प्रेमचंद की कहानी "गिला" Premchand Story "Gila"
HTML-код
- Опубликовано: 9 фев 2025
- लेखक - मुंशी प्रेमचंद Writer - Munshi Premchand
स्वर - समीर गोस्वामी Narration - Sameer Goswami
/ sameergoswami_ka. .
/ kahanisuno
/ goswamisameer
sameergoswami.com #UPSC #Premchand #Hindi Audiobooks #Hindi Classics #Tagore #Sharatchandra
मेरे पापा तो सब्जियां भी सड़े हुए लाते है।क्योंकि बेचनेवाला बुड्ढे या बुढियाँ होती है तो उसी से ले लेते है।
लेकिन मेरे पापा पर मुझे गर्व है।
स्वीकार्यता हीं सच्ची प्रेम है ❤️❤️
Aapki aawaj aaise lgta h jaise munsi premchandra khud hi khani suna rhe h👍👍🙇🙇😊
Full full story
बढ़िया कहानी का शानदार वाचन....
बहुत ही अच्छीआवाज़ है आप की बहुत से कहानी सुनी आप से और भूल ही गया लाइक कर न आज याद आया।
शुक्रिया
ये कहानी प्रत्येक पतिंपत्नी को सुननी चाहिए।
एक दूसरे के प्रति समर्पण और स्वीकार्यता का भाव होना ही प्रेम की प्रकृति है।❤️
28:04❤️
मानो किसी मशीन के कल-पुरजे घिस-घिसाकर फिट हो गये हों, और एक पुरजे की जगह दूसरा पुरजा काम न दे सके, चाहे वह पहले से कितना ही सुडौल, नया और सुदृढ़ क्यों न हो।
शानदार कहानी और प्रस्तुति का तरीका भी उतना ही शानदार 👌
This is one of the funniest stories I have heard!!
Amazingly narrated.
Wah munshi ji wah
Apne samay se bhut aage the premchand.
However premchand ki har story superb hoti hai par ye kahani totally belongs to my family. Mere papa or meri ma ki tasvir ankhon ke aage tareri jaa rahi thi pure story ke dauran. I love the way you tell the whole content. Love this and love you.
Thank you so much Neha Ji
प्रेमचन्द जी का जीवन संघर्ष लगता है इस कहानी में।
यही सनातन धर्म की खुबी है।
अति उत्तम ।
Sanatan kaha se aa gya yaha be buddhe.
Dharm ne hi barbad kiya hai
Thanks Sir
Aapki aawaaz bahut achachhi hai
Bahut khoob mashallah...
यह कहानी पूरी तरह से मुझे अपनी सी लगती है जैसे मेरे पति की आदतें हैं पर फिर भी मैं उनसे बोले बिना या उनके बिना नहीं एक पल भी रह नहीं सकती
⭐⭐⭐⭐⭐
धन्यवाद् हे आदरणीय
Same mere papa h ye to mummy to aise hi bolti h 🤣🤣
Pp1
Hhhh☺️ right
मेरे पापा तो सब्जियां भी सड़े हुए लाते है।क्योंकि बेचनेवाला बुड्ढे या बुढियाँ होती है तो उसी से ले लेते है।
लेकिन मेरे पापा पर मुझे गर्व है।
Bahut shandaar
मुंशी जी हरफनमौला इनसान थे उनकी लेखनी में कितनी विवीधता थी सचमुच सराहनीय बेजोड़ प्रस्तुति के लिए आपका धन्यवाद गौसवामी जी शुक्रिया जयहिंद !
Nice story
Woooooow
shandar aavaj
Thank you sir for such stories your voice is fantastic 🥰
Main Na Hoti kisi ne inhe bazar me bech diya hota😄😄😄
Thanks for making this video
👌👌👌👌👌
शानदार
And thanku so much
ये कहानी सुनकर लग रहा है जैसे कोई मेरे ही पति के बारे बोल रहा हो।
खासकर उधारी के मामले में बिल्कुल मेरे habby देते समय दे देते लेकिन मांगने को बोलो तो बोलते है कि देगा ही कहा जायेगा उसके पास होगा तो खुद आएगा देखना ।
और बस uhi सिलसिला
ये तो मेरे घर की कहानी है 🤣
Nice
आज के वक्त में से कहानी कोई क्यों नहीं लिख पाता
Ye to mere mammy papa ki khani h
Ha Ha Ha
Pati patni ki aapsi shikayto par ek mahakavy likh sakte h😊
🤣🤣🤣🤣🤣
यथार्थवादी वर्णन
बुरा है भला है जैसा भी है वो मेरा पति हैं