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Jin Bhakti Path
Добавлен 18 мар 2020
भजन - मेरी भावना | Meri Bhavna | स्वर - ममता बन्डी
हर प्रसंग में गायी जाने वाली यह भावना बहुत प्रचलित है। जब मन अशांत हो तब यह भावना मन को शांत करती है। और मन में सम भाव आता है।
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भजन- वीर आयेंगे आयेंगे। रचित ‐ आशा खासगीवाले। स्वर- ममता बन्डी
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भजन- वीर आयेंगे आयेंगे। रचित ‐ आशा खासगीवाले। स्वर- ममता बन्डी
इष्टोपदेश | Ishtopadesh | Asha Khasgiwale
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स्वर - आशा खासगीवाले श्री पूज्यपाद स्वामी के इस ग्रन्थ में बहुत ही सुन्दर ढंग से संसार-दुः का प्रतिपादन कर इष्ट अर्थात् मोक्ष- सुखका उपदेश दिया है । संसारी जीव की बाह्यदृष्टि को अंतर्मु करने के लिये यह वैराग्यपूर्ण और मनन करने योग्य उत्तम ग्रन्थ है ।
क्षमापना | श्रीमद् राजचन्द्र जी | स्वर - आशा खासगीवाले | Asha Khasgiwale
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क्षमापना | श्रीमद् राजचन्द्र जी | स्वर - आशा खासगीवाले | Asha Khasgiwale
सकल ज्ञेय ज्ञायक । Sakal Gyeh Gyayak । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले दौलतरामजी कृत इस स्तुतिके प्रथम भाग में अरिहंत भगवान की महिमा का गुणानुवाद है, श्रद्धा, भक्ति व समर्पण है, दूसरे भाग में अपनी परिस्थिति समस्याओं का वर्णन है उसके बाद समस्याओं के समाधान हेतु याचना है। इस प्रकार कविवर ने अपने भावों को व्यक्त किया है ।
राग । Raag । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले राग और द्वेष यह जीव के परिणाम संसार परिभ्रमण के कारण है। अतः हमें इनका छोड़ने का प्रयास करना चाहिए।
बृहद द्रव्य संग्रह अर्थ सहित । Brahad Dravya Sangraha Arth Sahit । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले ग्रंथ की 600 ईस्वी में आचार्य श्री नेमिचन्द्र सिद्धांत चक्रवर्ती ने रचना की है। यह द्रव्यानुयोग का ग्रंथ होते हुए भी इसमें नय का सुन्दर वर्णन किया है। इसमें छः द्रव्य, सात तत्व, पंचास्तिकाय,नौ पदार्थ एवं मोक्ष मार्ग का वर्णन है। प्राकृत भाषा में 58 गाथा है जो कठणस्थ करने योग्य है। इसका सरल भाषा में अर्थ किया है।
हम दुःखी क्यों है । Hum Dukhi Kyu Hai । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले इस जगत में कोई सुखी नहीं है, कुछ पल सु के मिलने पर हम अपने को सुखी मानते हैं। सु दुः हमारे मन के भावों पर आधारित है। आकुलता ही दुः है।
अनुकूलता और प्रतिकूलता पदार्थो में नहीं विचारों में है । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले इस जगत में कोई भी पदार्थ न अनुकूल है न प्रतिकूल है। सब हमारी मिथ्या मान्यता है। विचारों की विडंबना ही है। कभी वही पदार्थ हमारे लिए अनुकूल है तो कभी किसी समय प्रतिकूल। अतः सम भाव रखना चाहिए।
अहिंसा व शाकाहार । Ahinsa va Shakahaar । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले जीव दया ही सबसे बड़ा धर्म है। हर जीव में प्राण होते हैं, अतः हमें जीवों की रक्षा करनी चाहिए। प्रकृति ने हमें वनस्पति व फल दिये हैं जो मानव के लिए सर्वोत्तम आहार है, उनमें सब पोषक तत्व मिल जाते हैं हमारी पाचन तंत्र भी शाकाहार के लिए उपयुक्त है। हाथी घोड़ा भेस शाकाहारी ही हैं और बलवान भी हैं अतः हमें शाकाहारी ही रहना चाहिये।
बृहद द्रव्य संग्रह । Brahad Dravya Sangraha । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले ग्रंथ की 600 ईस्वी में आचार्य श्री नेमिचन्द्र सिद्धांत चक्रवर्ती ने रचना की है। यह द्रव्यानुयोग का ग्रंथ होते हुए भी इसमें नय का सुन्दर वर्णन किया है। इसमें छः द्रव्य, सात तत्व, पंचास्तिकाय,नौ पदार्थ एवं मोक्ष मार्ग का वर्णन है। प्राकृत भाषा में 58 गाथा है जो कठणस्थ करने योग्य है।
लघु प्रतिक्रमण । Laghu Pratikraman । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले प्रतिक्रमण हमें प्रतिदिन संध्या काल में जब सामायिक और आलोचना पाठ करते हैं तब करना चाहिए। दिन भर के काम काज में हमसे जाने अनजाने में जीवों की विराधना हो जाती है,और हम पाप उपार्जन कर लेते हैं। अतः पाप की निवृति के लिए, जीवों का दिल दुखाया हो उसके लिए क्षमा याचना करते हैं।
शब्द। Shabd। Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले शब्द भाषा वर्गणा से बने हैं जो हमारे कानों तक आते हैं। शब्द अक्षरात्मक व अन अक्षरात्मक भी होते हैं। शब्द के माध्यम से जो हम भाव प्रकट करते हैं उससे सामने वाले पर प्रभाव पड़ता है। अतः हमें अपने वचन हित मित व प्रिय बोलना चाहिये।
पंच परमेष्ठी । Panch Parmeshthi । Asha Khasgiwale
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स्वर- आशा खासगीवाले अरिहन्त सिद्ध आचार्य उपाध्याय साधु के स्वरूप का परिचय कराया है।
ए मेरे आत्मन् । Ae Mere Aatman । Mamta Bandi
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ए मेरे आत्मन् । Ae Mere Aatman । Mamta Bandi
वीतराग स्तोत्र । Veetraag Stotra । Mamta Bandi
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वीतराग स्तोत्र । Veetraag Stotra । Mamta Bandi
आप में जब तक कि । Aap Mein Jab Tak Ki । Mamta Bandi
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आप में जब तक कि । Aap Mein Jab Tak Ki । Mamta Bandi
वह घडी कब आएगी । Vah Ghadi Kab Aaegi । Ramesh Jain
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वह घडी कब आएगी । Vah Ghadi Kab Aaegi । Ramesh Jain
देव दर्शन स्तोत्र अर्थ सहित। Dev Darshan Stotra Arth Sahit। Asha & Jagruti
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देव दर्शन स्तोत्र अर्थ सहित। Dev Darshan Stotra Arth Sahit। Asha & Jagruti
देव दर्शन स्तोत्र। Dev Darshan Stotra। Asha Khasgiwale
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देव दर्शन स्तोत्र। Dev Darshan Stotra। Asha Khasgiwale
श्री पार्श्वनाथ स्तोत्र अर्थ सहित। Shree Parswanath Stotra Arth Sahit। Asha Khasgiwale
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श्री पार्श्वनाथ स्तोत्र अर्थ सहित। Shree Parswanath Stotra Arth Sahit। Asha Khasgiwale
भजन - अशरीरी सिद्ध भगवान । Bhajan - Ashariri Siddha Bhagwan । Mamta Bandi
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भजन - अशरीरी सिद्ध भगवान । Bhajan - Ashariri Siddha Bhagwan । Mamta Bandi
भजन - करम जड है । Bhajan - Karam Jad Hai । Mamta Bandi
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भजन - करम जड है । Bhajan - Karam Jad Hai । Mamta Bandi
भक्ति करता छूटे मारा प्राण । Bhakti Karta Choote Maara Praan । Mamta Bandi
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भक्ति करता छूटे मारा प्राण । Bhakti Karta Choote Maara Praan । Mamta Bandi
श्री पार्श्वनाथ स्तोत्र । Shree Parswanath Stotra । Asha Khasgiwale
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श्री पार्श्वनाथ स्तोत्र । Shree Parswanath Stotra । Asha Khasgiwale
भजन - एक तुम्ही आधार हो । Bhajan - Ek Tumhi Aadhar Ho । Ramesh Jain
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भजन - एक तुम्ही आधार हो । Bhajan - Ek Tumhi Aadhar Ho । Ramesh Jain
मेरा धाम - शुद्धातम है मेरा नाम । Mera Dham - Shudhatam hai mera naam । Mamta Bandi
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मेरा धाम - शुद्धातम है मेरा नाम । Mera Dham - Shudhatam hai mera naam । Mamta Bandi
आत्म कीर्तन मनोहरलाल जी वर्णों । Atm Kirtan Manoharlaal Ji Varni । Asha Khasgiwale
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आत्म कीर्तन मनोहरलाल जी वर्णों । Atm Kirtan Manoharlaal Ji Varni । Asha Khasgiwale
अमूल्य तत्व विचार अर्थ सहित । Amulya Tatwa Vichar Arth Sahit । Asha Khasgiwale
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अमूल्य तत्व विचार अर्थ सहित । Amulya Tatwa Vichar Arth Sahit । Asha Khasgiwale
very good and rare content
अच्छा है। आपने पाठ अच्छा किया है बस एक सुधार कर लीजिये कि सब इष्ट भूल्यो के बाद भ्रष्ट 'भूल्यों' मत बोलिये
राग स्निग्ध रुप है और द्वेष रुक्ष रुप है। यह जीव की अशुद्ध पर्याय है और कर्म बंध का कारण है। इससे हमें बचने का प्रयास करना है।
🙏JaiJinendra 🙏Aabhar 👌👌👍
👌👌👌
Kshama kare sir aapke galat Mafinaama video mere paas aayi he jise me apneliye nahi chahati
Very truly said
🙏🏻🙏🏻🙏🏻
👍🙏
Viitrag stotra tritay prakash
🙏🙏🙏
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We really thankful and obliged with this channel having original Jain prayers🙏
Om nma shivay hariom nma shivay om shanti shanti
Jyt Jyt nmoistute barambar pujan arti nevadh fal meva misthan nevdyam nana sugandhi puspan pujyam sodsopachar sastangam pranat istut bhuvidha om shanti
Nmoistute sdgurdeva sbhi sant atmaye pujan pad prachaalan pradichana dandandwat shat shat pranam namestesye namestesye namestesye nana sugandhi puspan pujyam sodsopachar sastangam pranat istut bhuvidha om shanti
Bahut thick, thanks you
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Vèrynlce very good
Bahut sundar bhakti bhajan
Jeno svabhav saro aenu badhu saru.
Sumiran karu sakal brAhmand kun kun ma nirdos jagat kalyan bhave amar aa stotra
बहुत सुंदर 🙏
Michchami dukkdam sakal brAhmand kun kun ma nirdos sacha ruday thi Michchami dukkdam
Good.
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🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
वाह ,बहुत सुंदर ,भावपूर्ण भक्ति ,मधुर ध्वनि👌👌👌
बहुत ही भावपूर्ण भक्ति है,बहुत मधुर ध्वनि में गाया है,बहुत बहुत धन्यवाद👌👌👌
Supreme information
Jai jinendra Dev ki
Ham sabhi bachpan se yah parbhu patit pawan padh rahe the lekin pura sahi se arth nahi pata tha..bahut acche se aapne bataya...bahut bahut dhanyavad..aur bhi bhavna ,stotra path ka arth. Batayen..🙏..Nilay jain.8459670086
very nice explained 👌🏻
Namo amar nirdos bahumane sree siddho bhag van
Jai jinendra 🙏🏻 , बहुत सुंदर भाव 👌🙏🏻, अनुमोदना 🙏🏻
Mara aatma vade 99,999krod sree navkar maha mantra gani ne nirdos puja karu sree sahu sacha suddhaatma
Naman amar nirdos bahumane sree mahan jain sasan maf karjo raxa karjo laj rakhjo
Mara aatma vade 99,999krod sree navkar maha mantra gani ne nirdos puja karu sree sadguru dev maf karjo raxa karjo laj rakhjo
very nice 👌🏻
Shandar
bahot sunder 🙏
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Naman amar nirdos bahumane sree sahu sudhdh aatma.
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अच्छा प्रयास. जिनेन्द्र भक्ति हमें अशुभ से बचाती है और शुभ में लगाती है और परम्परा से मोक्ष प्राप्त कराती है. जय जिनेन्द्र
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