुमति भी मांगेगा। ओर जब हथियार हाथ में हो और सांसद भवन के अंदर वो क्या नही कर सकता???? हंसे या रोएं ऐसे कानूनों पर समझ से परे है????
Is PMO OFFICE and HOME OFFICE follow D K Dubey JI, Jai Hind 💪🇮🇳💪
आरोपीको चुनाव लडनेको देनाही गलत है।
सरकारी कर्मचारियों को तो तुरंत सस्पेंड कर दिया जाता है। जिनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल हो गई है उनको ससंद की शपथ दिलाई जाएगी,जो देशद्रोही हैं। वाह रे हिन्दुस्तान!!?
लेकीन जेलमे रेहनेवाले आदमी को चुनाव लढनेका हक कैसे प्राप्त हो सकता है? कैसी घटीया न्यायव्यवस्था है?
सर, हमारे न्यायलय महान है, जो सालों इन दुर्दांत अपराधियों को पालती हैँ।
Aise vyaktiyon ke chunav ladne per hi rok lagani chahie
संविधान बदल ना जरुरी है
दुबे जी पूरा नेहरू गॉधी ,लालू परिवार ज़मानत पर रह कर चुनाव भी लड़ रहे है और प्रधानमंत्री और हिन्दुओं को खुल कर गालियाँ देते है
कुल मिलाकर संसद, कानून, संविधान सभी का थोक में मजाक, क्या तमाशा बना दिया है न्याय व्यवस्था का!!?ये कैसे पर्चा दाखिल कर लेते हैं!!?
❤❤❤❤❤❤
इस लिए ही सविधान में बदलाव जरूरी है।
जब UAPA में केस दर्ज है फिर भी चुनाव लड़ने का अधिकार क्यो है l ये तो संविधान की कमी है l ऐसे कानून को खत्म करना चाहिए l और ये सरकार के हाथ में है l
जब ये सपथ ले लेगा, फिर कोई न कोई कानून के तहत को संसद में भाग लेने एवं कानून बनाने का अधिकार भी हमारे मिलोर्ड दे ही देंगे। हमारे देश का कानून एवं तंत्र इतना सरा गला है कि कोई भी इसका इस्तेमाल अपने लाभ के लिए कर ही सकता है। जितना जल्द हो इस तरह के कानून से देश को छुटकारा मिलना चाहिए।
प्रजातंत्र के नाम पर ये सारा तमाशा हो रहा है
राष्ट्र विरोधी गतिविधियों में शामिल लोगों को चुनाव लडने का अधिकार होना समझ से बाहर है। इस पर गम्भीरता से विचार किया जाना चाहिए।
येअंधा कानून है! सरकार को इनके सांसदी क्षेत्र के मतदाताओं का भी डीएनए ए करवाना चाहिए क्योंकि आधा मोर्चा स्लीपर सेल देश में शीतयुद्ध छेड़ चुकी हैं। सबके विकास को नकार दिया मतदाताओं ने इसलिए इन क्षेत्रो में विकास का आच्छादित न किया जाय।
कानून संशोधन किया जाना आवश्यक है , प्यूपिल रिप्रजेंटेटिव एक्ट में ।
वेस्ट बंगाल की यह हालत है दिल्ली की यह हालत थी और अब टेररिस्ट संसद में आकर के शपथ लेंगे तो इसे क्या कहेंगे मोदी सरकार की नाकामी कर सकते हैं और क्या कर सकते हैं अबकी बार 240 मिले थे कहीं ऐसा ना हो की 40 पर ही अटक जाए
Absolutely correct analysis. There should must be such a law in this regard which can probit the election fighting to terrorists and anti-national elements. Modi je should must be serious in this regard.
माननीय मोदी जी ने बिगत १० वर्षों में यह क़ानून क्यों नहीं बनाया
अजीत भारती ने सही उपाधी दी है सुप्रीम कोर्ट को
आतंकवादी तो चुनाव लड़ कर आतंकवादियों के वोट से जीत गया मगर वो जज साहब भी आतंकवादियों के समर्थक लग रही है जय हो मोदी जी 10 साल सत्ता भोगने के बाद भी आप इन लोगों की व्यवस्था न कर पाए आपको बारंबारप्रणाम😢😢😢
मुख्य मुद्दा तो यही है कि एक टेररिस्ट कैसे चुनाव जीत जाता है। क्या जनता इतनी संवेदनहीन है?
राशिद और राहुल में अधिक ख़तरनाक कौन?
यदि राहुल जैसे लोग खुलेआम घूम सकते हैं तो,,,,, ये लोग भी संसद में बैठ जायें क्या दिक्कत है
जब हमारे देश की व्यवस्था आतंकवादी या राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम के अन्तर्गत गिरफ्तार लोगो को भी चुनाव लड़ने पर भी अंकुश नही लगा सकती तो, फिर आंतक को कैसे कम किय जा सकता है।
अब ये माननीय, देश की संसद मे खड़े होकर खालिस्तान और आजाद कश्मीर की मांग करेंगे, तो सरकार क्या करेगी?
भारतीय न्याय प्रणाली को धिक्कार !
महोदय, अपने देश मे संविधान और न्यायपालिका कि प्रशंसा करने की प्रतिस्पर्धा लगी रहती है। क्या भारतीय संविधान के इसी विषेशता की प्रशंसा होती रहती है कि इस संविधान के संरक्षण मे आतंकवादी देशद्रोही देश के संसद बैठे ??
ऐसे मे इस संविधान का क्या किया जाय?
एक राष्ट्रवादी इस संविधान पे रोये या खुशियां मनाये??
Very unfortunate. These type of person (may be elected) should not be allowed to fight election.
नमस्ते सदा वत्सले मातृभूमे।
ऐसे लोगों को चुनाव चुनाव आयोग चुनाव लड़ने कैसे देते हैं मेरे को यह बड़ा आश्चर्य हो रहा है कैसे न्याय व्यवस्था है इस देश की ऐसे खतरनाक मुजरिम भी चुनाव लड़ सकते हैं और जीत के संसद में आ सकते हैं
कानून ही गलत है, जो जेल चला गया फिर उसे चुनाव लडने की आजादी क्यों संविधान देता है,????
संसद मे सरकार को is पर चुनाव अधिनियम मे संशोधन होना चाहिए देश द्रोही को सांसद का चुनाव लड़ने के लिए प्रतिबन्ध होना चाहिए
Muslim community have no doubt,
Every muslim knows their aim, and all muslims are united.