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Devotional Songsmv
Индия
Добавлен 20 окт 2020
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Sri Rama Telugu Devotional Songs | Bhadrachala Sri Rama Songs
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#SriRamaSongs#BhadrachalaSriRamaSongs
Lord Rama Latest Bhakthi Songs - శ్రీరాముడి భక్తి పాటలు
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Shiva Songs In Telugu | Hara Om Namashivaya Songs
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Nidanampati Sri Lakshmi Amma Songs | అడిగోప్పల నీలంపాటి అమ్మవారి సాంగ్స్
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Adigoppula Ammavari Songs | నీలంపాటి అమ్మవారి పాటలు
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Jacobi Extension
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Durgan Club
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Jai sri ram
Jai Shree Nidhanampati Sree Lakshmi Namaha 🌺🌺🙏 DyDEO 🙏🙏🌺
ఓం నమః శివాయ శివాయ నమః ఓం 🙏🙏🙏
🌺🌺🌺🙏🙏🙏
Omkaaram Bindu-Samyuktam Nityam Dhyaayanti Yoginah | Kaamadam Mokssadam Caiva Omkaaraaya Namo Namah ||1|| Namanti Rssayo Devaa Namanty-Apsarasaam Gannaah | Naraa Namanti Deve[a-Ii]sham Nakaaraaya Namo Namah ||2|| Mahaadevam Mahaa-Aatmaanam Mahaa-Dhyaanam Paraayannam | Mahaa-Paapa-Haram Devam Makaaraaya Namo Namah ||3|| Shivam Shaamtam Jagan[t]-Naatham Loka-[A]nugraha-Kaarakam | Shivam-Eka-Padam Nityam Shikaaraaya Namo Namah ||4|| Vaahanam Vrssabho Yasya Vaasukih Kamttha-Bhuussannam | Vaame Shakti-Dharam Devam Vakaaraaya Namo Namah ||5|| Yatra Yatra Sthito Devah Sarva-Vyaapii Mahe[a-Ii]shvarah | Yo Guruh Sarva-Devaanaam Yakaaraaya Namo Namah ||6|| Ssaddakssaram-Idam Stotram Yah Patthe-Shiva-Samnidhau | Shiva-Lokam-Avaapnoti Shivena Saha Modate ||7||
💞🍀🙏 Hare Krishna 🙏🍀💞
🌺🌺🌺
🙏🙏
🙏🙏🙏
Jai nidanamu pati sri lakshmi Ammavaru talliye namaha
👋👋👋👋👋👋
❤❤
జై నిదానంపాటి శ్రీ లక్ష్మీ అమ్మవారి కి జై 🙏🙏🙏🙏🙏
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❤❤❤❤❤❤❤🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉😊😊😊😊😊😊😊😊అమ్మ గంగమ్మ తల్లి❤❤❤❤❤🎉🎉🎉🎉🎉😊😊😊😊😊😊😊❤❤❤🎉🎉😊😊😊❤❤❤🎉🎉🎉🎉😊😊
❤😊ఓం శ్రీ శ్రీ శ్రీ గంగమ్మ తల్లి సమేత మల్లేశ్వర స్వామినే నమో నమః హర హర మహదేవ శంభో శంకర😊😊😊😊😊😊😊😊😊😊😊😊❤❤❤❤❤❤❤❤❤❤❤🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉😊😊😊😊😊😊😊😊😊❤❤❤❤❤🎉🎉🎉🎉🎉🎉😊😊😊😊😊😊😊😊😊
।।🌺🌺।।
Very pleasant music ❤
Krish krishnayyaa Anni currect ga chepthaavayya.kaani neevokkarike sonthamu kaadu kadaa
Lingam guntal sri lakshmi amma ki jai. Miram pali yogi RAMAYA guru swami ki jai. Sri lakshmi putrudu NARASIMHA murti. Pdrl
N.Reneks.Devi 2
పిట్టలనాగయ్య
Ramakka super
वि अक्षर विश्व रूप विराट रूप सारा जगत रा से रसने रास लीला जो सबको रास आए रास रास लीला रोम रोम में बसने वाले राम (ओज़मैं) जगत के स्वामी अतर्यामि रोमियो नाम मेरा रोम रोम बसने वाला राम (ओज़मैं)भतार (भ९+ता७+र ७) भतार (२५ ) अंक २ से वृखा राशि श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी मोहन (ओज़मैं) मधुराधिपति मेढ़क मेढ़की मधुरम भौंरा (ओज़मैं)( चाकलेट ओज़मैं) मधुराधिपति मेढ़क मेढ़की मधुरम मदूरे मधुरम २+५ जुड़ कर सात तुला राशि राधाश्याम(ओज़मैं)चोट्टिन चोर एक साथ रहते हैं ए जी ओ जी कहता हैं वो तुम सुनो जी १ टू का ४ ह्रदय (दिल)रोमियो नाम मेरा बाकी तुम जानती हों रोम रोम बसने वाले राम (ओज़मैं) रोमियो रोम रोम बसने वाले राम (ओज़मैं)(ओ२+ज़१०) ओज़१२ राम (रा७+म ५) राम १२ कृष्ण १२) आशुतोष१ उमा २ आशुतोष उमा १२ अंक १+२ जुड़ कर ३कृष्ण (ओज़मैं) गोविंद (ओज़मैं) शक्ति (श११+क्ति ३+७ शक्ति २१ उल्टा १२ शक्ति १२ शिव शक्ति (ओजमैं) शक्ति से मिलन होता हैं मिलन मिलन मोहन से मिलन शारीर आत्मा का मिलन मि५+ल१+न८) मिलन १४ यानी २ से वृखा राशि ओज़मैं से मिलन शक्ति (ओज़मैं) से मिलन होली हो४+ली १) होली ५ सिंह राशि मोहन ही होली हैं होली मोहन (ओज़मैं) होली में मिलन होता हैं आखिर माह फाल्गुनी में आदि देव आदि शक्ति का सब का अंत करने वाले भगवान शिव पार्वती आदि देव आदि शक्ति राधा कृष्ण (ओज़मैं) आखिर माह में अंत करते हैं प्रलय अंत करने का अर्थ संपूर्ण करना संपूर्ण होता हैं मिलन होली से होली मोहन(ओज़मैं) तुम मेरा नाम अपने होठों पे लो और मैं तुम्हारा फीर तुम्हरा नाम मेरे होठों पे हमेशा चिपका रहेगा राधा (ओज़मैं) का नाम लेती और कान्हा (ओज़मैं) तभी दो आज वि अक्षर विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे एक साथ रहते वृखा भानुश्री विष्णु ओज़मैं और वृषभानु प्रिया राधा एक साथ भी श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी जब जब मोहन (ओज़मैं) बजाय मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी सत्यम शिवम सुंदरम जन्मोंका नाता है जन्मतरण का नाता है सत्यम शिवम सुंदरम रउरेमोर के आंसुओ से मोरनी पल्वतीत रहती हैं मोर मोरनी (ओज़मैं) मोर (मो५ सिंह राशि मोहन (ओज़मैं)+र से तुला राशि राधा) मोर (१२ )१२ से १२ बजे जन्म लेने वाले भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे राम रमने वाले कण कण में रा से रोमियो रोम रोम बसने वाले राम (ओज़मैं)रोमियो नाम मेरा चोरी हैं काम यानि रति प्रेम आस्था धर्म त्याग तपस्या समर्पण लखनऊ लखन (ओज़मैं) रचनाश्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानुप्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
(ओ२+ज़१०) ओज़१२ राम (रा७+म ५) राम १२ कृष्ण १२) आशुतोष१ उमा २ आशुतोष उमा १२ अंक १+२ जुड़ कर ३कृष्ण (ओज़मैं) गोविंद (ओज़मैं) शक्ति (श११+क्ति ३+७ शक्ति २१ उल्टा १२ शक्ति १२ शिव शक्ति (ओजमैं) शक्ति से मिलन होता हैं मिलन मिलन मोहन से मिलन शारीर आत्मा का मिलन मि५+ल१+न८) मिलन १४ यानी २ से वृखा राशि ओज़मैं से मिलन शक्ति (ओज़मैं) से मिलन होली हो४+ली १) होली ५ सिंह राशि मोहन ही होली हैं होली मोहन (ओज़मैं) होली में मिलन होता हैं आखिर माह फाल्गुनी में आदि देव आदि शक्ति का सब का अंत करने वाले भगवान शिव पार्वती आदि देव आदि शक्ति राधा कृष्ण (ओज़मैं) आखिर माह में अंत करते हैं प्रलय अंत करने का अर्थ संपूर्ण करना संपूर्ण होता हैं मिलन होली से होली मोहन(ओज़मैं) तुम मेरा नाम अपने होठों पे लो और मैं तुम्हारा फीर तुम्हरा नाम मेरे होठों पे हमेशा चिपका रहेगा राधा (ओज़मैं) का नाम लेती और कान्हा (ओज़मैं) तभी दो आज वि अक्षर विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे एक साथ रहते वृखा भानुश्री विष्णु ओज़मैं और वृषभानु प्रिया राधा एक साथ भी श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी जब जब मोहन (ओज़मैं) बजाय मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी सत्यम शिवम सुंदरम जन्मोंका नाता है जन्मतरण का नाता है सत्यम शिवम सुंदरम रउरेमोर के आंसुओ से मोरनी पल्वतीत रहती हैं मोर मोरनी (ओज़मैं) मोर (मो५ सिंह राशि मोहन (ओज़मैं)+र से तुला राशि राधा) मोर (१२ )१२ से १२ बजे जन्म लेने वाले भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे राम रमने वाले कण कण में रा से रोमियो रोम रोम बसने वाले राम (ओज़मैं)रोमियो नाम मेरा चोरी हैं काम यानि रति प्रेम आस्था धर्म त्याग तपस्या समर्पण रचना
Jai srilaksmi amma
ఓం నమ శివ య
Om namo venkatesa
प्यार के कागज से दिल त्रयोदशी गौरैया पंछी ओज़मैं ना जमीन के लिए ओज़मैं द्रव्य और ऊर्जा ऊ अक्षर वृखा राशि ऊर्जा ओज़मैं मैं हूं तेरी प्रेम दीवानी मुझको तू पहचान ओ कान्हा मधुर सुना दो अब तो मुरली की मधुर गान सत्यम शिवम सुंदरम ऊर्जा अग्नी ओज़मैं और राधा मैं से मा अक्षर मोहन मा से मास e=mc २ ऊर्जा (ओज़मैं) कृष्ण तीन अक्षर में राधा कृष्ण दोनों गोविंद में बिंदी ओज़मैं बिंदी भूमि (भू९+मि ५ ) अंक जुड़ १४ अंक जुड़ ५ सिंह राशि मोहन १४ यानि २ वृखा राशि श्री विष्णु ओज़मैंवृषभानुप्रियाराधाकृष्णपक्ष त्रयोदशी भूमि गोविंद (ओज़मैं) सारा जगत राधाकृष्ण(ओज़मैं) से रचा हुआ है बाना हैं ऊर्जा और द्रव्य e=mc२राधाकृष्ण (ओज़मैं) राधा रा से रचने वाली जगत को गति देने धारा उल्टा राधानियम अनुच्छेद विद्युतमा स्वरसवती जी भाग्य विधाता राधा रा से राधा और धा से धर्म धारणी भाग्य विधाता पत्नी दक्षिणा देवी राधा विधुतमा प्रकृति रूपा देवीऔर कृष्ण (ओज़मैं के मिलन से जगत का निर्माण हुआ)सत्यम शिवम सुंदरम कान्हा गोविंद गो अक्षर कुंभ राशि ११ यानि १+१ वृखा राशि वि अक्षर ओ अक्षर श्री हरी बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी वि अक्षर विराट रूप विश्व रूप शांताकर्मर भुजंग शयनम पदनननभ सुरेशराम विश्व धारण गगन शयन योग मिंध्य नयकन कम सर्व लोक नाथम नाथ सब को नाथ लेने वाले भगवान शिव भोले नाथ भौंरा भा अक्षर धनु राशि लाल पिला वस्त्र पीतांबर भौंरा देखने में श्याम रंग नीलम पर राशि से धनु संकर्षण शंकर कृष्ण ओज़मैं सत्यम शिवम सुंदरम समय ४:४९ अंक जुड़ १७ मेखा लगन सप्तम भाव तुला राशि राधा सत्यम शिवम सुंदरम जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी तुम्ही प्रेम हो तुम्ही प्रीत हो तुम धड़कते मुझ में तुम बीन कुछ नहीं राधा तो बनी बस श्यामा की शयाम भौंरा (ओज़मैं) भौंरा देखने में श्याम रंग नीलम जैसा पर राशि से धनु राशि लाल पिला वस्त्र पीतांबर श्याम का श्री राम जय हनुमान श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी मधुराधिपति मेढ़क मेढ़की मधुरम (मिस्टी भालो अच्छी कन्या) कुल मिलाकर ११ अक्षर कुंभ राशि राधाकृष्ण समझीं संचिता गौरैया पंछी राधा रानी देवी (मिस्टी भालो अच्छी) कुल मिलाकर ८ अक्षर ८ से वृचिक राशि अनुराधा नक्षत्र बिच्छू शिव पार्वती पहने हैं अनुराधा में राधा छिपी हैं धारा जगत को गति देती है चलती हैं शरीर को चलाती है और गति सद गति गंगा की धारा सद गति पवित्र भी करती हैं अ१नु८रा७धा९ अंक अंक जुड़ १+८+९+७ अंक जुड़ २५ अंक जुड़ २+५ जुड़ कर सात ७तुला राशि राधा अनुराधा में राधा छिपी है और अनुराधा में ओज़मैं छिपे हैं २५ २ से वृखा राशि ओज़मैं और ५ से सिंह राशि मोहन (ओज़मैं) मोहन यूपी ३२ लखनऊ अंक ३+२ जुड़ कर ५ सिंह राशि मोहन (ओज़मैं) राधा में ओज़मैं धारा कोई भी हो गतिशील होती है ऊर्जा होता हैं ऊर्जा ओज़मैं होता हैं राधा में ओज़मैं समाए रहते हैं प्रेम प्यार २.५ अक्षर अंक जुड़ कर २+५ जुड़ कर सात तुला राशि राधा और २ से वृखा राशि श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी मोहन (ओज़मैं ) प्रेम भी ओज़मैं हैं तुम प्रेम हो त्रयोदशी ओज़मैं का जन्म तिथि १३ त्रयोदशी १+३ जुड़ कर ४ कर्क राशि हा अक्षर ह्रदय मन प्रेम दिल का रूप कान्हा का कान्हा (ओज़मैं) कान्हा तीन अक्षर ओज़मैं तीन अक्षर कान्हा (ओज़मैं) हा अक्षर हरि विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी शिव पार्वती में ही श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी बसते हैं जहा शिव पार्वतीआशुतोषउमा(ओज़मैं) कर्क राशि हा अक्षर ह्रदय चंद्रमा को धारण करने वाले चंचल चंचल चंद्रमा को धारण करते हैं शाम अवध सुबह बनारस एक ही स्थान पर काशी कोलिनी ( बनारस)पारा शाम अवध (लखनऊ) हंस खेड़ा विधुतमा जी घर पारा पा से पार्वती का काशी राम कॉलोनी और रा से राधा का वृंदा वन्य हंस खेड़ा गांव विधुतमा धारा उल्टा राधा का घर वृंदा वन्य पारा पार्वती घर वृंदा वन्य एक जगह वही विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी दूधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत भोर का तारा देवी के पुत्र ओज़मैंभोजपुरीभारतनाट्यम सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
गौरैया पंछी ओज़मैं ना जमीन के लिए ओज़मैं द्रव्य और ऊर्जा ऊ अक्षर वृखा राशि ऊर्जा ओज़मैं मैं हूं तेरी प्रेम दीवानी मुझको तू पहचान ओ कान्हा मधुर सुना दो अब तो मुरली की मधुर गान सत्यम शिवम सुंदरम ऊर्जा अग्नी ओज़मैं और राधा मैं से मा अक्षर मोहन मा से मास e=mc २ ऊर्जा (ओज़मैं) कृष्ण तीन अक्षर में राधा कृष्ण दोनों गोविंद में बिंदी ओज़मैं बिंदी भूमि (भू९+मि ५ ) अंक जुड़ १४ अंक जुड़ ५ सिंह राशि मोहन १४ यानि २ वृखा राशि श्री विष्णु ओज़मैंवृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी भूमि गोविंद (ओज़मैं) सारा जगत राधाकृष्ण(ओज़मैं) से रचा हुआ है बाना हैं ऊर्जा और द्रव्य e=mc२राधाकृष्ण (ओज़मैं) राधा रा से रचने वाली जगत को गति देने धारा नियम अनुच्छेद विद्युतमा स्वरसवती जी भाग्य विधाता राधा रा से राधा और धा से धर्म धारणी भाग्य विधाता पत्नी दक्षिणा देवी राधा विधुतमा प्रकृति रूपा देवीऔर कृष्ण (ओज़मैं के मिलन से जगत का निर्माण हुआ)सत्यम शिवम सुंदरम कान्हा गोविंद गो अक्षर कुंभ राशि ११ यानि १+१ वृखा राशि वि अक्षर ओ अक्षर श्री हरी बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी वि अक्षर विराट रूप विश्व रूप शांताकर्मर भुजंग शयनम पदनननभ सुरेशराम विश्व धारण गगन शयन योग मिंध्य नयकन कम सर्व लोक नाथम नाथ सब को नाथ लेने वाले भगवान शिव भोले नाथ भौंरा भा अक्षर धनु राशि लाल पिला वस्त्र पीतांबर भौंरा देखने में श्याम रंग नीलम पर राशि से धनु संकर्षण शंकर कृष्ण ओज़मैं सत्यम शिवम सुंदरम समय ४:४९ अंक जुड़ १७ मेखा लगन सप्तम भाव तुला राशि राधा सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
काली में सारा जगत शयन करता है काली रात्री सरुप की देवी मां हैं रात काली होती हैं रात से भय प्रकट होता हैं भय से जगत के प्राणी शयन करते हैं रात्री में भोले नाथ की शक्ति हैं रात में ( तारा देवी के पुत्र भोर का ताराओज़मैं तारा का संबंध रुकमणिछिपकली तारा देवी की कथा जगराते में और राधा )तारे चमकते हैं भोले नाथ भा से भय भा सेभय भा अक्षर धनु राशि भोले नाथ भोले नाथ भा अक्षर धनु राशि काली जी भोले नाथ पर सवार रहती हैं अगर काली मां न हो तो शयन न करें आराम यानी विराम पैदा न हो विराम स्थिर यानी सत्य ही स्थिर है सत्यम शिवम सुंदरम भोले नाथ के अंश भैरव नाथ के गण कुत्ता के भाऊ भाऊ से सब डरते हैं दत्तर्ये महराज ब्राह्म शिव पार्वती महेश उन्ही के अंश अनसुईया के पुत्र दत्ता त्रय नीलकमल नीलकंठ ब्रह्म कमल श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरमदस महा विद्या नौ दुर्गा सप्तशती नौ दुर्गा प्रकृति सत्यम शिवम सुंदरम भस्म राम्या भोले नाथ भा भौंरा श्याम रंग होता हैं पर राशि से भौंरा भा अक्षर धनु राशि भाग्य विधाता पत्नी दक्षिणा देवी राधा लाल पिला वस्त्र और श्याम का पीतांबर लाल पिला जी सत्यमदुधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत सत्यम शिवम सुंदरम समय ५:५७ अंक जुड़ १७ १ से मेखा लगन सप्तम भाव धर्म पत्नी दक्षिणा देवी राधा देवी सत्यम शिवम सुंदरम समय तेज गुजरता है प्रतीक्षा समय ७ : ०० अंक जुड़ कर तुला राशि राधा जहा कृष्ण वही राधा सत्यम शिवम सुंदरम धारा से शरीर गतिशील सारे जगत चलता राधा रा से रचने धा से धर्म धारणी भाग्य विधाता स्वर सती विद्युतमा नियम अनुच्छेद जो जगत में बनते हैं धारा ही सबको चलती है गतिशील लक्ष्मी रूप दक्षिणा देवी राधा १५१ अंक जुड़ ७ तुला राशि राधा और शक्ती रूप में सबको मुक्ति देने वाली धारा गंगा की ( गण तंत्र दिवस) कुल मिलाकर ७ तुला राशि राधा माघ मास मा से मुक्ति का मास जनवरी जानता+ वारी (मुक्त) माघ मास में मा से मोहन का मास ११ मास शरद ऋतु श से शिव पार्वती का शिवपार्वती २६ अंक जुड़ ८ अनुराधा नक्षत्र में बिच्छू को शिव पार्वती कान में पहनते रहते हैं और वहीं राम नाम से मुक्ति देते हैं फाल्गुन फा से फलने फूलने वाला मास फरवरी फ से फरणे फूलने का समय १२ मास फाल्गुन १२ बजे जन्म लेने वाले भगवान श्रीकृष्ण और १२ का अर्थ द्वशाद ज्योत्रिलिंग १२ अंक जुड़ ३ मिथुन राशि कृष्ण यानी कृष्ण राधा ही शिव पार्वती राम सीता जहा श्री विष्णु ओज़मैंराधा वही श्री असुतोष आस्था प्रेम सत्यम आदि छठा तत्व शिव पार्वती छठा माह भादों कृष्ण जन्माष्टमी अंत का अर्थ मिलन होता हैं शिव पार्वती प्रलय आखिर माह में होता हैं होली यानी मिलन पति पत्नि नायक नायिका (the end) छा अक्षर छठा तत्व शिव पार्वती भूत नाथ भूत मय सृष्टि दीं न नाथ (the end) था भूत, हैं वर्तमान ,होगा भविष्य, त्रिकाल दर्शी भूत नाथ भूत मय सारी सृष्टि सब कुछ भोले को ज्ञात होता हैं इसलिए उन्हें भूत नाथ भूत मय करने वाले ( the end)के देवता करने वाले यानी विराम जिससे सब स्थिर बनता है सत्य ही स्थिर हैं इस लिय शिव पार्वती ही सा से शिव से सृजन वाले शक्ति से संचालन शक्ती से मुक्ति सत्य ही स्थिर हैं इस लिय सत्यम शिवम सुंदरम का शिव पार्वती ही होली लेकर आते हैं राधा कृष्ण बनकर होली खेलें मसाने में और अवध में खेले कृष्ण बनकर मथुरा खेलें जहने में होली खेलें मसाने में कृष्ण राधा का नाम अपने होठों पर लेते हैं राधा कृष्ण इस लिय राधा के होठों पर कृष्ण और कृष्ण के होठों पर राधा तुम मेरा नाम लो मैं तुम्हारा फीर तुम्हरा नाम मेरा से चिपका रहेगा होली यानी मिलन संपूर्ण करना अंत में संपूर्णता होती हैंसत्यम शिवम सुंदरम समय ७:१९ अंक जुड़ कर १७ मेख लगन ओज़मैं का और सप्तम भाव तुला राशि राधा सत्यम शिवम सुंदरम जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी सत्यम शिवम सुंदरमआरती कुंज बिहारी की गिरधर कृष्ण मुरारी की श्यामा काली की सत्यम शिवम सुंदरम रउरे(बेशक तुम मेरी मोहब्ब्त होश्री ओज़मैं) कुल मिलाकर १६ अक्षर १+६ जुड़ कर ७ तुला राशि राधासोलह श्रृंगार और १६ सोलह कलाओं वाले भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा रानी कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम समय ७:३१ अंक ७ तुला राशि राधा और अंक ७+३+१ जुड़ कर ११ कुंभ राशि राधाकृष्ण समझीं संचिता गौरैया पंछी राधा रानी १+१ दो वृखा राशि श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
उदय उदय रॉय देखो मेरा तुम्हरा संबंध जन्म जन्मांतर का हैं तुम्हारा नाम उदय उदय रॉय उदय उ से वृखा राशि मोहन सिंह राशि सूर्य देव का उदय उ वृखा राशि वि अक्षर और ओ अक्षर श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी यानी आशुतोष उमा आशुतोष मेरा ही एक नाम मेरी मां मुझे बुलाती हैं और पिता जी मुझे विष्णु कहते तुम शिवअसुतोष (ओज़मैं)के साथ उमा बनकर और विष्णु ओज़मैं के साथ वृषभानु प्रिया राधा बनकर राम के साथ सीता यानी ओज़मैं के साथ सीता संचिता समझीं देवी बनकर खड़ी रहती हो ओज़ उल्टा ज़ओ (मरा) राम उल्टा मरा ओज़मैं की बहन जनक नंदनी गुड़िया दीदी गुड़िया गा अक्षर कुंभ राशि सीता जी सा अक्षर कुंभ राशि संचिता समझीं गौरैया पंछी गा अक्षर सब कुंभ राशि गोपियां गा गऊ माता और गोमिती नदी लखनऊ गा अक्षर हंस खेड़ा हा अक्षर हरि विष्णु ओज़मैं हज़रत गंज हा अक्षर हरि विष्णु ओज़मैं हनुमान सेतु लखनऊ का हा अक्षर हरि विष्णु ओज़मैं जहा राम वही हनुमान वि अक्षर बंदर वृखा राशि मंगल को जन्मे मंगल करते मंगल में भगवान (सीता राम) देखा हनुमान जी राम सीता को छिपा रखे हैं राम रा (७ तुला राशि)+ म(५) जुड़ कर १२ बजे जन्म लेने वाले मध्य दोपहर मा से मोहन सिंह राशि सूर्य देव छाया गुड़हल पुष्य राम १२ बजे १२ अंक जुड़ ३ मिथुन राशि कृष्ण यानी राम ही कृष्ण कृष्ण ही राम राम रा से राधा और म से मोहन राधा के मन मोहन राम में छिपे हैं राधा रा राम और धा से धनुष राम का धनुष राधा में राम जी और कृष्ण भी तारा देवी की बहन रुकमणी और रुकमणि का संबंध राधा से तारा देवी मेरी मां सत्यम शिवम सुंदरम आप की परछाई आप का साथ छोड़ सकती हैं पर आप की जनक कुमारी जलकुंभी बुद्धि देनी वाली आयोडिन नमक आप का साथ कभी नहीं छोड़ सकती हैं सुख करता दुख हारता वार्ता विघ्न विनाशक गणेश जी मुंबई में कृष्ण छोटे गणेश छोटे भाई रामशिव दो अक्षर नाम ओज़ भी दो अक्षर शिव पार्वती (ओज़मैं) गोविंद (ओज़मैं) गोविंद गा अक्षर कुंभ राशि १+१ दो वृखा राशि अक्षर श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे शिव श अक्षर कुंभ राशि ११ + व वृखा राशि अंक जुड़ १३ त्रयोदशी यानी शिव अक्षर १३ त्रयोदशी अंक हैं भोले नाथ नाथ जो सब को नाथ ले बांध ले अपने जटाओं में दुधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत कृष्ण नाग नाथिया हैं नाथने वाले हैं चाहे गाय को या नाग को ऐसे ही भोले नाथ जिस से जगत चलता हैं बांधे हुए है शिव उल्टा वशी सब को बस में नियंत्रण में रखने वाले सब धारा को हवा की या गंगा की धारा सब शिव पार्वती अपने जटाओं में लपेटे हुए हैं वशी यानी हर जगह वास करने वाले यत्र यत्र देवो यकार्य नमो नमः ॐ नमः शिवाय का गीत ॐ करम बिंदु संयुक्तकृष्ण संकर्षण शंकर के रूप हैं समुंदर पर बिंदी शंकर पर बिंदी जैस सारे नदियों के जल समुंद्र में समा जाता हैं यानी समुंदर संकार्ष का रूप हैं विष्णु ओज़मैं समुंदर में रहते हैं समुंदरसा अक्षर कुंभ राशि एकादशी भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी ११ अक्षर सत्यम शिवम सुंदरम धारा उल्टा राधा धारा में गति शीलता ओज़मैं राधा में ओज़मैं राधा रा से रचने वाली सबको गति शीलता धारा के रूप में विश्व को गतिशील सारे जगत को गतिशील बनाना शक्ती देना मुक्ति देने वाली धारा गंगा की धारा उल्टा राधा रचने वाली धारा नियम अनुच्छेद गुण धर्म विधुतमा स्वरस्वती जी भाग्य विधाता रा से राधा और धा से धर्म धारणी भाग्य विधाता भा अक्षर धनु राशि धर्म धा अक्षर धनु राशि भोले नाथ भा अक्षर धनु राशि विष्णु ब्राह्म शिव तीनो के साथ एक ही देवी राधा नीलकमल नीलकंठ ब्रह्म कमल श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम१५१ रुपया अंक जुड़ ७ तुला राशि राधा लक्ष्मी रूप सत्यम शिवम सुंदरमभाग्य विधता भाग्य वान पत्नि धर्म पत्नी को कहते हैं धारा सारा जगत चलता नियम अनुच्छेद सबजगह बनते हैं धारा जगत धारा से शरीर गतिशील रहता छठा तत्व शिव पार्वती छठा माह भादों कृष्ण जी आदि देव आदि शक्ति राधा कृष्ण सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
(बहार आई बसंत ऋतु की ओज़मैं) कुल मिलाकर १४ अक्षर १४ दिनाँक फरवरीबसंत पंचमी फरवरी फ से फलने फूलने का समय (फर+बरी) यानी फलने फूलने का समय जीवों के फाल्गुन फाल्गुन फा अक्षर होली होली फाल्गुनी फ से फलने फूलने का समय अच्युतम केशव राम नारायण आदी देव आदि शक्ति राधा कृष्ण के मिलन का समय होली का समय वर्ष का आखिर माह फाल्गुनी प्रलय के देवता भोले नाथ आदि देव आदि शक्ति अंत अर्थ संपूर्ण करना होता हैं आदि देव आदि शक्ति तुम मेरा नाम लो में तुम्हरा फीर तुम्हारा नाम मेरे होटों पर और मेरा नाम तुम्हरे होठों पर राधा कृष्ण को नाम लेती हैं कृष्ण राधा देखो जब से कृष्ण जन्म लिय तब से आज तक कृष्ण राधा आपस मैं जुड़े रहे फरवरी १४को बसंत पंचमी ऋतु हैं १४अंक जुड़ कर ५ पंचमी बसंत पंचमी ऋतु सरस्वती विधुताम धारा नियम बनता है जिससे राधा रा से रचने वाली धा से धर्म धारणी नौ अक्षर धा से धनु राशि भाग्य विधाता भा अक्षर भाग्य वान पत्नि को कहते हैं भा अक्षर भा अक्षर भारत माता भारत नाटायाम जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छनकतीबसंत बा अक्षर वृखा राशि वि अक्षर और ओ अक्षर श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी बसंत पंचमी ब अक्षर वृखा राशि सत्यम शिवम सुंदरमभौंरा भा अक्षर भोले नाथ आशुतोष(बसंत भौंरा ओज़मैं) भौंरा देखने में श्याम रंग होता हैं पर राशि से धनु राशि भाग्य लाल पिला पीतांबर श्याम का सत्यम शिवम सुंदरम रउरे ((जन गण मन जन-गण-मन अधिनायक जय हे भारत-भाग्य विधाता । पंजाब सिंघ गुजरात मराठा द्राविड़ उत्कल बंग । विंध्य हिमाचल यमुना गंगा, उच्छल जलधि तरंग ।तव शुभ नामे जागे, तव शुभ आशिष माँगे; गाहे तव जय गाथा । जन-गण मंगलदायक जय हे, भारत-भाग्य विधाता। जय हे, जय हे, जय हे, जय जय जय, जय हे ।।) )कुल मिलाकर १२७ अक्षर अंक १२ से १२ बजे जन्म लेने वाले भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी और ७ से तुला राशि राधा जहा कृषण वही राधा सत्यम शिवम सुंदरम १२ अंक जुड़ कर ३ मिथुन राशि का अक्षर कृष्ण और ७ से तुला राशि राधा रानी और १ से जनवरी माह जनवरी ((जन+वारी (मुक्ति)) जानता मुक्त २७ अंक जुड़ कर ९ धनु राशि भोले नाथ भा अक्षर और भारत भाग्य विधाता भा अक्षर भोले नाथ मुक्ति (जनता+वरी)देते हैं भारत को (गण तंत्र दिवस) कुल मिलाकर सात अक्षर तुला राशि राधा रानी देवी माघ मास माघ मां से मुक्ति का माह ११ महीना वर्ष का ११ से कुंभ राशि स अक्षर शरद ऋतु और सा अक्षर शिव जी मुक्ति दाता सा अक्षर स्वतंत्र दिवस और गा अक्षर कुंभ राशि गण तंत्र दिवस कुंभ राशि माघ में मां अक्षर मुक्ति का नाम जनवरी में )गा अक्षर कुंभ राशि गण तंत्र दिवस शरद ऋतु में श अक्षर कुंभ राशि (गण तंत्र दिवस) कुल मिलाकर सात अक्षर तुला राशि राधा को ७ से तुला राशि राधा उल्टा धारा बनते २६ जनवरी २+६ जुड़ कर ८ वृचिक राशि बिच्छु को अनुराधा नक्षत्र को कान में पहनते वाले भोले नाथ भा से धनु राशि भाग्य विधाता विधुतमा जी सरवरस्ती धारा अनुच्छेद बनते भोले नाथ जानता को मुक्त कर देते हैं जनवरी १(जन+वरी (मुक्त) १ से जनवरी और २७ से २७ जनवरी को जन्म लेने वाले श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा दूधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
(बहार आई बसंत ऋतु की ओज़मैं) कुल मिलाकर १४ अक्षर १४ दिनाँक फरवरीबसंत पंचमी फरवरी फ से फलने फूलने का समय (फर+बरी) यानी फलने फूलने का समय जीवों के फाल्गुन फाल्गुन फा अक्षर होली होली फाल्गुनी फ से फलने फूलने का समय मिलन(होली) होली का अर्थ हैं भगवान कृष्ण विष्णु ओज़मैं के हो गए उन्हीं को प्राप्त हो गए अच्युतम केशव राम नारायण आदी देव आदि शक्ति राधा कृष्ण के मिलन का समय होली का समय वर्ष का आखिर माह फाल्गुनी प्रलय के देवता भोले नाथ आदि देव आदि शक्ति अंत अर्थ संपूर्ण करना होता हैं आदि देव आदि शक्ति तुम मेरा नाम लो में तुम्हरा फीर तुम्हारा नाम मेरे होटों पर और मेरा नाम तुम्हरे होठों पर राधा कृष्ण को नाम लेती हैं कृष्ण राधा देखो जब से कृष्ण जन्म लिय तब से आज तक कृष्ण राधा आपस मैं जुड़े रहे फरवरी १४को बसंत पंचमी ऋतु हैं १४अंक जुड़ कर ५ पंचमी बसंत पंचमी ऋतु सरस्वती विधुताम धारा नियम बनता है जिससे राधा रा से रचने वाली धा से धर्म धारणी नौ अक्षर धा से धनु राशि भाग्य विधाता भा अक्षर भाग्य वान पत्नि को कहते हैं भा अक्षर भा अक्षर भारत माता भारत नाटायाम जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छनकतीबसंत बा अक्षर वृखा राशि वि अक्षर और ओ अक्षर श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी बसंत पंचमी ब अक्षर वृखा राशि सत्यम शिवम सुंदरमभौंरा भा अक्षर भोले नाथ आशुतोष(बसंत भौंरा ओज़मैं) भौंरा देखने में श्याम रंग होता हैं पर राशि से धनु राशि भाग्य लाल पिला पीतांबर श्याम का सत्यम शिवम सुंदरम रउरे(जन गण मन जन-गण-मन अधिनायक जय हे भारत-भाग्य विधाता । पंजाब सिंघ गुजरात मराठा द्राविड़ उत्कल बंग । विंध्य हिमाचल यमुना गंगा, उच्छल जलधि तरंग ।तव शुभ नामे जागे, तव शुभ आशिष माँगे; गाहे तव जय गाथा । जन-गण मंगलदायक जय हे, भारत-भाग्य विधाता। जय हे, जय हे, जय हे, जय जय जय, जय हे ।।) कुल मिलाकर १२७ अक्षर अंक १२ से १२ बजे जन्म लेने वाले भगवान श्रीकृष्ण विष्णु ओज़मैं राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी और ७ से तुला राशि राधा जहा कृषण वही राधा सत्यम शिवम सुंदरम १२ अंक जुड़ कर ३ मिथुन राशि का अक्षर कृष्ण और ७ से तुला राशि राधा रानी और १ से जनवरी माह जनवरी ((जन+वारी (मुक्ति)) जानता मुक्त २७ अंक जुड़ कर ९ धनु राशि भोले नाथ भा अक्षर और भारत भाग्य विधाता भा अक्षर भोले नाथ मुक्ति (जनता+वरी)देते हैं भारत को ७ से तुला राशि राधा उल्टा धारा बनते २६ जनवरी २+६ जुड़ कर ८ वृचिक राशि बिच्छु को अनुराधा नक्षत्र को कान में पहनते वाले भोले नाथ भा से धनु राशि भाग्य विधाता विधुतमा जी सरवरस्ती धारा अनुच्छेद बनते भोले नाथ जानता को मुक्त कर देते हैं जनवरी १(जन+वरी (मुक्त) १ से जनवरी और २७ से २७ जनवरी को जन्म लेने वाले श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा दूधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत सत्यम शिवम सुंदरम रउरे (श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी जन गण मन जन-गण-मन अधिनायक जय हे भारत-भाग्य विधाता । पंजाब सिंघ गुजरात मराठा द्राविड़ उत्कल बंग । विंध्य हिमाचल यमुना गंगा, उच्छल जलधि तरंग ।तव शुभ नामे जागे, तव शुभ आशिष माँगे; गाहे तव जय गाथा । जन-गण मंगलदायक जय हे, भारत-भाग्य विधाता। जय हे, जय हे, जय हे, जय जय जय, जय हे ।।) सत्यम शिवम सुंदरम रउरे )) कुल मिलाकर १६३ अक्षर १+६ जुड़ कर सात तुला राशि राधा और ३ से मिथुन राशि का अक्षर कृष्ण का चक्र सुदर्शन१६ से सोलह कलाओं श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णुओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम रउरे। त्रिरंगा झंड़ा में सत्यम शिवम सुंदरमजब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया जब अक्षर मकर संक्रांति मकर राशि का गाना जा अक्षर जहा कृष्ण वही राधा राधा धनु राशि भाग्य विधाता पत्नी दक्षिणा देवी राधा लाल पिला वस्त्र धारण किए गा रही जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छनकती मेरी पायलिया भाग्य विधाता भाग्य भा अक्षर जन गण मन अधिनायक जय हे भारत भाग्य विधाता भाग्य भा अक्षर धनु राशि धर्म चक्र धा अक्षर धनु राशि सुदर्शन चक्र सु अक्षर कुंभ राशि १+१ वृखराशी श्री विष्णु ओज़मैंवृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम भोजपुरी रउरे
I need more more of this kind pls suggest me
शुभ शु अक्षर कुंभ राशि शिव और भ से भोले नाथ शुभ शुभ अर्थ ही शिव भोले नाथ भा से धनु राशि भोले नाथ लाभ से एकादशी भाव ११ श अक्षर शमशान मेखा लगन का ११ भाव लाभ भाव कुंभ राशि ११ कुंभ राशि स अक्षर शमशान और समुंद्र श्री विष्णु ओज़मैं वि अक्षर और ओ अक्षर वृखा राशि (१+१) श्री हरी विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी का समुंद्र रत्नाकर का घर वही शमशान श अक्षर जहा शिव पार्वती वही विष्णु लक्ष्मी ओज़मैं सा अक्षर शेषनाग धारी विष्णु जी शुभ लाभ दरवाजे पर लिखा हैं उसमे मैं रहता हूं (मेरे सांसों में तुम दिल के धड़कन में तुम रहते हो मेरे ख्यालों में तुम ओज़मैं) कुल मिलाकर ३२ अक्षर अंक जुड़ कर ५ सिंह राशि मोहन यूपी ३२ लखनऊ ओज़मैं सदा सदा रहते हैं श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी मेरे सांसों में तुम दिल की धड़कन में तुम रहते हो मेरे ख्यालों में तुम रहते हो सत्यम शिवम सुंदरम शुभ और लाभ लाभ में ला से लखनऊ अवध पति राम जी भा अक्षर धनु राशि ( ओज़मैं) मेखा लगन की कुंडली का लाभ भाव ११ कुंभ राशि समझीं संचिता गौरैया पंछी राधा रानी शुभ भाव यानी धर्म पत्नी भाव धर्म भाव नौ भाव भाग्य भाव में तुम राधा लाल पिला वस्त्र धारण करके जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छनकती मेरी पायलिया नैनो से प्रेम दीवानी लाल पिला धनु राशि की पहचान सत्यम शिवम सुंदरमकण कण जड़ चेतन सब में रमने वाले राम ऊर्जा नवीन महा मृत्युंजय मंत्र रूप में कण कण में राधा उल्टा धारा में कोई भी हो गतिशील होती हैं ओज़मैं वाणी की अग्नी की हवाओ की धारा कोई भी हो सब में ऊर्जा नवीन ओज़मैं होता हैं कण कण में राधा में जड़ चेतन में सब मेंशिव पार्वती (ओज़मैं) शिव शव शक्ती शरीर से शक्ति निकलने से शव शिव शक्ति कभी अलग नहीं हुए शरीर से ओज़मैं निकलते शव शिव (ओज़मैं(गोविंद तीन अक्षय) ओज़मैं वृखा राशि १+१ एकादशी कुंभ राशि के श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा रानी देवी कृषण पक्ष पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम समय ६:४९ अंक जुड़ कर ६ से कन्या राशि पार्वती पा अक्षर पायल राधा की और ४९ अंक जुड़ कर १३ त्रयोदशी शिव (ओज़मैं) जब जब मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया शिव पार्वती शिव पुराण में शिव पार्वती को ही राधा कृष्ण हैं सत्यम शिवम सुंदरमयमुना नर्मदा नदियों की धारा गंगा की सब को पवित्र करती हैं धारा उल्टा राधा अनुराधा नक्षत्र बिच्छू वृचिक राशि बिच्छु कान में पहने वाले ८ वृचिक राशि अनुराधा नक्षत्र में राधा और ८ से अष्टमी श्री कृष्ण जन्माष्टमी से जन्म कुंडली में मृत्यु भाव शिव का शमशान घाट और ८ भाव ही आयु भाव भी है जहा मृत्यु वही से फिर जीवन शमशान में ऊर्जा नवीन रूप में अग्नि में शिव (ओज़मैं) शिव पार्वती सदा सदा रहते महा मृत्युंजय मंत्र के रूप में कण कण जड़ चेतन में शिव पार्वती राधा कृष्ण सीता राम (ओज़मैं) रहते हैं और गंगा की धारा जटाओं में लपेटे रखते वाले शिव पार्वती के जटाओं दूधेश्वर नाथ बाबा रुद्र पुर देवरिया गोरखपुर उत्तर प्रदेश बिहार भारत सत्यम शिवम सुंदरमजहा विष्णु लक्ष्मी वही शिव पार्वती १३त्रयोदशी शिव पार्वती के बाद ही १४ चतुर दशी विष्णु लक्ष्मी १+४ अंक जुड़ कर पांच सिंह राशि मोहन बजाए मुरलिया छन छन छनकती मेरी पायलिया अंक आता हैं सत्यम शिवम सुंदरम नीलकमल नीलकंठ ब्रह्म कमल श्री बांसुरी माउथ बैल नंदी महाराज श्री विष्णु ओज़मैं वृषभानु प्रिया राधा कृष्ण पक्ष त्रयोदशी सत्यम शिवम सुंदरम यत्र यत्र इस था देवा यकराय नमो नमः ॐ नमो नमः शिवाय ॐ नमो भगवते वासुदेवाय शिव उल्टा वशी सब को बस में नियंत्रण में रखने वाले और वशी का अर्थ सब जगह वास करने वाले बसने वाले रहने वाले शिव पार्वती ॐ नमः शिवाय ॐ नमो भगवते वासुदेवाय वसु देवा वसु और घर के देवता वासुदेवाय नमः ॐ नमः शिवाय सत्यम शिवम सुंदरम रउरे
Full song lyrics
Wonderful Manta but background music is very heavy
Mi lyrics anni tappuga pettaru
Srilakshmi, ammavaru nidanampati
ఓంకార బిందు సంయుక్తం, నిత్యం ధ్యాయంతి యోగినః, కామదం మోక్షదం తస్మా, ఓంకారరాయ నమోనమః. ఓంకార బిందు సంయుక్తం, నిత్యం ధ్యాయంతి యోగినః, కామదం మోక్షదం తస్మా, ఓంకారరాయ నమోనమః, ఓంకారరాయ నమోనమః.||1|| ||ఓం ||నం|| నమంతి మునయః సర్వే, నమత్యప్సరసాంగలాహ, నరాణాం ఆది దేవాయ, నకారాయ నమోనమః, నకారాయ నమోనమః.||2|| ||ఓం ||మం|| మహాతత్వం మహాదేవ ప్రియం, జ్ఞాన ప్రదం పరం, మహా పాప హరం తస్మా, మకారాయ నమోనమః, మకారాయ నమోనమః.||3|| ||ఓం ||శిం|| శివం శాంతం శివాకారం, శివానుగ్రహ కారణం, మహాపాప హరం తస్మా, శికారాయ నమోనమః, శికారాయ నమోనమః.||4|| ||ఓం||వాం|| వాహనం వృషభోయస్యా, వాసుఖీ ఖంట భూషణం, వామ శక్తి ధరం దేవం, వకారాయ నమో నమః, వకారాయ నమో నమః.||5|| ||ఓం||యం|| యకారే సంస్థితో దేవో, యకారం పరమం శుభం, యం నిత్యం పరమానందం, యకారాయ నమో నమః, యకారాయ నమో నమః.||6|| ||ఓం||యః|| క్షీరాంబుది మంత్రనుద్భవ, మహా హాలాహలం భీకరం, దుష్ట్వాతత్వ పరాయితా, సురగాణా నారాయణాం ధీంతద, నారాయణాం ధీంతద.||7|| సంకీర్త్వా పరిపాలయ జగదితం, విశ్వాదికం శంకరం, శివ్యోన సకలా పదం, పరిహరం కైలాసవాసి విభుః.||8|| క్షర క్షర మిదం స్తోత్రం, యః పఠేచివ సన్నిధౌ, తస్య మృత్యు భయం నాస్తి, హ్యప మృత్యు భయం కృతః, హ్యప మృత్యు భయం కృతః. ||9||
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Bangaru thalli 🙏❤️♥️❤️♥️❤️
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Om namah shivaya
Sri Lakshmi nidanampati Amma srilakshmi 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏