ASSLAMUALEIKUM Hajrat ak sawal he me kal ak jagha gaya bahan 12 13 kabren थी और एक बाबा बहा लोगो के मसलों को सुन रहे थे बहा पर बे पर्दा ओरतें और बच्चियाँ भी बाबा के बिल्कुल सामने बैठी थी और बाबा सिग्रित भी पी रहे थे सब के सामने नमाज़े जौहर का time हुआ तो kio नमाज़ का इंतजाम ही नहीं था मैने जब ये सब कुछ देखा तो एक भाई से पूछा पूछा की बाबा सब के सामने sigrit पी रहे है और इतनी बे पर्दा मां बहने इनके सामने बैठी हे और इन्होंने ना ही नमाज का ज़िक्र किया तो भाई ये इस्लाम मे कैसे मुनासिब है इस पर बो सख्स मुझ से लड़ने लगा और बोला बाबा नही sigrit तो बो पी रहे है और रहा सबाल नमाज़ का तो फ़कीर लोग को ऐसा मत बोलना फ़कीर तो अपनी नमाज़ कभी भी या एक बार में ही अदा कर लेते है मुझे बड़ा ताज्जुब हुआ और एहसास भी हुआ किया ऐसा हो सकता है बड़ा paresan हूं में जब से शुक्रिया
بیشک ماشاءاللہ سبحان اللہ
😢😢
ASSLAMUALEIKUM
Hajrat ak sawal he me kal ak jagha gaya bahan 12 13 kabren थी और एक बाबा बहा लोगो के मसलों को सुन रहे थे बहा पर बे पर्दा ओरतें और बच्चियाँ भी बाबा के बिल्कुल सामने बैठी थी और बाबा सिग्रित भी पी रहे थे सब के सामने नमाज़े जौहर का time हुआ तो kio नमाज़ का इंतजाम ही नहीं था मैने जब ये सब कुछ देखा तो एक भाई से पूछा पूछा की बाबा सब के सामने sigrit पी रहे है और इतनी बे पर्दा मां बहने इनके सामने बैठी हे और इन्होंने ना ही नमाज का ज़िक्र किया तो भाई ये इस्लाम मे कैसे मुनासिब है इस पर बो सख्स मुझ से लड़ने लगा और बोला बाबा नही sigrit तो बो पी रहे है और रहा सबाल नमाज़ का तो फ़कीर लोग को ऐसा मत बोलना फ़कीर तो अपनी नमाज़ कभी भी या एक बार में ही अदा कर लेते है मुझे बड़ा ताज्जुब हुआ और एहसास भी हुआ किया ऐसा हो सकता है बड़ा paresan हूं में जब से शुक्रिया